शुक्रवार, 11 मई 2012

गुजराती हास्य कलाकार रमेश महेता का निधन

अहमदाबाद।। गुजराती फिल्मों के माध्यम से लाखों दर्शकों के दिलों पर राज करने वाले वयोवृद्ध हास्य कलाकार रमेश महेता का शुक्रवार सुबह निधन हो गया। शुक्रवार सुबह 8.00 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली।गुजराती हास्य कलाकार रमेश महेता का निधन 

78 वर्षीय हास्य कलाकार और पटकथा लेखक रमेश लंबे समय से फेफड़े की बीमारी से पीड़ित थे। लेकिन पिछले कुछ दिनों से उनकी हालत ज्यादा गंभीर हो गई थी। आज सुबह 8.00 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली।


गुजराती फिल्मों में हास्य अभिनेता के रूप में रमेश महेता ने लोगों के दिलों पर एक अमिट छाप छोड़ी है। वृद्धावस्था में भी उन्होंने लोगों को हंसाना नहीं छोड़ा था। देखंे तस्वीरों में इस जिंदादिल अभिनेता की कुछ ऐतिहासिक यादें।

हिरोशिमा की तरह मक्का-मदीना को बर्बाद करेगा अमेरिका?



वॉशिंगटन. दुनिया भर को 'धार्मिक सहिष्णुता' और 'आज़ादी' की नसीहत देने वाले अमेरिका के सैनिकों को इस्लाम के खिलाफ जंग के लिए तैयार किए जाने का मामला सामने आया है। अमेरिकी सैन्य अधिकारियों के लिए तैयार कोर्स में यह पढ़ाया जा रहा था कि अमेरिका मुस्लिमों के खिलाफ जंग लड़ रहा है। कोर्स में इस्लाम को 'दुश्मन' करार दिया गया है। विवादास्पद पाठ्यक्रम के मुताबिक द्वितीय विश्व युद्ध में हिरोशिमा की तर्ज पर अमेरिका को अंत में जाकर मक्का और मदीना जैसे पवित्र इस्लामिक शहरों के वजूद को मिटाना पड़ सकता है।
 
दूसरे विश्व युद्ध में हिरोशिमा और नागासकी पर अमेरिका ने परमाणु हमले कर इन्हें तबाह कर दिया था। पाकिस्तान अखबार डॉन में छपी खबर में कहा गया है कि यह पाठ्यक्रम अमेरिकी अधिकारियों के उस रुख से बिल्कुल उलट है, जिसमें बीते एक दशक से वे कहते रहे हैं कि अमेरिका की लड़ाई उन आतंकवादियों के खिलाफ है जो इस्लाम के संदेशों के उलट काम कर रहे हैं और यह लड़ाई इस्लाम धर्म के खिलाफ नहीं है।

हालांकि, अमेरिकी रक्षा विभाग ने ज़्वॉइंट स्टाफ कॉलेज में पढ़ाए जा रहे इस भड़काऊ पाठ्यक्रम पर पिछले महीने ही रोक लगा दी थी। लेकिन इस पाठ्यक्रम में क्या पढ़ाया जा रहा था, इसका खुलासा अब हुआ है। अमेरिका के ज़्वॉइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ के अध्यक्ष जनरल मार्टिन डेंप्से ने पाठ्यक्रम को आपत्तिजनक, गैरजिम्मेदाराना और धार्मिक आज़ादी के अमेरिकी मूल्यों के खिलाफ करार दिया है। गौरतलब है कि अमेरिकी सेना ही नही बल्कि जांच एजेंसी एफबीआई ने भी अपने एजेंटों की वह ट्रेनिंग रोक दी थी, जिसे इस्लाम के खिलाफ बताया गया था।



अमेरिकी सेना के अफसर लेफ्टिनेंट कर्नल मैथ्यू डूले ने बतौर इंस्ट्रक्टर अमेरिकी सैन्य अफसरों को यह विवादित पाठ्यक्रम पढ़ाया था। डूले ने जो विवादित प्रेजेंटेशन दिया था, उसकी कॉपी Wired.com के डैंजर रूम ब्लॉग ने इंटरनेट पर डाल दिया है। पेंटागन के प्रवक्ता ने इंटरनेट पर उपलब्ध कोर्स की पुष्टि की है। डूले वर्जीनिया के नॉरफॉक में मौजूद ज्वॉइंट स्टाफ कॉलेज में पढ़ा चुके हैं। डूले विवाद के सामने आने के बावजूद कॉलेज से जुड़े हुए हैं, लेकिन वह पढ़ा नहीं रहे हैं।

 
 

दहेज के लिए मां-बेटे को जिंदा जलाकर कर मार डाला!



रुदावल(अलवर).गांव कुरका में गुरुवार को दहेज में बाइक की मांग को लेकर ससुरालजनों ने विवाहिता व दो वर्षीय पुत्र की केरोसीन छिड़का और आग लगाकर हत्या कर दी। बाद में आरोपियों ने दोनों का चोरी-छिपे दाहसंस्कार कर दिया और गांव छोड़कर भाग गए। सूचना पर पीहर पक्ष के लोग गांव पहुंचे। विवाहिता के भाई ने उच्चैन थाना में पति, ससुर सहित चार नामजद लोगों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज कराया।
 
उच्चैन थाना प्रभारी रमेशसिंह तंवर ने बताया कि कुरका में दहेज में बाइक की मांग को लेकर पति दिनेश, ससुर रूपसिंह व देवर सुगड़सिंह, मोहन सिंह ने विवाहिता मीरादेवी पत्नी दिनेश कुशवाह (25) व पुत्र मनोज (2) को गुरुवार सुबह करीब दस बजे झोपड़ी में बंद करके केरोसीन छिड़कर जिंदा जलाकर हत्या कर दी। इस घटना के बाद चारों आरोपी दाहसंस्कार कर गांव से भाग गए। मीरा की शादी दिनेश से 6 वर्ष 10 माह पूर्व हुई थी। तभी से ससुरालजन दहेज में बाइक की मांग को लेकर उसे प्रताड़ित कर रहे थे।

दो दिन पूर्व आई थी ससुराल : मीरादेवी अपने दो वर्षीय पुत्र के साथ दो दिन पूर्व पीहर महदऊ गांव थाना फतेहपुर सीकरी से ससुराल कुरका आई थीं। ससुराल आने से पूर्व मीरादेवी ने भाई व पिता को बताया कि पति व ससुर बाइक की मांग कर रहे हैं, अगर उन्हें बाइक नहीं दी तो उसे मार देंगे। इस वजह से मीरादेवी ने ससुराल जाने से मना कर दिया था, लेकिन भाई ने ससुरालजनों से बात करने की कहकर बुधवार को ससुराल भेज दिया था।

कलंकित हुआ इस्‍कॉन मंदिर: पुजारी ने दूसरे पुजारी के साथ किया कुकर्म

नयी दिल्‍ली .इस्‍कान मंदिर में एक पुजारी के दूसरे पुजारी के साथ अप्राकृतिक दुराचार करने की कोशिश की लेकिन मंदिर प्रशासन ने बीच बचाव करके मामला रफा दफा कर दिया। इतना होने पर भी हवस मिटाने के भूखे पुजारी ने एक दिन मौका पाकर पीडि़त पुजारी के साथ कुकर्म को अंजाम दे डाला।अब इस मामले में चार लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है।इनमें एक व्‍यक्ति मंदिर की गवर्निंग बॉडी का सदस्‍य है।
 
पुलिस में दर्ज प्राथमिकी में शिकायत करने वाले पुजारी ने कहा कि एक अन्‍य पुजारी ने उसके साथ 15 फरवरी की रात को अप्राकृतिक यौन संबंध बनाने की कोशिश की। जब उसने यह जानकारी मंदिर प्रशासन को दी तो मंदिर महाराज के हस्‍तक्षेप के बाद उसने अपनी शिकायत वापस ले ली। इसके बाद भी उसी पुजारी ने कुरूक्षेत्र में उसके साथ कुकर्म कर डाला। पीडि़त पुजारी ने इसकी जानकारी गवर्निंग बॉडी को दी लेकिन उसने कोई कार्रवाई नहीं की।

इस्‍कान मंदिर प्रशासन ने ऐसी किसी घटना के होने से इंकार करते हुए आरोपों को निराधार बताया है।

पाली, ...... ताज़ा खबर....अपराध की दुनिया


सड़क हादसे में एएसआई की मौत, कांस्टेबल घायल

सादड़ी (पाली) रणकपुर-उदयपुर मार्ग पर गुरुवार शाम चार बजे किसी वाहन की चपेट में आने से सादड़ी थाने के एएसआई भंवरलाल हीरागर की मौत हो गई, जबकि कांस्टेबल हीरालाल मेघवाल गंभीर रूप से घायल हो गया। दुर्घटना उदयपुर के सायरा थाना क्षेत्र में हुई, जिसके कारण शव को वहीं के अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया गया, जबकि घायल का सायरा में ही इलाज चल रहा है। उक्त दोनों पुलिसकर्मी बाइक पर आदिवासी इलाके में लुटेरों को पकडऩे के लिए गए थे। टक्कर मारने वाले वाहन का पता नहीं चल पाया है। पुलिस के अनुसार सादड़ी के सुथारों का गुड़ा गांव में गत 27 जनवरी की रात को लुटेरे एक महिला की कंठी तोड़ कर फरार हो गए थे। मामले की जांच में गुरुवार को मुखबिर से सूचना मिली थी लूट की वारदात को अंजाम देने वाले बदमाश उदयपुर जिले के सायरा-गोगुंदा इलाके में हो सकते है। इस सूचना पर सादड़ी थाने से एएसआई भंवरलाल हीरागर (52) कांस्टेबल हीरालाल मेघवाल के साथ बाइक लेकर गुरुवार दोपहर को लुटेरों को पकडऩे के लिए निकले। रणकपुर से आगे सायरा थाना क्षेत्र में किसी वाहन ने उनकी बाइक को चपेट में ले लिया, जिससे बाइक समेत दोनों पुलिसकर्मी गिर गए। हादसे में एएसआई की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि कांस्टेबल गंभीर रूप से घायल हो गया। सूचना मिलने पर सादड़ी व सायरा थाना प्रभारी पुलिस दल के साथ मौके पर पहुंचे और घायल को सायरा के अस्पताल में भर्ती कराया।


कारखाने में भीषण आग, हजारों थान राख


हादसा चार घंटे की मशक्कत के बाद पाया गया काबू, लाखों का नुकसान


पाली


शहर के मंडिया रोड इलाके में गुरुवार को सुबह एक कारखाने में भीषण आग लगने से करीब तीन घंटे तक अफरा-तफरी का माहौल रहा। आग से करीब चार हजार कपड़े के थान तथा अन्य सामान जलकर नष्ट हो गया। आग से कारखाने की इमारत को भी खासा नुकसान पहुंचा है। दर्जनों टैंकर व नगर परिषद से पहुंची चार फायरब्रिगेड ने करीब चार घंटे के अथक प्रयास के बाद आग पर काबू पाया। आग से करीब एक करोड़ रुपए का नुकसान होना बताया जा रहा है।

जानकारी के अनुसार मंडिया रोड स्थित जयराज टैक्सटाइल में गुरुवार सुबह करीब नौ बजे कारखाने की पहली मंजिल पर लकड़ी के अडान पर सूख रहे कपड़े के थान में अज्ञात कारणों से आग लग गई। देखते ही देखते आग ने विकराल रूप धारण कर लिया तथा मिनटों में ही आग ने पूरे अडान को अपनी चपेट में ले लिया। इस दौरान कारखाने में कार्यरत श्रमिकों तथा अन्य लोगों में हाहाकार की स्थिति बन गई। इस बीच आग की लपटें नीचे गोदाम में रखे कपड़े के थानों तक पहुंच गई। यहां पर कार्यरत श्रमिकों तथा अन्य लोगों ने अपने स्तर पर आग को काबू में करने का प्रयास किया, मगर लपटें तेज होने के कारण सफलता नहीं मिली। मामले की जानकारी मिलते ही नगर परिषद से चार फायरब्रिगेड मौके पर पहुंचीं, इसके बाद भी आग पर काबू नहीं पाया जा सका। इस पर फायरब्रिगेड को भी कई चक्कर लगाने पड़े तथा दर्जनों टैंकरों की मदद से करीब चार घंटे के बाद आग पर काबू पाया गया। आग से करीब चार हजार कपड़े के थान के साथ अन्य सामान भी जलकर नष्ट हो गया। कारखाने की इमारत को भी आग से नुकसान हुआ है। ज्ञात रहे कि तीन दिन पूर्व इसी कारखाने के पड़ौस में स्थित दो कारखानों में भी आग लग गई थी, इन कारखानों में भी लाखों रुपए का नुकसान हुआ था।

हाथों हाथ पहुंचे दर्जनों पानी टैंकर

आग की सूचना मिलने मंडिया रोड समेत अन्य औद्योगिक क्षेत्र मे दौडऩे वाले टैंकर चालकों ने अपना रास्ता मंडिया रोड स्थित घटनास्थल की तरफ कर दिया। देखते ही देखते वहां पर एक दर्जन से अधिक पानी के टैंकर पहुंच चुके थे। कई टैंकर चालक तो ऐसे थे, जो आर्डर के हिसाब से अपने टैंकर में भरे पानी को खाली करने जा रहे थे, मगर आग की सूचना के बाद वे सीधे ही मौके पर पहुंचे तथा आग बुझाने की मशक्कत करते नजर आए।

एक किमी पहले रोका रास्ता

सात फैक्ट्रियों में लगी भीषण आग के बाद पुलिसकर्मियों ने रास्ता रोक दिया। आग इतनी विकराल थी कि इससे ऊपर उठता धुआं दूर तक दिखाई दे रहा था। इसके बाद एक तरफ वाहनों की लंबी कतार लग गई। वाहन चालक भी अपने वाहन वहीं छोड़कर फैक्ट्री तक पहुंचे तथा आग बुझाने में सहयोग किया।

इधर सूर्य की तपिश, उधर आग की गर्मी

तेज गर्मी और आग के विकराल रूप के बाद भी लोगों ने आग पर काबू पाने के लिए अपनी तरफ से प्रयासों में कोई कमी नहीं रखी। कोई पानी की बाल्टी लेकर दौड़ रहा था तो कोई धू-धू कर जल रहे गोदाम में रखे कपड़े के थान आग से बचाकर बाहर लाने की कोशिश में था। गर्मी में पसीने में तरबतर होने के बाद भी लोगों की मदद का जज्बा देखने लायक था। कई लोग तो ऐसे थे कि आग की तेज लपटों की परवाह नहीं करते हुए लोहे के सरियों तथा अन्य साधनों से गोदामों की दीवार को उखाडऩे का प्रयास करते नजर आए। एसडीएम खान मोहम्मद खान समेत वहां मौजूद पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों ने भी आग बुझाने मे पूरी तत्परता दिखाई।

पाली. धधकती फैक्ट्री तथा मौके पर जमा भीड़।

जालोर और बाड़मेर जिले की सीमा पर हैं जिप्सम का खनन क्षेत्र


जालोर और बाड़मेर जिले की सरहद पर बसा झाखरडा गांव। इस गांव समेत आसपास के लंबे चौड़े क्षेत्र में दूर दूर तक जिप्सम की खाने हैं। जहां कुछ साल पहले तक सैंकड़ों लोगों को रोजगार मिला हुआ था साथ ही सरकार को भी करोड़ों रुपए की आय होती थी, लेकिन पिछले तीन साल से यह पूरा खनन क्षेत्र यहां पहुंच रहे नर्मदा नहर के ओवरफ्लो पानी में डूब गया है। loading... 
गुजरात से राजस्थान पहुंच रहे नर्मदा नदी के पानी का पूरा इस्तेमाल नहीं होने और आगे नहरी तंत्र विकसित नहीं होने के कारण नहर का पूरा ओवरफ्लो पानी इस क्षेत्र में छोड़ दिया जाता है। जिसके कारण कभी लाखों टन जिप्सम उगलने वाली यहां की धरती अब दलदल बन चुकी हैं। सरकार ने दस पंद्रह साल पहले यहां 336.18 हैक्टेयर जमीन जिप्सम के खनन के लिए आवंटित की थी। तीन साल पहले तक इस जमीन से 17 लाख टन जिप्सम निकाला गया, लेकिन पिछले तीन साल के दौरान पूरा खनन क्षेत्र नर्मदा नहर के ओवरफ्लो पानी में डूब गया। तब से यहां सारा काम ठप पड़ा हैं और लोग बेरोजगार हो गए हैं।

तीन साल में निकालना था आठ लाख टन : इस क्षेत्र में पिछले कई सालों से जिप्सम का खनन किया जा रहा था। जिप्सम मुख्य रूप से सीमेंट बनाने के काम आता है। तीन साल पहले तक विभाग ने यहां से 17 लाख टन जिप्सम निकाला।
बीते तीन साल में यहां से आठ लाख टन जिप्सम निकालने का लक्ष्य था। इसी बीच नर्मदा नहर में पानी शुरू हो गया और उसका ओवरफ्लो पानी प्रशासन ने इस क्षेत्र में डालना शुरू कर दिया। जिसके कारण धीरे धीरे खाने पानी में डूबती गई और पूरी जमीन दलदल जैसी बन गई। आज पूरा क्षेत्र पानी में डूबा हुआ है और खनन कार्य बंद हो गया है। खनन विभाग से जुड़े अधिकारियों की माने तो अब यहां से जिप्सम का खनन करना असंभव है क्योंकि पूरी जमीन दलदल जैसी बन गई है।

विद्युत श्रमिक महासंघ ने दिया धरना


विद्युत श्रमिक महासंघ ने दिया धरना




बालोतरात्न राजस्थान विद्युत श्रमिक महासंघ के 33 सूत्रीय मांग पत्र को लेकर संपूर्ण राजस्थान में सहायक अभियंता कार्यालय के बाहर भारतीय मजदूर संघ के संबंधित श्रमिकों ने गुरुवार को धरना दिया।धरने को संबोधित करते हुए श्रमिक संघ के प्रांतीय अध्यक्ष सोहनसिंह जेतमाल ने कहा कि राज्य सरकार श्रमिकों के साथ न्याय नहीं करना चाहती है। राजस्थान सरकार व ऊर्जा मंत्री को 5 नवम्बर 2011 को एक 33 सूत्रीय मांग पत्र दिया था। उस पर सरकार की ओर से कोई कार्रवाई नहीं करने के विरोध में 10 मई 2012 को उपखंड कार्यालय के बाहर श्रमिकों द्वारा धरना दिया गया। इसके उपरांत भी कार्रवाई नहीं होने पर 11 जून को वृत कार्यालय, 16 जुलाई को संभाग मुख्यालय व 21 अगस्त से अनिश्चितकालीन धरना मुख्यमंत्री निवास पर दिया जाएगा। अध्यक्ष गोरधनराम मूढ़ ने बताया कि इसके बाद सहायक अभियंता राजकुमार सोनी को सीएमडी के नाम ज्ञापन सौंपा गया।

सहायक अभियंता ने ज्ञापन को उच्चाधिकारियों तक पहुंचाने का आश्वासन दिया। धरणा स्थल पर बीएम पिथाणी, बाबूलाल सुखनानी, जोगाराम सुथार, सोहनसिंह बालावत, बिहारीलाल दवे, किशोर, बाबूलाल बोस, तगाराम चौधरी, मोहनसिंह पुरोहित, अशोक चारण, राजेश राव, किशनलाल शर्मा, चुन्नीलाल, पुखराज जोशी आदि श्रमिक धरने पर बैठे।

पचपदराभारतीय मजदूर संघ के संबंधित डिस्कॉम श्रमिक संघ का एक दिवसीय धरना गुरुवार को पचपदरा डिस्कॉम कार्यालय के आगे दिया गया। इस दौरान अध्यक्ष समन्वय समिति एवं प्रबंध निदेशक के नाम ज्ञापन भी सहायक अभियंता को सौंपा गया। धरने की अध्यक्षता पचपदरा के अध्यक्ष जेसाराम ढाका ने की। बाड़मेर जिला भारतीय मजदूर के कार्यकारी जिलाध्यक्ष भवानीशंकर गौड़ ने कहा कि राज्य सरकार की ओर से लंबे समय से श्रमिकों की वाजिब मांगों का निवारण नहीं किया गया है। इस अवसर पर डिस्कॉम श्रमिक संघ पचपदरा के कोषाध्यक्ष प्रहलादराम, अशोक कुमार, पवनकुमार, देवाराम, राणसिंह, नैनाराम, भंवरलाल, स्वरूपाराम प्रजापत, रतनलाल सहित कई कर्मचारी मौजूद थे।

जन सुनवाई व रात्रि चौपाल सिर्फ खानापूर्ति!


जन सुनवाई व रात्रि चौपाल सिर्फ खानापूर्ति!



जनसुनवाई के दौरान सामने आई समस्याओं का अब तक नहीं हुआ निपटारा

बालोतरा व सिवाना उपखंड क्षेत्र में जनप्रतिनिधियों की ओर से जनसुनवाई व प्रशासनिक अधिकारियों की ओर से गांवों में रात्रि चौपाल का नियमित आयोजन हो रहा है। राज्य सरकार ने जिस उद्देश्य से इन शिविरों का आयोजन शुरू किया है, उस पर गौर करें तो ये आयोजन मात्र खानापूर्ति नजर आते हैं। चाहे जनप्रतिनिधियों की ओर से ग्रामीणों को जन सुनवाई में दिए गए आश्वासन हों या रात्रि चौपालों में किए जाने वाले कमिटमेंट। उनमें से एकाध प्रकरण का ही समाधान हो पाता है। उदाहरण के तौर पर सिवाना में प्रभारी मंत्री दिलीप चौधरी, अनुसूचित जनजाति आयोग अध्यक्ष गोपाराम मेघवाल व कलेक्टर डॉ. वीणा प्रधान की ओर से 24 फरवरी को जनसुनवाई की गई। इस दौरान सैकड़ों ग्रामीणों ने समस्याएं सुनाईं, इन पर कई आश्वासन दिए गए, जो अब तक पूरे नहीं हुए।

मिठोड़ा निवासी विजाराम देवासी ने पेंशन के लिए एक नहीं दो बार आवेदन किए, लेकिन विजाराम को अब तक पेंशन स्वीकृत नहीं हुई। विजाराम का कहना है कि कलेक्टर की रात्रि चौपाल के दौरान मिठोड़ा में पेंशन के लिए अर्जी दी थी, जहां आश्वासन के बाद सिवाना में प्रभारी मंत्री की जन सुनवाई में फिर से आवेदन किया। मगर आज भी पेंशन से महरूम है।

कुसीप ग्राम पंचायत के राजस्व गांव हरमलपुरा के ग्रामीणों ने राजीव गांधी विद्युतीकरण योजना के तहत बिजली कनेक्शन देने की मांग की थी। पक्का आश्वासन मिला, लेकिन अब तक कुछ ही ग्रामीणों को बिजली कनेक्शन मिल पाए हैं।

इंद्राणा गावं के ग्रामीणों ने गांव में बढ़ रहे अतिक्रमण को रोकने एवं अतिक्रमियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी। इस पर सख्त हिदायतें दी गई, मगर आज तक कोई कार्रवाई नहीं हो पाई है।

गुड़ानाल के ग्रामीणों की ओर से जनसुनवाई में जीएसएस की चारदीवारी में अतिक्रमण होने की शिकायत की गई थी। ग्रामीणों ने जनसुनवाई में आरोप लगाया था कि कुछ लोग निजी स्वार्थ के लिए जीएसएस की चारदीवारी में कब्जा कर बैठे हैं। वहां पर चारदीवारी भी आधी-अधूरी पड़ी है। जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों ने जांच कर अतिक्रमण हैं तो तत्काल हटाने के निर्देश दिए, मगर आज भी स्थिति जस की तस है।
ऐसी लिस्ट हमको दो, हम काम करवा सकें

॥यदि ऐसे कोई केस हैं तो उनकी लिस्ट हमको दो, हम संबंधित अधिकारी को निर्देश देकर काम करवाएंगे।

डॉ. वीणा प्रधान, कलेक्टर, बाड़मेर






मीट द पर्सनेलिटी कार्यक्रम में बच्चों ने एसपी पर लगाई सवालों की झड़ी

'इतनी बारीकी से पूछताछ तो बोर्ड इंटरव्यू में भी नहीं हुई'


द मॉडर्न स्कूल में गुरुवार को आयोजित नाइट कैंप के दौरान 'मीट द पर्सनेलिटी कार्यक्रम' में बच्चों ने एसपी पर सवालों की झड़ी लगा दी। बच्चे तो जैसे पहले से तैयार होकर आए थे। ऐसे-ऐसे सवाल दागे की उन्हें कहना पड़ा कि इतनी बारीक छानबीन तो इंटरव्यू बोर्ड में भी नहीं हुई थी। कार्यक्रम में पहुंचे एसपी राहुल बारहट ने व्याख्यान की बजाए बच्चों को सवाल पूछने को कहा। फिर क्या था। बच्चों ने जब सवालों की शुरुआत की तो उनके जीवन के किसी पहलू को नहीं छोड़ा। बचपन, जवानी, पसंद, नापसंद खूबियों-खामियों, संघर्ष, आदर्श से लेकर उनकी मूंछ तक पर सवाल किए। बारहट ने बड़े सरल और असरदार अंदाज में बच्चों के प्रश्नों का जवाब देते हुए जीवन के संघर्ष उतार चढ़ाव और लक्ष्य बयान किए। उन्होंने कहा दिल में सच्चाई हो तो सब ठीक होता है। जिंदगी हर कदम पर कड़े इम्तिहान लेती है, अगर दृढ़ता के साथ डटे रहे तो कामयाबी मिलती है। बारहट ने बच्चों को बताया कि उनका पसंदीदा विषय गणित रहा और शौक संगीत तथा फोटोग्राफी का। कार्यक्रम में कवि कथाकार विनोद वि_ल ने भी विचार व्यक्त किए।

इससे पूर्व शिविर का आगाज ट्रेजर हंट के साथ हुआ। किस्सागोई के फनकार पत्ताराम ने बच्चों की कहानियां सुनाई तो वरिष्ठ कवि कन्हैयालाल वक्र ने कविताएं लिखने का हुनर सिखाया।चाहत भाटिया की बेकिंग ट्रेनिंग में बच्चों ने चॉकलेट केक बनाना सीखा। अर्पिता, पुष्पा, रेणु और शिखा के निर्देशन में बच्चों ने कैटवाक किया। रणछोड़ चौधरी के निर्देशन में बच्चों ने ट्रेकिंग करते हुए हिलटॉप तक का सफर तय किया।टचवुड डांस एकेडमी की ओर से डांस शो में बच्चों ने जमकर लुत्फ उठाया। जलजीरा, छाछ, इमली और कैरी शरबत के साथ शिकंजी के जायका के साथ बच्चों ने गर्मी पर काबू पाने के देशी तरीके सीखे।

स्कूल प्रधानाध्यापिका नवनीत पचौरी ने बताया कि आयोजन का मकसद बच्चों के व्यक्तित्व को नया आयाम देना था। मंजू जैन, जॉर्जिना डेविड, निर्मला सिंह, बबिता आचार्य, हेमलता शर्मा ने बच्चों को विभिन्न गतिविधियों से संयोजित किया।





शुरू हुई निजी टैंकरों से पानी की सप्लाई


शुरू हुई निजी टैंकरों से पानी की सप्लाई

बाड़मेर.प्रशासन की पाबंदी से खफा टैंकर संचालकों के सप्लाई बहिष्कार से शहर में जलापूर्ति लडखड़़ा ने के बाद गुरुवार को टैंकर संचालकों के प्रतिनिधि मंडल की प्रशासन के साथ वार्ता सफल रही। बैठक में टैंकरों का रूट तय करने के साथ समय सीमा भी निर्धारित कर दी गई। भविष्य में यदि कोई हादसा होता है तो उसके लिए टैंकर संचालक की ओर से मुआवजा देने का निर्णय लिया गया। कलेक्टर की मौजूदगी में आम सहमति के बाद टैंकर संचालकों ने शहर में जलापूर्ति शुरू कर दी।

यह हुआ तय

अब टैंकरों का संचालन दिन में दोपहर 12.30 बजे से सांय 5 बजे तक होगा। इसके बाद रात्रि 9 बजे से सुबह 7 बजे तक टैंकरों से जलापूर्ति जारी रहेगी। टैंकरों का रूट भी तय किया गया।

गेहूं रोड से टैंकर शहर में घुसने की बजाय बाइपास सड़कों से होते हुए निकलेंगे। शहर में प्रवेश पर प्रतिबंध रहेगा। इस दौरान टैंकर से सड़क हादसा होने पर संचालक की ओर से 20 हजार रुपए का मुआवजा भी दिया जाएगा।

यह है पानी के टैंकरों का गणित

शहर के गेहूं रोड पर करीब 15 ट्यूबवेल हैं जिनसे शहरी लोगों को पीने का मीठा पानी मुहैया होता है। करीब दो सौ पानी के टैंकर शहर की सड़कों पर दौड़ते हैं। इनमें से औसत मानें तो एक टैंकर दिन में पांच राउंड करता है। यानी एक हजार पानी की ट्रिप शहरी आबादी की प्यास बुझाता है। अनुमानित आंकड़े बताते है कि करीब 40 लाख लीटर पानी हर रोज टेंकर्स से सप्लाई हो रहा है।

बंद है डिस्कॉम का कॉल सेंटर


बंद है डिस्कॉम का कॉल सेंटर
कॉल सेंटर बंद हुए कई दिन बीते लेकिन उपभोक्ताओं को नहीं जानकारी


जैसलमेर  जिले की बिजली संबंधी समस्याओं के निस्तारण के लिए डिस्कॉम की ओर से स्थापित किया गया कॉल सेंटर गत दस दिन से बंद है। डिस्कॉम तथा कॉल सेंटर चलाने वाली कंपनी के मध्य करार खत्म होने के कारण कॉल सेंटर बंद है। इस संबंध में शहर के उपभोक्ताओं को कोई जानकारी नहीं है। शहरवासी बिजली संबंधी समस्याओं के निराकरण के लिए कॉल सेंटर पर फोन लगाते है लेकिन वहां से कोई जवाब नहीं मिल रहा है। मजबूरन उपभोक्ताओं को डिस्कॉम कार्यालय के चक्कर लगाने पड़ते है।

बंद हुए बीते दस दिन

30 अप्रेल से डिस्कॉम का कॉल सेंटर बंद पड़ा है। लेकिन डिस्कॉम के जिम्मेदारों ने इस संबंध में एक बार भी शहरवासियों को अवगत नहीं करवाया है। शहरवासी अपनी शिकायत लिखवाने कॉल सेंटर 250092 पर फोन करते है लेकिन वहां से कोई जवाब नहीं मिल रहा है।

लगाने पड़ते है चक्कर

उपभोक्ताओं ने बताया कि कॉल सेंटर बंद हुए दस दिन से ज्यादा समय बीत गया है डिस्कॉम की ओर से इस संबंध में अवगत नहीं करवाया गया। मुकेश कुमार ने बताया कि बिजली की सप्लाई में आए व्यवधान को दूर करने के लिए कॉल सेंटर पर फोन तो किया लेकिन वह फोन खराब था। उसके बाद डिस्कॉम कार्यालय जाकर कंप्लेंट लिखवाई तब जाकर आपूर्ति सुचारु हो पाई।

थार की धार जैसलमेर आज के समाचार।. 11 मई, 2012


16 सफाई कर्मियों को थमाए नोटिस

नवनियुक्त आयुक्त ने शहर की सफाई व्यवस्था का जायजा लिया

जैसलमेर नगरपरिषद के आयुक्त रामकिशोर माहेश्वरी ने गुरुवार को अल सवेरे शहर की सफाई व्यवस्था का जायजा लिया। निरीक्षण के दौरान 16 सफाई कर्मी अनुपस्थित पाए गए जिस पर उन्होंने संबंधित सफाई कर्मी एवं जमादार को नोटिस जारी किए। उन्होंने बताया कि गुरुवार अलसेवेरे हनुमान चौराहा, पुराना बस स्टैंड, इंदिरा नगर, गांधी नगर, पटवा हवेली, दुर्ग, गड़सीसर चौराहा, अचलवंशी कॉलोनी आदि क्षेत्रों का निरीक्षण किया गया। इस दौरान जहां कही भी सफाई कर्मी अनुपस्थित थे उनकी अनुपस्थिति दर्ज कर नोटिस जारी किए गए है। साथ ही उन्होंने सफाई निरीक्षकों, जमादारों व सफाई कर्मियों को सफाई व्यवस्था में तीन दिनों में सुधार करने की हिदायत भी दी।

कंपनी मैनेजर के साथ मारपीट, मामला दर्ज

रामगढ़ लाइम स्टोन के खनन कार्य में लगी कम्पनी जे.सी.सी. के मैनेजर के साथ कुछ लोगों ने मारपीट कर चोटें पहुंचाई। इस संबंध में मैनेजर भूपेन्द्र कुमार जांगिड़ ने पुलिस थाना में दर्ज रिपोर्ट में बताया कि बुधवार को शाम करीब पांच बजे चन्दनसिंह, भूर सिंह, जोरावरसिंह व अन्य ने ऑफिस स में घुसकर मारपीट की। चन्दनसिंह द्वारा पूर्व में अवैध कंकरीट नहीं भरवाने पर जेसीसी के कर्मचारी के साथ मारपीट की गई थी। पुलिस ने मामला दर्ज कर दोनों मामलों की अलग अलग जांच शुरू कर दी है तथा आरोपियों की तलाश की जा रही है।


ट्रेन से कटने पर व्यक्ति की मौत

आधे घंटे तक रुकी रही इंटरसिटी

पोकरण शहर के ओढाणियां से सेलवी फांटा के बीच ट्रेन की चपेट में आने से एक व्यक्ति की मौत हो गई। इस घटना के कारण लगभग आधा घंटा तक ट्रेन रुकी रही।

पुलिस से प्राप्त जानकारी के अनुसार ओढाणियां से सेलवी फांटा के बीच गुरुवार शाम 7 बजे ट्रेन की चपेट में आने से 55वर्षीय एक व्यक्ति की मौत हो गई। पुलिस ने बताया कि मानसिक रूप से विक्षिप्त यह व्यक्ति पटरी के पास चल रहा था। तभी पीछे से आ रही ट्रेन की चपेट में आने से उसकी मौत हो गई। मृतक के पास से किसी प्रकार का कोई पहचान पत्र नहीं प्राप्त हुआ है। मृतक की शिनाख्त नहीं हुई है।

आधा घंटा रुकी रही इंटरसिटी

ओढाणियां से सेलवी फांटा के बीच इंटरसिटी की चपेट में आने से व्यक्ति की मौत हो गई। घटना के कारण इंटरसिटी करीब आधे घंटे तक सेलवी फांटे पर खड़ी रही। वहीं ट्रेन में बैठे गार्ड युवक की लाश को निकालने की मशक्कत करते हुए दिखाई दिए। आधा घंटा तक रुकी ट्रेन के कारण यात्रियों को तकलीफों का सामना करना पड़ा। गार्ड द्वारा युवक की लाश को निकालने के बाद ट्रेन पोकरण पहुंची। जहां गार्ड ने लाश को पुलिस को सुपुर्द कर दिया।

बम फटने के कारण एक युवक की मौके पर ही मौत

पोकरण शहर से पांच किलोमीटर दूर काहला गांव के पास स्थित फील्ड फायरिंग रेंज में स्क्रेप चुनते समय बम फटने के कारण एक युवक की मौके पर ही मौत हो गई तथा एक अन्य गंभीर रूप से घायल हो गया। लाठी चौकी प्रभारी मेघसिंह सनावड़ा ने बताया कि गुरुवार को सुबह फील्ड फायरिंग रेंज में बनवारी (25) पुत्र सुखराम भोपा निवासी किशनगढ़ बीकानेर हाल निवासी काहला तथा सुरेश (24) पुत्र गोरधनराम नायक निवासी बीकानेर स्क्रेप चुनने गए थे। तभी स्क्रेप चुनने के दौरान धमाका होने से बनवारी भोपा की घटना स्थल पर ही मौत हो गई तथा सुरेश गंभीर रूप से घायल हो गया। घायल को पोकरण अस्पताल लाया गया जहां से चिकित्सकों ने उसे जोधपुर रेफर किया। वहीं पुलिस ने मृग दर्ज कर शव परिजनों को सौंप दिया।

तहसीलदार ने 14 साल के बालक को दी ३ माह की सजा


तहसीलदार ने 14 साल के बालक को दी ३ माह की सजा

सवाई माधोपुरत्न सवाई माधोपुर के तहसीलदार ने सरकारी जमीन पर खेती करने के आरोप में 14 साल के बालक को तीन माह के सिविल कारावास की सजा सुनाई है। बालक की गिरफ्तारी के लिए पुलिस से वारंट भी जारी करा दिए गए हैं। तहसीलदार महेशचंद शर्मा ने संबंधित पटवारी तथा रिकॉर्ड का अवलोकन करने के बाद यह आदेश जारी किए। बालक असलम पर लगान के 182 रु. का अर्थदंड भी किया गया है। पटवारी को आदेश दिए गए हैं कि वह असलम को भूमि से बेदखल करे तथा जुर्माना वसूले।

पटवारी की रिपोर्ट पर सुनाई है सजा : नायब तहसीलदार

नायब तहसीलदार रूप सिंह ने कहा कि पटवारी की रिपोर्ट पर तहसीलदार सजा सुनाते हैं। पटवारी ने जो रिपोर्ट पेश की है, उसी के आधार पर तहसीलदार ने यह सजा सुनाई होगी। पटवारी की रिपोर्ट पर ही आगे पत्रावलियां चलती हैं, लेकिन उसमें आरोपी की आयु नहीं होने के कारण ऐसा हुआ होगा। जब नायब तहसीलदार से पूछा गया कि आदेश में तहसीलदार ने अतिचारी को सामने उपस्थित होने के बारे में भी लिखा है तो इस पर नायब तहसीलदार ने पटवारी की गलती बताई।

किशोर न्यायालय ही दे सकता है सजा

एडवोकेट महेंद्र वर्मा का इस संबंध में कहना है कि असलम नाबालिग है। नाबालिग को सजा सुनाने का अधिकार किशोर न्यायालय बोर्ड को ही होता है। असलम की वर्ष 2011-12 की कक्षा सातवीं की अंकतालिका में जन्मतिथि 15 जुलाई, 1998 है। तहसीलदार को बालक की मां को सजा देनी चाहिए थी। निर्णय में यह अंकित है कि तहसीलदार के सामने अतिचारी उपस्थित हुआ था, फिर बालक को देखने के बाद भी तहसीलदार ने किस आधार पर और कौन से कानून के तहत सजा सुनाई।

गुगरवाल बाड़मेर ,उज्जवल जैसलमेर की सी ई ओ

गुगरवाल बाड़मेर ,उज्जवल जैसलमेर की सी ई ओ 


39 आरएएस अफसर बदले

जयपुर राज्य सरकार ने गुरुवार की देर रात को आदेश जारी 39 आरएएस अफसरों के तबादले किए हैं। सीकर के एडीएम वासुदेव शर्मा का शेखावाटी विश्वविद्यालय के विशेषाधिकारी के पद पर किया गया तबादला निरस्त कर दिया गया है। अब वे अपने पद के साथ-साथ शेखावाटी विश्वविद्यालय के विशेषाधिकारी के पद का अतिरिक्त कार्यभार संभालेंगे। इसी प्रकार अलवर में एडीएम नारायण सिंह अपने पद के साथ-साथ मत्स्य विश्वविद्यालय के विशेषाधिकारी ते पद का अतिरिक्त कार्यभार संभालेंगे।

नाम वर्तमान पद नवीन पद

मोहन दान रत्नू एसीएम, नदबई एसडीओ, नोखा

निसार खान एसडीओ, नोखा एसडीओ,शेरगढ़

धनसिंह राठौड़ एसडीओ, शेरगढ़ एसीएम(मु.) गंगापुर सिटी

सुनीता चौधरी एसडीओ, जैतारण एसडीओ, जायल

भागीरथ सिंह मीणा एसडीओ, जायल एसडीओ, मेड़ता

सुरेंद्र कुमार जाट एसडीओ, मेड़ता डीडी, आई जीपीआरएस, जयपुर

अंबिका दत्त एसडीओ, सांगोद एसीईओ, जि.प., कोटा

कमल राम मीणा एसीईओ, जि.प., कोटा सीईओ, जि.प., अलवर

सत्य प्रकाश सीईओ, जिप, अलवर रजिस्ट्रार, राज संस्कृत विवि, जयपुर

धीरज मल एसडीओ, सायला एसीईओ, जि.प., प्रतापगढ़

गजेंद्र सिंह राठौड़ एसीईओ, जिप, प्रतापगढ़ एडीएम, (भू.रू.), अजमेर

हनुमान सिंह द्वितीय जीएम. स्पिनिंग मिल्स हनुमानगढ़ सीईओ, जि.प., श्रीगंगानगर

बलदेव उज्जवल सीईओ, जि.प., श्रीगंगानगर सीईओ, जि.प. जैसलमेर

हीरालाल कुमावत सीईओ, जि.प., प्रतापगढ़ सीईओ, जि.प., डूंगरपुर

हेमसिंह चौहान सीईओ, जि.प., डूंगरपुर डीएसओ, प्रतापगढ़

जगदीश चंद देसाई एपीओ सीईओ, जि.प., प्रतापगढ़

पी.आर. पंडत भू-प्रबंध अधिकारी, सीईओ, जि.प., जालौर

भरतपुर

भैरूलाल वर्मा सीईओ, जि.प., जालौर सीईओ, जि.प., भरतपुर

कन्हैया लाल डीईओ, उदयपुर सीईओ, जि.प., सीकर

लालाराम गुगरवाल सीईओ, जि.प.सीकर सीईओ, जि.प., बाड़मेर

छगनलाल श्रीमाली सीईओ, जि.प., बाड़मेर राजस्व अपील अधिकारी, पाली

कैलाश बैरवा एपीओ अति.निदेशक आईईसी

एनआरएचएम, जयपुर

सुरेंद्र कुमार सोलंकी अति. निदेशक आईईसी अति. आयुक्त, खाद्य, नागरिक

एनआरएचएम, जयपुर आपूर्ति विभाग, जयपुर

जगवीर सिंह सचिव यूआईटी, सीईओ, जि.प. चित्तौडग़ढ़

माउंट आबू

बद्रीलाल स्वर्णकार सीईओ, जि.प., चित्तौड़ एडी, एचसीएम, रीपा, उदयपुर

अनिल कुमार जैन ओएसडी, बृज विवि एडीएम सिटी, भरतपुर

भरतपुर

लक्ष्मीनारायण मीणा एडीएम सिटी, भरतपुर डीडी, महिला एवं बाल विकास, बारां

सलविंद्र सिंह सोहता डीएस, उच्च शिक्षा जयपुर अति.आयुक्त पंचायतीराज

बी.एल. कंदोई अति.आयुक्त पंचायतीराज डीएस, उच्च शिक्षा

श्याम सिंह राजपुरोहित निदेशक राजस्थान प्राच्य सीईओ, जिला परिषद, पाली

विद्या संस्थान, जोधपुर

ताज मोहम्मद राठौड एसडीओ, घड़साना एसीईओ, जिला परिषद, बीकानेर

महावीर सिंह एसडीओ, कामां एसीईओ, जिला परिषद, जयपुर

राणीदान बारेठ एसडीओ, गढी (बांसवाड़ा) एसीईओ, जिला परिषद, टोंक

अनिल कुमार वाष्र्णेय ओएसडी मत्स्य विवि, अलवर एडीएम, भरतपुर

मुकेश नागर एडीएम (सीलिंग) सीईओ, जिला परिषद धौलपुर

न्यायालय, बूंदी

दलवीर सिंह ढढ्ढ़ा एसडीओ, फलौदी एसीईओ, जिला परिषद, जालौर

ओम प्रकाश प्रथम अतिरिक्त संभागीय आयुक्त सीईओ, जिला परिषद बीकानेर

बीकानेर

भोज कुमार एसडीओ, बड़ी सादड़ी डीपीओ, टी एडी, उदयपुर

भगवत सिंह देवल एपीओ एसीईओ, जिला परिषद, अलवर

गुरुवार, 10 मई 2012

पोखरण-दो परमाणु परीक्षण था सफल

पोखरण-दो परमाणु परीक्षण पर उठे विवाद पर विराम लगाने की कोशिश के तहत पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम ने कहा कि परीक्षण पूरी तरह से सफल थे और इससे वांछित परिणाम मिले। 
कलाम ने कहा कि परीक्षण के बाद दो प्रयोगात्मक परिणामों (मौके और इसके आसपास भूकंपीय मापन तथा परीक्षण स्थल पर परीक्षण के बाद रेडियोधर्मिता के मापन) के आधार पर विस्तृत समीक्षा की गई।

डीआरडीओ के तत्कालीन महानिदेशक रहे कलाम ने कहा कि इन आँकड़ों से परियोजना दल इस निष्कर्ष पर पहुँचा कि तापीय परमाणु परीक्षण के वांछित डिजाइन लक्ष्य को प्राप्त कर लिया गया है।
 
भारत ने मई 11 और मई 13, 1998 को राजस्थान के पोरखरण परमाणु स्थल पर पाँच परमाणु परीक्षण किए थे, जिनमें 45 किलोटन का एक तापीय परमाणु उपकरण शामिल था, जिसे आमतौर पर हाइड्रोजन बम के नाम से जाना जाता है।

मई 11 को हुए परमाणु परीक्षण में 15 किलोटन का विखंडन उपकरण और 0.2 किलोटन का सहायक उपकरण शामिल था। इसी प्रकार 13 मई 1998 को भी 0.5 किलोटन और 0.3 किलोटन के उपकरण का परीक्षण किया था।

तत्कालीन रक्षा मंत्री के वैज्ञानिक सलाहकार कलाम के अलावा उस समय परमाणु ऊर्जा आयोग के अध्यक्ष आर चिदंबरम और भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र के निदेशक रहे अनिल काकोड़कर ने पोखरण-दो परमाणु परीक्षण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।