राजस्व मंत्री ने जैसलमेर में ली अधिकारियों की बैठक,
कोविड-19 और टिड्डी नियंत्रण गतिविधियों की समीक्षा कर दिए आवश्यक निर्देश,
जैसलमेर मॉडल की बदौलत पायी आशातीत सफलता,
कोरोना से निपटने सभी संभव उपायों पर रखें फोकस,
सरहदी जिलों पर अपेक्षाकृत ज्यादा जिम्मेदारी है टिड्डी नियंत्रण की - हरीश चौधरी
जैसलमेर, 3 जुलाई/राजस्व, उप निवेशन, कृषि सिंचित क्षेत्रीय विकास एवं जल उपयोगिता विभागीय मंत्री हरीश चौधरी ने शुक्रवार को जैसलमेर जिला कलक्ट्री सभा कक्ष में जैसलमेर जिले में कोरोना महामारी एवं टिड्डी प्रकोप की स्थिति के नियंत्रण के लिए संचालित गतिविधियों, कार्ययोजना और तैयारियों के बारे में जिलास्तरीय अधिकारियों की बैठक ली और गहन समीक्षा करते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
बैठक में जैसलमेर विधायक रूपाराम, समाजसेवी गोविन्द भार्गव, जिला कलक्टर नमित मेहता, अतिरिक्त जिला कलक्टर ओ.पी. विश्नोई, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राकेश बैरवा, उप निवेशन उपायुक्त देवाराम सुथार, तहसीलदार विकास भाटी, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बी.के. बारूपाल, प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डॉ. बी.एल. बुनकर, टिड्डी नियंत्रण अधिकारी राजेश कुमार, कृषि उप निदेशक राधेश्याम नारवाल, नायब तहसीलदार हाबूलाल मीणा, जिला खेल अधिकारी राकेश विश्नोई, प्रोग्रामर मनोज विश्नोई आदि अधिकारी उपस्थित थे।
जिला कलक्टर व टीम जैसलमेर की तारीफ
राजस्व मंत्री ने कोरोना संक्रमण से बचाव एवं जरूरतमन्दों को राहत, इतनी बड़ी संख्या में प्रवासी श्रमिकों की घर वापसी तथा टिड्डी नियंत्रण आदि के क्षेत्र में जैसलमेर को मॉडल बताया और इसके लिए जिला कलक्टर नमित मेहता एवं टीम जैसलमेर की सराहना की। उन्होंने कहा कि जैसलमेर ने इस दिशा में जितनी सहजतापूर्वक और व्यवस्थित तरीके से जो कुछ किया है वह अनुकरणीय मिसाल है और इसकी सर्वत्र प्रशंसा हुई है।
जैसलमेर से गए प्रवासी श्रमिकों के बारे में फीडबेक लें
कोविड-19 से संबंधित गतिविधियों की समीक्षा करते हुए राजस्व मंत्री हरीश चौधरी ने जैसलमेर से अन्य क्षेत्रों में पहुंचाए गए प्रवासी श्रमिकों से संबंधित फीडबेक लेने के निर्देश दिए और कहा कि इससे कोरोना संक्रमण की स्थिति जानने में मदद मिलेगी। इस बारे में जानकारी जुटायी जानी चाहिए।
व्यापक लोक जागरण जारी रखें
उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण से बचाव के उपायों के बारे में व्यापक लोक जागरण को जारी रखा जाना जरूरी है। इस कार्य को अन्य अभियानों व गतिविधियों से जोड़कर जन-जन तक इसकी सावधानियों के बारे में अवगत कराएं और इनके अनिवार्य पालन के लिए जागरुक करें और हर स्तर पर कोरोना से बचाव के लिए सभी प्रकार की तैयारियां और ऎहतियाती प्रबन्ध हमेशा मजबूत बनाए रखें।
चिकित्सा संस्थान विकसित करें
राजस्व मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार की प्राथमिकता शहरों और गांवों में विभिन्न स्थानों पर सभी प्रकार की चिकित्सा सुविधाओं से युक्त चिकित्सालयों को विकसित करने की है ताकि सभी स्थानों पर लोगों को आसानी से जरूरी ईलाज व जांच का लाभ प्राप्त हो सके। इस पर सर्वाधिक फोकस किया जा रहा है।
बहुआयामी संरचनात्मक विकास जरूरी
उन्होंने जिला प्रशासन तथा चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिए कि पोकरण सीएचसी सहित जिले में विभिन्न सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों के संरचनात्मक ढांचे को मजबूत करते हुए बुनियादी सुविधाओं और संसाधनों के साथ चिकित्सा सेवाओं का विकास एवं विस्तार कर आदर्श केन्द्रों के रूप में विकसित करें ताकि किसी भी प्रकार की परिस्थितियां सामने आने पर जरूरतमन्दों को अपने ही क्षेत्रों में आसानी से चिकित्सा सेवाओं का लाभ प्राप्त हो सके। कोविड-19 के मद्देनज़र भी यह जरूरत पड़ने पर उपयोगी सिद्ध होंगे।
कोरोना के प्रति हर स्तर पर रहें गंभीर
इसी प्रकार चुनिन्दा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों एवं उप स्वास्थ्य केन्द्रों को भी विकसित करने की उन्होंने आवश्यकता जताई। उन्होंने कहा कि कोरोना खत्म नहीं हुआ है, इसकी चुनौतियां अब भी बनी हुई हैं इसलिए सभी प्रकार की ऎहतियाती व्यवस्थाओं के प्रति गंभीर रहना बहुत जरूरी है।
चिकित्सा संस्थानों के मध्य सीधी नेटवर्किंग कायम करें
उन्होंने जिले में मीलों तक की दूरी के बीच अवस्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों व प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों को मोनिटरिंग एवं आवश्यक गतिविधियों के लिए जिला मुख्यालय से सीधे संचार सम्पर्क नेटवर्क से जोड़ने की आवश्यकता प्रतिपादित करते हुए कहा कि इस दिशा में ठोस कार्य किया जाना जरूरी है ताकि सुदूरवर्ती चिकित्सा संस्थानों की कार्यप्रणाली को और अधिक बेहतर बनाया जा सके।
राजस्व मंत्री ने संस्थागत क्वारंटीन को बेहतर एवं सुविधाजनक बनाने के निर्देश दिए और कहा कि इसमें सभी व्यवस्थाएं इस प्रकार करें कि रहने वाले असहज महसूस न करें।
सरहदी जिलों पर टिड्डी नियंत्रण की जिम्मेदारी सबसे ज्यादा
टिड्डी नियंत्रण से संबंधित गतिविधियों की समीक्षा करते हुए उन्होंने कहा कि सीमावर्ती जिलों पर टिड्डी नियंत्रण की विशेष जिम्मेदारी है क्योंकि इन जिलों में ही प्रभावी ढंग से टिड्डी नियंत्रण हो जाने की स्थिति में अन्य सभी क्षेत्रों को राहत मिल जाती है। इसके लिए उन्होंने किसानों और ग्रामीणों की पूरी-पूरी भागीदारी, व्यापक लोक जागरण, सटीक एवं सही सूचनाओं के त्वरित आदान-प्रदान और सघन एवं प्रभावी सर्वे पर फोकस करने पर बल दिया।
राजस्व मंत्री ने सर्वे वाहनों पर जीपीएस सिस्टम लगाने, रोजाना की गतिविधियों की सतत मोनिटरिंग, छोटी-छोटी बातों पर भी पूरा ध्यान देने के निर्देश दिए।
अधिकाधिक पौधे लगाएं
चौधरी ने मौजूदा परिस्थितियों में पर्यावरण संरक्षण व संवर्धन के लिए अधिक से अधिक पौधारोपण के साथ ही कृषि बीमा योजनाओं की जानकारी आम किसानों तक पहुंचाकर उन्हें लाभान्वित करने पर जोर दिया।
जैसलमेर विधायक रूपाराम ने दिए महत्वपूर्ण सुझाव
जैसलमेर विधायक रूपाराम ने चिकित्सा एवं स्वास्थ्य केन्द्रों के संरचनात्मक व चिकित्सकीय विकास के अधिकाधिक प्रयास करने को समय की जरूरत बताया और कहा कि इसके लिए विधायक मद में धनराशि का योगदान दिया गया है। उन्होंने टिड्डी नियंत्रण के लिए जिला प्रशासन को तात्कालिक प्रभावी नियंत्रण के लिए सक्षम बनाने पर बल दिया और जिले की वर्तमान स्थितियों तथा कोविड-19 एवं टिड्डी नियंत्रण के प्रयासों के बारे में बताते हुए महत्वपूर्ण सुझाव दिए।
जिला कलक्टर ने दी खास-खास बिन्दुओं पर जानकारी
आरंभ में जिला कलक्टर नमित मेहता ने राजस्व मंत्री का स्वागत किया और कोविड-19 तथा टिड्डी नियंत्रण से संबंधित गतिविधियों के बारे में जानकारी दी और बताया कि जिले में इन दोनों ही गतिविधियों में बेहतर कार्य संपादन किया गया है। उन्होंने बताया कि कोरोना सेंपल कलेक्शन के मामले में जैसलमेर अग्रिम 4 जिलों में शामिल है। इसी प्रकार टिड्डी नियंत्रण के लिए प्रभावी कार्ययोजना के मुताबिक अच्छा कार्य हो रहा है।
सीएमएचओ ने दिया पॉवर पोइंट प्रजेन्टेशन
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बी.के. बारूपाल ने पॉवर पाइंट पर््रजेन्टेशन के माध्यम से जैसलमेर जिले में कोरोना संक्रमण आरंभ होने से लेकर अब तक की तमाम गतिविधियों की जानकारी दी और ग्राफ्स तथा आंकड़ों के साथ जिले की स्थिति बताई।
अब तक 101 स्थानों पर 15225 हैक्टेयर में हुआ टिड्डी नियंत्रण
टिड्डी नियंत्रण विभाग के अधिकारी राजेश कुमार एवं कृषि विभाग के उप निदेशक राधेश्याम नारवाल ने जिले में टिड्डी नियंत्रण की विस्तार से जानकारी दी और बताया कि स्थिति नियंत्रण में है। अब तक जिले में 101 स्थानों पर 15 हजार 225 हैक्टेयर क्षेत्र में टिड्डी नियंत्रण का कार्य किया गया है।
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