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रविवार, 9 अगस्त 2020

जैसलमेर केंद्रीय मंत्री संक्रमित होते हुए लोगो के बीच घूमे ,मुकदमा दर्ज हो : शाले मोहम्मद

जैसलमेर   केंद्रीय मंत्री संक्रमित होते हुए लोगो के बीच घूमे ,मुकदमा दर्ज हो : शाले मोहम्मद


जैसलमेर राज्य सरकार  केबिनेट मंत्री  शाले मोहम्मद ने केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी के स्वस्थ होने की कामना  उनके द्वारा कोरोना सेम्पल जांच के बाद खुद को क्वरेन्टीन करने की बजाय  सभाएं कर लोगो की जान के साथ खिलवाड़ करने का मुकदमा दायर करने का बयान जारी किया ,मीडिया से बातचीत करते हुए शाले मोहम्मद ने कहा की केंद्रीय मंत्री पिछले कई दिनों से क्षेत्र के दौरे पे थे ,दर्जनों गाँवो और शहरी क्षेत्र में यह   जानते हुए भी हिस्सा लिया की उनके द्वारा कोरोना टेस्ट  कराया गया जिसकी रिपोर्ट नहीं आई ,स्वयं होम क्वरेन्टीन होने की बजाय  लोगो के बीच  आकर लगातार दो दिनों तक आम सभाएं और अन्य सार्वजनिक कार्यक्रम आयोजित कर लोगो की जान जोखिम में डाली ,केंद्रीय मंत्री  हुए उन्होंने कोरोना संक्रमण की गाइड लाइन की पालना नहीं की,लोगो के बीच घूमते रहे ,यह उनकी लापरवाही ,हैं उनकी लापरवाही के कारन जैसलमेर के  लोगों पर अब संक्रमण का खतरा बढ़ गया ,शाले मोहम्मद ने कैलाश चौधरी के खिलाफ कोरोना महामारी अधिनियम  तहत मुकदमा दर्ज करना चाहिए



foto shale mohammd

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शनिवार, 8 अगस्त 2020

बाड़मेर केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी कोरोना पॉजिटिव

बाड़मेर  केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी कोरोना पॉजिटिव

बाड़मेर केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी  कोरोना पॉजिटिव  पाए गए ,दिल्ली के एम्स में दिया था सेम्पल ,आज उनकी रिपोर्ट पॉजिटिव पाई गयी ,इन दिनों कैलाश चौधरी बाड़मेर जैसलमेर के दौरे पर हैं ,कैलाश चौधरी के पॉजिटिव आने के बाद जैसलमेर बाड़मेर में हड़कंप मच गया ,इनके द्वारा जैसलमेर दौरा बीच में छोड़ एम्स जोधपुर में उपचार के लिए भर्ती हुए हैं ,


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गुरुवार, 23 जुलाई 2020

अयोध्या में राम मंदिर निर्माण गर्व का विषय, मोदी सरकार ने किया पीढ़ियों का सपना पूरा : कैलाश चौधरी

अयोध्या में राम मंदिर निर्माण गर्व का विषय, मोदी सरकार ने किया पीढ़ियों का सपना पूरा : कैलाश चौधरी

केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि मोदी सरकार ने एक साल के भीतर दो महत्वपूर्ण काम करके 5 अगस्त के दिन को बनाया ऐतिहासिक

बाड़मेर

केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री कैलाश चौधरी ने गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 5 अगस्त को अयोध्या में बहुप्रतीक्षित भगवान श्री राम के भव्य मंदिर निर्माण के लिए होने वाले भूमि पूजन को ऐतिहासिक बताया। केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि भव्य राम मंदिर निर्माण भारत के गौरव की मिसाल बनेगा। भगवान राम भारत की सभ्यता और अस्मिता के प्रतीक हैं। यहां पर बनाया जाने वाला भव्य मंदिर हमारी सदियों पुरानी सांस्कृतिक पहचान, सम्मान और पुरुषार्थ का प्रतीक बनेगा। भूमि पूजन में राजस्थान के श्री गोविंददेवजी, श्रीनाथजी एवं हल्दीघाटी सहित अनेक प्रमुख ऐतिहासिक और धार्मिक स्थानों की माटी का प्रयोग किया जाएगा, जो भी हम सभी के लिए गौरव का विषय है।

कृषि राज्यमंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि देश में पिछले 6 साल से शासन कर रही नरेंद्र मोदी की सरकार ने जनता से किए गए वादों को निभाने का काम करना शुरू कर दिया है। भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने के लिए मोदी सरकार ने नोटबंदी जैसे कड़े कदम उठाए, वहीं व्यापार के दौरान कई जगह टैक्स लगने वाले टैक्स प्रक्रिया को खत्म कर जीएसटी को लागू किया। श्री कैलाश चौधरी ने कहा कि राष्ट्रीय एकता की दृष्टि से केंद्र की मोदी सरकार ने 5 अगस्त के दिन को ऐतिहासिक महत्व प्रदान किया है। केंद्र सरकार ने इसी दिन 2019 को जम्मू कश्मीर से धारा 370 को समाप्त किया। वहीं देश के लोगों की अयोध्या में प्रभु श्री राम के भव्य मंदिर निर्माण का भी भूमि पूजन होना है।

केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि सत्ता में दोबारा लौटते ही मोदी सरकार ने एक-एक कर सभी घोषणाओं को पूरा करने का काम शुरू कर दिया। चाहे वह ट्रिपल तलाक का मामला हो, एनआरसी या फिर सीएए का। नरेंद्र मोदी सरकार ने घोषणा पत्र में जिन बातों का उल्लेख किया गया था, उसे अब पूरा होते देखा जा सकता है। केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने एक साल के भीतर देश के लिए दो ऐसे महत्वपूर्ण काम किए है, जिसके पूरा होने का सपना भारत के लोग वर्षों से देख रहे थे।

सोमवार, 20 जुलाई 2020

किसानों के लिए अवसर में तब्दील हुआ कोरोना काल

किसानों के लिए अवसर में तब्दील हुआ कोरोना काल

  श्री कैलाश चौधरी, केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री, भारत सरकार!

किसानों के मुद्दों को लेकर मुखर रहने वाले केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री कैलाश चौधरी का कहना है कि अंग्रेजों के शासन से देश को तो आजादी 1947 में मिली लेकिन किसानों को अपनी मर्जी के अनुसार फसल बेचने की आजादी 2020 में मिली है। उन्होंने यह बात मोदी सरकार द्वारा हाल ही में कृषि क्षेत्र में लाए गए नीतिगत सुधार के संबंध में कही है। यहां पेश है कैलाश चौधरी का आलेख :

माननीय नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में जो किसानों को आजादी मिली, वो अगर पहले मिल गई होती तो मैं सोचता हूं कि किसान आत्मनिर्भर होते और देश को भी कृषि उत्पादों के मामले में आत्मिनिर्भरता काफी मिल जाती।

आज मुझे वो दिन याद आते हैं, जब मैं बचपन में मंडी में जाता था तो वहां पर व्यापारी द्वारा बोली लगाते हुए देखता था, तब मैं सोचता था कि क्या मैं अपनी फसल कहीं बाहर अधिक दाम में बेचकर अधिक लाभ अर्जित कर सकता हूं, लेकिन मुझे बताया गया कि किसान मंडी के बाहर अपने उत्पाद को नहीं बेच सकता, तब जो मेरी पीड़ा थी, वही पीड़ा देश के किसान की थी, लेकिन उस दर्द को किसी ने समझा तो हमारे देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्री मोदी जी ने समझा। वहीं देश को आजादी 1947 में मिली लेकिन किसान को आजादी 73 साल बाद 2020 में मिली और आज खुली हवा में सांस लेने लगा और अपने उत्पाद को अब देश के किसी भी कोने में बेचेगा और किसान आत्मनिर्भर बनेगा तभी देश आत्मनिर्भर बनेगा।

कोरोना काल पूरी दुनिया के लिए संकट का काल है, लेकिन देश में कृषि क्षेत्र की उन्नति और किसानों की समृद्धि के लिए यह ऊषा काल साबित हुआ है क्योंकि भारत सरकार ने अध्यादेशों के माध्यम से कई ऐसे नीतिगत सुधारों को अमलीजामा पहनाया है जिनका इंतजार दशकों से किया जा रहा था। किसान अब बिना किसी रोक-टोक के देशभर में कहीं भी किसी भी पैनकार्ड धारक को अपनी उपज बेच सकते हैं। किसानों को अपनी अपनी मर्जी से फसल बेचने की आजादी मिली और कृषि उत्पादों के लिए एक देश एक बाजार का सपना पूरा हुआ।

महामारी के संकट के दौर में देश की करीब 1.30 अरब आबादी को खाने-पीने की चीजों समेत रोजमर्रा की जरूरतों को पूरा करने में कृषि एवं संबद्ध क्षेत्र की अहमियत शिद्दत से महसूस की गई। यही वजह थी कि कोरोनावायरस संक्रमण की रोकथाम को लेकर जब देशव्यापी लॉकडाउन किया गया तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में केंद्र सरकार ने कृषि व संबद्ध क्षेत्रों को इस दौरान भी छूट देने में देर नहीं की। फसलों की कटाई, बुवाई समेत किसानों के तमाम कार्य निर्बाध चलते रहे।

मगर, लॉकडाउन के शुरुआती दिनों में कई राज्यों में एपीएमसी द्वारा संचालित जींस मंडियां बंद हो गई थीं, जिससे किसानों को थोड़ी कठिनाई जरूर हुई। इस कठिनाई ने सरकार को किसानों के लिए सोचने का एक मौका दिया और इस संबंध में और सरकार ने और अधिक विलंब नहीं करते हुए कोरोना काल की विषम परिस्थिति में किसानों के हक में फैसले लेते हुए कृषि क्षेत्र में नए सुधारों पर मुहर लगा दी।

मोदी सरकार ने कोरोना काल में कृषि क्षेत्र की उन्नति और किसानों की समृद्धि के लिए तीन अध्यादेश लाकर ऐतिहासिक फैसले लिए हैं, जिनकी मांग कई दशक से हो रही थी, इन फैसलों से किसान और कारोबारी दोनों को फायदा मिला है क्योंकि नए कानून के लागू होने के बाद एपीएमसी का एकाधिकार समाप्त हो जाएगा और एपीएमसी मार्केट यार्ड के बाहर किसी भी जींस की खरीद-बिक्री पर कोई शुल्क नहीं लगेगा जिससे बाजार में स्पर्धा बढ़ेगी। कृषि बाजार में स्पर्धा बढ़ने से किसानों को उनकी फसलों का बेहतर व लाभकारी दाम मिलेगा।

केंद्र सरकार ने अध्यादेश के माध्यम से आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 में बदलाव किया है जिससे खाद्यान्न दलहन, तिलहन व खाद्य तेल समेत आलू और प्याज जैसी सब्जियों को आवश्यक वस्तुओं की सूची से दिया है। इस फैसले से उत्पादक और उपभोक्ता दोनों को लाभ मिलेगा। अक्सर ऐसा देखा जाता था कि बरसात के दिनों में उत्पादक मंडियों में फसलों की कीमतें कम होने से किसानों को फसल का भाव नहीं मिल पाता था जबकि शहरों की मंडियों में आवक कम होने से उपभोक्ताओं को ऊंचे भाव पर खाने-पीने की चीजें मिलती थीं, लेकिन अब ऐसा नहीं होगा क्योंकि कारोबारियों को सरकार की ओर से स्टॉक लिमिट जैसी कानूनी बाधाओं का डर नहीं होगा जिससे बाजार में मांग और आपूर्ति के बीच समन्वय बना रहेगा।

दूसरा सबसे अहम कानूनी बदलाव कृषि उपज व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सुविधा) अध्यादेश 2020 के माध्यम से हुआ है जिससे कृषि उत्पादों के लिए एक राष्ट्र एक बाजार का सपना साकार हुआ है क्योंकि इससे पहले किसान एपीएमसी के बाहर किसी को अपनी उपज नहीं बेच सकते थे। अगर कोई किसानों से सीधे खरीदने की कोशिश करता भी था तो एपीएमसी वाले उसके पीछे लगा रहता था और उसे टैक्स देना होता था, लेकिन अब एपीएमसी के बाहर किसान किसी को भी अपनी मर्जी से फसल बेच सकते हैं। हालांकि इस कानूनी बदलाव से एपीएमसी कानून और एपीएमसी बाजार के अस्तित्व पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा है लेकिन एपीएमसी का एकाधिकार जरूर समाप्त हो जाएगा। इस कानून ने किसानों को बाधामुक्त होकर अपने उत्पाद बेचने की आजादी दी है, जिससे किसानों को अच्छा भाव मिलेगा और उनकी आय बढ़ेगी क्योंकि बाजार में प्रतिस्पर्धा होने से उनको औने-पौने दाम पर फसल बेचने की मजबूरी नहीं होगी। किसानों की आमदनी दोगुनी करने के मोदी सरकार के महत्वाकांक्षी लक्ष्य को हासिल करने में यह फैसला सहायक साबित होगा।

नए कानून में इलेक्ट्रॉनिक ट्रेडिंग और इससे जुड़े हुए मामलों या आकस्मिक उपचार के लिए एक सुविधाजनक ढांचा प्रदान करने का भी प्रावधान है।

वहीं, मूल्य आश्वासन पर किसान समझौता (अधिकार प्रदान करना और सुरक्षा) और कृषि सेवा अध्यादेश 2020 कृषि समझौतों पर एक राष्ट्रीय ढांचा प्रदान करता है जो कृषि-व्यवसाय फर्मो, प्रोसेसर, थोक व्यापारी, निर्यातकों या कृषि सेवाओं के लिए बड़े खुदरा विक्रेताओं और आपस में सहमत पारिश्रमिक मूल्य ढांचे पर भविष्य में कृषि उपज की बिक्री के लिए स्वतंत्र और पारदर्शी तरीके से और इसके अतिरिक्त एक उचित रूप से संलग्न करने के लिए किसानों की रक्षा करता है और उन्हें अधिकार प्रदान करता है।

कृषि क्षेत्र को बढ़ावा देने में यह कानून काफी अहम साबित होगा क्योंकि व्यावसायिक खेती वक्त की जरूरत है। खासतौर से छोटी जोत वाले व सीमांत किसानों के लिए ऐसी फसलों की खेती नामुमकिन है जिसमें ज्यादा लागत की जरूरत होती है और जोखिम ज्यादा होता है। इस अध्यादेश से किसान अपना यह जोखिम अपने कॉरपोरेट खरीदारों के हवाले कर सकते हैं। इस प्रकार, व्यावसायिक खेती किसानों के लिए फायदेमंद साबित हो सकती है।

मोदी सरकार ने इन कानूनी बदलावों के साथ-साथ कृषि क्षेत्र के संवर्धन और किसानों की समृद्धि के लिए कोरोना काल में कई अन्य महत्वपूर्ण फैसले भी लिए हैं जिनमें कृषि क्षेत्र में बुनियादी संरचना तैयार करने के लिए एक लाख करोड़ रुपये के कोष की व्यवस्था काफी अहम हैं। इस कोष से फार्म गेट इन्फ्रास्ट्रक्च र बनाने का प्रावधान है। दरअसल, खेत से लेकर बाजार तक पहुंचने में कई फसलें व कृषि उत्पाद 20 फीसदी तक खराब हो जाती हैं। इन फसलों व उत्पादों में फल व सब्जी प्रमुख हैं। इसलिए सरकार ने फॉर्म गेट इन्फ्रास्ट्रक्च र बनाने पर जोर दिया है ताकि फसलों की इस बर्बादी को रोककर किसानों को होने वाले नुकसान से बचाया जाए।

खेतों के आसपास कोल्ड स्टोरेज, भंडारण जैसी बुनियादी सुविधा विकसित किए जाने से कृषि क्षेत्र में निजी निवेश आकर्षित होगा और खाद्य प्रसंस्करण का क्षेत्र मजबूत होगा। खेतों के पास प्रसस्ंकरण संयंत्र लगने से एक तरफ उनकी लागत कम होगी तो दूसरी तरफ किसानों को उनकी उपज का अच्छा दाम मिलेगा। इतना ही नहीं, इससे कृषि क्षेत्र में प्रच्छन्न बेरोजगारी की समस्या भी दूर होगी।

कोरोना काल में प्रवासी मजदूरों की समस्या विकराल बन गई, जिसपर राजनीति तो सबने की लेकिन इस समस्या के समाधान की दृष्टि किसी के पास नहीं थी। दरअसल, गांव से शहर की तरफ या एक राज्य से दूसरे राज्य की तरफ श्रमिकों का पलायन रोजगार की तलाश में ही होता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस समस्या का स्थाई समाधान तलाशने के लिए ग्रामीण क्षेत्र में बुनियादी सुविधाओं के विकास में जोर दिया है ताकि गांवों के आसपास वहां के स्थानीय उत्पादों पर आधारित उद्योग लगे और लोगों को रोजगार मिले।

इस प्रकार भारत सरकार ने कृषि क्षेत्र को अवसर में बदलने की कोशिश की है जिसके नतीजे आने वाले दिनों में देखने को मिलेंगे और ग्रामीण अर्थव्यवस्था देश के आर्थिक विकास की धुरी बनेगी और यह अधिनियम ही किसान के जीवन को बदलने वाला होगा।

मेरे देश का किसान मजबूत है और उनके पास ज्ञान और क्षमता की कोई कमी नहीं है। एक समय किसान को कोई भी भ्रमित कर सकता था लेकिन अब उसको कोई भ्रमित नहीं कर पाएगा और उत्तम खेती होगी, उसको अपनी मांग के अनुरूप उत्पाद का उचित मूल्य् मिलेगा, जिसका मूल्य निर्धारण वह स्वयं करेगा।

(लेखक भारत सरकार में केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री है।)

बुधवार, 13 नवंबर 2019

बाड़मेर केंद्रीय मंत्री और हनुमान बेनीवाल पर कांग्रेस कार्यकर्ताओ का हमला ,मंत्री ने फायरिंग का आरोप लगाया

बाड़मेर केंद्रीय मंत्री और हनुमान बेनीवाल पर कांग्रेस कार्यकर्ताओ का हमला ,मंत्री ने फायरिंग का आरोप लगाया 





बाड़मेर बायतु में उपखंड मुख्यालय पर आयोजित वीर तेजाजी और खेमाबाबा की जागरण में भाग लेने जा रहे रालोपा संयोजक व नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल और केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी के काफिले पर बायतु में देर रात पथराव हो गया। आरोप कांग्रेस कार्यकर्ताओं पर लगाया जा रहा है।बाड़मेर में पत्रकार वार्ता के दौरान हनुमान बेनीवाल द्वारा राजस्व मंत्री हरीश चौधरी पर की गई टिप्पणी के बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने कार्यालय में बैठक बुलाई। इसके बाद करीब सौ लोग हनुमान बेनीवाल का विरोध करने फलसूंड चौराहे पर पहुंचे। करीब आधा घंटे तक वहां नारेबाजी करते रहे। जैसे ही हनुमान बेनीवाल का काफिला बायतु पहुंचा तो अज्ञात लोगों ने बेनीवाल के काफिले पर पत्थरबाजी शुरू कर दी।मौके पर बायतु एसडीएम सहित एएसपी खींवसिंह के नेतृत्व में दो डिप्टी सहित दस थानों की पुलिस सहित सौ जवान भी तैनात थे, लेकिन पुलिस मोर्चा संभालने में असफल रही। बेनीवाल, केन्द्रीय मंत्री कैलाश चौधरी की गाड़ी में बैठे थे। पत्थरबाजी से गाड़ी के शीशे टूट गए। पत्थरबाजी के बाद पुलिस ने भीड़ को खदेड़ दिया। बेनीवाल ने कहा- मैं भी इनकी तरह कर सकता हूं लेकिन यहां सभी मेरे अपने हैं, इसलिए मैं ऐसा नहीं कर रहा हूं।केंद्रीय मंत्री कैलाश   होकर कांग्रेस कार्यकर्ताओ पर आरोप लगाया की उन्होंने फायरिंग की जिसकी एक गोली हनुमान बेनीवाल  के  निकली तब उसको मेने अपनी और खींच लिया ,उन्होंने कहा की यह कॉंग्रेस का गुंडाराज हैं,इस तरह हमले हो रहे थे पुलिस मूकदर्शक बनी थी ,

शुक्रवार, 9 अगस्त 2019

केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री कैलाश चौधरी आज से बाड़मेर जिले के दौरे पर रहेंगे

केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री कैलाश चौधरी आज से बाड़मेर जिले के दौरे पर रहेंगे


बाड़मेर, 09 अगस्त। केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री कैलाश चौधरी अपनी दो दिवसीय जिले की यात्रा पर रहेंगे। इस दौरान वे विभिन्न कार्यक्रमों में शामिल होने के साथ आम जन से रूबरू होकर उनकी समस्याओं की सुनवाई करेंगे।
निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्यमंत्री कैलाश चौधरी 10 अगस्त को प्रातः 10 बजे बाडमेर से प्रस्थान कर 10.45 बजे चौहटन पहुंचेगे तथा जन सभा एवं विभिन्न कार्यक्रमों में भाग लेंगे। चौधरी 11 अगस्त को प्रातः 11.30 बजे कलेक्ट्रेट परिसर में जिला परिषद के समीप भारत निर्माण राजीव सेवा केन्द्र में कार्यालय का उद्घाटन करेंगे तथा जन सभा को सम्बोधित करेंगे। उनका रात्रि विश्राम बाडमेर रहेगा।
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सोमवार, 10 जून 2019

बाड़मेर, केन्द्रीय राज्य मंत्री चौधरी ने मंदिरांे मंे धोक लगाकर मांगी खुशहाली की मन्नत

बाड़मेर, केन्द्रीय राज्य मंत्री  चौधरी ने मंदिरांे मंे धोक लगाकर मांगी खुशहाली की मन्नत


बाड़मेर,10 जून। केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने सोमवार को बाड़मेर जिले के प्रवास के दौरान विभिन्न मंदिरांे मंे धोक लगाकर देश मंे खुशहाली की मन्नत मांगी। इस दौरान  चौधरी का विभिन्न स्थानांे पर गर्मजोशी से स्वागत किया गया।
केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने सोमवार को मनणावास गांव में हीरानंद सरस्वती आश्रम पहुंच कर महंत से आशीर्वाद लिया। इसके उपरांत चौधरी ने ब्रह्मधाम आसोतरा में ब्रह्मजी के मंदिर पहुंच कर पूजा अर्चना की। इस दौरान मंदिर ट्रस्ट मंडल की ओर से चौधरी का स्वागत किया गया। बालोतरा प्रवास के दौरान केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री चौधरी ने जसोल मंे माता राणी भटियाणी मंदिर पहुंच कर पूजा-अर्चना की। जसोल ग्राम पंचायत परिसर मंे आयोजित समारोह के दौरान चौधरी का स्वागत किया गया। केन्द्रीय राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने नाकोड़ा जैन तीर्थ मंे भगवान नाकोड़ा भैरव, भगवान पार्श्वनाथ, काला एवं गोरा भैरू एवं लूम्बनाथ महाराज के धूणे के दर्शन कर पूजा अर्चना की। उन्हांेने भैरूजी के मंदिर में तेल चढ़ाने के साथ डमरू की डूगडूगी बजाकर देश मंे खुशहाली की कामना की। इस दौरान नाकोड़ा ट्रस्ट मंडल की ओर से केन्द्रीय मंत्री का स्वागत किया गया।