बाल विवाह के खिलाफ आवाज उठाई परमेश्वरी ने
मुझे ससुराल मत भेजो में तो पढुगी
बाड़मेर साहब ,मेरे बाबा व समाज के पच मुझे ससुराल भेजना चाहते है ,लेकिन तो अभी 14 साल की नाबालिग हु और आठवी में पढ़ रही हु मेरी शादी आठ साल पहले हो गई थी साहब आप उनसे कहो की मुझे ससुराल नहीं भजे में तो पढुगी यह कहानी है राजस्थाने बाड़मेर जिले के धनाऊ गाव में रहने वाली चौदह वर्षीय छात्रा परमेश्वरी की जिसने पुलिस अधीक्षक से गुहार की है कि में पढना चाहती हु लेकिन घर वाले मुझे ससुराल भेजना चाहते है .राजस्थान कुछ इलाको में में छोटे से बच्चे के पैदा होते शादी करवा दी जाता है फिर जब वो 14 या 15 साल कि होती है तो उसका गोणा या मोकलावा कर दिया जाता है लड़की को ससुराल भेज दिया जाता है और यह परम्परा कई दशको राजस्थान के कुछ गावो में चली आ रही है लेकिन राजस्थाने के बाड़मेर में पहली बार एक लड़की ने अपने घर वालो और शादी के खिलाफ आवाज उठाई है कि मुझे ससुराल मत भेजो ... दरसल बाड़मेर के चोह्टन इलाके के घोनिया गाँव की परमेश्वरी नामक इस चोदह वर्षीय लड़की की पुरानी परम्पराओं के अनुसार बचपन में ही पास है गाव के रहने वाले चिमनाराम से विवाह कर दिया था उस वक्त परमेश्वरी की उम्र मात्र पाच साल थी अब परमेश्वरी सीकर के स्कूल आठवी में पढाई कर रही हैं परमेश्वरी पढाई में बहुत हुसियार है और आगे पढना चाहती है लेकिन कुछ दिनों से उसके पिता और पंच उसे पढाई छोड़ कर उसका गोणा कर ससुराल जाने पर दबाव डाल रहे हैं परमेश्वरी के अनुसार मेरी शादी बचपन में हो गई थी अब घर वाले मेरा मोकलावा करना चाहते है लेकिन में ससुराल नहीं जाना चाहती हु में तो आगे पढना चाहती हु इसी लिए मैंने अपने परिजनों और पंचो के खिलाफ आवाज उठाई है में चाहती कि पुलिस मेरे घर वालो और पचो को समझावे की मुझ पढने दे
परमेश्वरी छात्रा निवासी बाड़मेर के अनुसार मेरी शादी बचपन में हो गई थी अब घर वाले मेरा मोकलावा करना चाहते है लेकिन में ससुराल नहीं जाना चाहती हु में तो आगे पढना चाहती हु इसी लिए मैंने अपने परिजनों और पंचो के खिलाफ आवाज उठाई है में चाहती कि पुलिस मेरे घर वालो और पचो को समझावे की मुझ पढने दे )
परमेश्वरी छात्रा निवासी बाड़मेर के अनुसार मेरी शादी बचपन में हो गई थी अब घर वाले मेरा मोकलावा करना चाहते है लेकिन में ससुराल नहीं जाना चाहती हु में तो आगे पढना चाहती हु इसी लिए मैंने अपने परिजनों और पंचो के खिलाफ आवाज उठाई है में चाहती कि पुलिस मेरे घर वालो और पचो को समझावे की मुझ पढने दे )
राजस्थाने के बाड़मेर के ग्रमीण इलाको की स्कूल में पढने वाले ज्यादातर बच्चे शादी शुदा होते है इन बच्चो की शादी छोटी सी उम्र में ही कर दी जाती है पशे से वकील और समाजिक कार्यकर्ता सुनीता चोधरी के अनुसार हमारे इन इलाको में घर में किसी के मरने पर छोटे से बच्चो की शादी कर जाती है फिर उनका गोणा किया जाता है जब लड़की 14 या 15 की होती तब........... हमारे इलाको में आज भी बाल विवाह होते है बाल विवाह को रोकने के लिए हम सब को आगे आना होगा
इस पुर को गंभीरता से लेते हुए बाड़मेर के जिला पुलिस अधीक्षक संतोष चालके ने तुरत परमेश्वरी के पिता भेराराम और पचो को पाबद कर दिया है ........चालके के अनुसार परमेश्वरी कि उम्र अभी तक 14 साल है इस लिए उसके घर वालो उसे ससुराल नहीं भेज सकते है हमने परमेश्वरी को होसला दिया है कि वो आगे
परमेश्वरी ने जो हिमत दिखाई है वो यकिन काबिले तारीफ है क्योकि आम तोर पर राजस्थान के ग्रमीण इलको लडकिया पढना भी चाहती है लेकिन घर वाले उनका गोणा या शादी 18 साल से पहले कर देते है तो वो अपनी पढाई चुप चाप छोड़ कर ससुराल चली जाती है और शिक्षा से वंचित रह जाती है