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बुधवार, 13 नवंबर 2019

बाड़मेर केंद्रीय मंत्री और हनुमान बेनीवाल पर कांग्रेस कार्यकर्ताओ का हमला ,मंत्री ने फायरिंग का आरोप लगाया

बाड़मेर केंद्रीय मंत्री और हनुमान बेनीवाल पर कांग्रेस कार्यकर्ताओ का हमला ,मंत्री ने फायरिंग का आरोप लगाया 





बाड़मेर बायतु में उपखंड मुख्यालय पर आयोजित वीर तेजाजी और खेमाबाबा की जागरण में भाग लेने जा रहे रालोपा संयोजक व नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल और केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी के काफिले पर बायतु में देर रात पथराव हो गया। आरोप कांग्रेस कार्यकर्ताओं पर लगाया जा रहा है।बाड़मेर में पत्रकार वार्ता के दौरान हनुमान बेनीवाल द्वारा राजस्व मंत्री हरीश चौधरी पर की गई टिप्पणी के बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने कार्यालय में बैठक बुलाई। इसके बाद करीब सौ लोग हनुमान बेनीवाल का विरोध करने फलसूंड चौराहे पर पहुंचे। करीब आधा घंटे तक वहां नारेबाजी करते रहे। जैसे ही हनुमान बेनीवाल का काफिला बायतु पहुंचा तो अज्ञात लोगों ने बेनीवाल के काफिले पर पत्थरबाजी शुरू कर दी।मौके पर बायतु एसडीएम सहित एएसपी खींवसिंह के नेतृत्व में दो डिप्टी सहित दस थानों की पुलिस सहित सौ जवान भी तैनात थे, लेकिन पुलिस मोर्चा संभालने में असफल रही। बेनीवाल, केन्द्रीय मंत्री कैलाश चौधरी की गाड़ी में बैठे थे। पत्थरबाजी से गाड़ी के शीशे टूट गए। पत्थरबाजी के बाद पुलिस ने भीड़ को खदेड़ दिया। बेनीवाल ने कहा- मैं भी इनकी तरह कर सकता हूं लेकिन यहां सभी मेरे अपने हैं, इसलिए मैं ऐसा नहीं कर रहा हूं।केंद्रीय मंत्री कैलाश   होकर कांग्रेस कार्यकर्ताओ पर आरोप लगाया की उन्होंने फायरिंग की जिसकी एक गोली हनुमान बेनीवाल  के  निकली तब उसको मेने अपनी और खींच लिया ,उन्होंने कहा की यह कॉंग्रेस का गुंडाराज हैं,इस तरह हमले हो रहे थे पुलिस मूकदर्शक बनी थी ,

बुधवार, 24 अक्टूबर 2018

*हनुमान बेनीवाल के उम्मीदवार किसका खेल बिगाड़ेंगे,बाड़मेर की पांच सीट पर* *जाट दलित होगा नया समीकरण,दो जाट,दो दलित ,एक जैन होगा मैदान में*

*हनुमान बेनीवाल के उम्मीदवार किसका खेल बिगाड़ेंगे,बाड़मेर की पांच सीट पर*

*जाट दलित होगा नया समीकरण,दो जाट,दो दलित ,एक जैन होगा मैदान में*

बाड़मेर आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर विभिन दल प्रत्यासियो को लेकर मगजमारी कर रहे है।वही निर्दलीय हनुमान बेनीवाल ने बाड़मेर जिले की पांच विधानसभा क्षेत्र में अपने उम्मीदवारों पर मोहर लगा बढ़त बना ली।।ये प्रत्यासी किसका खेल बिगाड़ेंगे। यह चुनाव में ही पता चलेगा।

बाड़मेर विधानसभा क्षेत्र से हनुमान बेनीवाल युवा जाट नेता को उतारेंगे । जो भाजपा के लिए सरदर्द होगा ।क्योंकि भाजपा यहां  जाट उम्मीदवार उतरेगी।।पिछले दस सालों से उस सीट पर कांग्रेस का कब्जा बरकरार है। जातिगत समीकरण और परंपरागत वोटर का समीकरण भी कांग्रेस के पक्ष में है।।बेनिवल के उम्मीदवार जाट और दलित वोट का ध्रुवीकरण कर सकते।अन्य जातियां कितनी उनके साथ जुड़ेगी उस पर परिणाम निर्भर है।

शिव विधानसभा क्षेत्र से हनुमान बेनीवाल दलित नेता को मैदान में उतार रहे है। दलित समाज की मीटिंगों में कांग्रेस के खिलाफ जहर उगलने वाले नेता को शिव विधानसभा के मतदाता कितना स्वीकार्य कर पाते है। यहां 35 हजार जाट मतदाता है।बेनिवल का गणित 35 हजार जाट 30 हजार दलित मिलकर कांग्रेस को पटखनी दे सकते है। मगर आम मतदाता बेनिवल के साथ कितना जुड़ेगा यह समय बताएगा ।भाजपा और कांग्रेस अभी उम्मीदवार तय नही कर पा रहे। कांग्रेस में सशक्त दावेदार शम्मा खान और अमीन खान है। भाजपा में स्वरूप सिंह खारा,खुमान सिंह सोढा और धन सिंह मौसेरी। यदि कांग्रेस शम्मा खान को इस बार टिकट नही देता है तो परिस्थतियां बदल सकती है।

चौहटन विधानसभा क्षेत्र से भी हनुमान बेनीवाल एक दलित युवा पर आज़माइश करेंगे।कभी यह युवा बहुत चर्चित रहा।कांग्रेस में दावेदारी भी की।मगर टिकट नही मिली।।भाजपा कांग्रेस अंतिम उम्मीदवार तय नही कर पाए अभी तक फिर भी जातिगत समीकरण कांग्रेस के पक्ष में है।।यह युवा दलित जाट के वोट के आधार पर इन दोनों दलों का नुकसान करते दिख रहा है।वर्तमान विधायक पिछली बार दलित वोट लेने में कामयाब रहे थे।इस बार कितने वोट मिलेंगे यह समय के गर्भ में है।।

बायतु विधानसभा क्षेत्र इस बार चुनाव में रणभूमि बनके उभरने वाला है। हनुमान बेनीवाल की पार्टी से एक दिग्गज जाट नेता को उतारा जा सकता है ।कांग्रेस पूर्व सांसद हरीश चौधरी और भाजपा वर्तमान विधायक को उतरेगी।सत्तर हजार जाट वोट तीन भागों में बंटने जा रहा जिससे अन्यजाति के मतदाताओं पर परिणाम निर्भर करेगा। किशोर सिंह कानोड़ अगर मैदान में उतरते ही तो बायतु के मुकाबले देखने लायक होंगे। इस बार बायतु में किसी दो जाट नेताओं की राजनीति जीवन संकट में आने की संभावना है

सिवाना विधानसभा क्षेत्र कहने को राजपूत बाहुल्य क्षेत्र है मगर कांग्रेस ने यहां से राजपूत उम्मीदवार उतारने की संभावनाओं पर पहले ही पिरन विराम लग दिया तो हनुमान बेनीवाल यहां से दमदार जैन को टिकट दे रहे जो पहले भी निर्दलीय मैदान में उत्तर कर कांग्रेस को तीसरे स्थान पर धकेल दूसरे स्थान पर रहे थे। 2008 के चुनाव में।।जिसके चलते कांग्रेस के बालाराम कलबी तीसरे स्थान लुढ़क गए थे कान सिंह कोटड़ी विधायक बने।2013 में हमीर सिंह विधायक बने।।इस बार बेनीवाल फिर खेल बिगाड़ेंगे पर किसका यह अभी तय है।।अलबत्ता हनुमान बेनीवाल के संभावित उम्मीदवारों ने हड़कम मचा दिया।।

रविवार, 14 अक्टूबर 2018

बाड़मेर *जाट समाज के नेता हनुमान बेनीवाल की मीटिंग में हुए शरीक,भाजपा के विधायक भी शामिल।* *सांसद कर्नल सोनाराम चौधरी के पुत्र ने हनुमान बेनिवाल को मजबूत करने की अपील कर मचाई खलबली*



बाड़मेर *जाट समाज के नेता हनुमान बेनीवाल की मीटिंग में हुए शरीक,भाजपा के विधायक भी शामिल।*
*सांसद कर्नल सोनाराम चौधरी के पुत्र ने हनुमान बेनिवाल को मजबूत करने की अपील कर मचाई खलबली*

*29 अक्टूबर को हनुमान बेनिवाल की महारैली की तैयारियों को लेकर हनुमान बेनिवल कल बाड़मेर जिले के विभिन स्थानों पर मीटिंग ले चुके।सबसे अंतिम मीटिंग बायतु में रात दो बजे आयोजित की गई।जिसमें भाजपा के एक विधायक सहित कई पदाधिकारी मौजूद थे।।बैठक में सांसद कर्नल सोनाराम के पुत्र डॉ रमन भी मौजूद थे।बैठक में हनुमान बेनीवाल समर्थक बड़ी संख्या में उपस्थित हुए।जब  स्थानीय विधायक बोलने उठे तो बेनीवाल समर्थकों ने जोरदार उनके खिलाफ नारेबाजी की जिसके चलते उन्होंने अपना उद्बोधन बीच मे छोड़ दिया।।बारी डॉ रमन की आई तो उन्होंने जाट समाज से हनुमान बेनीवाल को मजबूत करने की अपील कर दी।।इस अपील से मंच पर खलबलि मचना   स्वाभाविक था।डॉ रमन का बयान इशारा करताहै की 29 अक्टूबर को राजस्थान की राजनीति में फिर भूचाल आने वाला है।।इस बयान से उन कयासों को बल मिला है कि कर्नल हनुमान बेनीवाल के साथ जासकते है।।भाजपा से राजपूतो के पलायन के बाद भाजपा पूर्णतः जाट मतदाताओं पर निर्भर हो गई।।29अक्टूबर की रैली के बहाने भाजपा पर जाट नेता बड़े पदों के लिए दबाव बनाने की तैयारी में है तो समाज की एकता के नाम पर भाजपा कांग्रेस से त्यागपत्र भी दे सकते है ।सूत्रों की माने तो बेनीवाल बाड़मेर जिले की चार सीट पर अपने उम्मीदवार उतारेंगे।।हनुमान बेनीवाल कर्नल सोनाराम की दोस्ती जगजाहिर है।।फिर राजनीति है कुछ भी हो सकता है।

बुधवार, 19 सितंबर 2018

तीसरा मोर्चा बेरोजगारों को पांच हज़ार भत्ता देगा हनुमान बेनीवाल

तीसरा मोर्चा बेरोजगारों को पांच हज़ार भत्ता देगा हनुमान बेनीवाल 


चित्तौड़। दो दिवसीय चित्तौडगढ़़ जिले के दौरे पर आए निर्दलीय विधायक और किसान नेता  हनुमान बेनीवाल ने मंगलवार को कहा कि राजस्थान में तीसरा मोर्चा का गठन किया जाएगा, जिसमें नई पार्टी का ऐलान आगामी कुछ दिनों में जयपुर में आयोजित होने वाली विशाल रैली के दौरान कर दिया जाएगा। बेनीवाल ने मंगलवार को मीडिया से बातचीत में कहा कि राजस्थान को विशेष राज्य का दर्जा मिलना चाहिए, लेकिन इस ओर न तो भाजपा और न ही कांग्रेस ने ध्यान दिया। उन्होंने कहा कि बहुत पहले ही यह कार्य हो जाना चाहिए था। केंद्र में दोनों की सरकार होने के बावजूद भी दोनों ही दलों ने मजबूत पैरवी नहीं की। उनके अनुसार राज्य में तीसरे मोर्चे की सरकार सत्ता में आने की स्थिति में राजस्थान को विशेष राज्य का दर्जा दिलाने के लिए मजबूत पैरवी करेगी।



चाहिए मजबूत लोकायुक्त
हनुमान बेनीवाल ने कहा कि राजस्थान में मजबूत लोकायुक्त की भी आवश्यकता है। भाजपा सरकार द्वारा राज्य में काश्तकारों का कर्जा माफ किए जाने के बारे में उल्लेख किए जाने पर उन्होंने कहा कि यह ऊंट के मुंह में जीरे के समान है। सरकार को मजबूर किसानों का संपूर्ण कर्जा माफ करना चाहिए और साथ में बिजली के बिल भी माफ करने के लिए कदम उठाया जाना चाहिए। स्वामीनाथन रिपोर्ट लागू करने की मांग करते हुए कहा कि सरकार ने बेरोजगारों को रोजगार देने की दिशा में भी कोई बड़ा कदम नहीं उठाया जो युवाओं के साथ नाइंसाफी है।



तीसरा मोर्चा देगा युवाओं को पांच हजार प्रतिमाह भत्ता
राजस्थान में तीसरे मोर्चे की सरकार सत्ता में आने की स्थिति में बेरोजगार युवाओं को पांच हजार रुपये प्रति माह भत्ता दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि उनके द्वारा विभिन्न स्थानों पर विशाल रैली आयोजित किए जाने के बाद ही मौजूदा सरकार को गौरव यात्रा और कांग्रेस को संकल्प रैली निकालने के लिए मजबूर होना पड़ा है। उन्होंने आरोप लगाया कि वसुंधरा एवं गहलोत दोनों मिले हुए हैं। राज्य से भाजपा सरकार का जाना तय है। अब मोदी और शाह के दौरे भी सरकार को जाने से नहीं बचा पाएंगे, क्योंकि राजस्थान अब परिवर्तन की लहर चल रही है, जिसे रोकना मुश्किल है।



तीसरे मोर्चे के सहयोग के बिना सत्ता में नहीं आने वाली कोई भी पार्टी
बेनिवाल ने कहा कि किसी अन्य पार्टी के विलय के बारे में भी वह इंकार नहीं कर सकते हैं, लेकिन स्वयं तीसरा मोर्चा भी आगामी चुनाव में सरकार बनाने के लिए सक्षम है। राज्य में सभी सीटों पर तीसरे मोर्चे द्वारा चुनाव लड़े जाने के बारे में उन्होंने कहा कि यह सब कुछ पार्टी बनने के बाद ही तय किया जाएगा, साथ ही यदि आवश्यक हुआ तो विभिन्न सीटों पर अन्य से तालमेल भी किया जा सकता है, लेकिन तीसरे मोर्चे की सरकार सत्ता में नहीं आती है, तो भी कोई भी पार्टी तीसरे मोर्चे के सहयोग के बिना सत्ता में आने वाली नहीं है।