बाड़मेर, हत्या के दो आरोपियों को आजीवन कारावास की सज़ा
बाड़मेर गुरुवार को बाड़मेर मुख्यालय पर अपर जिला एवं सेशन न्यायाधीश संख्या 1
सुशील कुमार जैन द्वारा हत्या के प्रकरण में मुलजिम रिडमलराम पुत्र भीयाराम और आसुराम पुत्र रिडमल राम जाति विश्नोई निवासी बारूडी को हत्या का दोषी करार देते हुए दोनों अभियुक्तगण को आजीवन कारावास की सजा सुनाई
अपर लोक अभियोजक संख्या 1 जसवंत बोहरा ने बताया कि दिनांक 7.06.2016 को प्रार्थी श्री हरिराम पुत्र रामचंद्र विश्नोई ने एक रिपोर्ट पुलिस थाना गुड़ामालानी में इस आशय की पेश की थी कि मेरे पिता रामचंद्र आज सुबह 10:30 बजे लगभग भाखारपुरा जा रहे थे तब बारूड़ी में रिडमल राम की दुकान के पास मुलजीमान रिडमल राम और आसूराम ने रास्ता रोककर उनके ऊपर हमला कर दिया रिडमल राम ने मेरे पिता के सर पर चोट मारी तथा मुलजिम आसुराम ने हाथ पर चोट मारी जिससे उनके गंभीर चोटें आई बाद में मुलजीमान ने रामचंद्र को नीचे पटक दिया और आसूराम ने रामचंद्र का ट्रैक्टर ऊपर चला दिया। मैं व भवरलाल घर से गुडामालानी आ रहे थे हमने उक्त घटना को देखकर रडे की तो मुलजी मान ट्रैक्टर छोड़कर भाग गए हम रामचंद्र को अस्पताल लाए जहां पर उन्हें मृत घोषित कर दिया जिस पर पुलिस द्वारा प्रकरण की जांच कर मुलजिमान रिडमल राम और आसूराम को अपराध अंतर्गत धारा 341,302 भा. द. सं.में दोषी मानते हुए आरोप पत्र न्यायालय में पेश किया जिस पर आरोपियों को आरोप सुनाए गए एवं साक्ष्य प्रारंभ की गई । विचारण में अभियोजन पक्ष द्वारा न्यायालय में कुल 26गवाहों को परीक्षित करवाया तथा कुल 71 दस्तावेजों को न्यायालय के सामने प्रदर्शित कराया गया.न्यायालय ने साक्ष्य समाप्ति के पश्चात दोनों पक्ष की बहस सुनकर आज इस प्रकरण में दोनों मुलजिमान पिता पुत्र रिडमल राम और आसुराम को हत्या के अपराध में दोषी मानते हुए आजीवन कारावास और बीस बीस हजार रुपए के अर्थदंड की सजा सुनाई।प्रकरण में राज्य सरकार की ओर से अपर लोक अभियोजक जसवंत बोहरा अभियुक्तगण की ओर से अधिवक्ता कन्हैया लाल जैन,राजेश विश्नोई एवं परिवादी की ओर से अधिवक्ता दिनेश विश्नोई द्वारा पैरवी की गई
बाड़मेर गुरुवार को बाड़मेर मुख्यालय पर अपर जिला एवं सेशन न्यायाधीश संख्या 1
सुशील कुमार जैन द्वारा हत्या के प्रकरण में मुलजिम रिडमलराम पुत्र भीयाराम और आसुराम पुत्र रिडमल राम जाति विश्नोई निवासी बारूडी को हत्या का दोषी करार देते हुए दोनों अभियुक्तगण को आजीवन कारावास की सजा सुनाई
अपर लोक अभियोजक संख्या 1 जसवंत बोहरा ने बताया कि दिनांक 7.06.2016 को प्रार्थी श्री हरिराम पुत्र रामचंद्र विश्नोई ने एक रिपोर्ट पुलिस थाना गुड़ामालानी में इस आशय की पेश की थी कि मेरे पिता रामचंद्र आज सुबह 10:30 बजे लगभग भाखारपुरा जा रहे थे तब बारूड़ी में रिडमल राम की दुकान के पास मुलजीमान रिडमल राम और आसूराम ने रास्ता रोककर उनके ऊपर हमला कर दिया रिडमल राम ने मेरे पिता के सर पर चोट मारी तथा मुलजिम आसुराम ने हाथ पर चोट मारी जिससे उनके गंभीर चोटें आई बाद में मुलजीमान ने रामचंद्र को नीचे पटक दिया और आसूराम ने रामचंद्र का ट्रैक्टर ऊपर चला दिया। मैं व भवरलाल घर से गुडामालानी आ रहे थे हमने उक्त घटना को देखकर रडे की तो मुलजी मान ट्रैक्टर छोड़कर भाग गए हम रामचंद्र को अस्पताल लाए जहां पर उन्हें मृत घोषित कर दिया जिस पर पुलिस द्वारा प्रकरण की जांच कर मुलजिमान रिडमल राम और आसूराम को अपराध अंतर्गत धारा 341,302 भा. द. सं.में दोषी मानते हुए आरोप पत्र न्यायालय में पेश किया जिस पर आरोपियों को आरोप सुनाए गए एवं साक्ष्य प्रारंभ की गई । विचारण में अभियोजन पक्ष द्वारा न्यायालय में कुल 26गवाहों को परीक्षित करवाया तथा कुल 71 दस्तावेजों को न्यायालय के सामने प्रदर्शित कराया गया.न्यायालय ने साक्ष्य समाप्ति के पश्चात दोनों पक्ष की बहस सुनकर आज इस प्रकरण में दोनों मुलजिमान पिता पुत्र रिडमल राम और आसुराम को हत्या के अपराध में दोषी मानते हुए आजीवन कारावास और बीस बीस हजार रुपए के अर्थदंड की सजा सुनाई।प्रकरण में राज्य सरकार की ओर से अपर लोक अभियोजक जसवंत बोहरा अभियुक्तगण की ओर से अधिवक्ता कन्हैया लाल जैन,राजेश विश्नोई एवं परिवादी की ओर से अधिवक्ता दिनेश विश्नोई द्वारा पैरवी की गई