गुरुवार, 1 दिसंबर 2011

banke bihari tere naina kajrare.............

कलक्टर ने सुनाई खरी-खरी

कलक्टर ने सुनाई खरी-खरी

बालोतरा। अधिकारी आमजन के साथ अच्छा व्यवहार करें।संवेदनशीलता का परिचय देते हुए तत्परता से कार्य करें।जिला कलक्टर डॉ.वीणा प्रधान ने बुधवार को उपखंड सभागार में नगर पार्षदों व अधिकारियों की आयोजित बैठक को संबोधित करते हुए यह बात कही। बैठक में पाष्ाüदों ने नगर की विभिन्न जनसमस्याओं पर कड़ा विरोध जताते हुए नगरपालिका के अधिकारियों पर कमीशन वसूलने का आरोप लगाया। बैठक की शुरूआत में पार्षद मांगीलाल सांखला ने कहा कि नगर की सफाई व्यवस्था चरमरा गई है। आमजन परेशान है। अधिकारी मोनिटरिंग नहीं करते है। उन्होंने प्रथम फाटक पर ओवरब्रिज बनाने व मिस्त्री मार्केट के लिए अलग स्थान आवंटित करने की मांग रखी।

उन्होंने नगरपालिका के कार्यो का भौतिक सत्यापन करवाने की बात कहते हुए अधिकारियों पर आरोप लगाया कि वे निर्माण कार्यो में कमीशन वसूलते है। नगरपालिका प्रतिपक्ष नेता रतन खत्री ने कहा कि नगर की सीवरेज व्यवस्था की हालत खराब है। वहीं पाईप लाईनों के जगह-जगह के लीकेज होने से आमजन परेशान है।

पाष्ाüद नरसिंग प्रजापत ने कहा कि शहर में सरकारी भूमि पर अतिक्रमण हो रहे है। इसे लेकर नगरपालिका गम्भीर नहीं है। पाष्ाüद चन्द्रा बालड़ ने अनियमित जलापूर्ति का जिक्र करते हुए कहा कि लाईन मैन अपनी मनमर्जी से वाल खोलते है। पार्षद नरसिंग प्रजापत व रतन खत्री ने जलदाय विभाग के कनिष्ठ अभियंता की शिकायतकर्ता को फटकार लगाने की आदत का जिक्र करते हुए जमकर खिंचाई की।

उन्होंने नगर में बदहाल पेयजल व्यवस्था के लिए अधिकारियों को जिम्मेदार ठहराया। मानवेन्द्रसिंह ने अस्पताल की व्यवस्थाओं का जिक्र करते हुए नि:शुल्क दवाइयों की दुकानें समय पर नहीं खुलती है। पार्षद दुर्गादेवी सोनी ने कहा कि रात में कम दबाव से की जाने वाली जलापूर्ति से आमजन को परेशानियों का सामना करना पड़ता है। पेयजल समस्या को लेकर उभरे आक्रोश पर जिला कलक्टर ने जलदाय विभाग के कनिष्ठ अभियंता सुरेशचन्द्र को फटकार लगाते हुए कहा कि अच्छे कर्मो से नौकरी मिली है।

नौकरी लगते ही सिर पर चढ़ गए हों। सभी पार्षदों के आक्रोश से लगता है कि आम जन के प्रति आपका व्यवहार सही नहीं है। आप सीधे मुंह बात नहीं करते हो। रवैया सुधार लो नहीं तो दिक्कत खड़ी हो जाएगी। दफ्तर की व्यवस्था सुधारे वहीं वातावरण को सुन्दर बनाएं। सरकारी भूमि पर अतिक्रमणों के मामलों में उन्होंने अधिशाषी अधिकारी को सख्त हिदायत दी। वहीं बेहतर यातायात व्यवस्था के लिए बाजार की दुकानों के आगे अतिक्रमण कर रखे सामान को जब्त करने की चेतावनी दी।

विधायक मदन प्रजापत ने नगरपालिका के अधिशाषी अधिकारी से कहा कि फ्लड चैनल का निर्माण नहीं होने तक इसके नजदीक में कोई निर्माण नहीं होने दे। उन्होंने एमबीआर राजकीय महाविद्यालय के आगे भूमि अवाप्ति से पूर्व बनी ईमारत को हटाने व बालोतरा में शीघ्र ही जिला परिवहन कार्यालय खुलने की संभावना जताई। वहीं इसी वर्ष ओवरब्रिज निर्माण शुरू होने की बात कही। बैठक में उपखण्ड अधिकारी ओ.पी. विश्नोई सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद थे।

ट्रैफिक कंट्रोल करने को लेकर दिए सुझाव


ट्रैफिक कंट्रोल करने को लेकर दिए सुझाव
सीएलजी की बैठक

बाड़मेर शहर में क्राइम और ट्रैफिक व्यवस्थाओं को लेकर बुधवार सुबह साढ़े ग्यारह बजे कोतवाली परिसर में सीएलजी की बैठक डीएसपी नाजिम अली की उपस्थिति में हुई। बैठक में बढ़ते ट्रैफिक को कंट्रोल करने, पार्किंग स्टैंड के लिए जगह तलाशने सहित शहर की विभिन्न समस्याओं पर विचार-विमर्श किया गया। सदस्यों ने आवारा पशुओं को पकडऩे, बिना नंबर के वाहनों की धरपकड़, नाबालिग होने पर भी वाहन चलाने के खिलाफ कार्रवाई का सुझाव रखा। वहीं ऑपरेशन रोमियो के तहत स्कूलों में शिकायत बॉक्स लगाने, टैंपो की बढ़ती संख्या को देखते हुए रूट तय करने, प्रदूषण को रोकने के लिए समय पर वाहनों की चैकिंग करने पर विचार-विमर्श किया गया। कोतवाल लूणसिंह ने किसान बोर्डिंग के सामने रेलवे फाटक पर ट्रैफिक दबाव को देखते हुए अतिरिक्त ट्रैफिककर्मी लगाने का सुझाव दिया। पार्किंग की समस्या को लेकर सदस्यों ने पालिका बाजार के अंडरग्राउंड और गांधी चौक पर खाली स्थानों पर पार्किंग स्टैंड बनाने की मांग की।

संदिग्धावस्था में घूमते दो गिरफ्तार, चोरी कबूली


संदिग्धावस्था में घूमते दो गिरफ्तार, चोरी कबूली

गुड़ामालानी थानांतर्गत पुलिस ने रात्रि गश्त के दौरान दो युवकों को संदिग्धावस्था में घूमते पकड़ा। पूछताछ में दोनों ने चोरियां करना कबूला है।थानाधिकारी ताराराम बैरवा ने बताया कि रात्रि गश्त के दौरान एएसआई राजूसिंह मय जाब्ता जैन मोहल्ला में संदिग्धावस्था में घूमते दो व्यक्तियों से पूछताछ की। दोनों व्यक्तियों नरपतराज पुत्र सुखदेव पुरोहित उम्र 26 वर्ष निवासी रेवतड़ा, जिला जालोर व घेवरचंद पुत्र खुमाराम सारहण विश्नोई उम्र 30 वर्ष निवासी हेमागुड़ा झांव जिला जालोर ने पूछताछ के दौरान अपनी अल्टो कार नं आरजे 16 सीए 1928 खराब होने की बात कही तथा पता पूछने पर बहाने बाजी करने लगे। पुलिस की ओर से सख्ती से पूछताछ करने पर उन्होंने कृष्ण कुमार पुत्र मूलाराम सोनी की मुख्य बाजार में स्थित सोने-चांदी की दुकान से चोरी की वारदात को अंजाम देना स्वीकार किया। कृष्ण कुमार की रिपोर्ट के आधार पर पुलिस आरोपियों से पूछताछ कर रही है। पुलिस को दोनों आरोपियों से और भी चोरियों का राज खुलने की उम्मीद है।

हर चुनौती से निपटने को तैयार बॉर्डर के जवान


हर चुनौती से निपटने को तैयार बॉर्डर के जवान



बाड़मेर  आधुनिक हथियारों से लैस बीएसएफ के जवानों को सीमा की रक्षा के लिए हर चुनौती स्वीकार है। ये कहना है बीएसएफ के डीआईजी माधुसिंह चौहान का। उन्होंने गुरुवार को बीएसएफ के 46वें स्थापना दिवस पर जवानों को शुभकामनाएं देते हुए बताया कि भारतीय संविधान के मूल्यों को सर्वोपरि मानते हुए राष्ट्र की एकता और अखंडता को बनाए रखने में हर स्तर पर सीमा सुरक्षा बल महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। स्थापना दिवस की पूर्व संध्या पर उन्होंने  विशेष बातचीत में बताया कि बीएसएफ की स्थापना एक दिसंबर 1965 को हुई थी। उन्होंने बताया कि बीएसएफ विश्व का सबसे बड़ा अद्र्धसैनिक बल है और इसे भारत सरकार की ओर से समय-समय पर अनेक महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां दी जाती रही है। जवानों ने आंतरिक सुरक्षा सहित आतंकियों और नक्सलियों से डटकर सामना करते हुए देश की सुरक्षा की जिम्मेदारी बखूबी निभाई है। उन्होंने बताया कि बीएसएफ के सराहनीय कार्यों को देखते हुए बल को अत्याधुनिक हथियार, संचार व्यवस्था, वाहन और निगरानी के उपकरण, हवाई जहाज, अत्याधुनिक नौकाएं, तोपखाने, ऊंट और अश्व दस्ते से सुसज्जित किया गया है। बीएसएफ देश की सुरक्षा के लिए खतरा बनने वाली किसी भी चुनौती को निष्क्रिय करने के लिए सदैव तत्पर है। उन्होंने स्थापना दिवस पर संकल्प लेते हुए देशवासियों को आश्वस्त किया कि बीएसएफ के होते हुए देश की सीमाएं सदैव सुरक्षित रहेगी।

गौरवशाली रही इनकी सेवाएं: स्थापना दिवस पर विशेष बातचीत में जिले के सेतराऊ निवासी रिटायर्ड कमांडेंट कल्याणसिंह ने बताया कि उन्होंने बीएसएफ के विकास को देखा है। उन्होंने 1967 में बीएसएफ ज्वॉइन की। वे बताते है कि उनके ज्वॉइन करने के समय बीएसएफ की 27-28 बटालियन थी, लेकिन अब 100 बटालियन हो गई है। अपनी साढ़े सैंतीस साल की नौकरी में उन्होंने बांग्लादेश की आजादी की लड़ाई लड़ी। वे 1971 में बांग्लादेश में तैनात रहे और 14 दिन तक चली जंग में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। उन्होंने बताया कि बीएसएफ में अनुशासन, प्रशिक्षण, काम और सीमा पर चौकसी उनमें हमेशा एक नया जोश भर देती थी। यही जोश उन्हें हमेशा आगे रखता था।

दुनिया भर में अनूठे हैं गजेटेड़ हनुमानजी....

दुनिया भर में अनूठे हैं गजेटेड़ हनुमानजी....

 - डॉ. दीपक आचार्य
अब तक आपने सरकारी तंत्र में अफसरों की गजेटेड़ या नॉन गजेटेड़ (राजपत्रित अथवा अराजपत्रित) किस्मों के बारे में सुना होगा। मगर अब ऐसे हनुमानजी महाराज का पता चला है जो ‘गजेटेड़’ हैं। जैसलमेर जिला मुख्यालय पर स्थित मन्दिर में विराजित बजरंग बली ‘गजेटेड़ हनुमान’ के नाम से जाने और पूजे जाते हैं। जन-जन में इनके प्रति अगाध आस्था और श्रृद्धा भाव हिलोरें लेता है। पूरी दुनिया में यह अपनी तरह के अन्यतम हनुमान हैं। राजस्थान के ठेठ पश्चिम में मरुस्थलीय जैसलमेर जिले में गजेटेट हनुमान जी का मन्दिर भक्तों की आस्था का बड़ा भारी केन्द्र है। यह मंदिर जैसलमेर शहर में मुख्य डाकघर के सामने पुराने बिजली घर स्थित जोधपुर विद्युत वितरण निगम कार्यालय परिसर में है जहाँ हनुमान भक्तों की भीड़ लगी रहती है। सदियों पुरानी है हनुमान प्रतिमा निज मन्दिर में गजेटेड़ हनुमानजी की पाँच फीट की भव्य मूर्ति सदियांे पुरानी बतायी जाती है। जिस स्थान पर मन्दिर बना है वहाँ पहले घना जंगल था जहाँ इस प्राचीन मूर्ति की तपस्वियों और सिद्ध संतों द्वारा एकान्त सेवन के साथ ही पूजा-अर्चना की जाती रही। शहर का विस्तार होने से हनुमान भक्तों का ध्यान इस ओर गया। बाद में मन्दिर बनाया गया जो अब लगातार विस्तार पाता जा रहा है। मन्दिर के गर्भगृह में भगवान श्री हनुमानजी के सम्मुख पिछले ढाई दशक से अखण्ड दीपक जल रहा है। निज मन्दिर के द्वार के समीप गोवर्द्धन(शिलालेख स्तंभ) है जिससे इस क्षेत्र की प्राचीनता का बोध होता है। हिन्दुस्तान का यह पहला हनुमान मंदिर है जिसमें बिराजित हनुमान जी महाराज गजेटेड़ यानि राजपत्रित हैं। हनुमान भक्तों की गजेटेड़ हनुमान पर अटूट आस्था है। भक्तों का मानना है कि हनुमानजी हर किसी की मुराद जरूर पूरी करते हैं। चूंकि बिजली विभाग के परिसर में हैं अतः इन हनुमानजी को भक्तगण ‘करंट बालाजी’ के नाम से भी पुकारते हैं। इन भक्तों की पक्की मान्यता है कि जो भी भक्त हनुमान दादा के दरबार में आ जाता है, हनुमानजी उनकी सारी मनोकामनाएं करंट की मानिंद पूर्ण करते हैं। सरकारी नुमाइन्दों ने बनाया गजेटेड़ हनुमानजी को गजेटेड़ क्यों कहा जाता है और वे गजेटेड़ कब बने, इसका कोई धार्मिक या शास्त्रीय प्रमाण तो नहीं मिलता लेकिन माना जाता है कि ज्यादातर सरकारी लोगों की आवाजाही तथा चमत्कारिक प्रतिमा की वजह से उन्हें यह नाम मिला। गजेटेड़ होने की वजह से ख़ासकर राज-काज से जुड़े कामों में हनुमान जी विशेष मदद करते हैं। यही कारण है कि यहाँ आने वाले हनुमान भक्तों में सरकारी सेवाओं में जुड़े अधिकारियों और कर्मचारियों की संख्या भी खूब रहती है।
 : - डॉ. दीपक आचार्य

बुधवार, 30 नवंबर 2011

78 पैसे प्रति लीटर सस्ता हुआ पेट्रोल

78 पैसे प्रति लीटर सस्ता हुआ पेट्रोल

नई दिल्ली । अन्तरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल कीमतों में नरमी के चलते तेल कंपनियों ने पेट्रोल के दाम 78 पैसे प्रति लीटर घटा दिए हैं। पेट्रोल की घटी कीमतें बुधवार की आधी रात से लागू होंगे।

उल्लेखनीय है कि महंगाई की मार झेल रही आम जनता को पेट्रोल की कीमतों में गिरावट से इसी महीने यह दूसरी राहत मिली है। इससे पूर्व 16 नवम्बर को पेट्रोल कंपनियों ने 2.22 रूपए प्रति लीटर के दाम घटाए थे।

तेल कंपनियों ने पेट्रोल की कीमतों में कटौती का यह फैसला पेट्रोल कीमतों की समीक्षा के बाद किया। नवंबर के दूसरे पखवाड़े में विश्व बाजार में कच्चे तेल के दाम औसतन 107 डॉलर प्रति बैरल रहे, जो पहले पखवाड़े में 115.85 डॉलर प्रति बैरल थे। कमजोर होते रूपए ने गिरावट का असर काफी हद तक कम कर दिया।

कर्ज चुकाने के लिए नंगे हो गए पति-पत्नी!

बीजिंग। चीन में कर्ज में डूबा एक परिवार अस्पताल में अपने बच्चे का बिल चुकाने में लोगों से मदद मांगने के लिए सड़कों पर बिना कपड़ों के ही निकल पड़ा। चीन में समाचारपत्र 'ग्लोबल टाइम्स' के मंगलवार संस्करण के मुताबिक यह घटना गुआंदोंग प्रांत के दियानबाई जिले की है।
स्थानीय सार्वजनिक सुरक्षा ब्यूरो के मुताबिक अपना उपनाम झांग बताने वाला दम्पत्ति दियानबाई जिले से तीन महीने पहले जहाज कबाड़ में काम करने के लिए हेनान प्रांत से आया था।

कुछ सप्ताह पहले उन्होंने अपने दो माह के बच्चे को 'दियानबाई मातृत्व एवं शिशु स्वास्थ्य अस्पताल' में इलाज के लिए भर्ती कराया। लेकिन पिछले शनिवार को उनको पता चला कि बच्चे को ले जाने के पहले उन्हें अस्पताल में करीब 240 डॉलर जमा करना पड़ेगा।

अस्पताल के बिल का भुगतान करने में असमर्थ होने पर दम्पत्ति सड़कों पर अपने दो छोटे बच्चों के साथ इस उम्मीद में निर्वस्त्र निकल पड़ा कि राहगीर शायद उनको इस बुरी मुसीबत से बाहर निकलने में मदद करेंगे।

इस मामले में पुलिस के हस्तक्षेप के बाद अस्पताल ने इलाज के खर्च को माफ कर दिया।

SUDARSHAN SHAKTI ENTERS PENULTIMATE PHASE


SUDARSHAN SHAKTI ENTERS PENULTIMATE PHASE





Sudarshan Shakti, a joint exercise of the Southern Army & South Western Air command(SWAC) entered a crucial phase as it gradually stepped up the deployment structured to build on from the smallest unit upwards to entire Southern Army in a stimulated environment.



Sudarshan Chakra Corps with the blend of trained manpower, various force multipliers such as attack helicopters, state of the art battle tanks and long range Artillery and Networking ability has now entered the penultimate phase of its exercise.



The exercise will unfold into an integrated Theatre and Air Land Battle in which joint plans and joint execution enabled by integrated networks would be the high points.

कन्नड़ अभिनेत्री सौम्या गौड़ा पर पूर्व प्रेमी ने किए चाकू से 13 वार



बेंगलुरु. कन्नड़ फिल्मों की अभिनेत्री सौम्या गौड़ा को उनके पूर्व प्रेमी राहुल उर्फ अनिल ने बीते मंगलवार को उनके ही घर में चाकू के 13 वार से लहूलुहान कर दिया। इस हमले के तुरंत बाद सौम्या को अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे खतरे के बाहर बताया है। अस्पताल के डॉक्टर नवीन थॉमस का कहना सौम्या को अभी तीन दिनों तक डॉक्टरों की निगरानी में रहना होगा। उनके घाव अब भी गंभीर हैं। डॉक्टर का कहना है कि सौम्या को अगर समय से अस्पताल नहीं लाया जाता तो उनकी मौत भी हो सकती थी। सौम्या और अनिल 2009 से एक-दूसरे के करीब थे। दोनों ने फोन पर बातचीत शुरू की, जो बाद में मोहब्बत के रिश्ते में तब्दील हो गई।

बेंगलुरु के डीसीपी (नॉर्थ ईस्ट) रविकांत गौड़ा का कहना है कि अनिल पहले डिस्ट्रिक आर्म्ड रिजर्व्ड में सिपाही था। लेकिन उसे बर्खास्त कर दिया गया था। अनिल की शादी हो चुकी है और उसके बच्चे भी हैं। लेकिन अनिल ने सौम्या के लिए अपने परिवार को छोड़ दिया और सौम्या के साथ रहने लगा। सौम्या को अनिल के परिवार के बारे में कोई जानकारी नहीं थी।

हाल ही में सौम्या ने अनिल से पूछा था कि क्या उसका रिश्ता किसी और महिला से है? इस मुद्दे पर दोनों के बीच कई बार झगड़े हुए। इसी बीच, अनिल की पत्नी को अपने पति और सौम्या के रिश्ते के बारे में पता चला। अनिल की पत्नी ने बेंगलुरु में आकर सौम्या को अनिल से रिश्ता तोड़ लेने को कहा। इसके बात सौम्या ने अनिल से कई हफ्तों तक मुलाकात नहीं की और रिश्ता तोड़ लिया। हालांकि, अनिल ने सौम्या को फोन किया और उसे ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया।

अनिल ने सौम्या को धमकी दी कि वह दोनों के रिश्ते को सार्वजनिक कर देगा। मंगलवार को सौम्या और उसका ठेकेदार दोस्त नवीन सुलह करने के लिए अनिल से मिले। लेकिन अनिल आग बबूला हो गया और उसने सौम्या पर चाकू से 13 बार वार कर दिया। अनिल ने नवीन पर भी हमला किया, जिसकी वजह से नवीन को भी चोट लगी है। सौम्या 'हूडूगा हुडुगी', 'इनैंथिया' और 'पूर्वा' जैसी फिल्मों में काम कर चुकी हैं।

'जूठे पत्तलों पर दलितों के लोटने की प्रथा बंद करो'

लखनऊ।। उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री मायावती ने कर्नाटक में आस्था के नाम पर अनुसूचित जाति के लोगों के जूठे पत्तलों पर लोटने की प्रथा को बंद करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि इस प्रथा पर तुरंत रोक लगनी चाहिए।  Uttar Pradesh Chief Minister Mayawati
मायावती ने एक बयान में कहा कि चर्म रोगों के इलाज के नाम पर इस प्रथा का जारी रहना तकलीफदेह है। उन्होंने कहा कि कर्नाटक सरकार को इस गलत प्रथा पर तुरंत बैन लगाना चाहिए। मुख्यमंत्री ने कर्नाटक में जारी इस प्रथा को भारतीय संविधान के समानता के अधिकारों के खिलाफ बताया और कहा कि इलाज के बहाने 'जातिवादी' लोग अनुसूचित जाति के लोगों के मान-सम्मान के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं।

उन्होंने कहा कि सबसे दुखद यह है कि मानवाधिकार आयोग और राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग समेत देश के किसी भी आयोग ने अभी तक इस प्रथा के खिलाफ कुछ नहीं कहा। मुख्यमंत्री ने कहा कि एक हिन्दी चैनल पर पिछले साल जब इस प्रथा से जुड़ी खबर आई थी तो उन्होंने ही देश में सबसे पहले इस प्रथा के खिलाफ आवाज उठाई थी।

'कोलावेरी' ने मचा दी देश में खलबली मगर इसके सिंगर को खबर ही नहीं



भाषागत बंधनों को तोड़ते हुए ‘टैंग्लिश’ गीत ‘कोलावेरी’ रातोंरात बंपर हिट हो चुका है। गायक व एक्टर वेंकटेश प्रभु कस्थूरी राजा जो धनुष के नाम से फेमस हैं, का दर्द कुछ अलग ही है। दरअसल धनुष अभी तक समझ ही नहीं पा रहे हैं कि उनका गीत इतना बड़ा हिट हो चुका है।



वे कहते हैं ‘मैं फिलहाल शूटिंग पर ही ध्यान केंद्रित कर रहा हूं। मुझे यह सत्य घटना नहीं लगती है इसलिए मैं कोलावेरी की सक्सेस को बहुत ज्यादा सीरियसली नहीं ले रहा हूं।’



राष्ट्रीय पुरस्कार जीत चुके धनुष के बारे में आम धारणा है कि सुपरस्टार रजनीकांत का दामाद होना ही बड़ी पहचान है। जबकि धनुष खुद को एक्टर के रूप में स्थापित करने के लिए तत्पर हैं। कोलावेरी के हिट होने से उन्हें कोई बड़ी पहचान नहीं मिली है। धनुष कहते हैं ‘मेरी इंडस्ट्री में किसी ने मुझसे इस गीत के बारे में एक भी सवाल नहीं पूछा है। मैं ट्रेंडी सिंगर नहीं हूं, केवल बाथरूम सिंगर की तरह गुनगुनाता रहता हूं। गायक से पहले मैं एक एक्टर हूं।’



गौरतलब है कि हिट गीत कोलावेरी को लगभग 90 लाख ऑनलाइन हिट्स मिली हैं। सोशल नेटवर्किग साइट्स पर भी गीत छाया हुआ है। इसके वीडियो में एक जापानी महिला नृत्य करती हुई दिखाई देती है। इस गीत को ‘यूथ एंथम’ कहा जा रहा है। धनुष जहां भी जाते हैं वहां उनसे यह गीत गाने की फरमाइश की जा रही है। यही नहीं कई लोगों ने तो गीत को अपनी तरह से ढाल कर भी ऑनलाइन कर दिया है।



यह गीत तमिल फिल्म ‘3’ का है जिसे धनुष की पत्नी ऐश्वर्या रजनीकांत धनुष बना रही हैं। धनुष फुरसत के पलों में कोलावेरी जैसे गीत लिखते हैं और गुनगुनाते भी हैं। जल्द ही वे बॉलीवुड में निर्देशन की पारी भी शुरू करना चाहते हैं। वे कहते हैं ‘मैं हिंदी ज्यादा नहीं समझता हूं लेकिन मेरे पास पटकथा तैयार है। मैं फिलहाल होमवर्क कर रहा हूं अगले साल तक नए प्रोजेक्ट पर काम शुरू कर दूंगा।’

पाकिस्तान में बीबीसी न्यूज चैनल बंद

पाकिस्तान में बीबीसी न्यूज चैनल बंद

कराची। पाकिस्तान में केबल ऑपरेटरों ने बीबीसी के अंतरराष्ट्रीय टीवी चैनल बीबीसी वल्र्ड न्यूज को बंद करना शुरू कर दिया है। बताया जा रहा है कि पाकिस्तान के अधिकतम शहरों में बीबीसी के प्रसारण पकर रोक लगा दी गई है। कहा जा रहा है कि यह कदम बीबीसी की टीवी डॉक्यूमेंटरी "सीक्रेट पाकिस्तान "को प्रसारित किए जाने के बाद उठाया गया है।

ऑल पाकिस्तान केबल ऑपरेटर्स एसोसियशन ने मंगलवार को घोषणा की है कि बुधवार से जो भी विदेशी चैनल पाकिस्तान विरोधी कार्यक्रम दिखाएंगे। उनको दिखाना बंद कर दिया जाएगा। बताया जा रहा है कि केबल ऑपरेटरों की संस्था ने पाकिस्तान इलेक्ट्रानिक मीडिया रेगुलेटरी अथॉरिटी से कहा कि यदि विदेशी चैनल देश के लिए नुकसानदायक जानकारी प्रसारित करते पाए जाते है तो उनके लैडिंग राइट्स यानि प्रसारण के अधिकार रद्द कर दिए जाए।

उल्लेखनीय है कि बीबीसी की डॉक्यूमेंटरी सीक्रेट पाकिस्तान में पाकिस्तान की तालिबान के चरमपंथ से लड़ने की प्रतिबद्धता पर सवाल उठाए गए है। इसमे बताया जा रहा है कि अमरीकी खुफिया एजेंसी के अधिकारियों के हवाले से इसमें पाकिस्तान के कुछ लोग पर आरोप लगाए गए है कि एक ओर वे सार्वजनिक तौर पर अमरीका के सहयोगी होने का दावा करते हैं और दूसरी तरफ वे खुफिया तरीके से अफगानिस्तान के तालिबान के हथियार और प्रशिक्षण देेते है।

गौरतलब है कि हाल ही में नाटो सैनिकों के हमले में मारे गए 24 पाकिस्तानी सैनिकों की मौत के बाद पाकिस्तान इलैक्ट्रानिक मीडिया
ने बीबीसी न्यूज वल्र्ड को बंद करने का फैसला किया है।

बाडमेर....आज की ताजा खबर ....30 नवम्बर

पाकिस्तान जाने की फिराक में दो बांग्लादेशी नागरिक पकड़े


बाड़मेर, 30 नवंबर। पाकिस्तान जाने की फिराक मेंबाड़मेर जिले के गडरारोड़ कस्बे में सीआईडी की टीम ने दो बगलादेशी नागरिकों को गिरप्तार किया। इनको पाकिस्तान में प्रति माह 15 हजार रूपए नौकरी दिलाने का झांसा देकर दलाल लाया था। इन बांग्लादोी नागरिकों से गुरूवार को विभिन्न सुरक्षा एजेंसियां संयुक्त पूछताछ करेगी।
पुलिस के मुताबिक गडरारोड़ रेलवे स्टोन पर बुधवार को सुबह 9 बजे सीआईडी की टीम ने अब्दुल सुभान पुत्र अबुल बारीक निवासी उफतरीपार उम्र 42 साल एवं समीन पुत्र मुतीब रहमान निवासी जीतपुर उम्र 22 साल जिला सुमानगंज को पकड़ा। इनको गडरारोड़ पुलिस को सुपुर्द किया गया है। प्रारंभिक पूछताछ में इन्होंने बताया कि इनको एक दलाल पाकिस्तान में प्रति माह 15 हजार रूपए का रोजगार दिलाने का झांसा दिया था। इसके एवज में दलाल ने उनसे 30 हजार रूपए लिए थे। यह बांग्लादोी नागरिक पचिमी बंगाल के रास्ते भारत में प्रवेश करने के बाद दिल्ली, अजमेर,फालना, जोधपुर,बाड़मेर होते हुए गडरारोड़ पहुंचे थे। इन बांग्लादोी नागरिकों से गुरूवार को विभिन्न सुरक्षा एजेंसियां संयुक्त पूछताछ करेगी।
पुलिस के मुताबिक बुधवार को इन दोनों से पुरे दिन कई विभिन्न सुरक्षा एजेंसियां ने पूछताछ कि और यह जानने की कोशशि कि इनका इरादा क्या था और इनको यह रास्ता किसने बताया इनके पास से 231 रूपए की भारतीय मुद्रा और कुछ पहने के कपडे मिले है पूछताछ में इस बात का खुलाश हुआ है कि यह दोनों ही मुनाबाव के रस्ते पाकिस्तान जाने कि फ़िराक में थे गोरतलब है कि पिछले सप्ताह ही जैसलमेर जिले में भी पाक जाने कि फ़िराक में 5 बगलादेशी नागरिको को बोर्डर पर गिरफ्तार किया गया था बुधवार को दो बगलादेशी पकडे जाने के बाद बोर्डर पर सीमा सुरक्षा बल , सुरक्षा एजेंसियां और पुलिस ने अपनी ग्रस्त और बढ़ा दी है
इससे पहले भी इस बोर्डर पर कई बगलादेशी पाक जाने कि फ़िराक में पकडे गए है इन सब कि एक ही कहानी होती है कि इनको कोई दलाल पेसे लेकर यह कहता है कि अवेध रूप से पाक जाने का सबसे सरल रास्ता बाड़मेर में पाक से लगती भारतीय सीमा पर सख्ती कम होती है और आसानी से बोर्डर पार किया जा सकता है दलाल के चक्र में आकर बगलादेशी बाड़मेर बोर्डर पर पकडे जाते है दलाल इनके साथ बाड़मेर या जोधपुर तक आते है फिर इनसे पेसे लेकर गायब हो जाते है

2 ........... सेना का चिकारा शिकार मामला :अब होगा न्यालय में प्राथना पत्र दाखिल


बाड़मेर 30 नवंबर।बुधवार को सेना केम्प में चिकारा के शव मिलने का मिलने के मामले में नया मोड़ आ गया है अब वन विभाग के जिला वन अधिकारी बीआर भादू के मुताबिक जो हमने दूसरा समन भेजा तो झांसी स्थित सेना की 88 आर्म्ड वर्कशॉप यूनिट ने बाड़मेर के निम्बला गांव से बाड़मेर में ही कई और जगह पर चले गए है और जब हमारे जाच अधिकारी उनसे मोबाइल पर बात कि और उनकी बताई जगह पर गए तो भी कोई नहीं मिला फिर सेना की 88 आर्म्ड वर्कशॉप यूनिट के अधिकारियो ने यह जबाब दिया कि हमारा अभ्यास चल रहा है इसलिए हम नहीं उपस्थित हो पाएगे
गुरुवार को जिला वन अधिकारी बीआर भादू के मुताबिक हम आज या कल में न्यालय में प्राथना पत्र पेश करेगे यह प्राथना पत्र सिविल न्याधीश एव न्यायिक मजिस्ट्रेट खंडपीठ बाड़मेर अपना प्राथना पत्र पेश करेगे वही इस मामले में रक्षा प्रवक्ता एस .डी गोस्वामी के अनुसार हमारी युनिटे अभ्यास के दोहरान अपनी जगह बदलती रहती है इस मामले हमारी कोर्ट ऑफ़ इन्क्वारी जिला वन अधिकारी बयान न होने के चलते रुकी हुई है और कोर्ट ऑफ़ इन्क्वारी में एक सिविल गवाह के बयान होने बाकि है जिसका तीन दिन से कोई पता नहीं लग पा रहा है जिसके चलते हमारी कोर्ट ऑफ़ इन्क्वारी आगे नहीं बढ़ पा रही है
गोरतलब है कि सैन्य कैंप में चिंकारा के कटे सिर व मांस और जिप्सी में मिले खून के निशान महत्वपूर्ण सबूत थे वन विभाग के अधिकारियो का आरोप है कि सेना अभी तक उनका जांच में सहयोग नहीं कर रही हैं जबकि अनुसंधान में भी चिंकारों का शिकार होना पाया गया था । बाड़मेर में सेना के द्वारा चिंकारा शिकार मामला अब समन और नोटिस में उलझ कर रह गया हैं अब सेना ने भी दो बार नोटिस दे कर वन विभाग के जिला वन अधिकारी , और जाँच अधिकारी को तलब किया हैं जबकि वन विभाग के अधिकारियो ने नोटिस के जवाब में कोर्ट ऑफ़ इन्क्वारी में आने से इनकार कर दिया था


3 ........ 25 कनिष्ठ तकनीकी सहायकों को कारण बताओ नोटिस


बाड़मेर, 30 नवंबर। महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत नियोजित 25 कनिष्ठ तकनीकी सहायकों को प्रिशक्षण में उपस्थित नहीं होने पर कारण बताओ नोटिस जारी किए गए है।
अतिरिक्त जिला कार्यक्रम समन्वयक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी छगनलाल श्रीमाली ने बताया कि पंचायत समिति स्तर पर कार्यरत कनिष्ठ तकनीकी सहायकों का दो दिवसीय प्रिशक्षण जिला परिषद में 16 से 17 नवंबर तथा 22 एवं 23 नवंबर को रखा गया था। इस प्रिशक्षण में धोरीमन्ना पंचायत समिति के कनिष्ठ तकनीकी सहायक सतीश कुमार, मंदीप कुमार, मनोज कुमार, सिवाना के दिनेश नोगिया, भरतसिंह, सिणधरी के धर्मसिंह, मंदीप कुमार, ओमप्रकाश, अजय शर्मा, बलदेव चौधरी, बालोतरा के नाथूराम, बाड़मेर के बांकाराम, गोपेश भाटी, मनराज मीणा, लक्ष्मणसिंह, मनोज गहलोत, भूपेश वासू, चौहटन के अरूण मिश्रा, रामावतार मीणा, दाताराम मीणा, बायतू के मुकेश मीणा, शिव के हेमंत खत्री, मुकेश मीणा, गोविन्द प्रसाद मीणा, गणेश सोनी को कारण बताओ नोटिस जारी किए है। इनको प्रिशक्षण में अनुपस्थित रहने का कारण संबंधित स्पष्टीकरण तीन दिवस में प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए है। ऐसा नहीं करने पर इनके खिलाफ अनुबंध की शर्तो के अनुसार अग्रिम कार्यवाही की जाएगी।


. 4 ......... जूनामीठा खेडा में जिला कलेक्टर की रात्रि चौपाल कल


बाडमेर, 30 नवम्बर। जिला कलेक्टर डॉ. वीणा प्रधान द्वारा गुडामालानी तहसील के जूनामीठा खेडा ग्राम पंचायत मुख्यालय पर रात्रि चौपाल का आयोजन भाुक्रवार 2 दिसम्बर को किया जाएगा। चौपाल की समाप्ति के बाद जिला कलेक्टर द्वारा खुली जन सुनवाई भी की जाएगी।
जिला कलेक्टर डॉ. प्रधान ने बताया कि प्रत्येक चौपाल मे संबंधिंत ग्राम पंचायत के ग्रामीणों की समस्याओं तथा अभियोगों का मौके पर ही निस्तारण करने हेतु क्षेत्र के संबंधित जन स्वास्थ्य अभियांत्रिक विभाग, जोधपुर विद्युत वितरण निगम लिमिटेड, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, सार्वजनिक निर्माण, पाु पालन, कृशि, िक्षा, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता, रसद विभाग के अधिकारियों के साथ साथ संबंधित उपखण्ड अधिकारी, तहसीलदार, नायब तहसीलदार, विकास अधिकारी एवं पटवार मण्डल के सभी पटवारी तथा ग्राम सेवक आवयक रूप से उपस्थित होंगे। उन्होने बताया कि चौपाल में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, मौसमी बीमारियां, पाु चिकित्सा व्यवस्था, पेयजल व्यवस्था, रसद वितरण व्यवस्था, कार्मिकों की उपस्थिति, पोशाहार वितरण, विभिन्न प्रकार के निर्माण कार्यो की गुणवता एवं कार्यरत श्रमिकों की उपस्थिति, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग की योजनाओं आदि पर प्रत्येक ग्रामवार चर्चा की जाएगी। उन्होने बताया कि 5 दिसम्बर को रामसर तहसील के खारची, 16 दिसम्बर को िव तहसील के आरंग, 23 दिसम्बर को सिवाना तहसील के अजीत तथा 30 दिसम्बर को चौहटन तहसील के सेडवा ग्राम पंचायत मुख्यालय पर भी रात्रि चौपाल का आयोजन किया जाएगा।
        5 ......... मोहर्रम पर्व की व्यवस्थाओं के संबंध में बैठक आज
बाडमेर, 30 नवम्बर। मोहर्रम पर्व की व्यवस्थाओं के सम्बन्ध में बैठक का आयोजन जिला कलेक्टर डॉ. वीणा प्रधान की अध्यक्षता में एक दिसम्बर को दोपहर तीन बजे कांफ्रेन्स हॉल में किया जाएगा। अतिरिक्त जिला कलेक्टर अरूण पुरोहित ने संबंधित अधिकारियों को निर्धारित समय पर बैठक में उपस्थित होने के निर्दो दिए है।

"संसद में काम नहीं तो सासंदों को पैसा नहीं"

"संसद में काम नहीं तो सासंदों को पैसा नहीं"
नई दिल्ली। बीजेपी सांसद वरूण गांधी ने संसद में हो रहे लगातार हंगामे के बाद टिप्पणी की है। वरूण ने कहा कि संसद में काम नहीं होने की सूरत में सभी सांसदों का वेतन बंद हो जाना चाहिए। वरूण ने कहा कि इस सत्र में 1985 के बाद से सब से कम काम हुआ।

वरूण ने कहा कि कम काम होने से समय आ गया है कि अब एक नियम बना दिया जाए। इस नियम के तहत जो सांसद जितने काम करेंगे उन्हें उतने ही वेतन दिया जाएगा। इससे पहले जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने भी टि्वटर पर लिखा था कि सांसद अगर संसद में काम नहीं करते हैं। तो उन्हें भत्ता नहीं दिया जाए।

गौरतलब है कि पिछले सात दिन से एफडीआई मुद्दे पर संसद नहीं चल रही है।

पाकिस्तान जाने की फिराक में दो बंगलादेशी पकडे सरहद पर

पाकिस्तान जाने की फिराक में दो बंगलादेशी पकडे सरहद पर 


बाड़मेर सीमावर्ती बाड़मेर जिले के सरहदी गाँव गडरा रोड में खुफिया एजेंसी ने आज पकिस्तान जाने की फिराक में सरहद पर पन्हुंचे दो बंगलादेशी युवको को गिरफ्तार किया हें सूत्रों ने बताया की आज सुबह गडरा में संदिग्ध दो युवको को विचरण करते देखा तो उन्हें एजेंच्य के जवानों ने पकड़ लिया प्रारम्भिक पूछताछ में उन्होंने अपने नाम अब्दुल सुमार तथा अब्दुल सम्मिम बताये दोनों शुभंगंज बंगलादेश के रहने वाले हें उन्होंने बताया की वे बंगलादेश से पकिस्तान जाना चाहते थे वे कलकत्ता देहली  जयपुर अजमेर होते हुए बाड़मेर पंहुचे थे वे एक दलाल के साथ बाड़मेर तक आये बाड़मेर से उन्हें बस में बिठाकर गायब हो गए बस से गडरा पंहुचे उन्होंने बताया की उन्हें दलाल ने बताया की पकिस्तान में रोजगार की अधिक संभावना हें इसके लिए पश्चिम राजस्थान की पकिस्तान से लगाती सरहद से आसानी से पकिस्तान जाया जा सकता हें दलाल में उनसे पांच पांच हज़ार रुपये लिए .दोनों को बाड़मेर लाया जायेगा जन्हा उनसे विभिन सुरक्षा और खुफिया  एजेंसिया संयुक्त पूछताछ करेगी .

लात घूंसों से हुई थी भंवरी की पिटाई



लात घूंसों से हुई थी भंवरी की पिटाई

जयपुर। भंवरीदेवी प्रकरण की जांच की धीरे-धीरे रफ्तार बढ़ने के साथ ही कई सनसनीखेज मामलों का खुलासा हो रहा है। इस बहुचर्चित प्रकरण में बदमाशों के हौसले इतने बुलंद थे कि अपहरण के बाद न केवल अपहर्ताओं ने भंवरी के साथ बुरी तरह मारपीट कर खाली दस्तावेजों पर हस्ताक्षर करवा लिए, बल्कि भंवरी का काम तमाम करने की रिकार्डिग भी की। जांच में इन तथ्यों का खुलासा होने के बाद सीबीआई और पुलिस की संयुक्त टीम भी भंवरी की अपहरण के बाद हत्या के मामले में सबूतों की कड़ी से कड़ी जोड़ने में जुटी हुई है। बताया जाता है कि अपहर्ताओं ने भंवरी को लात-घूसों से बुरी तरह मारा था, जिससे भंवरी के मुंह से खून का फौव्वारा छूट पड़ा था।

बोलेरो से खून के नमूने भी उठाए
भंवरी देवी प्रकरण में सीबीआई और पुलिस की संयुक्त टीम ने गिरफ्तार मुख्य अभियुक्त शहाबुद्दीन तथा सोहन लाल से पूछताछ में भंवरी के मामले में काफी महत्वपूर्ण जानकारियां जुटाई हैं, जिनकी तस्दीक भी करवाई जा रही है। सूत्रों ने बताया कि अपने अपहरण का पता लगने पर भंवरी ने बोलेरो से कू दने का प्रयास भी किया।

इस पर शहाबुद्दीन और अन्य अपहर्ताओं ने भंवरी को गाड़ी में पैरों तले पटक लिया और उसकी लात घूसों से जम कर पिटाई कर डाली। घूसों से भंवरी के मुंह से खून का फौव्वारा फूट गया था और बोलेरो में काफी खून फैल गया था। सूत्रों ने बताया कि भंवरी प्रकरण के मुख्य ष्ाड़यंत्रकर्ता सहीराम ने भंवरी की लाश को ठिकाने लगाने का काम दूसरे गिरोह को सौंपा था।

इसके चलते अपहर्ता भंवरी की हत्या करने के बाद लाश को सौंपने के लिए दूसरे गिरोह के इंतजार मे भटकते रहे। इस दौरान अपहर्ता करीब तीन घंटे तक भंवरी की लाश को बोलेरो में लेकर इधर-उधर भटकते रहे। हालांकि, इन सबके बाद एक बार फिर बात सहीराम पर आकर ही टिक रही है, जिसकी गिरफ्तारी के साथ ही उम्मीद की जा रही है कि सारा पेचोखम दुरूस्त हो जाएगा।

बोलेरों को धोया भी गया था
बताया जाता है कि बोलेरो मे काफी खून फैल जाने से शहाबुद्दीन घबरा गया था और उसने बोलेरो से सबूत मिटाने की नीयत से एक वर्कशॉप में गाड़ी की धुलवाई भी करवा ली थी। इसके बावजूद सीएफएसएल टीम को बोलेरो की जांच-पड़ताल के दौरान खून के नमूने उठाने में सफलता मिल ही गई। जांच के दौरान खून के धब्बों और भंवरी के सिर के बाल मिलने को भी हत्या के मामले में अहम सबूत माना जा रहा है।

भंवरी की तलाश में नहर ने उगली 30 लाशें

भंवरी की तलाश में नहर ने उगली 30 लाशें
जयपुर। एक भंवरी की तलाश में एक नहर ने 30 से भी अधिक लाशें उगल दीं। इनमें से करीब डेढ़ दर्जन शव तो महिलाओं के हैं। यह हैरत भरा वाकया इंदिरा नहर में एएनएम भंवरी देवी की लाश तलाशने के दौरान का है, जिसमें भंवरी की लाश तो बरामद नहीं हो सकी। अलबत्ता 30 से भी अधिक अन्य लाशें जरूर मिल गई, जिनकी पहचान भी हो पाना मुश्किल है।

दिन-ब-दिन इन आंकड़ों में और बढ़ोत्तरी होने की संभावना है। पुलिस की मानें, तो पड़ोसी राज्य से नहर में फेंके जाने वाले शव या आत्महत्या करने वाले लोगों की लाशें भी राजस्थान की सीमा में ही बहाव के साथ आ जाती हैं। अगर औसत निकालें तो हर महीने में 8-10 और पूरे साल में करीब सौ या उससे अधिक लाशें इस नहर में समा जाती हैं। इनमें से अधिकांश को अंतिम क्रिया भी नसीब नहीं होती।

गौरतलब है कि सीबीआई व पुलिस के अनुसंधान के दौरान एएनएम भंवरी का अपहरण कर हत्या कर दिये जाने की बात सामने आ रही है। इसी के चलते शेखावाटी व मारवाड़ स्थित नहरों से मिले अज्ञात महिलाओं के शवों की पड़ताल भी जोर पकड़े हुए है। सीबीआई की ओर से भंवरी को अपहरण कर हरियाणा ले जाए जाने की भी बात कही जा रही है। इसी आंशका के मद्देनजर हरियाणा से राजस्थान में आने वाली इंदिरा गांधी नहर में तलाश जारी है। मिले अज्ञात महिलाओं के शवों की पड़ताल भी जोर पकड़े हुए है।

शिनाख्त नहीं होने पर दाह संस्कार
इंदिरा गांधी नहर में प्रतिमाह औसतन करीब दस अज्ञात शव पड़ोसी राज्यों हरियाणा व पंजाब से बह कर यहां आ जाते हैं। यहां पुलिस शवों की पहचान आसपास के क्षेत्र में कराने के साथ समीपवर्ती पड़ोसी राज्य को सूचना दे दी है लेकिन कोई जबाब नहीं आने और शवों की पहचान नहीं होने पर तीन दिन की औपचारिक कार्रवाई के बाद शवों का दाह संस्कार कर दिया जाता है।

शव ठिकाना लगाने का जरिया बनी नहर
मारवाड़ व शेखावाटी क्षेत्र की जीवन दायिनी इंदिरा गांधी नहर पड़ोसी राज्य के बदमाशों के लाश ठिकाने लगाने का जरिया बनी हुई है। हनुमानगढ़ पुलिस ने प्राप्त जानकारी के अनुसार, प्रतिवष्ाü नहर से करीब सौ से अधिक ऎसे शव बरामद किए जाते हैं, जिनकी शिनाख्तगी नहीं हो पाती। जानकारी के मुताबिक, यह नहर राजस्थान के हनुमानगढ़ में प्रवेश करते हुए बीकानेर, चुरू होते हुए जोधपुर में जाकर समाप्त होती है। इस नहर में करीब पांच से अधिक जिलों की नहरें भी आकर मिलती हैं। आंकड़ों पर नजर डालें, तो इंदिरा नहर से प्रतिवष्ाü करीब सौ से अधिक अज्ञात शवों को बाहर निकाला जाता है। इसमें अधिकांश शव महिलाओं के होते हैं।

भारत के 48 प्रतिशत पुरुषों की खराब है नीयत


क समय था जब परंपरा के तहत लोग सेक्‍स व्‍यवहार करते थे। इसकी एक उम्र होती थी कुछ रिवाज होते थे। लेकिन हाल ही में भारत में हुए सर्वे ने बड़ा खुलासा किया है।

सर्वे में पाया गया है कि आज भारतीय समाज में पुरुष और महिला संबंधों के मामलों में काफी स्‍वछंद विचार रखते हैं।

सर्वे में पाया गया है कि 48 प्रतिशत पुरुष एक से अधिक महिलाओं से संबंध रखते हैं। जबकि 71 फीसदी महिलाओं के पूरे सेक्स जीवन में केवल एक ही पुरुष रहा है।

लगभग आधी आबादी अब भी शादी से पहले सेक्स को गलत मानती है। पुरुष सेक्स के नजरिए से महिलाओं के मुकाबले ज्‍यादा संतुष्ट जिंदगी जी रहे हैं।

महिलाएं आज भी अपने पुरुष मित्र, प्रेमी या पति के प्रति अपेक्षाकृत ज्‍यादा वफादार हैं।

मारवाड़ व मेवाड़ का पहला राष्ट्रीय उद्यान होगा कुंभलगढ़ नेशनल पार्क


वन्यजीव गणना के आंकड़े जारी, जरख, नीलगाय समेत कई वन्यजीवों की संख्या भी हुई कम

कुंभलगढ़ वन्य जीव अभयारण्य क्षेत्र में सत्र 2011 में हुई गणना के आंकड़ों में पेंथर की संख्या घट गई है। इसके अलावा जरख व नीलगाय समेत कई अन्य वन्यजीवों की संख्या में भी कमी दर्ज की गई है। पिछले साल की गणना के आंकड़ों पर नजर डाले तो इस साल कुल 3279 वन्यजीवों में कमी दर्ज की गई है। अभयारण्य क्षेत्र में 2011 में कुल मिलाकर जंगली जानवरों की तादाद 16 हजार 12 दर्ज की गई, जो सालभर पहले वर्ष 2010 में यहां 19 हजार 291 जानवरों की गिनती की गई थी।
28 मई को हुई थी गणना : पाली, राजसमंद व उदयपुर जिले की सीमा में 610 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैले कुंभलगढ़ अभयारण्य क्षेत्र में 28 मई को बुद्ध पूर्णिमा की चांदनी रात में जंगली जानवरों की आंखों देखी गणना की गई थी। इस गणना के लिए अभयारण्य क्षेत्र में 75 कृत्रिम व 75 प्राकृतिक वाटर हॉल वन विभाग द्वारा चिह्नित किए गए थे। करीब 250 वन कर्मियों, पर्यावरण प्रेमियों व सामाजिक कार्यकर्ताओं ने गुप्त तरीके से वाटर हॉल के समीप बैठकर अपनी प्यास बुझाने पहुंचे जंगली जानवरों की आंखों देखी गणना की। इस गणना में जंगली जानवरों के फुट प्रिंट भी लिए गए। दोनों विधि से तुलनात्मक गणना में जंगल में वन्य जीवों के साथ ही पक्षियों की करीब कुल तादाद 16 हजार 12 रही।
पिछले वर्ष इतने थे वन्यजीव
गत वर्ष 2010 में कुंभलगढ़ वन्य जीव अभयारण्य क्षेत्र में पेंथर 95, भालू 221, जरक 185, सियार 411, चौसिंगा 122, सांभर 222, नीलगाय 2037, चिंकारा 15, जंगली सुअर 666, भेडिय़ा 53, लोमड़ी 98, सेही 112, बिज्जू 87, जंगली बिल्ली 92, जंगली मुर्गा 1992, बंदर 7857, नेवला 189, मगरमच्छ 11 वहीं कठफोड़वा, जल मुर्गा, तोता, करेवा, कछुआ, मोर, घडिय़ाल, भूमि कछुआ, मोर, गोह, बाज, गिद्ध, ईगल, झापटा, हरियल, काला बगुला, धनेश, गाय बगुला, बरबर, कील कीला की तादाद 2613 थी।


मारवाड़ व मेवाड़ का पहला राष्ट्रीय उद्यान होगा कुंभलगढ़ नेशनल पार्क

पाली, राजसमंद व उदयपुर जिले की 508.60 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र की सीमा पर पसरे कुंभलगढ़ व टांडगढ़ अरावली क्षेत्र अभयारण्य को मिलाकर बनने वाले कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान को कैबिनेट की बैठक में मंजूरी मिलने के बाद मारवाड़ व मेवाड़ क्षेत्र का यह प्रथम राष्ट्रीय उद्यान होगा। इस बात की पूरी संभावना है कि रणकपुर, परशुराम महादेव एवं कुंभलगढ़ फोर्ट के बाद अब कुंभलगढ़ अभयारण्य देशी व विदेशी पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करेगा। जब इस क्षेत्र में पर्यटकों की तादाद बढ़ेगी तो पर्यटन पर आधारित उद्योग-धंधे बढ़ेंगे। पर्यटकों के आवागमन से होटल व्यवसाय, ऊंट सफारी, हॉर्स सफारी, जंगल विजिट के नाम से जहां एक ओर रोजगार के साधन बढ़ेंगे, वहीं सरकार को भी अच्छा-खासा राजस्व प्राप्त होगा। कुंभलगढ़ को राष्ट्रीय उद्यान की कैबिनेट की मंजूरी मिलते ही क्षेत्र के वाहन चालक, होटल मालिक, रणकपुर मंदिर प्रशासन में खुशी की लहर छा गई है। विश्व प्रसिद्ध रणकपुर जैन मंदिर में पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए पर्यटन विभाग व जिला प्रशासन ने गोडवाड़ महोत्सव व रणकपुर फेस्टिवल की शुरुआत की है। अब कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान के बन जाने के बाद पर्यटक रणकपुर, परशुराम महादेव व कुंभलगढ़ के अवलोकन के बाद अब वे राष्ट्रीय उद्यान का भ्रमण कर जंगली जानवरों को समीप से देखने का भी लुत्फ उठा सकेंगे।

उद्यान में सबसे अधिक भूभाग पाली जिले का : हाल ही में कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान को मंजूरी मिलने के बाद एक नजर डालें तो पाली, राजसमंद व उदयपुर जिले की सीमा में 508.60 वर्ग किलोमीटर की सीमा में पसरे कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान में पाली जिले का भूभाग सबसे अधिक रहेगा । कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान में उदयपुर जिले का 82.52, राजसमंद जिले का 167.28 एवं पाली जिले का 258.78 वर्ग किलोमीटर का भूभाग इस उद्यान में आएगा। कुंभलगढ़ का 401.51 वर्ग किमी एवं टांडगढ़ रावली का 107 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र को मिलाकर कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान बनना है।

उद्यान से गुजर रहे तीन स्टेट हाइवे : कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान के मध्य से तीन स्टेट हाइवे गुजर रहे हैं। वन विभाग के अनुसार देसूरी से चारभुजा साढ़े छह किलोमीटर, रणकपुर से सायरा साढ़े सात किलोमीटर, दिवेर से कोट 7 किलोमीटर स्टेट हाईवे इसी उद्यान से गुजरेगा। देसूरी से चारभुजा वाला मार्ग नेशनल हाइवे व मेगा हाइवे में तब्दील हो चुका है ।

उद्यान क्षेत्र में आए हुए हैं 36 मंदिर

कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान में विश्व प्रसिद्ध रणकपुर जैन मंदिर, प्रदेश का प्रमुख परशुराम महादेव कुंडधाम मंदिर, अमर गंगा, परशुराम महादेव गुफा मंदिर, परशुराम महादेव फूटा देवल मंदिर, रणकपुर के समीप स्थित शक्ति माता मंदिर, पिपरोली माता, खीमज माता, कोड माता, मंडावरी माता, सूरज कुंड मंदिर, नागदेवता मंदिर, सेजिया महादेव मंदिर, कालिया महादेव मंदिर, रूपनगर, गडरी महादेव, नाल माता, सेली नाल जंबुमाता, गणपति मंदिर आदि पूजा-स्थलों के साथ हाथी पुलिया झरना, कुंडधाम का झरना, भमर कुंड का झरना, परशुराम महादेव गुफा स्थल का झरना इस राष्ट्रीय उद्यान के प्रमुख आकर्षण का केंद्र होंगे।

वर्ष 2010 में प्रस्ताव भेजा था

कुंभलगढ़ को राष्ट्रीय उद्यान का दर्जा देने के लिए वन विभाग ने वर्ष 2010 में प्रस्ताव बनाकर राज्य सरकार को भेजा था। वन अधिकारियों ने आग्रह किया था कि कुंभलगढ़ व टांडगढ़ रावली अभयारण्य क्षेत्र को मिलाकर राष्ट्रीय उद्यान बनाया जाए। इससे यहां पर्यटकों की तादाद बढऩे के साथ ही सरकार को अच्छा राजस्व प्राप्त होगा। विभाग ने अरावली राष्ट्रीय उद्यान एवं कुंभलगढ़ राष्ट्रीय उद्यान दो नाम सरकार को सुझाए थे। अंत में वन मंत्री जो स्वयं पाली जिले का नेतृत्व करती हैं, उन्होंने पहल कर कुंभलगढ़ नाम से राष्ट्रीय उद्यान का दर्जा दिलाया।

सुमेरपुर. शिकायत पर जांच करते तहसीलदार व अन्य।

सादड़ी, कुंभलगढ़ वन्यजीव अभयारण्य में 28 मई 2011 को संपन्न हुई वन्य जीवों की गणना के अनुसार पेंथर 83, सियार 340, जरक 159, जंगली बिल्ली 72, मरू बिल्ली 5, लोमड़ी 105, भेडिय़ा 45, भालू 185, बिज्जू 74, सियागोश 1, चीतल 0, सांभर 209, नीलगाय 1803, चिंकारा 11, चौसिंगा 134, जंगली सुअर 405, सेही 95, सारस 20, गिद्ध 26, जंगली मुर्गा 1606, मगरमच्छ 22, बंदर 6513, मोर 2260, रस्टी केट, रूडी नेवला 11, छोटा नेवला 37, खरगोश 184, बजर्ड 8, रेड स्पर फ्राउल 140, हरियल 360, उल्लू 78, जंगली मुर्गा 1594, काला बिज्जू 67, जाऊ चूहा 4, केटेकल 3, लंबी चोंच वाला गिद्ध 12, ईगल 20, कोयल 10, हरियल 154, तीतर 320, बटेर 121, टिटहरी 12, बगुला 21, सारस क्रेन 4, आड़ 10, बार्बलर 140, किलकिला 13, गाय बगुला 39, तोता 110, कबूतर 47, कौआ 28, काला बगुला 2, धनेश 7, चमगादड़ 10, मगरमच्छ 22, कछुआ 37, भूमि कछुआ 13, गोह 53, अजगर 2 हैं।

वन्यजीव गणना के आंकड़े जारी, जरख, नीलगाय समेत कई वन्यजीवों की संख्या भी हुई कम

कुंभलगढ़ वन्य जीव अभयारण्य क्षेत्र में सत्र 2011 में हुई गणना के आंकड़ों में पेंथर की संख्या घट गई है। इसके अलावा जरख व नीलगाय समेत कई अन्य वन्यजीवों की संख्या में भी कमी दर्ज की गई है। पिछले साल की गणना के आंकड़ों पर नजर डाले तो इस साल कुल 3279 वन्यजीवों में कमी दर्ज की गई है। अभयारण्य क्षेत्र में 2011 में कुल मिलाकर जंगली जानवरों की तादाद 16 हजार 12 दर्ज की गई, जो सालभर पहले वर्ष 2010 में यहां 19 हजार 291 जानवरों की गिनती की गई थी।

28 मई को हुई थी गणना : पाली, राजसमंद व उदयपुर जिले की सीमा में 610 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैले कुंभलगढ़ अभयारण्य क्षेत्र में 28 मई को बुद्ध पूर्णिमा की चांदनी रात में जंगली जानवरों की आंखों देखी गणना की गई थी। इस गणना के लिए अभयारण्य क्षेत्र में 75 कृत्रिम व 75 प्राकृतिक वाटर हॉल वन विभाग द्वारा चिह्नित किए गए थे। करीब 250 वन कर्मियों, पर्यावरण प्रेमियों व सामाजिक कार्यकर्ताओं ने गुप्त तरीके से वाटर हॉल के समीप बैठकर अपनी प्यास बुझाने पहुंचे जंगली जानवरों की आंखों देखी गणना की। इस गणना में जंगली जानवरों के फुट प्रिंट भी लिए गए। दोनों विधि से तुलनात्मक गणना में जंगल में वन्य जीवों के साथ ही पक्षियों की करीब कुल तादाद 16 हजार 12 रही।

पिछले वर्ष इतने थे वन्यजीव

गत वर्ष 2010 में कुंभलगढ़ वन्य जीव अभयारण्य क्षेत्र में पेंथर 95, भालू 221, जरक 185, सियार 411, चौसिंगा 122, सांभर 222, नीलगाय 2037, चिंकारा 15, जंगली सुअर 666, भेडिय़ा 53, लोमड़ी 98, सेही 112, बिज्जू 87, जंगली बिल्ली 92, जंगली मुर्गा 1992, बंदर 7857, नेवला 189, मगरमच्छ 11 वहीं कठफोड़वा, जल मुर्गा, तोता, करेवा, कछुआ, मोर, घडिय़ाल, भूमि कछुआ, मोर, गोह, बाज, गिद्ध, ईगल, झापटा, हरियल, काला बगुला, धनेश, गाय बगुला, बरबर, कील कीला की तादाद 2613 थी।