शुक्रवार, 30 दिसंबर 2011

सेक्स 'सर्च' करने में पाक आगे, भारत भी पीछे नहीं

नई दिल्ली. साल 2011 में गूगल पर 'सेक्स' शब्द खोजने में रूचि रखने के मामले में पाकिस्तान दूसरे नंबर पर रहा। गूगल सर्च ट्रेंड के मुताबिक साल 2011 में इंटरनेट पर सेक्स को सर्च करने में सबसे ज्यादा रूचि श्रीलंका के लोगों ने दिखाई और उसके बाद पाकिस्तान के लोगों ने।


सेक्स को सर्च करने में एशियाई देशों में कितनी रूचि रहती है इसका अंदाजा इस बात से लग सकता है कि इंटरनेट पर सेक्स को खोजने में पाकिस्तान के बाद भारत का नंबर है। मजे की बात यह है गूगल पर सेक्स को सबसे ज्यादा सर्च करने वाले दस शहरों में से आठ भारत के हैं।


भारत में सेक्स सबसे ज्यादा नई दिल्ली से सर्च किया जाता है। सूची में दिल्ली के बाद बेंगलुरु, कलकत्ता, लखनऊ, पुणे, चेन्नई, मुंबई, पटना, चंटीगढ़ और विजयवाड़ा है।
वहीं पाकिस्तान में भी सबसे ज्यादा सेक्स इस्लामाबाद में ही सर्च किया जाता है। इसके बाद लाहौर, क्वेटा, कराची, पेशावर, मुल्तान और रावलपिंडी आते हैं।



लेकिन एक मजेदार तथ्य यह है कि पाकिस्तान के करीब 2 करोड़ इंटरनेट यूजर सेक्स को सर्च करने के मालमें में भारत के करीब दस करोड़ इंटरनेट यूजरों को पीछे छोड़ देते हैं।



गूगल ट्रेंड्स के नतीजे देखने पर एक और मजेदार तथ्य यह आता है कि श्रीलंका, जो सेक्स को सर्च करने के मामले में टॉप पर है, में सिर्फ राजधानी कोलंबो से ही सेक्स को सर्च किया जाता है।



सबसे ज्यादा सेक्स सर्च करने वाले देशों में श्रीलंका, पाकिस्तान और भारत के बाद पपुआ न्यू गिनी, इथिओपिया और बंग्लादेश का नंबर आता है।

15 साल की बहू पर अत्याचार, प्लाइर से निकालते थे मांस

बग़लान. बीबीसी को मिले एक वीडियो में दिखाया गया है कि प्रताड़ित की गई 15 साल की एक शादीशुदा अफ़ग़ान बच्ची को किस क़दर चोट लगी है। 
इस बच्ची के पति और परिवारवालों ने उसे कई महीनों से क़ैद करके रखा हुआ था।

ये मामला इस हफ़्ते तब सामने आया जब पुलिस ने सहर गुल को बचाया। वे अपने ससुराल में बेसमेंट में क़ैद थी।

पुलिस का कहना है कि उसके नाख़ून और बाल निकाले गए थे और शरीर से माँस के कुछ हिस्से प्लाइर से निकाले हुए थे।

सहर गुल की शादी 30 साल के एक पुरुष से सात महीने पहले कर दी गई थी जब वो 14 साल की थी। जब सहर के माँ-बाप उससे कई महीनों तक नहीं मिल पाए तो उन्होंने पुलिस से संपर्क किया।

बग़लान शहर में पुलिस अधिकारी के मुताबिक़ उसे ससुराल में एक अंधेरे कमरे से बचाया गया जहाँ कोई खिड़की तक नहीं थी।

वीडियो में सहर को एक व्हीलचेयर में अस्पताल ले जाते हुए दिखाया गया है और उससे पूछा जा रहा है कि उसे किसने पीटा। तब सहर अपने ससुर, ननद और सास का नाम लेती है।

सहर ने बताया कि उसके बाल और नाख़ून उसकी सास ने निकाले थे।

प्रशासन का कहना है कि उन्हें इन रिपोर्टों की जानकारी थी कि बच्ची द्वारा वेश्यावृत्ति में जाने से मना करने पर उसे प्रताड़ित किया जा रहा है लेकिन वे इसकी पुष्टि नहीं कर पा रहे थे।

बग़लान में महिला कल्याण विभाग की निदेशक रहीमा ज़रीफ़ी का कहना है कि सहर को मानसिक और शारीरिक तौर पर प्रताड़ित किया गया है और मनोवैज्ञानिक घाव भरना बहुत मुश्किल है।

पुलिस ने ससुराल वालों को पकड़ लिया है पर पति फ़रार है। अफ़ग़ानिस्तान में परिवार या ससुराल वालों के हाथों घरेलू हिंसा आम बात है।

मानवाधिकार संस्थाओं की चिंता है कि अंतरराष्ट्रीय जगत का ध्यान सैन्य अभियान पर है जबकि महिलाओं की स्थिति नज़रअंदाज़ की जा रही है।

2011 के दूसरे हिस्से में अफ़ग़ान स्वतंत्र मानवाधिकार आयोग ने महिलाओं के ख़िलाफ़ हिंसा के 1026 मामले दर्ज किए गए। ये वो मामले हैं कि खुलकर सामने आए।

अफ़ग़ान क़ानून के तहत शादी के लिए लड़कियों की उम्र 16 वर्ष होनी चाहिए। हालांकि आधी से ज़्यादा लड़कियों की शादी और भी कम उम्र में हो जाती है।

बाड़मेर में दबोच लिया ओमप्रकाश को

भंवरी को ठिकाने लगाने वाले दूसरे गैंग के सरगना विशनाराम का भाई ओमप्रकाश पुलिस की गिरफ्त में आ चुका है। हिस्ट्रीशीटर विशनाराम विश्नोई का भाई ओमप्रकाश किसी ट्रक में बैठ कर पंजाब भागने की फिराक में था, मगर पुलिस ने उसे बाड़मेर में दबोच लिया। अब पुलिस और सीबीआई उससे पूछताछ कर विशनाराम कहां है, यह जानने का प्रयास कर रही है।

सीबीआई से जुड़े सूत्रों के मुताबिक सोहनलाल, शहाबुद्दीन और बलदेव ने 1 सितंबर को भंवरी का अपहरण किया और नेवरा रोड पर विशनाराम के दूसरे गैंग को सौंप दिया। इन तीनों के अलावा पूर्व मंत्री महिपाल मदेरणा, लूणी से विधायक मलखान सिंह, पूर्व उप जिला प्रमुख सहीराम विश्नोई व उसका साथी उमेशाराम पकड़ा गया, मगर भंवरी का अब तक पता नहीं चला।

भंवरी का पता लगाने के लिए सीबीआई को विशनाराम की जरूरत है, मगर वह भूमि घोटाले के मुकदमों में एक साल से फरार चल रहा है। भंवरी को ठिकाने भी उसने फरारी के दिनों में ही लगाया था। विशनाराम का कहीं सुराग नहीं लगा रहा था, इस बीच शुक्रवार को जब उसका छोटा भाई ओमप्रकाश पकड़ा गया तो उम्मीद बढ़ी है कि अब विशनाराम का भी पता चल जाएगा। ओमप्रकाश भी भूमि घोटाले के 41 मुकदमों में वांछित है।

बाडमेर आज की ताजा खबर. 30दिसम्बर


सतर्कता समिति में दर्ज प्रकरणों को गम्भीरता से लेने के निर्दो 


बाडमेर, 30दिसम्बर। जिला स्तरीय सतर्कता समिति में दर्ज प्रकरणों को जिला कलेक्टर डॉ. वीणा प्रधान ने गम्भीरता से लेने के निर्दो दिए है। उन्होने समिति के समक्ष प्रस्तुत प्रकरणों के संबंध में अधिकारियों को निश्पक्ष जांच करने तथा जांच रिपोर्ट में सभी तथ्यों से अवगत कराने को कहा है। 
भाुक्रवार को कांफ्रेन्स हॉल में आयोजित बैठक में डॉ. प्रधान ने कहा कि सतर्कता समिति जिला स्तर पर सबसे बडी समिति है तथा इसमें दर्ज प्रकरणों की जांच सभी तथ्यों को ध्यान में रखते हुए पूर्ण गम्भीरता से की जानी चाहिए। साथ ही संबंधित विभाग के अधिकारी को जांच रिपोर्ट के साथ व्यक्तिः उपस्थित होना जरूरी है। उन्होने कहा कि जिला कार्यालय से समाचार पत्रों में प्रकाित विभिन्न समस्याओं एवं िकायतों की कतरने भिजवाई जा रही है, जिन पर आवयक कार्यवाही, जॉच की जाकर रिपोर्ट भिजवाई जाए। 
इस अवसर पर समिति के समक्ष विचाराधीन मामलों पर विस्तृत चर्चा पचात कपूरडी गांव में बोथिया जागीर में सरकारी पडत भूमि को गलत तरमीम कर ओएनजीसीएल से मुआवजा दिलाने के मामले में सात दिन में रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्दो दिए। इसी प्रकार कामिर्यल भूखण्ड का पट्टा जारी करने के मामले में तीन दिन में पत्रावली प्रस्तुत करने अन्यथा एफआईआर दर्ज कराने के निर्दो दिए गए। वन क्षेत्र की भूमि को आबादी घोशित करने के मामले में अतिक्रमण चिन्हित किये जाने पर प्रकरण ड्राप किया गया। आंगनवाडी केन्द्र रिधुसर में आा सहयोगिनी के रिक्त पद को भरने के मामले में कमेटी के माध्यम से रिपोर्ट लेकर पद भरने के निर्दो दिए गए। 
बैठक में ग्राम पंचायत नौसर के राजस्व ग्राम उन्दरिया सरा में निर्मित सामुदायिक जल स्त्रोत, ग्राम मौजा वेदरलाई के खातेदारी भूमि बेचान का म्युटोन रोकने, गलत आवंटन को खारिज करने तथा अध्यापक द्वारा भेदभाव करने के मामले समीक्षा पचात ड्राप किए गए। धोरीमना में मुख्य बाजार से अतिक्रमण हटाने के निर्दो दिए गए। साथ ही पूर्व बंधुआ मजदूर के पुनर्वास के मामले में संबंधित तहसीलदार से जांच करवाकर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्दो दिए गए। बैठक में समिति के समक्ष प्रस्तुत प्रकरणों की बिन्दुवार समीक्षा की गई तथा बकाया प्रकरणों को जांच नहीं होने तक लम्बित रखने के निर्दो दिए गए। 
इस अवसर पर जिला प्रमुख श्रीमती मदन कौर ने धोरीमना में अतिक्रमण के मद्दे नजर दुर्घटनों की आांका पर चिन्ता जताते हुए भाीध्र अतिक्रमण हटाने को कहा। अतिरिक्त जिला कलेक्टर अरूण पुरोहित ने समिति के समक्ष दर्ज प्रकरणों की बिन्दुवार जानकारी दी। बैठक में जिला पुलिस अधीक्षक सन्तोश चालके अति. मुख्य कार्यकारी अधिकारी रामस्वरूप मीणा समेत संबंधित विभागों के अधिकारी तथा समिति सदस्य उपस्थित थे। 
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आधार एनरोलमेन्ट केन्द्र स्थापित 


बाडमेर, 30 दिसम्बर। विश्ट पहचान नामांकन प्रकि्रया के तहत जिले में आधार एनरोलमेन्ट सेन्टर स्थापित किए गए है। 
जिला कलेक्टर डॉ. वीणा प्रधान ने बताया कि हर आयु के नागरिक को आजीवन पहचान प्रमाण जारी करने हेतु जिले में नगर पालिका परिसर बाडमेर, पंचायत समिति बाडमेर, राउप्रावि पुलिस लाईन, राउप्रावि बलदेव नगर, राउप्रावि इन्दिरा कालोनी, राउप्रावि भास्त्री नगर, जटिया समाज भवन हनुमान मंदिर चौहटन रोड, सामुदायिक सभा भवन बाडमेर आगोर, ग्राम पंचायत बाडमेर आगौर भवन, राउप्रावि नम्बर 3 माल गोदाम रोड, राउप्रावि गंगाबाई स्कूल तथा राउमाबावि बायतु में आधार एनरोलमेन्ट केन्द्र स्थापित किए गए है। 
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विभागों में उपस्थिति की जांच आठ कार्मिक अनुपस्थित 




बाड़मेर, 30 दिसम्बर। जिले में समय की पाबंदी हेतु चलाए जा रहे निरीक्षण अभियान के अन्तर्गत भाुक्रवार को आकस्मिक निरीक्षण के दौरान आठ कार्मिक अनुपस्थित पाए गए। 
जिला कलेक्टर डॉ. वीणा प्रधान ने बताया कि दल प्रभारी पी.सी. छाजेड द्वारा भाुक्रवार को किए गए निरीक्षण के दौरान आांगनवाडी केन्द्र मारूडी में कार्यकर्ता श्रीमती रेखा देवी, सहायिका श्रीमती मरूदेवी तथा आा सहयोगिनी श्रीमती सुगणीदेवी अनुपस्थित पाई गई। इसी प्रकार आंगनवाडी केन्द्र दरूडा में सहायिका श्रीमती पेमीदेवी, जलप्रदाय पम्पिंग स्टोन बोला में बेलदार नसीर खां व सहायक श्रीमती किनीदेवी तथा आंगनवाडी केन्द्र मलवा में कार्यकर्ता श्रीमती नसीबा व सहायिका श्रीमती बसरा अनुपस्थित पाई गई। निरीक्षण के दौरान उप स्वास्थ्य केन्द्र दरूडा, उप स्वास्थ्य केन्द्र गुडीसर, आंगनवाडी केन्द्र हाथमा तथा उप स्वास्थ्य केन्द्र इन्द्रोही बन्द पाए गए। 
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कानून व्यवस्था के लिए क्षेत्रवार मजिस्ट्रेट नियुक्त 


बाडमेर, 30 दिसम्बर। जिला मजिस्ट्रेट डॉ. वीणा प्रधान ने एक आदेश जारी कर एक जनवरी को कि्रिचयन नव वशर दिवस, 26 जनवरी को गणतन्त्र दिवस तथा 30 जनवरी को देवनारायण जयन्ती के धार्मिक पर्वो के आयोजन के मध्यनजर कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए दण्ड प्रकि्रया संहिता की धारा 22 के तहत क्षेत्रवार मजिस्ट्रेट नियुक्त किये है। 
जिला मजिस्ट्रेट डॉ. प्रधान द्वारा जारी आदेशानुसार उपखण्ड मजिस्ट्रेट बाडमेर को बाडमेर भाहर, उपखण्ड मजिस्ट्रेट बालोतरा को बालोतरा भाहर, उपखण्ड मजिस्ट्रेट िव को तहसील क्षेत्र िव, उपखण्ड मजिस्ट्रेट सिवाना को तहसील क्षेत्र सिवाना, उपखण्ड मजिस्ट्रेट रामसर को तहसील क्षेत्र रामसर, उपखण्ड मजिस्ट्रेट चौहटन को तहसील क्षेत्र चौहटन, उपखण्ड मजिस्ट्रेट बायतु को तहसील क्षेत्र बायतु के लिए मजिस्ट्रेट नियुक्त किया गया है। इसी प्रकार तहसील क्षेत्र पचपदरा ग्रामीण, तहसील क्षेत्र गुडामालानी तथा तहसील क्षेत्र बाडमेर ग्रामीण के लिए संबंधित तहसीलदार एवं कार्यपालक मजिस्ट्रेटों को मजिस्ट्रेट नियुक्त किया गया है। उक्त मजिस्ट्रेट्््स को निर्देश दिये गये है कि वे त्यौहारों के दौरान कानून व्यवस्था बनाये रखने की पालना सुनिश्चित करेंगे। संबंधित उपखण्ड मजिस्ट्रेट अपने उपखण्ड की शांति व्यवस्था एवं निगरानी की व्यवस्था सुनिश्चित करेंगे। 
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जनता ने उत्साह के साथ लिखे पोस्ट कार्ड


अखिल भारतीय राजस्थानी भाषा मान्यता संघर्ष समिति बाड़मेर 

जनता ने उत्साह के साथ लिखे पोस्ट कार्ड 

बाड़मेर अखिल भारतीय राजस्थानी भाषा मान्यता संघर्ष समिति बाड़मेर तथा मोटियार परिषद् के तत्वाधान में राजस्थानी भाषा  को संवेधानिक मान्यता के लिए चलाये जा रहे म्हारी जुबान रो तालो खोलो पोस्ट कार्ड अभियान के तहत शुक्रवार को सरदारपुरा पीपाजी मंदिर के पास पोस्ट कार्ड अभियान चलाया गया जिसमे आम जनता ने उत्साह के साथ भाग लेकर सेकड़ो पोस्ट कार्ड राष्ट्रपति ,प्रधानमंत्री तथा सांसद के नाम लिख कर राजस्थानी भाषा को मान्यता देने का आग्रह किया गया .समिति संयोजक चन्दन सिंह भाटी ने बताया की अभियान के तीसरे दिन पीपाजी के मंदिर के समीप वार्ड अडतीस में पोस्ट कार्ड अभियान नगर अध्यक्ष रमेश सिंह इन्दा के नेतृत्व में चलाया गया .अभियान के प्रति आम जन तथा खाश कर युवा वर्ग में जबरदस्त उत्साह देखा गया .वार्ड वाशियों ने सेकद्सो की तादाद में पोस्ट कार्ड लिख अभियान को अपना समर्थन दिया .अभियान के तीसरे दिन दुर्गादास राठोड दांता ,,पूर्व पार्षद पब्बराम ,श्रवण चारण सवेअई दहिया ,नरेन्द्र जांगिड .,पीराराम पंवार ,,महेंद्र पुरोहित ,प्रकाश सिंह पाली ,जोगाराम दहिया शिव प्रताप सिंह चोह्टन हितेंद्र सिंह चुली ,रोहित शर्मा सहित मोटियार परिषद् के कई कार्यकर्ताओ ने पुरे वार्ड में घूम घूम कर प्रत्येक घर से चार चार पोस्ट कार्र्द लिखा कर राजस्थानी भाषा को मान्यता के लिए केंद्र सरकार से आग्रह किया .अभियान को आम जनता से सराहना के साथ साथ समर्थन  मिलाने से अभियान के उद्देश्यों की पूर्ति जल्द होती नज़र आ रही हे .अभियान की शुरुआत शुक्रवार को लोक कलाकार फकीरा खान ,पाटवी रिदमल सिंह दांता ,विजय कुमार ,द्वारा किया गाया ,वार्ड में कई महिलाओं ने भी पोस्ट कार्ड लिख अभियान को समर्थन दिया .. 

प्रेमी-पति को वश में कराने की आड़ में करता था सेक्स

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नई दिल्ली बॉयफ्रेंड और पति को वश में कराने की आड़ में महिलाओं पर सेक्स के लिए दबाव डालने वाला एक बंगाली बाबा पुलिस की गिरफ्त में आ गया है। यूसुफ सराय इलाके में पूरे तामझाम के साथ ऑफिस चला रहे इस बंगाली बाबा को सफदरजंग एनक्लेव पुलिस ने एक पीड़ित लड़की की शिकायत के बाद गिरफ्तार कर लिया है।

डीसीपी ( साउथ ) छाया शर्मा ने बताया कि तांत्रिक की पहचान सूफी बंगाली बाबा सुलतान के रूप में हुई है। बाबा केबल टीवी पर पति या पेमी को वश में करने का विज्ञापन देता था। इसके बाद ऑफिस आने वाली लड़कियों से पहले तीन हजार रुपये ठग लेता। इसके बाद उर्दू में एक कागज में कुछ लिख कर दे देता। लड़कियों को बाबा बताता कि शीशे के सामने न्यूड खड़े होकर इस कागज को अपने चारों ओर घुमाना। इसके बाद कागज को एक कप में डालकर आग लगा देना। राख को पुड़िया में डालकर वापस पास लाना। वह उसकी पूजा करेगा।

पुड़िये की पूजा करने के लिए वह 50 हजार रुपये मांगता। पैसे नहीं होने की हालत में वह लड़कियों को उसके साथ चार बार सेक्स करने के लिए कहता। उसका दावा था कि वह उसके बाद फिर पूजा करेगा और मुश्किल से निकाल देगा। अपने एक चेले और एक पार्टनर के साथ वह पिछले डेढ़ साल से इस गोरखधंधे में लगा हुआ था। यह लोग आफिस में जीन्स और टी शर्ट में घूमते रहते। लेकिन जैसे ही कोई कस्टमर लड़की वहां पहुंचती, ऊपर से चोगा पहन लेते। उसके पार्टनर हसन अली और चेले को पुलिस तलाश कर रही है। गिरफ्तार बाबा से पुलिस को तंत्र मंत्र का सामान, भस्म, कैश और टोटका आदि करने का सामान बरामद हुआ है।

ज़ायका: राजस्थानी दाल - बाटी



ज़ायका: राजस्थानी दाल - बाटी


सामग्री: बाटी के लिए- 2 कप गेहूं का आटा,1 टेबलस्पून रवा, 2 टेबल स्पून घी, नमक स्वाद के लिए। दाल के लिए- 1/2 कप हरी मूंग की दाल, 1 टेबलस्पून चना दाल, 1 टेबलस्पून घी, 1/2 टेबल स्पून गरम मसाला, 1 टेबलस्पून लाल मिर्च पाउडर, 1 टेबलस्पून घनिया पाउडर, 1/4 टेबलस्पून हल्दी पाउडर, आघ कटा नींबू, हरा घनिया कटा हुआ, अदरक बारीक कटा हुआ, 1/2 टेबलस्पून जीरा व राई दाना, दो कप पानी।


विधि: दाल बनाने के लिए दोनों दालों को साथ में मिलाकर कुकर में डालें और नमक व हल्दी डालकर एक कप पानी के साथ उबालें। उघर सभी मसालों का पेस्ट बनाने के लिए आघा कप पानी में मिलाकर रख दें। अब एक कड़ाही में घी डालें व गर्म करें। सबसे पहले इसमें जीरा व सरसों दाना डालें। जब ये चटकने लगे तब बारीक कटा हुआ अदरक डालकर मसालों का पेस्ट एड करें। कुछ देर के लिए भूनें व उबली हुई दाल मिला दें। बाद में नींबू का रस मिलाएं। कटे हुए हरे घनिए से गार्निश करें। गेहूं के आटे में रवा और घी को अच्छी तरह से मिलाएं। गर्म पानी से मिश्रण को एकदम कड़ा गूथ लें और छोटी छोटी लोई बना लें। तंदूर या ओवन को अच्छे से गर्म करें। फिर इसमें लोईयों को हल्की आंच पर तब तक भुनने दें जब तक कि यह ब्राउन न हो जाएं। अवन से निकालकर लोई को साफ कपड़े में रखकर हल्का सा दबाएं और इसे देसी घी में डुबोएं और फिर इससे निकालकर गर्मागर्म दाल के साथ परोसें।

चूरमा


सामग्री: एक चौथाई कप देसी घी, 250 ग्राम गेहूं का आटा, 120 ग्राम पिसी चीनी, 60 ग्राम गोंद, कटे बादाम, एक टेबलस्पून इलायची पाउडर और तलने के लिए घी।


विघि: आटे को लेकर उसमें अच्छी तरह से घी को मिलाकर गूघ लें। अब आटे की छोटी लोई बनाकर घी में धाीमी आंच पर तलें जब तक कि वह कुरकुरी न हो जाए। लोईयों को ओवन में भी बेक कर सकती हैं। ठंडा हो जाने पर लोइयों को ग्राइंडर में पीस कर पाउडर बना लें। अब गोंद को कड़ाही में डालकर तब तक चलाएं जब तक कि वह पक न जाए। फिर इसे निकालकर पीस लें। आटे के मिश्रण में पिसे हुए गोंद को अच्छी तरह मिलाकर पिसी चीनी, बादाम व इलायची पाउडर डालें। अपनी इच्छानुसार इसके लaू बना लें या फिर ऎसे ही सर्व करें।

जैसलमेर...आज की ताजा खबर. 30 दिसंबर, 2011

दो महिलाओं ने लगाई फांसी

मोहनगढ़  कस्बे में दो महिलाओं ने फांसी लगाकर आत्महत्या की। पुलिस से प्राप्त जानकारी के अनुसार गुरुवार को करीब 1.30 बजे निर्मला पत्नी पीराराम मेघवाल उम्र 19 वर्ष निवासी तेजपाला ने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। इसी प्रकार बुधवार देर शाम केसी देवी पत्नी केसाराम उम्र 25 वर्ष जाति जाट हाल निवासी एक पीडी निवासी गांव सारला थाना बारवासर, बाड़मेर ने घर में फांसी लगाकर आत्म हत्या की। संदेहास्पद स्थिति में हुई मौत देखते हुए मेडिकल विभाग द्वारा जिला मुख्यालय से चिकित्सकों की पोस्टमार्टम टीम का गठन किया गया ।

निजी टीवी चैनलों के लिए जिला स्तरीय निगरानी समिति गठित

जैसलमेर निजी दूरदर्शन चैनलों के लिए जिला स्तरीय निगरानी समिति का गठन किया गया है। कलेक्टर एम.पी.स्वामी की ओर से जारी आदेश के अनुसार जिला स्तरीय निगरानी समिति में वे समिति के अध्यक्ष होंगे जबकि एसपी ममता विश्नोई सदस्य तथा जिला सूचना एवं जन संपर्क अधिकारी सदस्य सचिव बनाए गए हैं। महिला महाविद्यालय के कार्यवाहक प्राचार्य श्यामसुंदर परमार, प्रियदर्शिनी विकास समिति की सरोज थानवी, बाल विकास परियोजना अधिकारी उम्मेद सिंह भाटी के साथ ही शिक्षा विभाग बीकानेर के सेवानिवृत्त संयुक्त निदेशक एवं शिक्षाविद् बालकृष्ण जोशी का सदस्य के रूप में मनोनयन किया गया है। उन्होंने बताया कि समिति सदस्यगणों का कार्यकाल दो वर्ष का होगा।

इस समिति द्वारा स्थानीय केबल चैनलों में प्रसारित और पुन: प्रसारित कार्यक्रमों में प्रोग्रामों एवं विज्ञापन संहिताओं के उल्लंघनों के बारे में प्राधिकृत अधिकारी द्वारा विभिन्न प्रकार की शिकायतों के उल्लंघनों के बारे में प्राधिकृत अधिकारी द्वारा विभिन्न प्रकार की शिकायतों की समीक्षा एवं चर्चा की जाएगी। समिति की बैठक सामान्यतया दो माह में एक बार आयोजित होगी।

आग से जला घरेलू सामान

जैसलमेर  जयनारायण व्यास कॉलोनी की कच्ची बस्ती में गुरुवार को एक झोंपे में आग लग गई। हादसे में हजारों रुपए का घरेलू सामान जल कर खाक हो गया। आग लगने के कारणों का पता नहीं चला। गुरुवार को मोहम्मद रफीक पुत्र आरबदीन के झोंपे में आग लग गई। मोहम्मद रफीक ने बताया कि इस घटना में दो बकरियां, चारपाई, टीवी सेट, बिस्तर, कपड़े, मोबाइल, 15 हजार रुपए नकद, सहित अन्य घरेलू सामान जलकर खाक हो गया। मौके पर पहुंची फायर ब्रिगेड ने आग पर काबू पाने में सहयोग दिया। आरबदीन के झोंपे में लगी आग के समय उसके घर में गैस सिलेंडर भी था लेकिन रमेश बिश्नोई निवासी धोलिया ने हिम्मत दिखाते हुए जलती आग में घर में घुस कर गैस सिलेंडर को बाहर निकाला। जिससे बड़ा हादसा होते-होते टल गया।


मृतक के परिजनों ने रुकवाया सोलर प्लांट का कार्य


ग्रामीणों ने किया प्रदर्शन, पुलिस पहुंची, सबको बाहर खदेड़ा


पोकरण  धूड़सर लवां सड़क मार्ग पर बुधवार की रात्रि हुई दुर्घटना में मरे व्यक्ति के परिजनों ने गुरुवार को धूडसर स्थित रिलायंस सोलर ऊर्जा प्लांट पर प्रदर्शन कर कार्य को रुकवाया। परिजनों सहित उपस्थित सैकड़ों ग्रामीणों ने रिलायंस सोलर ऊर्जा कंपनी के अधिकारियों से मुआवजा दिलाने की मांग की। वहीं दूसरी ओर उन्होंने अपनी मांगें रखी। उन्होंने चेतावनी दी कि जब तक ग्रामीणों की मांगों को स्थाई रूप से नहीं माना जाएगा तब तक कार्य को शुरू नहीं किया जाएगा। गुस्साए ग्रामीणों ने कंपनी तथा उच्चाधिकारियों के खिलाफ नारेबाजी की। जिस पर कंपनी के अधिकारियों ने पुलिस थाना पोकरण को सूचित किया। थोड़ी ही देर में पुलिस दल पहुंची तथा ग्रामीणों को प्लांट से बाहर खदेड़ा। ग्रामीणों के प्रदर्शन के कारण दिनभर सोलर कंपनी का कार्य बाधित रहा।



ग्रामीणों की मांगें

दुर्घटना में मृतक के परिजनों को मुआवजा मिलना चाहिए।

सोलर प्लांट के अधिकारियों द्वारा ग्रामीणों को प्लांट के चारों ओर से रास्ता दिया जाए।

अमीन खां की ढाणी से स्कूल तथा कब्रिस्तान तक का मार्ग दिया जाए।

सोलर प्लांट के भीतर जा रही पाइप लाइन को प्लांट से बाहर किया जाए।

रोजगार को देखते हुए ग्रामीणों को प्राथमिकता दी जाए।

वाहनों के लिए धूडसर, उजलां, झलारिया, भाखरी के लोगों को प्राथमिकता दी जाए।


शिविर में बालिकाओं को दी संस्कारों की सीख

शिविर में बालिकाओं को दी संस्कारों की सीख



राजपूत बोर्डिंग में सात दिवसीय संस्कार शिविर का आयोजन

बालोतरा सही रास्ता बताने वाले भगवान का स्वरूप होते हैं। भगवान की चाह के अनुरूप राहों पर चलना ही उनकी सच्ची पूजा है। भगवान की इच्छा के अनुरूप चलने वाले व्यक्ति पर उनकी सदैव कृपा बनी रहती है। वीर दुर्गादास राजपूत बोर्डिंग में चल रहे सात दिवसीय आवासीय संस्कार के पांचवे दिन शिविर में सिख धर्म के निशकंतक आश्रम के संत बाबा जगदेवसिंह ने ये विचार व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि राम, कृष्ण, गुरु नानकदेव व गुरु गोविंदसिंह ने जो रास्ता दिखाया, वही रास्ता श्रेष्ठ है। उन्होंने कहा कि संघ के तनसिंह ने संस्कार निर्माण के लिए श्री क्षत्रिय युवक संघ की स्थापना संतों के बताए मार्ग के समतुल्य है। इनकी ओर से बताए जाने वाले रास्ते अंधकार से उजियारे की ओर ले जाने वाले है। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में टीवी, सीरियल, फिल्मों से मानव अंधकार की ओर जा रहा है। संघ की ओर से बताए गए रास्तों से व्यक्ति इस अंधकार रूपी मार्ग से निकल सकता है। बाबा ने कहा कि संस्कार निर्माण का रास्ता सरल नहीं है, यह एक महान कार्य है। इससे समाज व राष्ट्र का भला होगा। उन्होंने कहा कि शिविर के दौरान सिखाए गए संस्कारों को जीवन में उतारने पर ही शिविर का औचित्य सफल होगा। शिविर संयोजक चंदनसिंह चांदेसरा ने बताया कि कार्यक्रम के प्रारंभ में बाबा जगदेवसिंह का स्वागत किया गया। शिविर संचालक रतनसिंह नगली सीकर ने संघ के कार्यों व उद्देश्यों पर प्रकाश डाला। सहायक शिविर संचालक अमरसिंह आकली ने आभार प्रकट किया।

रामसिंह माडपुरा ने शिविर में भाग ले रही 150 शिविरार्थी बालिकाओं के बारे में जानकारी दी।

तमिलनाडु पहुंचा चक्रवात 'थाने'

चेन्‍नई. चक्रवाती तूफान ‘थाने’ तमिलनाडु पहुंच गया है। चक्रवात ने शुक्रवार सुबह करीब सवा सात बजे पुदुचेरी और कडलूर के बीच समुद्री तट पर दस्‍तक दी। राज्‍य के तटवर्ती इलाकों में जोरदार बारिश हो रही है और 130 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल रही हैं। समुद्री तटों के किनारे बसे इलाकों में लोगों को अलर्ट कर दिया गया है।
 
वैसे मौसम विभाग ने इसकी चेतावनी शुक्रवार को ही दे दी थी। तमिलनाडु सरकार ने चेन्नई, कुड्डालोर और तिरुवरूर जिला समेत तटवर्ती इलाकों के स्कूल शुक्रवार को बंद रखने के आदेश दिए हैं। बंगाल की खाड़ी से उठा यह चक्रवता अब पड़ोसी आंध्रप्रदेश की ओर बढ़ रहा है। आंध्रप्रदेश के निचले इलाकों से लोगों को निकाल लिया गया है।

तूफान की वजह से आंध्रप्रदेश और रायलसीमा में तेज बारिश हो सकती हैं। तूफान की रफ्तार लगातार बढ़ रही है। मौसम विभाग ने एक से 10 मीटर तक ऊंची समुद्री लहरें उठने की आशंका जताई है। इसे देखते हुए मछुआरों को अगले 48 घंटे तक समुद्र से दूर रहने की सलाह दी गई है। हटाए गए लोगों के लिए मेडिकल सुविधाएं, पेयजल और शौचालय की व्यवस्था करने को कहा गया है।

हेल्‍पलाइन नंबर

तिरुवल्‍लुवर प्रशासन 27661200, पुलिस कंट्रोल रूम 27661010
चेन्‍नई कॉर्पोरेशन 1913 और 25619237

आंध्र प्रदेश में गुरुवार को अशांत समुद्र में फंसे 11 मछुआरों को नौसेना ने बचा लिया। नौसेना ने एक बयान में बताया कि आंध्रप्रदेश में नर्सपुर तट के पास समुद्र में नौसेना के जहाजों को ये मछुआरे फंसे मिले जिसके बाद उन्हें बचा लिया गया। इस काम में नौसेना के गोताखोरों ने मदद की।

'ओवरकॉन्फिडेंस में रहे तो 75-80 सीटें ही हाथ आएंगी'


जोधपुर. कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ.चंद्रभान ने गुरुवार को शहर कांग्रेस कार्यालय में आयोजित बैठक के दौरान फिर से सत्ता में आने के लिए कार्यकर्ताओं को जनता के बीच जाकर सरकार की उपलब्धियां गिनाने की सीख दी। प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि कार्यकर्ताओं को हमेशा याद रखना चाहिए कि जो बोलता है उसकी मिट्टी भी बिकती है। साथ ही कहा, ‘यदि ओवरकॉन्फिडेंस में रहे तो आने वाले चुनावों में हम 75 से 80 सीटों पर ही हाथ मलते रह जाएंगे। फिर दूर से ही सोचेंगे कि काश राज हमारा होता।

कार्यकर्ताओं का कमजोर होने का असर पार्टी के संगठनात्मक ढांचे पर

डॉ.चंद्रभान ने अफसोस जताया कि कांग्रेस कार्यकर्ताओं के कमजोर होने असर पार्टी के संगठनात्मक ढांचे पर पड़ा है। प्रदेश में कुल 200 बूथ में से 20-25 बूथ ऐसे हैं, जहां बैठने के लिए पार्टी को एजेंट नहीं मिल रहे हैं। उन्होंने बताया कि एक जनवरी से तीस अप्रैल तक जनसंपर्क अभियान चलाएंगे। आने वाले चुनावों से पहले दो सालों में 20 लाख सदस्य बनाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि एक तरफ मुख्यमंत्री अशोक गहलोत दिन में 16 घंटे काम करते है। दूसरी ओर महारानी वसुंधरा राजे शाम सात बजे बाद जनता से नहीं मिलतीं।

महिला कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष विजयलक्ष्मी विश्नोई ने कहा कि कार्यकर्ता सरकार की कमियों को गिनाएं यह अच्छी बात है, लेकिन सरकार की उपलब्धियां भी कुछ कम नहीं हैं। विजयलक्ष्मी ने कहा कि चंद्रभान जोधपुर के दामाद हैं जबकि वे स्वयं जोधपुर की बेटी हैं। इस नाते जोधपुर से दोनों का दिल से जुड़ाव है।

समारोह में राजेश रामदेव तथा इकबाल खान के नेतृत्व में दोनों नेताओं को कार्यकर्ताओं ने 51-51 किलो की माला पहनाई। कार्यक्रम में महापौर रामेश्वर दाधीच, पूर्व विधायक जुगल काबरा, प्रदेश कांग्रेस महासचिव सुनीता भाटी, प्रदेश सचिव अनिल टाटिया, कोषाध्यक्ष कैलाश टाटिया, कांग्रेस सचिव उत्तम वरवानी, लियाकतअली रंगरेज, डॉ.धनपत गुर्जर, योगेश गहलोत, महेश खेतानी, वर्षा गहलोत, गोविंद श्रीमाली, सुनील परिहार, पवन मेहता, अब्दुल गनी फौजदार, सुनील मोहनोत आदि मौजूद थे। बैठक में प्रदेश कांग्रेस महासचिव सुनीता भाटी, जुगल काबरा, महिला कांग्रेस जिलाध्यक्ष मुन्नीदेवी गोदारा, रंजू रामावत, करण सिंह उचियारड़ा, महापौर रामेश्वर दाधीच, उपजिला प्रमुख हीरालाल मुंडेल, उम्मेद उदाणी आदि मौजूद थे।

देहात अध्यक्ष ने गिनाई कमियां : देहात कांग्रेस जिलाध्यक्ष हीराराम मेघवाल ने कहा कि बिजली की समस्या से किसान और आमजन परेशान है, आपणो काम खेत योजना ठंडे बस्ते में है, बीपीएल चयनितों को पट्टे नहीं मिल रहे हैं। ऐसे में आमजन के सामने हम क्या मुद्दे लेकर जाएं?
हमारे राज में 10 मरे, उनके समय तो 100 मरे थे : डॉ. चंद्रभान ने
कहा कि भाजपा राज में रोज गोलियां चलती थीं। उनके राज में 100
लोग गोली से मर गए, जबकि हमारे शासन में गोपालगढ़ प्रकरण में महज 10 लोगों की मौत हुई है

आइये जाने वर्ष 2012 में केसा रहेगा धनु राशी ( ये ,यो, भ, भी, भू, धा, फा, ढा, भे ) का राशिफल—-

आइये जाने वर्ष 2012 में केसा रहेगा धनु राशी ( ये ,यो, भ, भी, भू, धा, फा, ढा, भे ) का राशिफल—-

Pt. DAYANANDA SHASTRI;
पंडित दयानन्द शास्त्री-
M--09024390067 & 09711060179 


2012 का यह राशिफल चन्द्र राशि आधारित है और वैदिक ज्‍योतिष के सिद्धान्‍तों के आधार पर तैयार किया गया है।
आइये जाने धनु राशि की विशेषतायें—धनु राशि गुरू द्वारा संचालित होती है. यह एक पवित्र ग्रह है. इस राशि के लोग कभी औपचारिक और कभी पारंपरिक दिखाई देते हैं. आप दार्शनिक हैं और मनोगत विज्ञान के लिए झुकाव रखते हैं इसके साथ ही साथ आप मानवीय और थोड़ा आवेगी होते हैं. आप उद्यमी हैं. शारीरिक रूप से, आप थोडे़ मोटे हो सकते हैं आप में से ज्यादातर लोग बादामी आँखों और भूरे रंग के बाल वाले होते हैं. आप की मुस्कान अच्छी लगती है आपके दाँतों कि बनावट भी खूबसूरत होती है.आम तौर पर, धनु राशि के लोग सुस्त स्वभाव के होते हैं. यह पारंपरिक और रूढ़िवादी विचारों का समर्थन करते हैं. सहानुभूति और प्यार करने वाले होते हैं .धनु राशि के व्यक्ति कभी कभी अधिक बेचैन और चिंतित भी हो जाते हैं . इन्हें पाखंड और दिखावा पसंद नहीं है. यह लोग भगवान को मानने वाले और ईमानदार होते हैं.
वर्ष 2012 में धनु राशि की आर्थिक वित्तीय स्थिति—-
जनवरी 2012 to मार्च 2012 –पैसे और वित्त के मामले में वर्ष की सर्वश्रेष्ठ अवधि है. धन भाव का स्वामी लाभ भाव में स्थित है और लाभ भाव का स्वामी धन भाव में स्थित है धन भाव और लाभ भाव के स्वामीयों का आपस में परिवर्तन योग बन रहा है इसके द्वारा धन लाभ मिलेगा और आपके पक्ष में होगा. आर्थिक स्थिति में मज़बूती आएगी और आप संपन्नता को प्राप्त कर सकेंगे. धन का आगमन आपको ं सौभाग्य से भर देगा आपको खुशी और संतुष्टि प्राप्त होगी. धन बड़ी मात्रा में प्राप्त होने के संकेत मिल रहे हैं आपको दूसरों के माध्यम से भी धन लाभ प्राप्त होगा.
अप्रेल 2012 to जून 2012 —यह समय पैसे और धन के मामले भाग्यशाली रहेगा. व्यापार, कानूनी और राजनीतिक व्यवसायों में वित्तीय सफलता कि संभावना दिखाई दे रही है. आप लक्जरी और असाधारण शैली में लिप्त हो सकते हैं. बडे़ स्तर की योजनाओं और सट्टा प्रकृति हानिकारक हो सकती है. तो, सावधान रहते हुए निवेश करें.
जुलाई 2012 to सितम्बर 2012 –इस अवधि के दौरान आप अपने खुद के परिश्रम से अधिक धन अर्जित कर सकते हैं. आप एक ही समय में विभिन्न व्यवसायों द्वारा उदाहरण के लिए, कृषि के माध्यम से, अचल संपत्ति के माध्यम से धनार्जन कर सकेंगे. आय का स्तर जन्म कुंडली में द्वितीय भाव की स्थिति पर निर्भर करता है. कुल मिलाकर, यह एक अच्छा समय और सफल अवधि है.
अक्टूबर 2012 to दिसंबर 2012 — इस समय शनि लाभ भाव में उच्च राशि में स्थित है जिसके े प्रभाव स्वरूप इस समय आप अधिक धनार्जन कर सकते हैं. जो लोग व्यापार में हैं वह भारी मुनाफा प्राप्त कर सकेंगे. साझेदारी व्यापार भी बहुत अच्छी तरह से पनप सकेंगे और अधिकतम लाभ देंगे. लेकिन, मंगल के बुरे प्रभाव के कारण आपको धन के मामले में धोखा मिल सकता है. कुल मिलाकर, समय अनुकूल है.
ये करें उपाय :— आपने अपनी बचत और संपत्ति में लगातार वृद्धि की है. यदि आप सट्टा बाजार द्वारा धन कमाने में लगे हुए हैं तो हानि का सामना करना पड़ सकता है. शनि ग्रह को मजबूत करें लाभ होगा.
2012 में धनु राशी की व्यापारिक एवं व्यावसायिक स्थिति—-
जनवरी 2012 to मार्च 2012 –लगातार प्रयास करने और दृढ़ निश्चय के साथ डटे रहने से आप सफलता को प्राप्त कर सकेंगे. जो लोग व्यवसायी या स्वयं कार्यरत हैं उन्हें सफलता अवश्य प्राप्त होगी. व्यवसाय भाव का स्वामी अपने ही भाव में स्थित है, इसलिए इस समय आप सफल और लोकप्रिय हो सकते हैं. इसके अलावा, आप अपने काम के क्षेत्र में अग्रणी हो सकते हैं. आप एक संस्था के संस्थापक के रूप में कार्य कर सकते हैं या स्वयं को सामाजिक परियोजना में शामिल कर सकते हैं.
अप्रेल 2012 to जून 2012 — का स्वामी शुभ परिणामों के साथ केन्द्र पर स्थित है इस कारण आप अच्छे फल प्राप्त कर सकेंगे. आपके लिए यह समय बहुत भाग्यशाली हो सकता है और आपको विभिन्न विषयों को सीखने का मौका मिल सकता है. आपको अपने काम के स्थान पर सम्मानित किया जा सकता है. इस समय आप कृषि संबंधी क्षेत्र या अचल संपत्ति की प्राप्ति में लगे रह सकते हैं. यदि इस अवधि के दौरान आपकी जन्म कुंडली में दसवें भाव का स्वामी मजबूत स्थिति में है तो आप किसी राजनीतिक दल के या सरकार के ं प्रधान बन सकते हैं लेकिन यदि दसवें भाव का स्वामी कमजोर है तो आपको अनेक समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है, ज़मीन जायदाद से हाथ धोना पड़ सकता है या जीवन पर संकट आ सकता है.
जुलाई 2012 to सितम्बर 2012 — यह तिमाही मुख्य रूप से उन छात्रों के लिए है जो उच्च शिक्षा या व्यावसायिक प्रशिक्षुओं के दौर से गुजर रहे हैं. यह एक अच्छा समय है अपनी परीक्षा के लिए अर्हता प्राप्त करने के लिए और एक विजेता के रूप में बाहर आने का. जो लोग व्यापार या अटकलों के किसी अन्य दलाली के व्यवसाय में हैं उनके लिए समय अनुकूल है. यहां तक कि सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में कैरियर बनाना या अन्य किसी व्यवसाय में कार्यरत होने के लिए बेहतर समय है. कुल मिलाकर धनु राशि के लोगों के लिए एक अच्छा समय चल रहा है.
अक्टूबर 2012 to दिसंबर 2012 —यह समय धनु राशि के लोगों के लिए व्यवसाय या नौकरी के लिए बहुत अच्छा है. कैरियर और कारोबार में यह समय आपके जीवन का सर्वश्रेष्ठ वर्ष हो सकता है. सब कुछ आपके अनुसार चल रहा है. गुरू इस समय छठे भाव में स्थित होकर आपके व्यवसाय भाव और धन भाव को देख रहे हैं. राहु बारहवें भाव में और केतु छठे भाव अच्छी स्थिति में स्थित है. सूर्य इस समय व्यवसाय भाव में स्थित है, इस कारण सूर्य आपके कैरियर में पदोन्नति और सम्मान प्राप्त करा सकते है. बुध भी मजबूत स्थिति में लाभ भाव में स्थित है. अत: इस साल का सबसे अच्छा उपयोग आप अपने क्षेत्र में सम्मान और सफलता प्राप्त करने के लिए कर सकते हैं. अपने आप को अच्छा करने के लिए प्रेरित करो सफलता अवश्य प्राप्त होगी. बुध के प्रभाव स्वरूप आप अच्छा स्वास्थ्य और सफलता प्राप्त कर सकेंगे.
2012 में धनु राशी का स्वास्थ्य —
जनवरी 2012 to मार्च 2012 — धनु जांघों, कूल्हों और धमनियों की प्रणाली को नियंत्रित करता है शरीर के इन अंगों पर बुरा प्रभाव दर्शाता है कि धनु राशि पीड़ित है. धनु व्यक्ति कि जीवन शक्ति नियंत्रित करता है. इस अवधि के दौरान शरीर की धमनियों की प्रणाली प्रभावित हो सकती है. तो, अगर आप या आपके पिता हृदय से संबंधित परेशानी से जूझ रहें हैं तो इस तिमाही के दौरान थोड़ा और अधिक सतर्क होने कि आवश्यकता है और सही समय पर इलाज व दवा लेते रहें.
अप्रेल 2012 to जून 2012 —- आपको इस समय विशेष एहतियात बरतने कि जरूरत है. आपका छठा भाव केतु के स्थित होने से मजबूत हो गया है इसलिए आपको स्वास्थ्य संबंधी अनेक समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है. ै इसके प्रभाव स्वरूप आप कुछ गंभीर बीमारी या संक्रमण के शिकार हो सकते हैं. यह आपके गुप्त रोगों को भी बढा़ सकता है. मौसम के गर्म और आर्द्र होने के कारण आपको संक्रमण हो सकता है.
जुलाई 2012 to सितम्बर 2012 — इस अवधि के दौरान आपके तीन ग्रह छठे स्थान पर बैठे हुए हैं जिस कारण आप सुस्त और निष्क्रिय बने रहेंगे. अपने आप को काला जादू जैसे अंधविश्वासों से दूर रखें अपनी निष्क्रियता को आप स्वयं ही दूर कर सकते हैं. भोग विलास से खुद को दूर रखने का प्रयास करें अधिक भोग या आसक्ति आपके शरीर और मन के लिए हानिकारक हो सकती है. स्वयं को बूरे विचारों से दूर रखने के लिए प्रतिदिन दस मिनट का व्यायाम या योग अवश्य करें.
अक्टूबर 2012 to दिसंबर 2012 — गुरू आपकी राशि का स्वामी होकर गोचर में छठे भाव में स्थित है. इस कारण स्वास्थ्य संबंधी समस्या उत्पन्न हो सकती है. आपके स्वास्थ्य में कुछ न कुछ उतार-चढा़व बने ही रहेंगे. कभी आपको बुखार हो सकता है या नज़ला-जुकाम हो सकता है. घबराने कि आवश्यकता नहीं है धैर्य से काम लें और अधिक दवाई के सेवन से बचें समय के साथ यह सभी कुछ सामान्य हो जाएगा और आपका स्वास्थ्य सुधरने लगेगा.

2012 में धनु राशी के प्रेम/प्यार और अन्य सम्बन्ध–
जनवरी 2012 to मार्च 2012 — आप एक अच्छे प्रेमी साथी हैं, लेकिन आप एक से अधिक साथी भी बना सकते हैं. आप अच्छे स्वभाव के और हंसमुख हैं. आपके इसी स्वभाव के करण विपरीत लिंगी आपसे जल्द ही आकर्षित होते हैं. आप अपने माता और पिता के साथ बहुत ज्यादा जुड़े होते हैं और आप में सबसे अच्छी बात यह है कि आप जिम्मेदार और देखभाल करने वाले व्यक्ति हैं. आप अपने वचन या प्रतिबद्धता को पूर्ण रूप से निभाते हैं. आपको दूसरों को खुशी देने में खुशी मिलती है. इस अवधि के दौरान आप अपने प्रेमी के साथ अच्छा समय व्यतीत करेंगे.
अप्रेल 2012 to जून 2012 —- आपके अपने साथी या प्रेमी के साथ विचारों को लेकर मतभेद उत्पन्न हो सकते है. इन सभी के प्रभाव के कारण आप अपने साथी से अलग भी हो सकते हैं आप के साथ ईर्ष्या का खेल भी खेला जा सकता है अत: सावधान रहने की आवश्यकता अपनी आँखें खुली रखें और चारों ओर निगाह रखें. आम तौर पर, आप अपने रिश्ते और प्रेम में गंभीरता के साथ गहराई से जुड़े रहते हैं. आप जिनके साथ अपने संबंध बना रहे हैं उनके बारे में कुछ जानकारी अवश्य रखें.
जुलाई 2012 to सितम्बर 2012 —– इस समय आपको अपने साथी के साथ बेवफाई के परिणाम भुगतने पड़ सकते हैं. आप दो नावों में सवार रहते हैं इस कारण आपको अनेक समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है. आपने अतीत में जिन बातों को हल्के ढंग से लिया वह अब भविष्य में आपके लिए मुसीबत बन कर उभर रही हैं. लेकिन आप अपने आप विनम्र और सक्षम स्वभाव के कारण इन स्थितियों को संभाल सकते हैं. आक्रामक दृष्टिकोण को छोड़ कर शांत भाव से कार्य करें. इस तिमाही या द्वारा अगली तिमाही के अंत तक सभी समस्याओं का अंत संभव हो सकता है. कभी कभी अपना बचाव करना ही सबसे अच्छा शस्त्र होता है.
अक्टूबर 2012 to दिसंबर 2012 — समय अनुकूल नहीं है अत: आपके द्वारा लिए कई निर्णय गलत हो सकते हैं. गेंद आपके पाले में है समय को उचित प्रकार से उपयोग करें. आप में से कुछ अपने प्यार के साथ संबंधों में शामिल हो सकते हैं. परेशान न हों समय अनुकूल है, आगे बढ़ो और अपने सपनों को पूरा करो. यदि आप प्यार में हैं या शादीशुदा हैं तो अपने संबंधों में आगे बढ़ो. आपको अपना जीवन साथी कि मदद और समर्थन प्राप्त होगा.
2012 में धनु राशी की पारिवारिक/फेमिली स्थिति—
जनवरी 2012 to मार्च 2012 —यह समय आपके और आपके परिवार के लिए अनुकूल है. आप अपने पिता से बहुत प्रभावित हो सकते है, और अपनी माता के लिए पूर्ण रूप से सहयोगी रहेंगे. आप अपने छोटे भाई और बहन आपके नक्कशे कदम पर चलेंगे तथा आपके आदर्शों का पालन कर सकते हैं. वह आपको पूर्ण प्यार एवं सम्मान प्रदान करेंगे. आप अपनी पत्नी और बच्चों के साथ एक अच्छा समय व्यतीत कर सकते हैं और अपने परिवार के साथ एक घूमने के लिए पिकनिक आदि पर भी जा सकते हैं.
अप्रेल 2012 to जून 2012 —- करें और उन्हें हर प्रकार से खुश रखने का प्रयास करें उनके साथ अपनी भावनाओं और गम को साझा करें अपने सुख दुख में शामिल करें. इस समय आपके चचेरे भाई और दोस्तों से आपको पूर्ण सहयोग प्राप्त होगा. वह आपके व्यवसाय में आपका हाथ बटा सकते हैं तथा आपकी मदद कर सकते हैं. आप बुद्धिमता और विनम्रता के साथ अपने परिवार में संतुलन बनाए रख सकते हैं और आपकी यही खूबी आपको एक अलग पहचान देगी.
जुलाई 2012 to सितम्बर 2012 – — यह समय आपके लिए अनुकूल नहीं है. इस समय आपके अपने जीवन साथी के साथ मतभेद हो सकते है. आपकी पत्नी बिना किसी बात के आप से नाराज हो सकती है. अत: इस समय ज्यादा उत्तेजित और गुस्सा होने की जरूरत नहीं है, धैर्य और शांति के साथ काम लें. इस समय आप अपने बच्चों की मदद ले सकते हैं, वह आपको अपने परिवार के मुद्दों को हल करने में मदद कर सकते हैं ..
अक्टूबर 2012 to दिसंबर 2012 — इस तिमाही मे आपकी माता जी का स्वास्थ्य आपके लिए प्राथमिकता लिए होगा उनकी सेहत का अच्छा ख्याल रखें. इस अवधि के दौरान आपको अपने पिता का पूर्ण सहयोग प्राप्त होगा. आपके पति आपके कार्य में सहायता कर सकते हैं. आप एक अच्छा समय बिताएंगे. आपके बच्चे विदेश में उच्च शिक्षा के लिए जा सकते हैं. इस तिमाही में परिवार में कुछ अच्छे कार्य या उत्सव भी संपन्न हो सकते हैं अत: हर पल का आनंद लें.
वर्ष 2012 में धनु राशी का मासिक भविष्य/राशिफल—

जनवरी राशिफल—- नये साल का पहला महीना खुशियां लेकर आने वाला है, बाहें फैलाकर स्‍वागत करें. नौकरीपेशा लोगों को अच्‍छी खबर मिलेगी. व्‍यापारी वर्ग को लाभ होगा. जीवन में नयी उमंग आएगी. शत्रुओं पर विजय प्राप्‍त होगी. वैवाहिक जीवन सुखद रहेगा. जीवनसाथी आपके लिए ढ़ाल का काम करेगा. आपको अपने चंचल मन को काबू करने की जरूरत है, वरना कुछ दिक्‍कतों का सामना कर पड़ सकता है.

फ़रवरी राशिफल- —काम करने का मन नहीं करेगा. चित्त अशांत रहेगा. मानसिक उथल-पुथल रहने का महीना है. विद्यार्थियों को काफी मेहनत करने की जरूरत है. माता पिता से विवाद हो सकता है. शत्रु वरिष्‍ठ अधिकारियों को आपके खिलाफ भड़का सकते है. ऑफिस पॉलिटिक्‍स से दूर रहने में ही फायदा है. जीवनसाथी का स्‍वास्‍थ्‍य भी चिंतित कर सकता है.

मार्च राशिफल- —महीने का पहला पखवाड़ा थोड़ा निराश करने वाला रहेगा. बनते काम बिगड़ेगें काफी कोशिशों के बाद भी सफलता हाथ नहीं आएगी. मुकदमेबाजी में फंस सकते हैं, इसलिए अपने क्रोध पर काबू रखें. किसी भी तरह के विवाद से दूर रहने में ही भलाई है. 15 तारीख के बाद स्थिति में सुधार होगा. आय के नए स्रोत खुलेंगे.

अप्रैल राशिफल- –विद्यार्थियों के लिए अच्‍छा समय है. मनचाहा नतीजा मिलेगा. शत्रु प्रयास तो करेंगे, लेकिन वे आपका अहित नहीं कर पाएंगे. नौकरी में भी हालात सामान्‍य रहेंगे. आपको अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर मिलेगा, बशर्ते आप उसके लिए तैयार हों. मित्रों मदद के लिए आगे आएंगे.

मई राशिफल—- सामान्‍य महीना है. सब कुछ ठीक रहेगा. जीवनसाथी के साथ कहीं बाहर घूमने जा सकते हैं. आर्थिक पक्ष सामान्‍य रहेगा. संतान पक्ष की ओर से कुछ चिंता हो सकती है. व्‍यर्थ के विवादों से दूर रहें.

जून राशिफल- —आपके लिए कुछ रचनात्‍मक करने का समय है. कला और साहित्‍य से जुड़े लोगों के लिए शानदार समय है. स्‍वास्‍थ्‍य उत्तम रहेगा, जीवनसाथी और मित्रों का सहयोग प्राप्‍त होगा. परिवार में सुख शांति रहेगी.

जुलाई राशिफल- –आर्थिक पक्ष सुदृढ़ होगा. निवेश के लिए सही समय है. व्‍यापारी वर्ग के लिए समय ठीक है. विद्यार्थियों के लिए समय अच्‍छा है. रुका हुआ धन वापस मिलेगा.

अगस्त राशिफल— आलस्‍य दरिद्रता का दूसरा नाम है, यह बात आपको याद रखनी चाहिए. आपका ढुलमुल रवैया आपकी कामयाबी को ढक सकता है. अधिकारी भी आपके इस रवैये से नाराज हो सकते है. वाहन आदि चलाते समय सावधानी बरतें. किसी बुजुर्ग का अपमान न करें.

सितम्बर राशिफल—- आप अपनी संतान को लेकर काफी समय से परेशान चल रहे हैं, इस माह उस समस्‍या का अंत होगा. भविष्‍य में होने वाले मांगलिक कार्यों के योग बनेंगे. कानूनी अड़चनों का समाधान होगा. राजनीतिक संबंधों का लाभ हो सकता है. जीवनसाथी का पूर्ण सहयोग आपको प्राप्‍त होगा.

अक्टूबर राशिफल—- सब कुछ ठीक चल रहा है. छोटी-मोटी परेशानियों को छोड़ दें, तो यह महीना आपके लिए उत्‍तम चल रहा है. आपकी मेहनत और लगन का परिणाम आपको जरूर मिलेगा. नया वाहन या घर आदि खरीद सकते हैं.

नवम्बर राशिफल—- शत्रु आपका अहित करने की ताक में है सावधान रहें. आप अपने पुराने अनुभवों से सीखकर लेकर जीवन में आगे बढ़ेंगे. खुद पर यकीन ही कामयाबी की सीढ़ी है. घर में मांगलिक कार्य हो सकते हैं. माता पिता अथवा किसी बुजुर्ग का आशीर्वाद लेकर ही नया काम शुरू करें.

दिसम्बर राशिफल—- कामयाबी आपका इंतजार कर रही है बस जरूरत है आपके सही मौके को पहचानने की. मुकदमेबाजी में राहत मिलेगी. प्रेम संबंधों में प्रगाढ़ता आएगी. किसी को किए हुए वादे को जरूर निभाएं.


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'मां, मातृभूमि और मायड़ भाषा के प्रति समर्पण जरूरी'

जोधपुर. जयनारायण व्यास विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ.भंवरसिंह राजपुरोहित ने कहा कि राजस्थानी भाषा, साहित्य एवं संस्कृति को बरकरार रखने के लिए हमारा अपनी मां, मातृभूमि एवं मायड़ भाषा के प्रति समर्पण जरूरी है। डॉ.राजपुरोहित गुरुवार को राजस्थानी भाषा शब्दकोष के निर्माता पद्मश्री डॉ.सीताराम लालस के 103 वें जन्म दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहे थे।  
राजस्थानी भाषा, साहित्य एवं संस्कृति अकादमी, मेहरानगढ़ म्यूजियम ट्रस्ट एवं राजस्थान युवा साहित्यकार परिषद के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित समारोह में उन्होंने कहा कि राजस्थानी भाषा को संविधान की अनुसूची में शामिल करने के लिए गांधीवादी तरीके से जन आंदोलन करना होगा।

इस मौके पर राजस्थान संगीत नाटक अकादमी के अध्यक्ष डॉ.अर्जुनदेव चारण ने कहा कि 21वीं सदी में अपनी सभ्यता, संस्कृति एवं भाषा को बचाने के लिए रचनाकारों को सचेत होना पड़ेगा। कार्यक्रम में राजकीय महाविद्यालय जैसलमेर के हिंदी विभाग के अध्यक्ष डॉ आईदान सिंह भाटी ने कहा कि राजस्थानी भाषा, साहित्य लोकगीत एवं लोक संस्कृति को बचाने के लिए इससे नई पीढ़ी को जोड़ना होगा। इस अवसर पर राजस्थान युवा साहित्यकार परिषद के अध्यक्ष एजे खान ने डॉ.सीताराम लालस की जन्म शताब्दी से संबंधित कार्यक्रमों की जानकारी दी।

कमांडर व मेजर घूस लेते गिरफ्तार

श्रीगंगानगर. सीबीआई ने गुरुवार को घूस लेते साधुवाली छावनी की इंजीनियर शाखा में कमांडर वर्क्‍स इंजीनियर आरके बंसल और लालगढ़ छावनी के गैरिसन इंजीनियर (जीई) मेजर अनिंदय रे को गिरफ्तार कर लिया। दोनों ने बिल पास करने की एवज में क्रमश: 50 हजार और 20 हजार रु. की रिश्वत ली थी। सीबीआई ने दोनों के आवासों की तलाशी ली।  
बंसल के घर से 60 लाख रु. नकद और अनुमानत: 30-40 लाख रु. के गहने मिले। देर रात तक दोनों अधिकारियों के श्रीगंगानगर, जयपुर व नई दिल्ली के ठिकानों पर सीबीआई की कार्रवाई चल रही थी। सूत्रों के अनुसार बंसल के खिलाफ गाला कंस्ट्रक्शन कंपनी के संचालक मुखपालसिंह गाला निवासी पतली ने शिकायत दर्ज कराई थी। इसमें कहा गया था कि छावनी के क्वार्टरों की मरम्मत के लिए उसने 45 लाख रु. के नौ टेंडर लिए थे।

कार्य पूरा होने के बाद उसने बंसल से बिल मंजूर करने को कहा तो उन्होंने 1.10 लाख रु. कमीशन मांगा। इसके लिए राशि नहीं देने पर उसकी एक फर्म को बैन कर दिया गया। बाद में सौदा एक लाख रुपए में तय हुआ। इनमें से 50 हजार रु. गुरुवार शाम को दिए जाने थे। इसके लिए कमांडर बंसल ने गाला को उस्मानखेड़ा-गुमजाल (पंजाब) मार्ग पर बुलाया।

वहां जैसे ही ठेकेदार ने यह राशि दी। सीबीआई ने बंसल को गिरफ्तार कर लिया। सीबीआई सूत्रों के अनुसार दूसरी शिकायत ठेकेदार नरेंद्र कुमार ने की थी। ठेकेदार ने लालगढ़ छावनी के क्वार्टरों की मरम्मत के लिए 30-35 लाख रुपए का ठेका लिया था।

ठेकेदार का आरोप था कि काम पूरा होने के बाद उसने लालगढ़ छावनी की गैरिसन इंजीनियरिंग शाखा (जीई) के मेजर अनिंदय रे से संपर्क साधा तो उन्होंने चेक काटने के बदले 20 हजार रुपए की मांग की। ठेकेदार ने गुरुवार शाम छावनी में जीई रे को उसके कार्यालय में 20 हजार रुपए दिए। उसने रुपए लेकर अपने कार्यालय की मेज की दराज में रख लिए। सीबीआई टीम के इंस्पेक्टर आरएस शेखावत ने रुपए बरामद कर लिए। इसके बाद सैन्य अफसरों की मौजूदगी में कार्रवाई की गई।

‘रुपए लेते ही पत्नी को पकड़ाए और कहा कि ओके अब बैन नहीं रहेगा’

सूत्रों के अनुसार सीबीआई की छह टीमें सुबह ही श्रीगंगानगर पहुंच गई थी। ठेकेदार गाला ने जब सीडब्ल्यूई से रुपए देने की बात की तो उसने बताया कि वह पंजाब जा रहा है। तब गाला ने कहा कि उसने पंजाब जाना है। उसे वहां कई दिन लग जाएंगे। फिर बंसल ने उसे शाम पांच बजे एनएच-15 पर बुलाया पंजाब के उस्मान खेड़ा व गुमजाल गांव की बीच गाला ने बंसल की सरकारी कार रुकवाई। उसे 50 हजार रुपए दे दिए। ठेकेदार ने जैसे ही 50 हजार रुपए कमांडर बंसल को दिए।

बंसल ने वह राशि अपनी पत्नी रश्मि बंसल को दे दी। उसने बैग में रख ली। तब ठेकेदार गाला ने कहा कि सर अब तो काम हो जाएगा। तब आरके बंसल ने कहा कि ‘ओके अब बैन नहीं रहेगा।’ इसी दौरान गाला के साथ गाड़ी में मौजूद सीबीआई के अधिकारियों ने आरके बंसल को पकड़ लिया।

सीबीआई उन्हें श्रीगंगानगर स्थित पुलिस लाइन ले आई, वहां देर रात तक कागजी कार्रवाई की जा रही थी। सीडब्ल्यूई बंसल बठिंडा छावनी के चीफ इंजीनियर गुरदेव सिंह की पार्टी में शामिल होने के लिए पंजाब जा रहे थे। बंसल की सरकारी गाड़ी में दो पेटी किन्नू मिले।

भंवरी की हत्या के पीछे एक महिला ही थी 'मास्टर माइंड'!




जोधपुर.एएनएम भंवरी अपहरण मामले में आरोपी पूर्व उप जिला प्रमुख सहीराम विश्नोई ने सीबीआई की पूछताछ में लूणी विधायक मलखानसिंह विश्नोई की बहन इंद्रा को इस प्रकरण की मास्टर माइंड बताया है। इंद्रा सभी आरोपियों के संपर्क में थी और पैसों का भी लेन-देन किया था।

हालांकि इस संबंध में सीबीआई अधिकृत तौर पर कुछ नहीं बता रही है, मगर इंद्रा को सहीराम व मलखान सिंह से रूबरू कराने का प्रयास कर रही है। इंद्रा और उसके दो भतीजे पुखराज व दिनेश पिछले एक माह से फरार हैं। सीबीआई ने इन तीनों को पकड़ने के लिए गुरुवार को तिलवासनी और आस-पास के गांवों में छापे भी मारे, मगर वे पकड़ में नहीं आए।

सहीराम 2 जनवरी और मलखान सिंह 2 दिन तक और रिमांड पर है। इसलिए सीबीआई इंद्रा की सरगर्मी से तलाश कर इन आरोपियों से आमने-सामने पूछताछ करना चाहती है। सीबीआई ने बुधवार रात से ही बिलाड़ा में डेरा डाल रखा था, गुरुवार सुबह स्थानीय पुलिस के साथ तिलवासनी में इंद्रा के पैतृक घर की तलाशी ली।

फिर भतीजे दिनेश और पुखराज के घर भी छापे मारे, मगर वे हाथ नहीं आए। गांव में पूछताछ से पता चला कि संभवतया वे कापरड़ा में रहने वाले दयालराम विश्नोई के ट्रक में कहीं भागे थे, तब सीबीआई कापरड़ा में दबिश देकर दयालराम को पकड़ कर जोधपुर ले आई, जहां उससे पूछताछ की जा रही है।

इधर सर्किट हाउस में महिपाल मदेरणा के चचेरे भाई हरलाल, दोस्त सेवानिवृत्त एएसपी आईदानराम चौधरी व प्रताप सिंह से पूछताछ की गई। दोपहर में फलौदी के एएसपी केसर सिंह को भी बुलाया गया। एएसपी को विशनाराम की गिरफ्तारी के प्रयास तेज करने को कहा गया है। इससे पहले सुबह सीबीआई ने रिमांड पर चल रहे मलखान, सहीराम व उमेशाराम का एमजीएच में मेडिकल भी करवाया।

रेहाना व शहाबुद्दीन से फिर पूछताछ

सहीराम से पूछताछ के बाद सीबीआई ने जेल में बंद शहाबुद्दीन और पाल रोड पर रह रही अध्यापिका रेहाना से फिर पूछताछ की। बताया जाता है कि रेहाना से यह बयान दिलाने का प्रयास किया जा रहा है कि शहाबुद्दीन व सोहनलाल ने ही भंवरी को मार दिया था।

सीबीआई को यह भी पता चला कि बोलेरो में संघर्ष के वक्त भंवरी ने शहाबुद्दीन का हाथ चबाया था, इस निशान को चैक करने के लिए सीबीआई शाम को जेल भी गई। हालांकि जेल अधीक्षक एआर नियाजी ने कहा कि सीबीआई एसपी व इंस्पेक्टर भंवरी के पति अमरचंद की सुरक्षा पर बातचीत करने आए थे

आधी रात को वोटिंग से भागी सरकार

नई दिल्ली. लोकपाल विधेयक की राह नाटकीय घटनाक्रमों के बीच राज्यसभा में रुक गई। सरकार ने पौने बारह बजे संशोधनों के बहाने विधेयक पर मतदान टालने की अपनी मंशा जाहिर कर दी। सरकार ने तर्क दिया कि सदन तीन दिनों के लिए था और गुरुवार रात 12 बजे के बाद इसे नहीं चलाया जा सकता। इसके साथ ही साफ हो गया कि लोकपाल एक बार फिर से ठंडे बस्ते में चला गया। सरकार के टालू रवैए पर पूरा विपक्ष बिफर गया।
 
राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष अरुण जेटली ने कहा, ‘अगर कोई सरकार संसद में वोट कराने से भागती है, तो उस सरकार को एक मिनट भी देश में राज करने का हक नहीं है।’ शोरगुल व हंगामे के बीच असहाय नजर आ रहे सभापति हामिद अंसारी ने कहा, ‘अप्रत्याशित स्थिति पैदा हो गई है। ऐसी स्थिति में सदन नहीं चल सकता बेहतर है हम सभी घर जाएं।’

जिस स्थिति में सभापति ने अचानक राष्ट्रगान के लिए सांसदों को खड़ा कर दिया, उससे लोगों को भरोसा नहीं हुआ। इसके साथ ही उन्होंने सदन अनिश्चितकाल के लिए स्थगित करने की घोषणा कर दी। संसदीय इतिहास के स्तब्ध कर देने वाले दृश्य के बीच सदन में मौजूद प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और वित्तमंत्री प्रणब मुखर्जी शांत बैठे रहे। विपक्ष के सभी नेताओं ने इसे लोकतंत्र के लिए काला दिन करार दिया। टीम अन्ना ने भी सरकार के रवैए पर घोर निराशा जाहिर की।

बाद में संसदीय कार्य राज्यमंत्री अश्वनी कुमार ने सरकार के कदम का बचाव किया और कहा कि लोकपाल बिल पर अगले सत्र में चर्चा होगी।

सुबह से अपने पक्ष में संख्या बल एकत्र करने में नाकामयाब रही सरकार की ओर से मतदान टालने और सियासी ड्रामे की रणनीतिक पटकथा शायद पहले ही लिख गई थी। जब रात साढ़े 11 बजे 15 मिनट के लिए सदन की कार्यवाही रुकी तो साफ हो गया कि विधेयक का लटकना तय है। बस घोषणा बाकी है।

राजद सांसद ने फाड़ी बिल की कॉपी

सरकारी पक्ष और विपक्ष के हंगामे की वजह से 11 बजकर 28 मिनट पर सभापति ने 15 मिनट के लिए कार्यवाही स्थगित की। राजद के सांसद राजनीति प्रसाद ने केंद्रीय मंत्री वी. नारायण सामी के हाथ से बिल की प्रति छीनकर फाड़ दी। वामदल, बसपा, सपा और अन्य दल आरक्षण के प्रावधानों को स्पष्ट करने की मांग कर रहे थे। विपक्ष ने आरोप लगाया कि सरकार के इशारे पर ही राजद सांसद ने लोकपाल बिल की कॉपी फाड़ी और हंगामा मचाया।

12 बजे की कहानी
मतदान टालने की रणनीति पर सस्पेंस और बढ़ा तो विपक्ष की ओर से चेयर से रूलिंग की मांग होने लगी कि 12 बजे के बाद क्या होगा। करीब साढ़े ग्यारह बजे वित्तमंत्री प्रणब मुखर्जी और प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह उठे तो विपक्ष की ओर से हंगामा शुरू हुआ। सभापति ने अचानक 15 मिनट के लिए सदन स्थगित करने की घोषणा कर दी तो सभी भौचक रह गए।
सदन स्थगित होने के बाद विपक्ष के सांसद गुस्से में सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए बाहर निकले। संसद परिसर में विपक्षी सांसदों ने धरना शुरू कर दिया और सरकार से इस्तीफे की मांग की जाने लगी।

किसने क्‍या कहा?
नेता प्रतिपक्ष अरुण जेटली ने कहा कि जब से भारत की संसद बनी है जब से आज तक संसद के साथ इतना बड़ा धोखा नहीं हुआ है। अगर कोई सरकार संसद में वोट करवाने से दूर भागती है तो उस सरकार को एक मिनट भी सत्‍ता में बने रहने का अधिकार नहीं है।
संसदीय कार्यमंत्री पवन कुमार बंसल ने विपक्ष पर आरोप लगाया कि लोकसभा में विधेयक को तुरंत पास करा दिया था। अब इतने संशोधन पेश कर दिए गए कि सरकार को इस पर रुख तय करने में वक्त लगेगा।
सीपीएम नेता सीताराम येचुरी ने कहा कि आप बताएं कि आपका क्या प्लान है? आप कब इस विधेयक को लाएंगे कब तक अध्ययन कर लेंगे। जरूरत पड़ी तो कल भी बैठेंगे लेकिन विधेयक पारित करके जाएंगे।

लहसुन व हींग का देसी प्रयोग, दांत के दर्द में दिखाएगा जादू सा असर

 

दांतों की सफाई न करने पर दांतों के बीच फंसे अन्न का कण बाहर नहीं निकल पाता है जिससे दांतों के बीच फंसे अन्न के कण रात को सोने पर मुंह से निकलने वाली लार के प्रभाव में आकर सडऩे लगते हैं। उन अन्न के कणों के सडऩे से दांतों की जड़े खोखली हो जाती हैं। खोखली जगहों में भोजन का अंश भरने से दांत सडऩे लगते हैं तथा दांतों में अत्यधिक तेज दर्द होने लगता है। अगर आप भी दांतों के दर्द से परेशान हैं तो नीचे लिखे देसी नुस्खों को एक बार जरूर आजमाएं।

- लहसुन की एक कली थोडे से सैंधा नमक के साथ पीसें और इसे दुखने वाले दांत पर रख कर दबाएं यह एक रामबाण उपाय है।

- रोजान एक लहसुन कली चबाकर खाने से दांत की तकलीफ से छुटकारा मिलता है।

- दांत की केविटी में थोडी सी हींग भरदें। दर्द में राहत मिलेगी।

- तंबाकू और नमक महीन पीसलें। इस टूथ पावडर से रोज दंतमंजन करने से दांत के दर्द से मुक्ति मिल जाती है।

- बर्फ का टुकडा दुखने वाले दांत के ऊपर या पास में रखें। बर्फ उस जगह को सुन्न करके लाभ पहुंचाता है।

- गरम पानी की थैली से सेक से भी राहत मिलती है।

- प्याज को कूटकर लुग्दी दांत पर रखना हितकर उपचार है।

- लौंग के तैल का फाया दर्द वाले दांत के मध्य रखने से निश्चित ही लाभ होगा।

- दांत के दर्द के रोगी को दिन में 3-4 बार एक लौंग मुंह में रखकर चूसने की सलाह दी जाती है।

- पुदिने की सूखी पत्तियां पीसकर दांतों के बीच रखें, ऐसा दिन में 10 बार करने से लाभ मिलेगा।

- दो ग्राम हींग नींबू के रस में पीसकर पेस्ट बनाकर मंजन करें।

गीता का रहस्य गीता का रहस्य दो ही शब्दों में

गीता का रहस्य  गीता का रहस्य दो ही शब्दों में

गीता में तो कृष्ण भगवान दो ही शब्द कहना चाहते हैं। ये दो शब्द, लोग समझ सकें, ऐसे नहीं है, इसलिए गीता के स्वरूप को इतना विस्तृत किया और उस स्वरूप को समझने के लिए लोगों ने फिर से विवेचन किया। कृष्ण भगवान ने खुद कहा है कि 'गीता में मैं जो कहना चाहता हूँ, उसका स्थूल अर्थ एक हजार में से एक व्यक्ति ही समझ सकता है, ऐसे एक हजार स्थूल अर्थ को समझनवालों में से एक व्यक्ति उसका सूक्ष्म अर्थ समझ सकता है, ऐसे एक हजार सूक्ष्म अर्थ को समझनेवालों में से एक व्यक्ति सूक्ष्मतर अर्थ को समझनेवालों में से एक व्यक्ति गीता का सूक्ष्मतम अर्थ अर्थात् मेरे आशय को समझ सकता है।' वह एक व्यक्ति ही कृष्ण भगवान क्या कहना चाहते थे, समझ सकता है। अब इस साढ़े तीन अबज की जनसंख्या में किस का नंबर लगेगा?

कृष्ण भगवान जो कहना चाहते थे, वह दो शब्दों में ही कहना चाहते है। वह तो जो कृष्ण बना है, वही समझ सकता है और कह सकता है। आज 'हम' खुद कृष्ण बनकर आए हैं, तुझे तेरा जो कार्य सिद्ध करना है, कर ले।

कृष्ण भगवान क्या कहना चाहते हैं कि इन्सान जब मर जाता है तो कहते हैं, 'अंदरवाला चला गया'। तो वह क्या है? वह 'माल' है और जो यहाँ पड़ा है वह 'खोखा' है। इन आँखों से जो दिखता है, वह पेकिंग है और अंदर 'माल' है, मटिरिअल है। देर आर वेराइटिज ऑफ पेकिंग्ज। कोई आम का पेकिंग है, कोई गधे का पेकिंग है, कोई पुरुष का है या स्त्री का है। लेकिन अंदर 'माल' स्वच्छ एक जैसा सबमें है। पेकिंग तो कैसा भी हो, सड़ा हुआ भी हो, लेकिन व्यापारी पेकिंग की जाँच नहीं करता। वह तो 'माल' ठीक है या नहीं, वही देखता है। वैसे ही हमें भीतर 'माल' के दर्शन करने चाहिए।

कृष्ण भगवान कहते हैं, ''भीतर जो 'माल' है, वो ही मैं खुद हूँ, वो ही कृष्ण है, उसे पहचान, तभी तुम परिणाम को प्राप्त कर सकोगे।' बाकी लाख अवतार तक गीता के श्लोक गाओगे तो भी परिणाम नहीं आएगा। 'खोखा' और 'माल' इन दो शब्दों में वह सब है, जो कृष्ण भगवान कहना चाहते थे और इसी में कृष्ण भगवान का 'अंतर आशय' समा जाता है।

भगवान ने गीता में कहा है 'अभ्यास करना', आजकल तो गीता का इतना अभ्यास हो रहा है कि अभ्यास का ही अध्यास हो गया है। भगवान ने अध्यास छोडऩे के लिए अभ्यास करने को कहा था, तो अभ्यास का ही अध्यास हो गया?

गीता में 'मैं' यानी कौन?

प्रश्नकर्ता : गीता में कहा है कि पृथ्वी पर 'मैं' जन्म लेता हूँ। तो 'मैं' कौन ?

दादाश्री : उसे ही आत्मा कहते हैं। 'मैं' का अर्थ कृष्ण नहीं, 'मैं' का अर्थ है आत्मा। नियम ऐसा है कि जब जब पृथ्वी पर पाप का मार बढ़ता है तो कोई किसी महापुरुष का जन्म होता ही है। इसलिए प्रत्येक युग में महापुरुष जन्म लेते हैं।

प्रश्नकर्ता : कहते हैं कि कृष्ण भगवान ने रासलीला की थी, उसका क्या कारण था?

दादाश्री : भगवान ने रासलीला खेली ही नहीं। आपको किस ने कहा कि भगवान ने रासलीला खेली थी? ये सब तो दंतकथाएँ हैं। कृष्ण तो महान योगेश्वर थे। उन्हें रासलीला में खींचकर लोगों ने दुरुपयोग किया है।
कृष्ण की आराधना दो तरह से की जाती है। जो आरंभिक कक्षा में है, उन्हें बालकृष्ण के दर्शन करने चाहिए और जिसे वैकुंठ में जाना है, उसे योगेश्वर कृष्ण के दर्शन करने चाहिए।

आत्म सन्मुख कर

प्रश्नकर्ता : गीता में श्री कृष्ण ने कहा है कि तेरे मन को बुद्धि से विमुख कर मेरे सन्मुख कर, तो मैं तुझे दिखाई दूँगा।

दादाश्री : ठीक कहा है। संपूर्णतया यह सत्य वाक्य है। मन यदि बुद्धि को छोड़ दे और उनके सन्मुख अर्थात् आत्मा के सन्मुख हो तो कृष्ण भगवान के दर्शन हों। यह सत्य है। कृष्ण भगवान ने ठीक ही कहा है, लेकिन लोगों ने गलत समझा है। समझने में यदि गलती हो तो(परिणाम) उलटा हो जाता है। लगानेवाली दवाई पी जाए और कहे मुझे ऐसा हो गया! बुद्धि से विमुख हो ऐसा कहते हैं।

श्री कृष्ण ने उसे व्यभिचारिणी कहा!

सत्पुरुष को, ज्ञानीपुरुष को सुनने से जो बुद्धि स्वच्छ होतीहै, वहअव्यभिचारिणी बुद्धि कहलाती है। इन सबकी विपरीत बुद्धि है। कृष्ण भगवान ने कहा है कि बुद्धि अव्यभिचारिणी चाहिए। व्यभिचारिणी अर्थात् विपरीत बुद्धि। आजकल संसार में इन सबकी विपरीत बुद्धि ही है। जो निरंतर अपना अहित कर रहा है, एक क्षण के लिए भी अपना हित नहीं कर रहा और विपरीत बुद्धि को ही सम्यक् मानता है।

चिंता और अहंकार

श्री कृष्ण कहते हैं : 'जीव तू क्यों चिंता करता है, कृष्ण को कहना हो वह करे' तोयह क्या कहते हैं, मालूम है? कृष्ण को क्या? वे तो जो कहना है, कहेंगे, लेकिन(हमें) यह संसार चलाना है, तो चिंता के कारखाने शुरू किए। लेकिन यह माल तो बिकता ही नहीं, कैसे बिकेगा? जहाँ बेचने जाता है, उसका तो अपना कारखाना होना ही है। इस संसार में एक ऐसा व्यक्ति ढूंढकर लाओ, जिसे चिंता नहीं होती।

एक ओर कहता है, 'श्री कृष्ण शरणम् मम:' और दूसरी और कहता है कि'हे कृष्ण! तू मेरी शरण में आ'। यदि कृष्ण की शरण ली है तो फिर चिंता क्यों? महावीर भगवान ने भी चिंता करने के लिए मना किया है। उन्होंने तो एक बार की गई चिंता का फल तिर्यंच गति बताया है। चिंता तो उच्चतम अहंकार है। 'मैंही सबका कत्र्ता हूँ' ऐसा तीव्र भाव रहता हो तो उसके फलस्वरूप चिंता उत्पन्न होती है।

भगवान का सच्चा भक्त तो चिंता होने पर भगवान से भी झगड़ता है। आप ना बोलते हैं तो मुझे चिंता क्यों होती है? जो भगवान से झगड़ता नहीं, वह सच्चा भक्त नहीं। यदि आपको कोई तकलीफ आती है तो आपके अंदर भगवान बैठा है, उसे हिलाईए। भगवान का सच्चा भक्त मिलना भी मुश्किल है। सब अपने अपने स्वार्थ में घूम रहे हैं।

गुरुवार, 29 दिसंबर 2011

अब भगवान को भी चुकाना होगा इनकम टैक्स


जयपुर। कर चोरी की आंशका को देखते हुए आयकर विभाग ने राज्य के एक हजार ट्रस्टों को नोटिस जारी किया है। मुख्य आयकर आयुक्त राजस्थान ब्रजेश गुप्ता ने बताया कि इन ट्रस्टों में गोविंददेवजी मंदिर, गणेश मंदिर जैसे ट्रस्ट भी हैं। विभाग को यह आंशका है कि मंदिरों और शैक्षणिक ट्रस्टों की आमदनी अधिक है लेकिन वे विवरण में इसे बहुत कम दिखाते हैं।
आयकर विभाग ने ट्रस्ट से चलने वाले राजधानी समेत प्रदेश के तमाम मंदिरों को नोटिस भेजे हैं। नोटिस में मंदिरों को चढ़ावे का हिसाब देने के साथ उस राशि का हिसाब देने को कहा गया है जो गरीबों की मदद के नाम पर छूट के दायरे में आती है।
विभाग ने आयकर की धारा 143 (3) के तहत ये नोटिस जारी किए हैं। इसमें ट्रस्टों को भी आमदनी का हिसाब किताब देना होगा। जिन ट्रस्टों ने आम जन की कल्याणकारी योजनाओं के लिए तय राशि पर आयकर जमा कराने से छूट ले रखी है, उन्हें भी ये नोटिस भेजे गए हैं। उनसे उस राशि का भी हिसाब मांगा है जिस पर उन्होंने छूट के तहत आयकर नहीं जमा कराया। विभाग ने मंदिर ट्रस्टों को दिसम्बर, 2012 तक जवाब देने का वक्त दिया है। तब तक नोटिस का जवाब पेश नहीं करने या संतोषजनक जवाब ना मिलने पर कर वसूलने की कार्रवाई हो सकती है।
विभाग ने नोटिस में ट्रस्टों को छूट दी है कि वे आय-व्यय विवरण स्वयं तैयार करके जमा कराएं। अगर विभाग इस विवरण से संतुष्ट नहीं होता है तो नियमानुसार आयकर वसूली की कार्रवाई शुरू की जाएगी।
जानकारी के अनुसार केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड के निर्देश के बाद राज्य में ट्रस्ट संचालित प्रतिष्ठानों को एक हजार नोटिस दिए गए हैं। इनमें लगभग सभी ट्रस्ट संचालित मंदिर भी शामिल हैं।

गे थे अमेरिका के पूर्व प्रेज़िडेंट निक्सन?

वॉशिंगटन।। वॉटरगेट कांड में इस्तीफा देनेवाले अमेरिका के पूर्व प्रेज़िडेंट रिचर्ड निक्सन क्या गे थे ? एक किताब में कुछ ऐसा ही इशारा किया गया है। वाइट हाउस में रिपोर्टर रह चुके डॉन फुलसोम ने अपनी किताब 'निक्सन्स डार्केस्ट सीक्रेट्स' में इशारा किया है कि निक्सन गे थे। किताब में उन्हें बहुत बड़ा शराबी बताया गया है। nixon's-darkest-secrets-1.jpg 
उन्होंने किताब में लिखा है कि निक्सन बहुत बड़े शराबी थे और अपनी पत्नी को अक्सर पीटा करते थे। उनके संबंध अमेरिका के तत्कालीन सबसे शक्तिशाली गुंडे कार्लोस मार्केलो समेत कई माफियाओं से भी थे।

किताब का दावा है कि समलैंगिकों से चिढ़ने वाले निक्सन खुद गे हो सकते हैं। डेली मेल में छपी खबर के मुताबिक, 'फुलसोम ने कहा है कि निक्सन का अपने सबसे अच्छे मित्र चार्ल्स 'बेबे' रेबोजो के साथ अफेयर भी हो सकता है। रेबोजो निक्सन से भी ज्यादा धूर्त व्यक्ति थे।'

अगर यह सच हुआ तो यह निक्सन के व्यवहार और प्रेरणा के बारे में कई दिलचस्प राज खोलेगा। निक्सन अमेरिका के 37वें राष्ट्रपति थे और उन्हें वाटरगेट कांड के चलते इस्तीफा देना पड़ा था। वह 1969 से 1974 तक अमेरिका के प्रेज़िडेंट रहे।

पत्नी ने पति पर कराया बलात्कार का मामला दर्ज


जयपुर। एक पत्नी ने अपने ही पति पर बलात्कार और दहेज प्रताडऩा का आरोप लगाते हुए मामला दर्ज करवाया है। दहेज के लिए प्रताडि़त कर बलात्कार करने व तलाक लेने का दबाव बनाने के आरोप में पुलिस ने पति को गुरुवार को गिरफ्तार कर लिया। उसके खिलाफ पीडि़ता ने महेश नगर थाने में कोर्ट इस्तगासे से मुकदमा दर्ज कराया था। थानाप्रभारी संजय शर्मा के अनुसार गिरफ्तार आरोपी पंकज अग्रवाल(27) सूर्य नगर, गोपालपुरा बाईपास का रहने वाला है। पीडि़ता से उसकी शादी 7 फरवरी 10 को हुई थी।

पीडि़ता का आरोप है कि शादी के बाद से पंकज व उनके परिजनों ने उसे दहेज के लिए प्रताडि़त करना शुरु कर दिया व परिजनों को धमकियां देने लगे। इसके बाद जबरन दबाव बनाकर पंकज ने पत्नी से अक्टूबर माह में तलाक की डिक्री लगा दी। तलाक से पहले छह माह की अवधि में साथ रहने के दौरान भी पंकज ने पत्नी को खुद के घर में बंद रखा और इसी दौरान उससे दुराचार किया, फिर उसे पटेल मार्ग, मानसरोवर में छोड़कर आ गया। इसके बाद पीडि़ता ने दिसंबर 11 को महेश नगर थाने में पंकज के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर गुरुवार को कोर्ट में पेश किया।

ईरानी महिला सकीना को नहीं होगी फांसी

ईरानी महिला सकीना को नहीं होगी फांसी

तेहरान। ईरान के दक्षिणी प्रांत के न्याय विभाग के प्रमुख ने कहा कि पत्थरों से मारकर मृत्युदंड की निलम्बित सजा का सामना कर रही सकीना मोहम्मदी अस्तियानी को फांसी पर नहीं लटकाया जाएगा। दो बच्चों की मां अस्तियानी की सजा पिछले साल निलम्बित की गई है। इस समय वह प्रांत में 10 वर्ष के कारावास की सजा काट रही है।

मीडिया रिपोर्टों में बुधवार को पूर्वी अजरबेजान के प्रमुख मजिस्ट्रेट मलिक अजदर शरीफी के हवाले से बताया गया कि पिछले कई दिनों से मेरी टिप्पणियां की गलत व्याख्या की जा रही थी। मेरे द्वारा कहलाया जा रहा था कि सकीना मोहम्मदी अस्तियानी को मृत्युदंड किस तरह दिया जाना चाहिए?

रविवार को ईरानी मीडिया ने शरीफी के हवाले से बताया कि इस्लामी विद्वान इस बात पर विचार कर रहे हैं कि क्या ऎसी महिला को फांसी पर लटकाया जा सकता है, जिसे पत्थरों से मारकर मौत की नींद सुलाने की सजा सुनाई गई हो।

गौरतलब है कि पूर्वी अजरबेजान प्रांत की राजधानी तबरिज में दो अदालतों ने 2006 में अस्तियानी को पत्थरों से मार कर मौत के घाट उतारने की सजा दी थी। लेकिन उसके मामले में नई जांच को देखते हुए 2010 में सजा टाल दी गई। अस्तियानी 10 वर्ष जेल की सजा काट रही है। उसे अपने पति की हत्या में प्रेमी की मदद करने दोषी ठहराया गया है।

मातृशक्ति राजस्थानी भाषा को मान्यता दिलाने के लियी आगे आई

   मातृशक्ति राजस्थानी भाषा को मान्यता दिलाने के लियी आगे आई

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सेकड़ो पोस्ट कार्ड लिखे मात्र शक्ति ने

राजस्थानी भाषा को संवेधानिक मान्यता दिलाने के लिए



बाड़मेर  राजस्थानी भाषा मान्यता संघर्ष समिति तथा मोतीयार परिषद् बाड़मेर के तत्वाधान में गुरूवार को कलेक्ट्रेट परसर के बहर म्हारी जुबान रो तालो खोलो पोस्ट कार्ड अभियान का आयोजन किया गया.गुरूवार को आयोजित अभियान में पहली बार मातृ शक्ति ने बड़े पैमाने पर राष्ट्रपति ,प्रधानमंत्री तथा सांसद को राजस्थानी भाषा को संवेधानिक मान्यता देने की मांग करते हुए पोस्ट कार्ड लिखे .समिति संयोजक चन्दन सिंह भाटी ने बताया की राजस्थानी भाषास को मस्न्यता दिलाने के लिए समिति द्वारा किये जा रहे प्रयासों को आम जनता का पूरा समर्थन मिल रहा हें वन्ही आम जन अभियान के प्रति काफी जागरूक हुए हें .गुरूवार को बड़ी संख्या में महिलाओ ने आयोजन स्थल पर पंहुच पोस्ट कार्ड लिख अभियान को समर्थन दिया समिति के जिला पाटवी रिडमल सिंह दांता ने बताया की अभियान के प्रति आम जनता में उत्साह हें हर राजस्थानी भाषा को मान्यता दिलाने के लिए आगे आ रहा हे ,गुरूवार को कलेक्टर परिसर के बाहर सेकड़ो की तादाद में महिलाओं तथा युवतियों ने पोस्ट कार्ड लिख राजस्थानी भाषा को संवेधानिक मान्यता देने का आग्रह किया .अभियान से मात्र शक्ति के जुड़ने से समिति के प्रयासों को बल मिला हें .गुरूवार को मोटियार परिषद् के पाटवी रागुविर सिंह तामलोर ,नगर अध्यकः रमेश सिंह इन्दा,राण सिंह आगोर प्रेम शंकर मीणा,समिति के विजय कुमार ,प्रकाश जोशी ,पूर सिंह राठोड ,भवेंद्र जाखड,भगवान् अहम्पा , छगन सिंह चुली ,अनिल सुखानी ,दिनेश दवे,अशरफ अली ,रहमान जायडू ने आम जन को पोस्ट कार्ड अभियान के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान कर राजस्थानी भाषा को संवेधानिक मान्यता के प्रयासों पर प्रकाश डाला तथा समझईस की .रमेश सिंह इन्दा ने बताया की शुक्रवार को पोस्ट कार्ड अभियान सरदार पूरा में पीपाजी मंदिर के पास चलाया जाकर आम जनता को अभियान से जोड़ कर पोस्ट कार्ड लिखाये जायेंगे .गुरूवार को आम जनता ने अभियान को खुले दिल से समर्थन देकर सहयोग का विशवास दिलाया ,समिति प्रत्येक घर से चार चार पोस्ट कार्ड प्रत्येक वार्ड से लिखाएंगे ताकि राजस्थानी भाषा को मान्यता के लिए केंद्र सरकार पर दबाव बनाया जा सके .

100 दिन रोजगार उपलब्ध कराने में बाड़मेर राज्य में प्रथम


100 दिन रोजगार उपलब्ध कराने में बाड़मेर राज्य में प्रथम 

बाड़मेर जिले ने महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत श्रमसामग्री अनुपात में बजट खर्च करने के साथ प्रत्येक परिवार को 100 दिनों का रोजगार उपलब्ध कराने में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। वहीं जिले के करीब 14 हजार परिवारों ने वित्तीय वर्ष 201112 में 100 दिन रोजगार प्राप्त किया। 

बाड़मेर, 19 दिसंबर। महात्मा गांधी नरेगा योजना के तहत राजस्थान में वित्तीय वर्ष 2011 12 में श्रम सामग्री अनुपात में खर्च करने एवं 100 दिनों का रोजगार मुहैया करवाने के मापदण्डों पर प्रदेश के 33 जिलों में बाडमेर प्रथम स्थान स्थान पर रहा है। जिले में अब तक 319525 व्यक्तियों को 9935702 मानव दिवस रोजगार उपलब्ध कराया गया है। 
जिला कलक्टर एवं जिला कार्यक्रम समन्वयक डा.वीना प्रधान ने बताया कि वित्तीय वर्ष 201112 के तहत दिसंबर के प्रथम पखवाडे तक की रिपोर्ट के अनुसार योजना के प्रावधानों के अनुसार आनुपातिक स्थिति को बरकरार रखते हुए बाडमेर ने सर्वाधिक राशि खर्च की है। विभागीय रिपोर्ट के अनुसार बाडमेर ने इस वित्तीय वर्ष में कुल 18869.68 लाख खर्च किए है जिसमें श्रम मद में 11992.11 लाख तथा सामग्री मद में 6526.37 लाख सम्मिलित हैं। वहीं प्रासनिक मद में 351.20 लाख रूपए खर्च किए गए। जबकि डूंगरपूर जिला श्रमसामग्री अनुपात में खर्च करने के मामले में राज्य में द्वितीय स्थान पर रहा है। डूंगरपुर जिले ने कुल 11796.11 लाख रुपये खर्च किए है जिसमें श्रम मद पर 10428 लाख तथा सामग्री मद पर 1368.10 लाख हैं। बांसवाडा जिला 11504.39 लाख रुपये खर्च करते हुए तीसरे स्थान पर है। जिला कार्यक्रम समन्वयक प्रधान ने बताया कि महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत 100 दिनों का पूरा रोजगार दिलाने में भी बाडमेर जिला प्रदेश में प्रथम स्थान पर है। इस वित्तीय वर्ष में बाडमेर ने 13 हजार 929 परिवारों को 100 दिनों का रोजगार मुहैया करवाते हुए 99 लाख 35 हजार 702 मानव दिवस सृजित कर राज्य में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। वहीं डूंगरपुर जिले ने 12 हजार 14 परिवारों को सौ दिनों का रोजगार दिलाकर 12 लाख 24 हजार 143 मानव दिवस सृजित कर प्रदेश में दूसरा स्थान प्राप्त किया है। 
319525 लोगों को मिला रोजगारमहात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत वर्ष 201112 में बाड़मेर जिले की चौहटन पंचायत समिति में 27500, धोरीमन्ना में 28486, बाड़मेर में 38146, बायतू में 35419, बालोतरा में 28807, िव में 21581, सिणधरी में 18390 एवं सिवाना पंचायत समिति में 19580 कुल 217909 परिवारों के 319525 लोगों को रोजगार उपलब्ध कराया गया। 
14 हजार परिवारों को मिला 100 दिन का रोजगारः बाड़मेर जिले में वर्ष 201112 के दौरान चौहटन पंचायत समिति में 3483, धोरीमन्ना में 791, बाड़मेर में 2652, बायतू में 2798, बालोतरा में 1104, िव में 811, सिणधरी में 936 एवं सिवाना पंचायत समिति में 1354 कुल 13929 परिवारों को 100 दिन का रोजगार उपलब्ध कराया गया। 
33883 कार्य प्रगतिरतः अतिरिक्त जिला कार्यक्रम समन्वयक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी छगनलाल श्रीमाली के मुताबिक बाड़मेर जिले में 33883 कार्य प्रगतिरत है। श्रीमाली के अनुसार बाड़मेर जिले की चौहटन पंचायत समिति में 3784, धोरीमन्ना में 3782, बाड़मेर में 5836, बायतू में 7464, बालोतरा में 5603, िव में 1970, सिणधरी में 4678 एवं सिवाना पंचायत समिति में 766 कुल 33883 कार्य प्रगतिरत है। 
महात्मा गांधी नरेगा ने बाड़मेर जिले की तस्वीर बदल दी है। ग्रामीणों को स्थानीय स्तर पर रोजगार मिलने के साथ पलायन पर अंकुा लगा है। वृहद स्तर पर स्थाई परिसंपतियों का निर्माण हुआ है। महात्मा गांधी नरेगा योजना की बदौलत महिला साक्तिकरण को बावा मिला है। 
डा.वीणा प्रधान,जिला कार्यक्रम समन्वयक एवं जिला कलेक्टर,बाड़मेर 
महात्मा गांधी नरेगा योजना के प्रभावी कि्रयान्वयन के साथ जरूरतमंद को अधिकाधिक लाभ दिलाने के प्रयास किए जा रहे है। बाड़मेर जिले की पेयजल मुख्य समस्या रही है। वृहद स्तर पर टांका निर्माण से ग्रामीणों को पेयजल संकट से राहत मिली है। गे्रवल सड़कों के निर्माण से लोगों को आवागमन की सुविधा हुई है। 
छगनलाल श्रीमाली,अतिरिक्त जिला कार्यक्रम समन्वयक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी,बाड़मेर 

पड़ोसी ने नहाती लड़की का बनाया वीडियो, नाबालिग ने दी जान


चेन्नई.चेन्नई से 90 किलोमीटर दूर मदुरनटकम में एक 15 वर्षीय नाबालिग छात्रा ने पड़ोसी द्वारा नहाते हुए वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करने से तंग आकर आत्महत्या कर ली। लड़की के पिता ने पुलिस को बताया कि विद्यासागर नाम के प्रॉपर्टी डीलर ने दो लोगों की मदद से उनके बॉथरूम में कैमरा लगाकर नहाते हुए उनकी बेटी का वीडियो बना लिया। प्रॉपर्टी कारोबारी इस वीडियो को दिखाकर उनकी जमीन पर कब्जा करना चाह रहा था।
मामले की शिकायत पुलिस से कर दी गई है। प्रॉपर्टी डीलर विद्यासागर और उसके दोनों साथी फिलहाल फरार हैं। दसवीं कक्षा की 15 वर्षीय छात्रा मंगलवार शाम को अपने घर के पंखे से लटकते हुए मृत पाई गई थी। लड़की के पिता ने थाने में दर्ज शिकायत में कहा है कि विद्यासागर द्वारा वीडियो को सार्वजनिक करने की धमकी देने के बाद लड़की ने आत्महत्या कर ली। शिकायत में लड़की के पिता ने एस मुनुस्वामी और टी महेश नाम के अपने दो रिश्तेदार का नाम भी दिया है। इनकी मदद से ही उनके घर के बॉथरूम में कैमरा लगाया गया। पुलिस के मुताबिक दोनों परिवारों के बीच पिछले 6 महीने से जमीन को लेकर विवाद चल रहा है। पुलिस ने आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए तीन टीमें बनाई हैं। आरोपियों के मोबाइल भी ट्रैक किए जा रहे हैं।

लापता तीन बहनों का शव कुएं में मिला


मेरठ

थाना किठौर क्षेत्र के महलवाला गांव से 14 दिसंबर से लापता तीन बहनों के शव बुधवार ईख के खेत के बीच बने कुएं से मिले हैं। सूचना पाकर पुलिस के आला अधिकारी मौके पर पहंुचे। आशंका जताई जा रही है कि इनकी हत्या कई दिनों पहले की गई होगी। अभी तक हत्या के मोटिव का पता नहीं लग पा रहा है। लेकिन इस बात की आशंका व्यक्त की जा रही है कि हत्यारा कोई आसपास का हो सकता है।

महलवाला गांव निवासी शकील के पांच बच्चे हैं। 14 दिसंबर की शाम करीब छह बजे उसकी तीन बेटियां बुसरा (10), सना (8)और 6 साल की साजिया गांव के ही अख्तर के दुकान से मूंगफली लेने गई थी। देर रात तक उनके न लौटने पर परिजनों ने उनकी तलाश शुरू की। कोई पता न चलने पर 15 दिसंबर को शकील ने उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करा दी। 17 दिसंबर को पुलिस ने इस मामले को अपहरण की धाराओं में तब्दील कर दिया। परिजन लगातर बच्चियों की तलाश करते रहे , लेकिन कोई सुराग नही मिल पाया।

बुधवार सुबह गांव का 50 साल का रेलू शौच के लिए जंगल में गया था। वहां गोविंदपुरी के भूले के ईख के खेत के बीच बने कुंए की मंुडेर पर उसे लाल रंग का शॉल रखा दिखाई दिया। इस पर रेलू ने कुंए के अंदर झांककर देखा तो तीन शव तैर रहे थे। उसने इस बात की जानकारी गांववालों को दी। खबर सुनते ही गांववाले वहां एकत्रित हो गए। तीनों शवों को निकलवाया गया। शव बुरी तरह फूल गए थे। पुलिस का कहना है कि उनकी हत्या कई दिनों पहले कर दी गई है। मौके पर पहंुची फिंगर एक्सपर्ट की टीम ने नमूने लिए। डॉग स्कवॉड भी वहां बुलाया गया, लेकिन कोई सफलता नही मिल पाई।

उलझन में है पुलिस

तीन बहनों की हत्या के मामले में पुलिस अभी उलझी हुई नजर आ रही है। अभी तक वह यह समझ नहीं पा रही है कि हत्या का मोटिव क्या हो सकता है। शवों को देखकर उसे नहीं लगता कि यह रेप का मामला है। हालांकि उसका कहना है कि पीएम रिपोर्ट आने पर ही इसका खुलासा हो पाएगा। जिस तरह से ईख के खेत के बीच कुआं बना है वह बाहर से दिखाई नहीं देता है। इससे यह आशंका व्यक्त की जा रही है कि हत्यारा आसपास का ही है, जिसे कुएं की जानकारी रही होगी। पुलिस दुश्मनी की लाइन पर भी काम कर रही है। वहीं पुलिस को यह भी पता चला है कि जिस दिन बच्चियां गुम हुई थीं, उस दिन गांव में बारात आई हुई थी। उनके अलावा मुरादाबाद से कुछ लोग उसी दिन गांव में रजाई बेचने के लिए भी आए हुए थे। उनसे गांव के बाहर पुलिस के एक सिपाही ने पूछताछ भी की थी। पुलिस इन सभी जानकारियों को खंगाल रही है। फिलहाल तो वह अंधेरे में ही तीर चला रही है।






















11 महिलाओं की निर्मम हत्या करने का राज अभी भी बना हुआ है रहस्य

25 नवंबर 1973 की बात है अमेरिका की सख्त पहरे वाली वालपोल स्टेट जेल में अल्बर्ट डिसेल्वो की चाकुओं से गोदकर हत्या कर दी गई थी। उसके कातिल या फिर कातिलों का कभी पता नहीं चला। यह खबर सुनकर लोगों ने कहा 11 महिलाओं की निर्ममतापूर्वक हत्या करने वाले का यही अंजाम होना था। फिर भी बहुत से लोग इस बात से पूरी तरह सहमत नहीं थे। 


कहानी शुरू करने से पहले हम आपको बता दें की अल्बर्ट को पकड़ा नहीं गया था, उसे उम्र कैद की सजा उसके ही इकबालिया बयान पर दी गई थी। जून 1962 से महिलाओं के साथ ज्यादती और हत्याओं का सिलसिला शुरू हुआ था, जो जनवरी 1964 तक चला था। इस अज्ञात हत्यारे को लोगों ने बोस्टन स्टैंगलर नाम दे दिया था। मार्च 1965 में अल्बर्ट ने हत्याएं करना कबूल किया था। जांच में उसने मारी गई महिलाओं के घर और कपड़ों जैसी सही जानकारियां दी थीं। इसलिए उसे आरोपी मानते हुए सजा दी गई थी। फिर भी कहते हैं कि उसने कुछ बातें गलत भी बताई थीं।



एक अखबार ने इस मामले में तहकीकात की थी, जिसके हिसाब से अल्बर्ट ने अज्ञात हत्यारे पर घोषित इनाम लेने के लिए जुर्म कबूल किया था। अपने गरीब परिवार की मदद करने के लिए उसने यह इनाम दूसरे कैदी के मार्फत लिया था। फिर केस की कमजोर जांच में सुराख तलाशे जाने लगे। पता चला सभी हत्याओं के तरीके में फर्क था। इसलिए यह काम अलग-अलग लोगों का होना चाहिए था।



अल्बर्ट के गिरफ्तार होने के बाद भी ऐसे मामले दर्ज होते रहे। 2001 में फिर से जांच के लिए अल्बर्ट और उसकी आखिरी शिकार महिला का शव कब्र से निकाला गया था। डीएनए टेस्ट से पता चला कि अल्बर्ट ने महिला के साथ ज्यादती नहीं की थी। इसका मतलब दूसरे मामलों में भी उसका हाथ नहीं रहा होगा तो फिर बोस्टन स्टैंगलर कौन था? ये एक राज बन गया।

4 साल तक करता रहा सेक्स, जब दुल्हन बनाने की बात आई तो...

शिमला.नगरोटा बगवां .नगरोटा बगवां के चाहड़ी गांव में रहने वाली युवती ने अपने ही पड़ोसी पर पिछले चार वर्षो से शादी का झांसा देकर शारीरिक शोषण करने का आरोप लगाया है। नगरोटा पुलिस ने बुधवार को कांगड़ा न्यायालय के आदेश पर चाहड़ी निवासी अशोक कुमार को युवती का शारीरिक शोषण करने के आरोप मंे गिरफ्तार किया है।

नगरोटा थाना प्रभारी कुलदीप शर्मा ने बताया कि चाहड़ी गांव की 21 वर्षीय युवती ने कांगड़ा न्यायालय में याचिका दायर कर आरोप लगाया था कि उसी गांव का अशोक कुमार उसे शादी का झांसा देकर पिछले चार वर्ष से उसका शारीरिक शोषण कर रहा है। इस संबंध मंे जब भी युवती ने अपने और युवक के परिजनों से बात करने का प्रयास किया तो युवक ने उसे जान से मारने की धमकी दी, जिसके चलते उसने मुंह बंद रखा। पुलिस ने अशोक कुमार को गिरफ्तार कर आईपीसी की धारा 376, 506 के तहत मामला दर्ज कर जांच आरंभ कर दी है।


दुकान में लगी आग

बरठीं. बाजार में स्कूल रोड पर मूर्ति ऑफसेट प्रिंटर्स की एक दुकान में लगी आग से लाखों का सामान राख हो गया है। आग से एक कंप्यूटर व तीन प्रिंटरों सहित स्टेशनरी, कार्ड सहित अन्य सारा सामान नष्ट हो गया। उन्होंने सरकार से मांग की है कि उनकी जली हुई दुकान को उचित मुआवजा व उनका लोन माफ किया जाए ताकि उन्हें राहत मिल सके।

टक्कर में एक घायल


ऊना. मुख्यालय में कार-स्कूटर की भिड़ंत में एक व्यक्ति घायल हो गया। घायल बलराज सैणी निवासी कोटलाकलां को उपचार के लिए रीजनल अस्पताल में भर्ती करवाया गया है। पुलिस ने उसकी शिकायत पर कार ड्राइवर के खिलाफ केस दर्ज करके मामले की जांच शुरू कर दी है।



नशा करते छात्र पकड़ा, निष्कासन का निर्णय

कुल्लू. राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला ढालपुर के 11छात्रों को स्कूल के समय में नशीली वस्तुओं के साथ पकड़ा गया। स्कूल प्रशासन के अनुसार उन्हें फोन के माध्यम से जानकारी मिली थी कि उनके स्कूल के कुछ छात्र बालाबेहड़ के पास नशा कर रहे हैं।


जिसके चलते स्कूल के अध्यापक असीम राणा की अगुवाई में घटना स्थल की ओर रवाना हुआ। जहां उन्होंने 11 छात्रों को नशीली वस्तुओं का सेवन करते हुए दबोच लिया। स्कूल के प्रधानाचार्य एनआर भारती ने बताया कि वीरवार को इस प्रकरण को लेकर बैठक बुलाई गई है। जिसमें छात्रों के निष्कासन का निर्णय लिया जाएगा।




दर्दनाक प्रथा : अपनों की मौत पर अंगुलियां काटकर मनाते हैं शोक

दुनियाभर के कई समाजों में शोक या फिर पश्चाताप के लिए शरीर के अंग काटने की प्रथा प्रचलित है। यह बात सबसे ज्यादा इंडोनेशिया के पपुआ में रहने वाले दानी आदिवासियों में पाई जाती है। ये लोग आमतौर पर संबंधियों के अंतिम संस्कार के दौरान अपना दु:ख व्यक्त करने के लिए अंगुलियां काट लेते हैं। दु:ख जाहिर करने के लिए ये लोग अपने चेहरे पर मिट्टी या फिर राख भी मल लेते हैं।
 

आश्चर्य की बात यह है कि सबसे ज्यादा महिलाओं को ये भुगतना पड़ता है। अगर मरने वाला व्यक्ति शक्तिशाली है तो उन्हें लगता है कि उसकी आत्मा को शांत करने के लिए ऐसा करना पड़ेगा। वहां और भी कई विचित्र प्रथाएं प्रचलित हैं। अंगुलियों को काटने से पहले आधे घंटे तक कसकर बांधा जाता है। कटी हुई अंगुलियों को जलाकर उनकी राख कुछ खास स्थानों पर दफन की जाती है।



वे कहते हैं कि शारीरिक दर्द महसूस करने के बाद आदमी अपने प्रियजन को खोने का दर्द जाहिर कर सकता है। परिवार का ही सदस्य जैसे माता, पिता या फिर भाई-बहन अंगुलियां काटते हैं। एक और प्रथा है जिसमें मां बच्चे की छोटी अंगुली का अग्र भाग अपने दांतों से काटती है।



एक समय था जब वहां महामारी के कारण नवजात शिशुओं की मौत बहुत होती थी। ऐसे में यह प्रथा शुरू हुई थी। उन्हें लगता था कि ऐसा करने से बच्चे की उम्र बढ़ जाएगी। पिछले कुछ सालों से ऐसी प्रथाओं पर प्रतिबंध लगा दिया है। फिर भी वहां बहुत-सी बुजुर्ग महिलाएं देखा जा सकता है, जिनकी पांचों अंगुलियां नहीं हैं

जिलाध्यक्ष व पूर्व विधायक आमने-सामने


जिलाध्यक्ष व पूर्व विधायक आमने-सामने

पूर्व विधायक बारूपाल ने जिला कांग्रेस अध्यक्ष को कहा शराबी

जिलाध्यक्ष रावताराम ने भी पूर्व विधायकों पर लगाए आरोप, सुनाई खरी-खरी

जैसलमेर  कांग्रेसी कार्यकर्ता, पदाधिकारी और जनप्रतिनिधि एकत्र तो कांग्रेस का स्थापना दिवस मनाने के लिए हुए थे लेकिन पूरा कार्यक्रम आरोप-प्रत्यारोपों में सिमट गया। कार्यक्रम की शुरुआत तो ढंग से हुई लेकिन जैसे ही पूर्व विधायक मुल्तानाराम बारूपाल ने बोलना शुरू किया बात बिगडऩे लगी। पूर्व विधायक बारूपाल ने अपने संबोधन में जिलाध्यक्ष रावताराम पर कई आरोप लगाए। बारूपाल ने संगठन को भी कमजोर बताते हुए कहा कि जिले में चार-चार कांग्रेस संगठन चल रहे हैं। जिलाध्यक्ष ने भी पूर्व विधायक बारूपाल पर जमकर आरोप लगाए। उन्होंने उनपर संगठन के खिलाफ रहने का भी आरोप जड़ा। माहौल इतना बिगड़ गया कि स्थापना दिवस धूमिल हो गया और आपसी बहस छिड़ गई। इस दौरान कई कार्यकर्ता चल रहे झगड़े को मनोरंजन समझकर देखते रहे तो कई चलते बने। इस दौरान कुछ एक ने बीच बचाव भी किया लेकिन बात नहीं बनी।

जिलाध्यक्ष तो नशे में चूर रहता है :बात इतनी बिगड़ गई कि स्थापना दिवस का कार्यक्रम खत्म होते ही पूर्व विधायक बारूपाल व जिलाध्यक्ष आमने सामने हो गए। इस दौरान पूर्व विधायक ने जिलाध्यक्ष से कहा कि आप तो दिन भर शराब व अफीम के नशे में रहते हैं, आपको क्या पता संगठन कैसे चलता है।

जिलाध्यक्ष ने भी निकाली भड़ास : बैठक के बाद शुरू हुई बहस में जिलाध्यक्ष भी पीछे नहीं रहे और उन्होंने पूर्व विधायक मुल्तानाराम बारूपाल व गोवद्र्धन कल्ला पर संगठन के खिलाफ जाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि बारूपाल ने जिला परिषद के चुनावों में करणसिंह को हराया और कल्ला ने एमएलए चुनावों में कांग्रेस की उम्मीदवार सुनीता भाटी को हरवाया। शेष त्नपेज १२

जिलाध्यक्ष ने कहा कि दोनों ही नेता हमेशा से संगठन के खिलाफ कार्य करते आ रहे हैं।

127वां स्थापना दिवस मनाया: जिला कांग्रेस कमेटी ने गुरुवार को 127वां स्थापना दिवस मनाया। इस अवसर पर जिलाध्यक्ष रावताराम की अध्यक्षता में समारोह आयोजित हुआ जिसमें स्थापना दिवस पर मिठाई बांटकर व एक दूसरे को बधाई दी गई। मीडिया प्रकोष्ठ के जिलाध्यक्ष शंकरलाल माली ने बताया कि इस अवसर पर पूर्व विधायक मुल्तानाराम बारूपाल व गोवद्र्धन कल्ला, प्रधान मूलाराम चौधरी, नगरपालिका अध्यक्ष अशोक तंवर, जनकसिंह भाटी, गाजी खां, सुमार खां, प्रेमलता चौहान, प्राप्ति राठौड़, खटन खां, जगदीश चूरा, गोपालसिंह, मेघराज परिहार, उगमसिंह, आनंद व्यास, यासीन अली, संतोष पुरोहित, सरस्वती छंगाणी, रामकंवर देवड़ा, हाजी मोहम्मद अनवर खां, चंद्रशेखर थानवी, देवीलाल माली, रमेश बिस्सा, शेराराम, गोरधनराम, डलाराम मेगे खां, मदन सोनी, गजेन्द्र गहलोत, हेमसिंह भाटिया, प्रेम भार्गव, तगाराम, दिनेशपालसिंह, आनंदसिंह, दरमाराम, जेनाराम सत्याग्रही, गणपत दैया, जेठाराम, जितेंद्रसिंह, मगाराम, रमेश माली, मोहम्मद रसीद, गणेश माली आदि कार्यकर्ता मौजूद थे।





तारबंदी के निकट मवेशी चराने पर आपत्ति

बाड़मेर। भारत और पाकिस्तान के बीच बुधवार को कमाण्डेंट स्तरीय मासिक बैठक पाकिस्तान के खोखरापार इलाके में हुई। बैठक में भारत की ओर से सीमा सुरक्षा बल के कमाण्डेंट आरके नेगी और बैठक में पाक की ओर से लेफ्टिनेंट कर्नल मोहम्मद सलीम राजा ने नेतृत्व किया।

बैठक में भारत की ओर से इस बात पर आपत्ति की गई कि सरहद पर तारबंदी के निकट पाकिस्तान के नागरिक सीमा स्तम्भ के नजदीक मवेशी चराते हैं। मवेशी चराने की आड़ में तस्करी में संलिप्त संदिग्ध लोगों द्वारा अन्तरराष्ट्रीय सीमा का उल्लंघन करने की आशंका रहती है। पाक की ओर से कहा गया कि तारबंदी पर लगी फ्लड लाइट्स का डायरेक्शन पाक की ओर घूमने से पाक रैंजर्स को परेशानी का सामना करना पड़ता है।

बैठक सुबह करीब साढ़े नौ बजे शुरू हुई। भारत की ओर से सीसुब के द्वितीय कमान अधिकारी परमिन्दर सिंह, संजय शर्मा, डिप्टी कमाण्डेंट दीपक कुमार सिंह व असिस्टेंट कमाण्डेंट आरके डागर भी बातचीत में शामिल थे।

अमृत जैन बने नाकोड़ा ट्रस्ट के अध्यक्ष

अमृत जैन बने नाकोड़ा ट्रस्ट के अध्यक्ष

बालोतरा नाकोड़ा ट्रस्ट के बुधवार को हुए चुनाव में एडवोकेट अमृत जैन को अध्यक्ष चुना गया। चौबीस ट्रस्टियों ने मतदान में भाग लिया। इसमें तीन पदाधिकारी भी चुने गए। ट्रस्ट के नवनिर्वाचित पदाधिकारियों का कार्यकाल तीन साल का रहेगा। जैन तीर्थ नाकोड़ा ट्रस्ट पदाधिकारियों के चुनाव की प्रक्रिया 20 दिसंबर को शुरू हुई थी। इस दौरान पहले 24 ट्रस्टियों के चुनाव हुए। बुधवार को ट्रस्टियों ने अध्यक्ष पद के लिए मतदान किया। इस दौरान एडवोकेट अमृत जैन बाड़मेर को अध्यक्ष चुना गया। भूरचंद जीरावला उपाध्यक्ष, गणपतचंद पटवारी बालोतरा को कोषाध्यक्ष चुना गया। इस मौके पर ट्रस्ट के पदाधिकारियों का स्वागत किया गया। ट्रस्ट के अध्यक्ष अमृत जैन ने कहा कि नाकोड़ा तीर्थ के विकास के नए आयाम स्थापित किए जाएंगे। धार्मिक पर्यटन के लिहाज से महत्वपूर्ण स्थल को विकसित करने के भरसक प्रयास किए जाएंगे।

ये बने ट्रस्टी : नाकोड़ा ट्रस्ट के ट्रस्टी पद पर मालानी क्षेत्र से मदनलाल सालेचा जसोल, सिणधरी क्षेत्र से रूघनाथमल देसाई सिणधरी, बाड़मेर शहर लूणकरण बोथरा, अमृतलाल जैन, वीरचंद वडेरा, रतनलाल बोहरा, हंसराज पड़ाईया, रतनलाल संकलेचा बाड़मेर, चौहटन से बाबूलाल सेठिया, शेष मालानी क्षेत्र से ज्ञानीराम मालू, बालोतरा शहर से गणपतचंद पटवारी, उ?ामचंद मेहता, हुलासचंद बाफना, सिवांची सिवाना भूरचंद जीरावला, सुमेरमल बागरेचा, शेष पैंतीसी भंवरलाल गुलेच्छा मोकलसर, सिवंाची की स?ााइसी नवरत्नमल श्रीश्रीमाल, पचपदरा के सात गांवों से महेन्द्र चौपड़ा, अड़तालिसी क्षेत्र संघवी अशोक कुमार पुखराज ततगढ़, गोड़वाड़ क्षेत्र से रणवीर गोमावत, शेष पाली जिला पारसमल धारीवाल, जालोर क्षेत्र भंवरलाल खिंवसरा, जोधपुर से अनिल सिंघवी जोधपुर, शीतलराज भंसाली को चुना गया।

गणपत चंद कोषाध्यक्ष, भूरचंद उपाध्यक्ष बने, तीन साल का होगा कार्यकाल