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शुक्रवार, 12 सितंबर 2014

बाड़मेर स्वास्थ्य विभाग हेरा फेरी भाग चार,मलाईदार पोस्टो पर कमाऊपूतो की प्रतिनियुक्तियां


बाड़मेर स्वास्थ्य विभाग हेरा फेरी भाग चार

मलाईदार पोस्टो पर कमाऊपूतो की प्रतिनियुक्तियां ,सरकार के आदेश के बाद भी जमे हे


बाड़मेर जिले के स्वास्थ्य विभाग के कुँए में भरषटाचार की पड़ी भांग के मज़े हर कोई ले रहा हैं ,विभाग के अधिकारी और कार्मिक विभाग में उन सभी पदो पर अपने व्यक्ति प्रतिनियुक्ति पर लगा रखे हैं जिन शाखाओ में सर्वाधिक बजट आता हैं ,अधिकारियो ने मलाईदार पदो पर कमाऊपूतो को प्रतिनियुक्ति पर लगा रखा हैं ताकि उनका अपना हिसा मंथली के रूप में नियमित मिलता रहे ,चूँकि प्रतिनियुक्ति पर लगे अधिकांस कार्मिक अधिकरियों के चहेते कार्मिक लगे हुए हे जिनका पदस्थापन ग्रामीण क्षेत्रो में हैं।


सूत्रानुसार स्वास्थ्य विभाग में अधिकारियो ने अपने चहेते लोगो को पद के विरुद्ध प्रतिनियुक्ति पर लगा रखा हैं ,प्रतिनियुक्ति पर लगे करीब तरह कार्मिको के पास मलाईदार शाखाओ का प्रभारी बनाया हुआ हैं ,जबकि राज्य सरकार ने एक आदेश जारी कर विभाग में समस्त प्रकार की प्रतिनियुक्ति तत्काल समाप्त करने के आदेश जारी किये थे मगर राज्य सरकार के आदेशो को ठेंगा दिखाते हुए अधिकारियो ने एक भी कार्मिक को उसके मूल पदस्थापना स्थल पर नहीं भेजा ,विभागीय सूत्रों ने बताया राज्य सरकार द्वारा समय समय पर प्रतिनियुक्ति की सूचनाऍ मांगी जाती हे जिसमे विभाग द्वारा निल शून्य की रिपोर्ट भेजी जा रही हैं ,


चूँकि विभाग के कार्मिक सरकारी जंवाई होने के साथ ठेकेदारी का फर्ज भी निभा रहे हैं इसी के चलते अधिकारी अपने चहेते कमाऊपूतों को हटाना नहीं चाहते ,अंधेरगर्दी के आलम में स्वास्थ्य की ग्रामीण सेवाए बुरी तरह प्रभावित हो रही हैं ,कर स्वास्थ्य केन्द्रो पर इन प्रतिनियुक्तियो के कारन ताले लगे हे ,इसके बावजूद प्रतिनियुक्ति ख़त्म नहीं की जा रही। विभाग द्वारा आदेश क्रमांक संस्था /अराज /12 /11977 के तहत प्रतिनियुक्ति पर लगे चौदह कार्मिको की प्रतिनियुक्ति समाप्त करने के आदेश जारी किये थे मगर इनमे से कोई कार्यमुक्त नहीं हुआ ,ये लोग आज भी यथावत प्रतिनियुक्ति पर कार्य कर , तरह आर सी एच ओ और परिवार कल्याण विभाग में भी बड़ी संख्या में प्रतिनियुक्ति कर राखी हैं ,आश्चर्यजनक के की विभाग ने राज्य सरकार को यह लिख भेजा की विभाग में कोई प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत नहीं हैं ,जबकि विभाग में आज भी प्रतिनियुक्ति पर कार्मिक काम कर रहे हैं। सूत्रानुसार प्रतिनियुक्ति पर वर्षो से जमे कार्मिक अपने मूल पद स्थापन स्थान पात्र नहीं जा रहे। ग्रामीण अंचलो के स्वास्थ्य और उप स्वास्थ्य केन्द्रो पर इन कार्मिक की प्रतिनियुक्ति के कारन मूल कार्य बाधित हो रहा हैं ,

सोमवार, 8 सितंबर 2014

बाड़मेर एन आर एच एम में करोड़ों की हेराफेरी ,सी बी आई जांच की मांग

बाड़मेर  एन आर एच एम में करोड़ों की हेराफेरी ,सी बी आई जांच की मांग 
सरकार ने बंद की प्लेसमेंट संस्थाए।स्वास्थ्य विभाग में गड़बड़ झाला। करोडो की हेराफेरी

निरस्त प्लेसमेंट को करोडो का काम देने की तयारी में चिकित्सा विभाग बाड़मेर

बाड़मेर बाड़मेर के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग में लम्बे समय से चल रहे भरष्टाचार के चलते न केवल सरकारी नियम ताक पर रखे जा रहे हे बल्कि सरकार द्वारा निरस्त की गयी प्लेसमेंट संस्था को मिली भगत से करोडो रुपयो का काम आवंटित किया गया। हैं जिसमे स्वास्थ्य विभाग ग्रामीण स्वास्थ्य समिति के अनुबंधित कार्मिको की खुली मिली भगत शामिल हे।


मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा गत दिनों जिला ग्रामीण स्वास्थ्य समिति के माध्यम से प्लेसमेंट संस्थाओ से निविदाए मांगी गयी। इसी विभाग में गत तीन सालो से अधिकारियो और कार्मिको की मिलीभगत से एक ऐसी संस्था को काम नियम ताक में रख कर दिया जा रहा था जिसका पंजीयन रोजगार सेवा निदेशालय द्वारा 2010 में निरस्त किया जा चूका। हैं चूँकि राज्य सरकार के आदेश के पश्चात नई रोजगार एजेंसियों का पंजीयन और पुरानी एजेंसियों नवीनीकरण पिछले डेढ़ साल से बंद हे। ऐसे में फिल वक्त कोई रोजगार एजेंसी वैध नहीं ,हैं। मगर इन आर एच एम बाड़मेर के अधिकारियो और कार्मिको की मिलीभगत से एक ऐसी एजेंसी को काम गत तीन साल से दिया हैं जिसका पंजीयन २०१० में समाप्त हो चूका हे। इस एजेंसी ने रोजगार निदेशालय द्वारा जारी पंजीयन प्रमाण पात्र में कूटरचना के तहत पंजीयन वर्ष अवधि बढाकर २०१८ कर फर्जी और काटछांट वाला प्रमाण पात्र पेश कर धोखाधड़ी से कार्मिको और अधिकारियो मिलीभगत से कार्य आवंटन करा लिया ,जबकि राज्य में मौजूदा समय में कोई रोजगार सेवा एजेंसी कार्यरत नहीं। इसी संस्था को विभागीय भरष्ट कार्मिको ने दो साल पूर्व लाखो रुपयो का कार्य बिना किसी निविदा के नियमो की धज्जिया उड़ा कर दिया गया। इस संस्था से इन आर एच एम के कार्मिको और अनुबंधित अधिकारी की भागीदारी हे जिसके कारन एक ही एजेंसी को सारे नियम ताक में रख कार्य आवंटित किया जा रहा हे।


गत तीन साल के इन आर एच एम कार्यो का भौतिक सत्यापन के साथ उच्च स्तरीय जाँच कराई जाए तो सारी पोल खुल के सामने आ जाएगी ,इस आशय का एक पात्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लिख पुरे कार्यकाल के सी बी आई जाँच की मांग संगठनो द्वारा की गयी हैं। 


रोजगार सेवा निदेशालय के अधिकारियो ने स्पष्ट किया हे की राज्य सरकार की प्लेसमेंट की नै पॉलिसी आने के बाद रोजगार एजेंसियों के पंजीकरण का कार्य नए सिरे से किया जायेगा ,तब तक राज्य की समस्त रोजगार सेवा एजेंसिया निरस्त कर दी गयी हे जिसकी जानकारी विभाग की वेबसाइट पर दर्ज हे।