शुक्रवार, 27 मई 2016

बाड़मेर।मोदी के सांसद बोले- PAK-चीन से लड़ने की हमारी ताकत नहीं



बाड़मेर।मोदी के सांसद बोले- PAK-चीन से लड़ने की हमारी ताकत नहींVideo: मोदी के सांसद बोले- PAK-चीन से लड़ने की हमारी ताकत नहीं
बाड़मेर-जैसलमेर सांसद कर्नल सोनाराम ने कहा कि पाकिस्तान और चीन यदि मिल जाए और लड़ाई हो तो हमारी कैपेसिटी नहीं है। हमारे पास न एेसे हथियार हैं और ना ही एेसी फौज है। हम दोनों से नहीं लड़ सकते।

केंद्र सरकार के दो साल पूरे होने के मौके पर संवाददाता सम्मेलन में कर्नल ने कहा कि इसके लिए डिप्लोमेसी करनी पड़ती है। इसलिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी विदेश यात्राएं कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री विदेश यात्राएं भ्रमण के लिए नहीं कर रहे है।

उन्होंने स्वयं को रिफाइनरी सलाहकार कमेटी का सदस्य बताते हुए कहा कि जिले में रिफाइनरी लगाने को लेकर केन्द्र व प्रदेश सरकार प्रयासरत है। बजट व कच्चे तेल के भावों में कमी सहित अन्य कई अड़चनें रिफाइनरी स्थापना में बाधक बने हुए हैं।

राजस्थान: राजसमंद में भीषण सड़क हादसा, ट्रक-बस भिड़ंत में तीन बच्चों समेत 11 की मौत



राजस्थान: राजसमंद में भीषण सड़क हादसा, ट्रक-बस भिड़ंत में तीन बच्चों समेत 11 की मौतराजस्थान: राजसमंद में भीषण सड़क हादसा, ट्रक-बस भिड़ंत में तीन बच्चों समेत 11 की मौत
राजसमंद में एक भीषण सड़क हादसे में 11 लोगों की मौत हो गई। हादसा गुरुवार देर रात करीब 2 बजे तब हुआ जब सवारियों से भरी एक बस एक ट्रक से जा टकराई। बताया जा रहा है कि ट्रक गलत दिशा से आ रहा था। हादसे के बाद मौके पर चीख-पुकार मच गई।

जानकारी के मुताबिक़ ये दर्दनाक सड़क हादसा रात दो बजे के करीब राजसमन्द के केलवा कसबे के पास हुआ। बस और ट्रक के बीच भिड़ंत इतनी ज़बरदस्त थी कि दोनों वाहन बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गए और उनमे लोग बुरी तरह से फंस गए। मृतकों में तीन से चार छोटे बच्चे भी बताये जा रहे हैं।









घटना की जानकारी मिलने के बाद पुलिस और प्रशासन के अधिकारी मौके पर पहुंचे। जैसे-तैसे लोगों को बाहर निकाला गया। लेकिन तब तक 11 लोगों की मौत हो चुकी थी। हादसे में कुछ घायल भी हुए हैं जिन्हे अस्पताल भेजा गया है।








अब तक मिली जानकारी के मुताबिक़ बस में सवार लोग भीलवाड़ा के बावलवास में एक सगाई समारोह में शामिल होने के लिए गए हुए थे। वापस लौटते वक्त पसूंद गांव में उनकी बस की भिड़ंत ट्रक से हो गई। जानकारी मिलने के बाद एडीएम ब्रजमोहन बैरवा, एसडीएम राजेन्द्र अग्रवाल भी मौके पर पहुंचे।

पाकिस्तान के कराची में बढ़ती गर्मी के कारण पहले से ही कब्रों की खुदाई का काम शुरू हुआ

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पाकिस्तान के कराची में बढ़ती गर्मी के कारण पहले से ही कब्रों की खुदाई का काम शुरू हुआ
300 गर्भवती महिलाओं के जीका से पीड़ित पाए जाने पर ओबामा ने अमेरिकी कांग्रेस को लताड़ा | बांग्लादेश में रोनू चक्रवाती तूफ़ान से 20 की मौत, 100 से ज्यादा घायल






पाकिस्तान के कराची से एक अजीबो-गरीब खबर सामने आई है. यहां इन दिनों लोगों के मरने से पहले ही उनकी सामूहिक कब्रें खोदी जा रही हैं. पाकिस्तान के समाचार पत्र डॉन के मुताबिक, भीषण गर्मी से होने वाली मौतों के बाद शवों को दफनाने के लिए ऐसा किया जा रहा है. हालांकि अभी तक इस इलाके में गर्मी और लू से कम ही लोग मारे गए हैं लेकिन यहां कब्रों की खुदाई पहले से शुरू हो चुकी है. दरअसल पिछले साल पाकिस्तान में गर्मी से 1,300 लोग मारे गए थे. इनमें से अधिकतर लोग कराची और उसके आसपास के क्षेत्रों के थे.




गैरसरकारी संस्था ईदी फाउंडेशन के कब्रिस्तान में ये कब्रें खोदने वाले कराची के शाहिद बलोच का कहना है कि पिछले साल उन्होंने 300 कब्रें खोदी थीं और उस समय एक साथ कई लाशें इकट्ठा हो गई थीं, साथ ही जगह की भी कमी पड़ गई थी. उनके मुताबिक यह काम करते हुए उन्हें भी लू लग गई थी इसीलिए वे इस साल पहले से कब्रें खोद लेना चाहते हैं.




वहीं, ईदी फाउंडेशन ने बताया है कि पिछले साल शवों की संख्या इतनी ज्यादा हो गई थी कि उसे करीब 650 शवों को कुछ दिन तक खुले में रखना पड़ा था, साथ में कब्रें खोदने वालों ने दुगना-तिगुना पैसा भी लिया था. उधर, इस बार कराची प्रशासन भी इस समस्या से निपटने की पूरी तैयारी कर रहा है. कराची के कमिश्नर आसिफ हैदर शाह ने बताया कि शहर के 60 अस्पतालों में लू के मरीजों के लिए 1850 अतिरिक्त बेड लगाए गए हैं. बता दें कि 2015 में कराची में तापमान 44 डिग्री सेल्सियस पहुंच गया था जो 1981 के बाद से सबसे ज्यादा था.




300 गर्भवती महिलाओं के जीका से पीड़ित पाए जाने पर ओबामा ने अमेरिकी कांग्रेस (संसद) को लताड़ा




अमेरिका में 300 गर्भवती महिलाओं के जीका वायरस से पीड़ित पाए जाने से खलबली मच गई है. राष्ट्रपति बराक ओबामा ने इसके लिए अमेरिकी कांग्रेस (संसद) को दोषी ठहराते हुए उसे आड़े हाथों लिया है. ओबामा ने अमेरिकी कांग्रेस की आलोचना करते हुए कहा है, ' यूएस कांग्रेस जीका के खतरे को गंभीरता से न लेते हुए जीका के लिए जरूरी फंड का आधा हिस्सा ही देना चाहती है, जबकि प्रतिनिधि सभा तो केवल एक-तिहाई अनुदान ही देना चाहती है. ऐसी स्थिति में हम जीका को कैसे रोक सकते हैं.'



क्यों एक मुस्लिम बहुल देश ने चचेरे-ममेरे भाई-बहनों की शादी पर रोक लगाने का फैसला किया है?

क्यों एक मुस्लिम बहुल देश ने चचेरे-ममेरे भाई-बहनों की शादी पर रोक लगाने का फैसला किया है?
क्यों एक मुस्लिम बहुल देश ने चचेरे-ममेरे भाई-बहनों की शादी पर रोक लगाने का फैसला किया है?

दुनिया के कई देशों में यह आम प्रथा है, खासकर मुस्लिम बहुल देशों में. इसलिए जब ताजिकिस्तान ने इस पर रोक लगाने का फैसला लिया तो दुनिया का चौंकना स्वाभाविक था.

चीन, अफगानिस्तान, किर्गिस्तान और उज्बेकिस्तान के बीचों-बीच बसा ताजिकिस्तान मध्य एशिया का सबसे गरीब देश है. ऐसा दुर्लभ ही होता है कि इस देश की कोई घटना सारी दुनिया में चर्चा का विषय बन जाए. लेकिन बीती 13 जनवरी को यहां की संसद का एक फैसला अंतरराष्ट्रीय सुर्ख़ियों में शामिल हुआ. यह फैसला था देश में कॉन्सेंग्युनियस विवाह (रक्त संबंधियों से विवाह) पर प्रतिबंध लगाना. दुनिया के कई देशों, विशेषकर मुस्लिम बहुल देशों में कॉन्सेंग्युनियस विवाह बहुत ही आम प्रथा है. इसीलिए जब मुस्लिम बहुल ताजिकिस्तान ने इस प्रथा पर रोक लगाने का प्रगतिशील फैसला लिया तो इसने दुनिया भर के कई लोगों को हैरत में डाल दिया.

ताजिकिस्तान ने यह फैसला लेते हुए माना है कि कॉन्सेंग्युनियस विवाह से पैदा होने वाले बच्चों में आनुवंशिक रोग होने की संभावनाएं ज्यादा होती हैं. यहां के स्वास्थ्य विभाग ने 25 हजार से ज्यादा विकलांग बच्चों का पंजीकरण और उनका अध्ययन करने के बाद बताया है कि इनमें से लगभग 35 प्रतिशत बच्चे ऐसे हैं जो कॉन्सेंग्युनियस विवाह से पैदा हुए हैं. कॉन्सेंग्युनियस विवाह से पैदा होने वाले बच्चों में आनुवंशिक रोग होने की संभावनाओं पर लंबे समय से चर्चा होती रही है. लेकिन यह चर्चा कभी भी इतने व्यापक स्तर पर नहीं हुई कि इस तरह के विवाहों पर प्रतिबंध लग सके.

ताजिकिस्तान ने यह फैसला लेते हुए माना है कि कॉन्सेंग्युनियस विवाह से पैदा होने वाले बच्चों में आनुवंशिक रोग होने की संभावनाएं ज्यादा होती हैं.

दुनिया के लगभग एक-चौथाई हिस्से में आज भी कॉन्सेंग्युनियस विवाह आम हैं. इनमें एशिया, उत्तरी अफ्रीका, स्विट्ज़रलैंड, मध्यपूर्व, और चीन, जापान और भारत के कई हिस्से शामिल हैं. इन सभी जगहों पर कॉन्सेंग्युनियस विवाह के अलग-अलग रूप देखने को मिलते हैं. मुख्यतः कॉन्सेंग्युनियस विवाह उसे कहा जाता है जब कोई व्यक्ति अपने चचेरे/ममेरे भाई/बहन या उससे भी निकट रक्तसंबंधी से शादी करे. दक्षिण भारत में कई जगह लड़कियों की उनके मामा से शादी होना भी कॉन्सेंग्युनियस विवाह का एक उदाहरण है.

कई देश ऐसे भी हैं जहां कॉन्सेंग्युनियस विवाह पर पूरी तरह प्रतिबंध तो नहीं है लेकिन, यह आंशिक रूप से प्रतिबंधित है. उदाहरण के लिए कई अमरीकी राज्यों में कॉन्सेंग्युनियस विवाह की अनुमति सिर्फ उन्हीं लोगों को दी जाती है जिनकी उम्र 65 वर्ष से अधिक हो या जो बच्चे पैदा करने में असमर्थ हों. इसी तरह कुछ देश ऐसे भी हैं जहां सिर्फ चिकित्सकीय जांच के बाद ही कॉन्सेंग्युनियस विवाह की अनुमति दी जाती है. जानकारों का मानना है कि इन सभी देशों में इस तरह के प्रतिबंध सिर्फ इसीलिए लगाए गए हैं ताकि बच्चों में होने वाले आनुवंशिक रोगों को रोका जा सके.

ब्रिटेन में पैदा होने वाले बच्चों में पाकिस्तानी मूल के कुल तीन प्रतिशत बच्चे होते हैं. लेकिन आनुवंशिक रोग के पीड़ित ब्रिटेन के कुल बच्चों में से 13 प्रतिशत पाकिस्तानी मूल के ही हैं.

ऐसे कई अध्ययन हुए हैं जो इस बात की पुष्टि करते हैं कि आम बच्चों के मुकाबले कॉन्सेंग्युनियस विवाह से होने वाली संतानों में आनुवंशिक रोग होने की संभावनाएं कई गुना ज्यादा होती हैं. कुछ समय पहले ही ब्रिटेन के ब्रैडफोर्ड में भी ऐसा एक अध्ययन किया गया था. ब्रैडफोर्ड में पाकिस्तानी मूल के लोगों का बड़ा रिहाइशी इलाका है. यहां की कुल आबादी में लगभग 17 प्रतिशत आबादी पाकिस्तानी मुस्लिम लोगों की है. इन लोगों में से 75 प्रतिशत लोग अपने ही समुदाय में चचेरे/ममेरे भाई/बहनों से शादियां करते हैं. अध्ययन में सामने आया था कि यहां रहने वाले बच्चों में से कई आनुवंशिक रोगों का शिकार हैं और इसका मुख्य कारण कॉन्सेंग्युनियस विवाह ही है. एक अन्य अध्ययन के अनुसार ब्रिटेन में पैदा होने वाले बच्चों में पाकिस्तानी मूल के कुल तीन प्रतिशत बच्चे होते हैं. लेकिन आनुवंशिक रोग के पीड़ित ब्रिटेन के कुल बच्चों में से 13 प्रतिशत पाकिस्तानी मूल के ही हैं.

दक्षिण भारत के कई इलाकों में भी कॉन्सेंग्युनियस विवाह का चलन है. यहां भी यह इस प्रथा के चलते बच्चों में कई तरह के रोग देखे जा सकते हैं. आंध्र प्रदेश की रहने वाली बिंदु शॉ इस विषय पर दिल्ली विश्वविद्यालय से रिसर्च कर रही हैं. वे बताती हैं कि भारत में अब तक ऐसे शोध न के बराबर ही हुए हैं जिनमें कॉन्सेंग्युनियस विवाह और उनके कारण होने वाले आनुवंशिक रोगों को साथ में परखा गया हो. कॉन्सेंग्युनियस विवाह के सामाजिक पहलुओं और आनुवंशिक रोगों के चिकित्सकीय पहलुओं पर अलग-अलग तो कई शोध हो चुके हैं लेकिन इन पर साथ में शोध करने वाली बिंदु शायद पहली भारतीय ही हैं.

'मैंने दो सौ ऐसे परिवारों पर अध्ययन किया है जिन्होंने कॉन्सेंग्युनियस विवाह किया था. इनमें से 97 परिवारों के बच्चे आनुवंशिक रोग से पीड़ित थे.'

बिंदु बताती हैं, 'मैंने दो सौ ऐसे परिवारों पर अध्ययन किया है जिन्होंने कॉन्सेंग्युनियस विवाह किया था. इनमें से 97 परिवारों के बच्चे आनुवंशिक रोग से पीड़ित थे. यह भी देखने में आया है कि चचेरे/ममेरे भाई/बहनों से हुई शादी की तुलना में मामा से शादी होने पर बच्चों में इस तरह के विकारों की संभावनाएं ज्यादा होती हैं.' वे आगे बताती हैं, 'जब भी कोई व्यक्ति अपने रक्तसंबंधियों से शादी करता है तो उनके कई जीन एक समान होते हैं. इस स्थिति में यदि उनके जीन में कोई विकार होता है तो उनके होने वाले बच्चे में ऐसे विकृत जीन की दो प्रतियां पहुंच जाती हैं. यही रोग का कारण बनता है. जबकि समुदाय से बाहर शादी होने पर जीन का दायरा बढ़ जाता है और इसलिए किसी विकृत जीन के बच्चों तक पहुंचने की संभावनाएं काफी कम हो जाती हैं.'

रिसर्च के लिए यह विषय चुनने के बारे में बिंदु बताती हैं, 'मैं जब स्कूल में पढ़ती थी तब से ही इस विषय में मेरी रुचि रही है. हमारे समाज में यह प्रथा आम है और मेरे कई रिश्तेदार इसके चलते आनुवंशिक रोगों का शिकार हुए हैं. इसलिए मैं हमेशा से इस विषय पर रिसर्च करना चाहती थी.' कॉन्सेंग्युनियस विवाह के कई दुष्परिणामों को जानने के बाद भी क्या यह प्रथा सिर्फ धार्मिक और सांस्कृतिक मान्यताओं के चलते ही जारी है? इस सवाल के जवाब में बिंदु कहती हैं, 'मुझे लगता है कि धार्मिक मान्यताओं से ज्यादा सामाजिक पहलुओं के चलते लोग आज भी कॉन्सेंग्युनियस विवाह करते हैं. लोग मानते हैं कि अपने ही संबंधियों से शादी होने पर संपत्ति बाहर नहीं जाएगी और उसका बंटवारा नहीं होगा. इसके साथ ही लड़कियों के माता-पिता अपनी बेटी किसी अजनबी को सौंपने से बेहतर अपने किसी रिश्तेदार को सौंपना ही समझते हैं. विशेष तौर से ग्रामीण इलाकों में इस तरह की शादियों को ही ज्यादा वरीयता दी जाती है.'

कॉन्सेंग्युनियस विवाह को सही ठहराने वाले अक्सर यह तर्क देते हैं कि ऐसे विवाहों से होने वाले बच्चों में आनुवंशिक रोग की संभावनाओं को बढ़ा-चढ़ा कर दर्शाया जाता है.

कॉन्सेंग्युनियस विवाह जिन समुदायों में प्रचलित है उनमें कई बार प्रेम संबंधों के चलते भी इस तरह के विवाह होते हैं. बिंदु बताती हैं, 'बच्चे बहुत छोटी उम्र से ही अपने चचेरे/ममेरे भाई-बहनों से मिलते हैं, उनके साथ खेलते हैं और साथ ही बड़े होते हैं. ऐसे में उनकी आपसी दोस्ती बहुत अच्छी होती है और जब उन्हें इस संभावना का पता होता है कि उनकी शादी हो सकती है तो यह दोस्ती प्रेम संबंधों में भी बदल जाती है.' इन तमाम पहलुओं के अलावा धार्मिक मान्यताओं को भी कई लोग कॉन्सेंग्युनियस विवाह का एक मुख्य कारण मानते हैं.

कॉन्सेंग्युनियस विवाह को सही ठहराने वाले अक्सर यह तर्क देते हैं कि ऐसे विवाहों से होने वाले बच्चों में आनुवंशिक रोग की संभावनाओं को बढ़ा-चढ़ा कर दर्शाया जाता है. ताजिकिस्तान में लिए गए हालिया फैसले का विरोध करने वाले भी यही मांग कर रहे हैं कि इस तथ्य की पुष्टि के लिए ज्यदा आंकड़े प्रस्तुत किये जाएं कि कॉन्सेंग्युनियस विवाह ही आनुवंशिक रोगों का बड़ा कारण है. इन लोगों का तर्क है कि कॉन्सेंग्युनियस विवाह से होने वाले बच्चों के बीमार होने की उतनी ही संभावनाएं होती हैं जितनी किसी 40 वर्ष से अधिक उम्र की महिला के माँ बनने पर उसके बच्चे के बीमार होने की होती हैं. ताजिकिस्तान संसद के फैसले का विरोध करते हुए यह लोग सवाल कर रहे हैं कि जब किसी 40 वर्ष से अधिक उम्र की महिला को मां बनने से नहीं रोका जाता तो फिर कॉन्सेंग्युनियस विवाह करने वालों पर रोक क्यों लगाई जानी चाहिए?

लेकिन चिकित्सा विज्ञान को समझने वाले जानकार मानते हैं कि कॉन्सेंग्युनियस विवाह को धार्मिक या सांस्कृतिक नज़रिए से नहीं बल्कि चिकित्सकीय नज़रिए से परखा जाना जरूरी है और इस लिहाज़ से ताजिकिस्तान के इस फैसले का स्वागत किया जाना चाहिए.

शादीशुदा लड़के से करती थी प्यार... और एक दिन खेतों में लटकती मिली दोनों की लाशें

शादीशुदा लड़के से करती थी प्यार... और एक दिन खेतों में लटकती मिली दोनों की लाशें


जिला के बापौली खंड के गांव अधमी में प्रेमी युगल ने फंदे पर लटक कर आत्महत्या कर ली। वहीं मृतक युवक विवाहित था और युवती अविवाहित थी। जबकि युवती की कुछ दिनों बाद शादी होनी थी। जानकारी के अनुसार गांव अधमी निवासी 25 वर्षीय युवक नसीम पुत्र असगर का गांव की एक युवती से प्रेम प्रसंग चल रहा था। इस मामले को लेकर दोनों के परिजनों की आपस में कहासुनी भी हुई। दोनों परिवारों ने युवक व युवती को समझाया पर उनका मिलना जुलना फिर भी जारी रहा।



शादीशुदा लड़के से करती थी प्यार... और एक दिन खेतों में लटकती मिली दोनों की लाशें

करीब दो साल पहले नसीम का निकाह हो गया। नसीम के एक आठ माह की पुत्री भी है। इसके बाद भी दोनों के बीच प्रेम प्रसंग चलता रहा। वही परिजनों ने युवती का विवाह भी तय कर दिया। इधर, वीरवार की सुबह जब गांव अधमी के ग्रामीण खेतों की ओर गए तो उन्होंने पूर्व सरपंच रोशन लाल के खेत में नसीम व युवती का शव पेड़ से बंधी रस्सी पर लटके हुए देखा। घटना की सूचना मिलते ही काफी संख्या में ग्रामीण मौके पर पहुंच गए। गांव के सरपंच वाशिद की सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची और जांच शुरू की।



पुलिस ने घटनास्थल व शव की हर पहलू को ध्यान में रखते हुए जांच की। वहीं पुलिस ने घटनास्थल की वीडियोग्राफी भी करवाई। पुलिस ने जांच पूरी होने के बाद नसीम व युवती के शवों का पंचनामा भर पोस्टमार्टम के लिए पानीपत के सिविल अस्पताल भिजवा दिया। पुलिस ने मृतकों के परिजनों के बयान दर्ज किए और पोस्मार्टम के बाद दोनों शवों को उनके परिजनों को सौंप दिया। वहीं पुलिस की मौजूदगी में नसीम के शव को दफना दिया गया। जबकि युवती का अंतिम संस्कार कर दिया।





प्रेमी युगल की मौत के मामले में बापौली थाना प्रभारी नरेंद्र दहिया बताया कि नसीम व युवती के मौत के मामले में उनके परिजनों ने कोई शिकायत पुलिस को नहीं दी है। पुलिस ने घटनास्थल व दोनों शवों की हर पहलू को ध्यान में रखका गहन जांच की। पुलिस की जांच में यह मामला आत्महत्या का मिला। इधर इस केस की जांच कर रहे सब इंस्पेक्टर राजेश ने बताया कि नसीम व युवती ने आत्महत्या की है।

गुरुवार, 26 मई 2016

पश्चिमी सरहद से चन्दन सिंह भाटी मूलभूत सुविधाओं से महरूम भारतीय सीमा का अंतिम दलित गांव समेले का तला ,ना सड़क न पानी ना बिजली

पश्चिमी सरहद से चन्दन सिंह भाटी

मूलभूत सुविधाओं से महरूम भारतीय सीमा का अंतिम दलित गांव समेले का तला ,ना सड़क न पानी ना बिजली


पश्चिमी सरहद से चन्दन सिंह भाटी




सीमावर्ती बाड़मेर जिले के पाकिस्तान की अंतर्राष्ट्रीय सीमा से सटे भारतीय क्षेत्र के अंतिम दलित आबादी का गांव समले का तला उर्फ़ कलरो का तला आज़ादी के पेंसठ साल बाद भी मूल भुत सुविधाओं से महरूम हैं ,ना सड़क ,ना पानी ,ना बिजली ,ना सरकारी योजना का कोई लाभ ,जैसे इस गांव के लोग आदिकाल का जीवन जी रहे हैं ,

करीब चौदह सौ मतदाताओं वाले इस दलित गांव में अनुसूचित जाति मेघवाल परिवार रहते हैं ,गाँव में सरकारी बिल्डिंग के नाम पर स्वास्थ्य केंद्र और स्कूल जरूर बनी हैं ,मगर स्कूल में अध्यापक और स्वास्थ्य केंद्र में परिचारिका नहीं ,




सड़कमार्ग ही नहीं




सरहदी इलाके में कहने को ग्रेफ ने सड़कों का जाल बिछा रखा हैं मगर इस गांव को अपनी सड़क तक नसीब नहीं हुई जबकि इस गांव के सत्तर फ़ीट ऊँचे धोरे पर सीमा सुरक्षा बल की अग्रिम पोस्ट कलरो का टला स्थापित हैं ,इस पोस्ट पर भी जाने के लिए कोई सड़क नहीं हैं ,धोरो से गुजरना पड़ता हैं पैदल ,गांव में आने जाने के लिए कोई सड़क मार्ग नहीं




बिजली कुछ घरों में




इस गांव में रहने वाले सारे अनुसूचित जति श्रेणी के हैं ,विद्युत विभाग द्वारा गत चालीस सालो से अनुसूचित जाति परिवारों को बिजली से जोड़ने की दर्जनों योजनाए शुरू की गयी थी ,मगर एक भी योजना का लाभ इस गांव को नहीं मिला ,कुछ बी पी एल परिवार हे जिनके बिजली कनेक्षन हो गए तो बिजली सप्लाई नहीं आती




पानी बेरिया भी जवाब दे चुकी




जलदाय विभाग ने इस गांव में कोई दो साल पहले जी एल आर और उसका आगोर लाखो रुपये खर्च करके बनाया मगर आज तक किसी पेयजल योजना या पाइप लाइन योजना से नहीं जोड़ा ,जी एल आर कबूतरों का आशियाना बन गया ,गांव में करीब एक दर्जन पानी की बेरिया परम्परागत रूप से बनी हुई हैं मगर सभी बेरियो का पानी रीत चूका ,एक विशाल कुआ हैं जो बंद पड़ा हैं ,पानी के लिए गांव की महिलाओं और बच्चों को मिलो का सफर तय कर दो घड़े पानी लाना पड़ता हैं ,या चार सौ रुपये में दस हज़ार लीटर का टेंकर खरीदना पड़ता हैं




खेल सामग्री अध्यापक रखते ताले में




सीमा सुरक्षा बल द्वारा ग्रामीणों के सहयोग के लिए अक्सर चिकित्सा और शिक्षा शिविर लगा ग्रामीणों की मदद की जाती हैं ,सीमा सुरक्षा बल द्वारा छात्रों के लिए उपलब्ध कराई खेल सामग्री प्रधानाध्यापक और अध्यापक अपने घर ले गए ,इन बच्चों के खेल विकास के लिए उस सामग्री का उपयोग होने नहीं दिया




नरेगा में एक भी काम नहीं




रोजगार गारंटी का दावा करने वाली नरेगा योजना से भी इस गाँव को वंचित रखा गया ,नरेगा में एक भी काम इस गाँव में स्वीकृत नहीं हैं ,सरपंच गांव से बीस किलोमीटर दूर नवातला रहता हैं ,जबकि नरेगा में इस गांव को सार्वजनिक ,व्यक्तिगत टाँके और ग्रेवल सड़क का काम आसानी से स्वीकृत किया जा सकता हैं




पशुधन के लिए चारा पानी नहीं




इस गाँव में हर परिवार के पास गोधन हैं ,इस पशुओं के लिए चारे पानी की व्यवस्था में ग्रामीणों का दिन पूरा हो जाता हैं ,हर घर में गाय हैं। इनके लिए पानी की व्यवस्था तो जैसे तेज़ कर लेते हैं मगर चारा की व्यवथा नहीं हो पाती ,अकाल राहत में पशु शिविर की दरकार हैं




सीमा सुरक्षा बल की पोस्ट बिना सड़क




इसी गाँव में करीब सत्तर फ़ीट ऊँचे धोरे पर सीमा सुरक्षा बल की बी ओ पी कलरो का तला के के टी स्थापित हैं ,इस पोस्ट पर जाने के लिए सड़क नहीं हैं ,ग्रेवल भी नहीं ,जवानों द्वारा मार्ग अपने स्तर पर बनाया गया मगर रेतीली आंधियो के चलते इस अस्थायी मार्ग पर पुनः धोरे स्थापित हो जाते हैं सीमा क्षेत्र विकास कार्यक्रम या नरेगा में इस गांव और बी ओ पी को सड़क से जोड़ा जा सकता था ,मगर कभी प्रयास नहीं हुए






जैसलमेर में औद्योगिक क्षेत्र में पेयजल आपूर्ति प्राथमिकता से करे - उद्योग मंत्री श्री गजेन्द्रसिंह



जैसलमेर में औद्योगिक क्षेत्र में पेयजल आपूर्ति प्राथमिकता से करे - उद्योग मंत्री श्री गजेन्द्रसिंह


जैसलमेर , 26 मई/ उद्योग, अप्रवासी भारतीय, युवा मामले एवं खेल मंत्री श्री गजेन्द्र सिंह खीवंसरने जैसलमेर में संचालित रीको, षिल्पग्राम के साथ ही जो नए औद्योगिक क्षेत्र विकसित हो रहे हैं उसमें पानी, बिजली की आपूर्ति प्राथमिकता से विकसित करने के साथ ही सडक एवं अन्य आधारभूत सुविधाएं रीको को विकसित करने के निर्देष दियें। उन्होंने रीको, षिल्पग्राम में पानी की आपूर्ति के बारे में औद्योगिक एसोषियेषन के पदाधिकारियो से जानकारी ली एवं इस संबंध में रीको के अधिकारियों को निर्देष दिये कि वे पेयजल आपूर्ति व्यवस्था के लिए पेयजल विभाग द्वारा जो 1 करोड 12 लाख की स्कीम का संसोधित प्रस्ताव दिया है उसी अनुरुप स्वीकृति करके राषि आवंटित करें। उन्होंने जलदाय विभाग के अधिकारियों को इन औद्योगिक क्षेत्र में पानी आपूर्ति के लिए कार्य त्वरित गति से कराने के निर्देष दियेे।

उद्योग मंत्री श्री गजेन्द्रसिंह गुरुवार को कलेक्ट्रेट सभागार में उद्योग, रीको, खेल विभाग के अधिकारियों की बैठक ली एवं निर्देष दिये कि जैसलमेर में पीले पत्थर के उद्योग के साथ ही अन्य औद्योगिक क्षेत्र को भी विकसित करावें। उन्हांेने रणधा, धनवा, नेडान औद्योगिक क्षेत्र में भी आधारभूत सुविधाएं विकसित करने के निर्देष दिये। बैठक में जैसलमेर विधायक श्री छोटूसिंह भाटी, नगर विकास न्यास के अध्यक्ष डाॅ जितेन्द्र सिंह, पूर्व विधायक सांगसिंह भाटी, समाजसेवी जुगलकिषोर व्यास, सचिव खेल एवं युवा मामले नारायण सिंह, मुख्य कार्यकारी अधिकारी नारायण सिंह चारण के साथ ही उद्योग विभाग से जुडे अधिकारी एवं औद्य़ोगिक एषोसियेषन के पदाधिकारी उपस्थित थे। उद्योग मंत्री ने कहा कि जैसलमेर मंे बडा औद्योगिक क्षेत्र तो है नहीं यहां पर स्माल औद्योगिक क्षेत्र है उसकोे हम और अधिक किस प्रकार से विकसित कर सकते है उसी अनुरुप कार्य करें ताकि यहां के लोगो को उद्योग के माध्यम से रोजगार मिले।

उद्योग मंत्री श्री सिंह ने जैसलमेर की औद्योगिक गतिविधियों की जानकारी ली एवं कहा कि यहां का पीला पत्थर एवं उस पर हो रही कार्विंग काफी प्रचलित है । उन्होंने इस क्षेत्र मंे और अधिक विकास करने के लिए यहां के कारिगरों एवं हस्तषिलपों को कौषल दक्षता का प्रषिक्षण आयोजित कराने के उद्योग विभाग के अधिकारियों को निर्देष दिये। उन्होंने यहां की विंड मील उद्योग के बारे में भी पूरी जानकारी प्राप्त की। उन्हांेने विष्वास दिलाया कि समय सीमा में औद्योगिक क्षेत्रों में पानी, बिजली के साथ ही अन्य सुविधाएं प्राथमिकता से उपलब्ध करवाई जाएगी।

उद्योग मंत्री ने आरएफसी के अधिकारियों से औद्योगिक क्षेत्र में वर्ष 2015 - 16 किये गये ऋण के लक्ष्य एवं वितरण की जानकारी ली। इस संबंध मंे आरएफसी के अधिकारी ने बताया कि 6 करोड 10 लाख के ऋण के लक्ष्य के विरुद्ध 2 करोड 90 लाख का ऋण वितरण किया गया है। उन्होेने प्रधानमंत्री रोजगार गांरटी योजना एवं खादी बोर्ड गतिविधियों की भी विस्तार से समीक्षा की । उद्योग मंत्री ने रीको के अधिकारियों को निर्देष दिये कि वे यहां के औद्योगिक विकास के लिए रुचि के साथ कार्य करें।

उद्योग एवं खेल युवा मामले मंत्री श्री सिंह ने खेल अधिकारी लक्ष्मणसिंह तंवर से यहां के खेल स्टेडियम एवं उसमें संचालित खेल गतिविधियों की पूरी जानकारी ली। उन्होंने यहां के खिलाडियों की रुचि के अनुरुप और अधिक खेल गतिविधियां विकसित करने पर जोर दिया। तंवर ने यहां संचालित बास्केटबाॅल अकेडमी एवं अन्य खेल गतिविधियों की जानकारी दी।

बैठक में औद्योगिक एषोसियेषन के पदाधिकारी गोपीकिषन मेहरा, जुगलकिषोर बोहरा, गिरीष व्यास ने पुनः खनन आवंटन चालू कराने, पीले पत्थर की एक - एक हैक्टर की खान आवंटित कराने, औद्योगिक क्षेत्र में पानी, बिजली की उचित व्यवस्था कराने की आवष्यकता जताई इसके साथ ही दषरथ केला ने कृषि आधारित औद्योगिक क्षेत्र को विकसित कराने का सुझाव दिया।

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जैसलमेर की यात्रा पर आने वाले मंत्री मण्डल समूह की यात्रा स्थगित

जैसलमेर , 26 मई/जैसलमेर की यात्रा पर 27 व 28 मई को आने वाले मंत्री मण्डल समूह की यात्रा अपरिहार्य कारणों से स्थगित हो गयी है।

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बाड़मेर उपखंड में 29 स्थानां पर टैंकरां से जलापूर्ति की स्वीकृति जारी



प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के

आवेदन आनलाइन करने के निर्देश

बाड़मेर, 26 मई। खादी और गामोद्योग आयोग के नवीन निर्देशानुसार प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के आवेदन पत्र आनलाइन स्वीकार किए जाएंगे।

जिला उद्योग केन्द्र के महाप्रबंधक घनश्याम गुप्ता ने बताया कि वर्ष 2015-16 में जिन बेरोजगार प्रार्थियां ने स्वयं का रोजगार उपलब्ध कराने के लिए उद्योग केन्द्र में ऋण आवेदन पत्र जमा कराया था। लेकिन साक्षात्कार में अनुपस्थित रहने के कारण उनका आवेदन पत्र टास्क फोर्स समिति के समक्ष प्रस्तुत नहीं किया जा सका। ऐसे आवेदकां को उद्योग केन्द्र से व्यक्तिगत संपर्क कर अपना आवेदन पत्र प्राप्त करने के बाद खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग की बेवसाइट ूूणअपबवदसपदमण्हवअण्पदध्चउमहच पर आवेदन पत्र मय दस्तावेजां को अपलोड करना होगा। ताकि उनको आगामी साक्षात्कार की सूची में शामिल किया जा सके। उन्हांने बताया कि अधिक जानकारी के लिए जिला उद्योग केन्द्र के दूरभाष 02982-220320,220619 पर संपर्क किया जा सकता है।

बाड़मेर उपखंड में 29 स्थानां पर

टैंकरां से जलापूर्ति की स्वीकृति जारी


बाड़मेर, 26 मई। गैर अभावग्रस्त गांवां एवं नगरीय क्षेत्रां में आपातकालीन पेयजल उपलब्ध कराने के लिए जारी दिशा-निर्देशानुसार उपखंड स्तरीय समिति की अभिशंषा के अनुसार बाड़मेर उपखंड में 29 स्थानां पर टैंकरां के जरिए आगामी एक माह तक जलापूर्ति करने की स्वीकृति जारी की गई है।

जिला कलक्टर सुधीर शर्मा ने बताया कि उपखंड अधिकारी की ओर से पेयजल परिवहन का साप्ताहिक कलेंडर जारी कर उसकी प्रति संबंधित को दी जाएगी। साप्ताहिक कलेंडर के अनुसार साप्ताहिक ट्रिप्स के हिसाब से अनुमत पेयजल मात्रा की पर्ची संबंधित निर्धारित स्थल के लिए जारी की जाएगी। प्रत्येक सप्ताह निर्धारित स्थानां पर आवश्यक रूप से जलापूर्ति करनी होगी। उन्हांने बताया कि बाड़मेर उपखंड क्षेत्र में रावतसर ग्राम पंचायत में सार्वजनिक टांका बुधराणियो की ढाणी,सार्वजनिक टांका प्रावि चवोनी मेघवालो की ढाणी, सार्वजनिक टांका जाखड़ों की ढाणी, सार्वजनिक टांका शेरानी सारणो की ढाणी, सार्वजनिक टांका गांव तलिया रावतसर, सार्वजनिक टांका ताजा नाडा खेतोणी मेघवालां की ढाणी, सार्वजनिक टांका देकोणी मेघवालां की ढाणी, सार्वजनिक टांका गोदारो की ढाणी, सार्वजनिक टांका राप्रावि जाणियो की ढाणी, सार्वजनिक टांका पोटलियो की ढाणी, राप्रावि रावत नाडा, सार्वजनिक टांका चिमोणी की ढाणी, सार्वजनिक टांका तेलियो की ढाणी, राप्रावि साजनोणी मेघवालां की ढाणी में जलापूर्ति की स्वीकृति जारी की गई है। इसी तरह कुड़ला ग्राम पंचायत में भादूओ की ढाणी एवं भाटो की ढाणी, मानाराम कडवासरों की ढाणी, कुडला, दीपाणियां थोरियो एवं डोगयालो की ढाणी, हनुमान बेरड़ एवं हुडो की ढाणी, ईशराम मालियो एवं केहराणी मालियो की ढाणी, भूराणी चोटिया एवं लाणी काटा, ईशरामां की ढाणी, नाथाणियां का वास, बैरड़ां की ढाणी, कलाणी जाखड़ एवं जाखड़ां की ढाणी, शिवकर, उमाणी मेघवालां की ढाणी, झीफाणी हुडो की ढाणी एवं नेहरो की ढाणी के सार्वजनिक टांकां में जलापूर्ति करने की स्वीकृति जारी की गई है। जिला कलक्टर शर्मा के मुताबिक संबंधित उपखंड अधिकारी, तहसीलदार एवं विकास अधिकारियां को निर्धारित नार्म्स के अनुसार जलापूर्ति एवं हाइडेंट रजिस्टर का निरीक्षण कर रिपोर्ट भिजवाने के निर्देश दिए गए है।

जन प्रतिनिधियां से स्वच्छ भारत मिशन में

सक्रिय भूमिका निभाने का आहवान


बाड़मेर, 26 मई। जन प्रतिनिधि अपनी ग्राम पंचायत एवं बाड़मेर जिले को खुले में शौच से मुक्त ओडीएफ घोषित करवाने में सक्रिय भूमिका निभाएं। इसके लिए आमजन को स्वच्छता के फायदे बताने के साथ अपने घर में शौचालय निर्माण के लिए प्रोत्साहित किया जाए। जिला कलक्टर सुधीर शर्मा ने गुरूवार को बायतू पंचायत समिति में स्वच्छ भारत मिशन के तहत आयोजित एक दिवसीय कार्यशाला के दौरान कही।

जिला कलक्टर सुधीर शर्मा ने कहा कि प्रत्येक ग्राम पंचायत को ओडीएफ घोषित करवाने के लिए जन प्रतिनिधियां, सरकारी कर्मचारियां के साथ जागरूक गणमान्य लोगां को समन्वित प्रयास करने होंगे। उन्हांने कहा कि स्वच्छता को अपनाने एवं प्रत्येक घर में शौचालय निर्माण करवाकर उसका उपयोग लेने से कई तरह की बीमारियां पर अंकुश लगता है। इस बात को प्रत्येक व्यक्ति को अच्छी तरह से समझानी होगी। इसके लिए जन प्रतिनिधियां, सरकारी कर्मचारियां के साथ प्रत्येक गांव में गणमान्य मौजीज लोग महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते है। उन्हांने कहा कि शौचालय निर्माण के लिए स्वच्छ भारत मिशन एवं महात्मा गांधी नरेगा योजना में राशि उपलब्ध कराई जा रही है। इस अवसर पर अतिरिक्त जिला कार्यक्रम समन्वयक सुरेश कुमार दाधीच ने कहा कि महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत जो ग्राम पंचायत ओडीएफ खुले में शौच से मुक्त घोषित हो जाती है उसको सफाई कर्मचारी भी उपलब्ध कराए जाते है। उन्हांने कहा कि घर में शौचालय निर्माण करवाने के कई फायदे है। इससे कई बीमारियां पर अंकुश लगने के साथ बहू-बेटियां को खुले में शौच जाने के कारण होने वाली परेशानियां से राहत मिल जाती है। इस दौरान गिड़ा प्रधान लक्ष्मणराम चौधरी, विकास अधिकारी मनवीरसिंह बेनिवाल, बायतू पंचायत समिति सरपंच संघ अध्यक्ष हनुमान बेनिवाल, स्वच्छ भारत मिशन के पुष्पेन्द्रसिंह समेत कई अधिकारी एवं जन प्रतिनिधि उपस्थित रहे।

बाड़मेर में दो दिन जलापूर्ति बाधित रहेगी



बाड़मेर में दो दिन जलापूर्ति बाधित रहेगी
बाड़मेर, 26 मई। बाड़मेर लिफ्ट परियोजना से जुड़े उपभोक्ताआें को आगामी दो दिन तक जलापूर्ति नहीं की जा सकेगी।

जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग नगर खंड के अधिशाषी अभियंता ने बताया कि मोहनगढ़ में विद्युत व्यवधान के कारण नहरी पानी की आगामी दो दिन तक आपूर्ति बाधित रहेगी। उन्हांने उपभोक्ताआें से जल उपभोग में मितव्ययता बरतने की अपील की है।

जैसलमेर , बाहला और चैक मे आयोजित ’’ न्याय आपके द्वार ’’ षिविर में 5 बंटवारें के प्रकरण व 102 नामांतकरण खोले गये



जैसलमेर , बाहला और चैक मे आयोजित ’’ न्याय आपके द्वार ’’

षिविर में 5 बंटवारें के प्रकरण व 102 नामांतकरण खोले गये




जैसलमेर , 26 मई/ग्रामपंचायत बाहला और चैक में आयोजित राजस्व लोक अदालत - न्याय आपके द्वार षिविर ग्रामीणों के लिए लाभदायी रहा है। अतिरिक्त जिला कलक्टर भागीरथ शर्मा ने बताया कि इन षिविरो के माध्यम से 102 नामान्तरण खोले जाकर दर्ज किये गये वहीं आपसी सहमति से 05 बंटवारा के प्रकरणों का निस्तारण लोगो को राहत प्रदान की गई।

अतिरिक्त जिला कलक्टर शर्मा ने बताया कि ग्रामपंचायत बाहला में आयोजित षिविर के दौरान 27 नामांतकरण खोले गये तथा खाता विभाजन के 01 व नए राजस्व ग्राम के प्रस्ताव का 01 मामला निस्तारित किया गए। वहीं गैर खातेदारी से खातदारी के 9 और 72 अन्य कार्य निपटाए जाने के साथ ही 16 राजस्व नकले लोगो को प्रदान की गई।

उन्होंने बताया कि ग्रामपंचायत चैक में आयोजित षिविर में उपखंड अधिकारी द्वारा 06 खाता दुरुस्ती के प्रकरण निपटाए गये वहीं खाता विभाजन के 4 मामले निस्तारित किये गये। तहसीलदार द्वारा षिविर के दौरान 75 नामान्तकरण खोले गये वहीं 30 राजस्व नकले लोगो को प्रदान की गई।

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जैसलमेर ,30 वर्ष बाद पैतृक भूमि में मिला खेतसिंह को अपनी खातेदारी का असली हक



30 वर्ष बाद पैतृक भूमि में मिला खेतसिंह को अपनी खातेदारी का असली हक
जैसलमेर , 26 मई/ग्राम पंचायत चेलक में आयोजित न्याय आपके द्वार षिविर खेतसिंह पुत्र सुरतसिंह राजपूत निवासी आसलोई के लिए वरदान साबित हुआ। षिविर के दौरान प्रार्थी खेतसिंह द्वारा प्रार्थना पत्र पेष कर निवेदन किया कि उसके पिता सुरतसिंह का स्वर्गवास होने पर वर्ष 1986 में दर्ज नामान्तकरण में उसकी माता श्रीमती जेठी व भाई गैमरसिंह, नरपतसिंह का नाम दर्ज हुआ था। परन्तु उसका नाम नामान्तकरण में दायर होने से छूट गया उस समय खेतसिंह की उम्र 2 वर्ष की थी।

खेतसिंह द्वारा उपखंड अधिकारी फतेहगढ जयसिंह के समक्ष राजकीय भूमि राजस्व अधिनियम 1956 की धारा 75 के तहत ग्राम आसलोई के नामान्तकरण संखया 39 की अपील पेष की । इस संबंध में उपखंड अधिकारी द्वारा तहसीलदार फतेहगढ से जांच करवायी जाकर अपील स्वीकार कर खेतसिंह का नाम खातेदारी भूमि में जोडने के आदेष दिये गये।

इस प्रकार सरकार द्वारा चलाया गया राजस्व लोक अदालत अभियान - न्याय आपके द्वार खेतसिंह के लिए जैसे घर बैठे गंगा आई को शुकून लाया। खेतसिंह को 30 वर्ष बाद अपने खतेदारी अधिकारी प्राप्त होने से उसकी आंखे छलक पडी तथा उसके खुखी का ठिकाना नहीं रहा। खेतसिंह ने इस निर्णय पर राज्य सरकार के प्रति आभार जताते हुए कहा कि ये अभियान वास्तव में मेरे जैसे कितने व्यक्तियों को भूमि का मालिकाना हक प्रदान करता है। इससे पूर्व खेतसिंह के मन में सदैव यह ही भय रहता था कि उसकी पेतृत जमीन में उसे हक मिलेगा या नहीं । षिविर में उपस्थित ग्रामीणों के समक्ष जब खेतसिंह को अपनी पेतृक भूमि का असली मालिकाना हक मिला तो वह वास्तव में बहुत ही प्रसन्नचित हुआ एवं कहा कि वह अब उस जमीन को अच्छी तरह से खेती के लिए विकसित करेगा वहीं उसे केसीसी लेने के साथ ही अन्य परिलाभ प्राप्त होने में सुविधा मिलेगी। इस प्रकार खेतसिंह के लिए तो वास्तव में यह अभियान वरदान साबित हुआ एवं उसे गावं में ही न्याय का पैगाम प्राप्त हुआ।

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जिला परिषद की साधारण सभा की बैठक में पानी बिजली के साथ ही विभागीय गतिविधियों पर विस्तार से समीक्षा

जिले में पेयजल एवं विद्युत आपूर्ति पर विषेष ध्यान देकर लोगो को गर्मी में पीने का पानी समय पर उपलब्ध करावे - विधायक भाटी

जन प्रतिनिधियों द्वारा पेष समस्याओं का अधिकारी प्राथमिकता से निस्तारण करें


जैसलमेर , 26 मई/जिला प्रमुख श्रीमती अंजना मेघवाल की अध्यक्षता में गुरुवार को अटल सेवा केन्द्र जिला परिषद में जिला परिषद की साधारण सभा की बैठक आयोजित हुई जिसमें पानी , बिजली के साथ ही विभिन्न विभागीय गतिविधियों पर विस्तार से समीक्षा की गई। बैठक में जैसलमेर विधायक छोटूसिंह भाटी, उप जिला प्रमुख उम्मेदसिंह नरावत, पंचायत समिति जैसलमेर की प्रधान अमरदीन, सांकडा प्रधान अमतुल्ला मेहर, जिला पुलिस अधीक्षक डाॅ राजीव पचार, अतिरिक्त जिला कलक्टर भागीरथ शर्मा, मुख्य कार्यकारी अधिकारी नारायणसिंह चारण के साथ ही जिला परिषद सदस्य एवं विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।

जैसलमेर विधायक छोटूसिंह भाटी ने विषेष रुप से पानी एवं बिजली के अधिकारियों को निर्देष दिये कि वे इस भीषण गर्मी में पेयजल एवं विद्युत आपूर्ति सुचारु बनाकर लोगो को किसी भी सूरत में समय पर पीने का पानी उपलब्ध करावे। उन्होंने यह भी हिदायत दी कि कोई भी अभिंयता पेयजल आपूर्ति करवाने में किसी प्र्रकार की कोताही न बरतें। उन्होंने अधीक्षण अभियंता जलदाय को निर्देष दिये कि जिस ठेकेदार की लापरवाही से पानी जैसे महत्वपूर्ण कार्य समय पर नहीं करवाये जाते है उसको ब्लैक लिस्टेड करावें। उन्होंने अधीक्षण अभियता विद्युत को निर्देष दिये कि वे पेयजल विभाग के बकाया नलकूपों पर प्राथमिकता से विद्युत के कनेक्षन जारी करावे।

विधायक भाटी ने मांग के अनुरुप टैंकरो से पेयजल परिवहन कर लोगो का पीने का पानी उपलब्ध कराने में कोई कसर नहीं छोडे। उन्हांेने विद्युत आपूर्ति व्यवधान होने पर त्वरित गति से उसमें सुधार लाने की कार्यवाही करने के निर्देष दिये ताकि पेयजल आपूर्ति सुचारु रुप से बनी रहे। उन्होंने कोठडी मे नए नलकूप के प्रस्ताव लेकर उसकी स्वीकृति करवाने पर जोर दिया ताकि खुहडी एवं जांनरा को मीठा पानी पिलाया जा सके। उन्होंने डांगरी के रामसर मे नलकूप के प्रस्ताव लेने पर जोर दिया।

उन्होंने काठोडी में आईडब्ल्यूएमपी से जो आठ जीएलआर बनाई गई है जहां न तो आबादी है एवं न ही उसकी उपयोगिता हैं व न ही पानी आ रहा है इसके लिए उन्होंने काफी नाराजगी जताई एवं अधीक्षण अभियंता आईडब्ल्यूएमपी को निर्देष दिये कि वे इसकी जांच कराए एवं संबंधित अधिकारी की उतरदायी तय की जाकर उसके खिलाफ कार्यवाही अमल में लाई जावे। उन्होंने जिला पुलिस अधीक्षक को सरकारी सम्पति की चोरी करने वाले लोगो के खिलाफ सख्ताई से कार्यवाही करने की बात कही। उन्होंने अधिकारियों को सरकार द्वारा संचालित कल्याणकारी योजनाओं का लाभ पात्र लोगों को उपलब्ध कराने के निर्देष दिये।

जिला प्रमुख श्रीमती अंजना मेघवाल ने अधिकारियों को निर्देष दिये कि वे जनप्रतिनिधियों द्वारा पेष की जाने वाली समस्याओं को प्राथमिकता से निस्तारण करने पर जोर दिया एवं कहा कि वे समय पर पालना रिपोर्ट प्रस्तुत करेें। उन्होंने अधीक्षण अभियंता जलदाय एवं विद्युत को जिला परिषद सदस्यों द्वारा उनके अभियंताओं द्वारा मोबाइल फोन अटैन्ड नही करने की बात पर निर्देष दिये कि वे अपने कनिष्ठ एवं सहायक अभियंताओं को पाबंद कर दे कि जनप्रतिनिधियो द्वार जब भी फोन किया जावे उसको उठावे जो समस्या बतायी जाती है उसका निदान करावे। उन्होंने बीएडीपी में पानी एवं बिजली के अधिक कार्य लेने के साथ ही नहरी क्षेत्र मे डिग्गियो के प्रस्ताव लेने पर बल दिया। उन्होंने जीएलआर की सफाई का प्रमाणीकरण जिला परिषद सदस्यो , पंचायत समिति सदस्यो एवं सरंपचो से कराने के बाद ही भुगतान की कार्यवाही करे। उन्होने बैठक में जिला परिषद सदस्यो ने क्षेत्र की पानी - बिजली के साथ ही जो अन्य समस्याए होती है उसका भी समाधान कर उनको अवगत करावे।

जिला पुलिस अधीक्षक डाॅ राजीव पचार ने बताया कि जब भी पानी, बिजली के अधिकारियों द्वारा सरकारी सम्पति की चोरी के संबंध में बताया जाता है तो उसमें त्वरित कार्यवाही की जाती हैं। उन्होंने अधिकारियों को समय पर चोरी के मामले में पुलिस में एफआईआर दर्ज करानेे के निर्देष दिए।

उपजिला प्रमुख उम्मेदसिंह नरावत ने ताडान आर.ओ प्लांट को शीध्र विद्युत कनेक्षन करके उसको चालू करने की बात कही ताकि लोगो को समय पर मीठा पानी मिले। उन्होंने बीएडीपी में पंचायत राज सदस्यो से चर्चा कर कार्यो के प्रस्ताव लेेने का सुझाव दिया। उन्होंने ताडान, सत्याया , बहादुरसिंह की ढाणी, सेवडा को लिफ्ट परियोजना में जोडने की आवष्यकता जताई। पंचायत समिति जैसलमेर के प्रधान अमरदीन ने जलग्रहण परियोजना में निर्मित 80 प्रतिषत पषु खेलिया क्षतिग्रस्त है उसकी मरम्मत कराने एवं जांच करवाने की आवष्यकता जताई। पंचायत समिति सांकडा की प्रधान अमतुल्ला मेहर ने फलसूण्ड क्षेत्र में पेयजल आपूर्ति सुचारु कराने के साथ ही झलारिया में पानी के टैंकर भेजकर लोगो को पीने का पानी उपलब्धा कराने की बात कहीं।

मुख्य कार्यकारी अधिकारी चारण ने बैठक में अनुपालना रिपोर्ट का गठन किया एवं अधिकारियों को निर्देष दिये कि वे समय पर सही पालना रिपोर्ट पेष करे ताकि सदस्यो को उसकी जानकारी प्रदान की जा सके।

बैठक में जिला परिषद सदस्य पे्रम डूंगर सिंह ने राजसिंह की ढाणी में जीएलआर का प्रस्ताव लेने, खींया से मनदा पाईप लाईन में पेयजल आपूर्ति कराने, सुल्ताना के रामदेव नगर में गायो के लिए पीने का पानी उपलब्ध कराने , सदस्य पीराने खां ने खंडवों की बस्ती में जीएलआर में पानी आपूर्ति कराने , श्रीमती चेतना कंवर ने धोबा क्षतिग्रस्त पाईप लाईन को सही कराने , रासला में पानी आपूर्ति कराने , सदस्य कुंदन लाल प्रजापत ने नगा, नगो की ढाणी, सेडवा, भवरुराम भील की ढाणी में पानी आपूर्ति कराने, सदस्य जसवंत सिंह ने जानरा आरओं प्लान्ट को चालू कराने , दीपाराम ने इन्द्रानगर में नलकूप के प्रस्ताव लेने के साथ ही समिति सदस्य सुश्री ममता कुमारी, श्रीमती संगीत, अषोक कुमार , श्रीमती रमत खातून, श्रीमती पूनमकंवर, श्रीमती रानी, रविन्द्र कुमार ने भी अपने अपने क्षेत्र की पानी बिजली के साथ ही अन्य समस्याओं से अधिकारियों को अवगत कराया।

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श्रम कौषल, नियोजन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री सुरेन्द्र पाल सिंह टीटी दो दिवसीय यात्रा पर शुक्रवार को जैसलमेर पहुंचेंगे



जैसलमेर , 26 मई/श्रम, कौषल , नियोजन , उद्यमिता, कारखाना और बायलर्स राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार श्री सुरेन्द्र पाल सिंह टी.टी. दो दिवसीय यात्रा पर शुक्रवार, 27 मई को प्रातः जैसलमेर आ रहे है। श्रम मंत्री श्री टी.टी. 27 व 28 मई को जैसलमेर में आयोजित मंत्रीगण समूहो की बैठक में भाग लेंगे। वे शनिवार को सांय 5 बजे जैसलमेर से जयपुुर के लिए प्रस्थान करेंगे।

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ग्रामीण युवा मंडल को सक्रिय करावे- जोषी

10 जून तक नवीन कार्यकारिणी का गठन करे

जैसलमेर 26 मई/ नेहरू युवा केन्द्र जैसलमेर से संबद्व व सोसायटी एक्ट में पंजीकृत ग्रामीण युवा मंडलो के पदाधिकारियो से नेहरू युवा केन्द्र के जिला युवा समन्वयक ओमप्रकाष जोषी ने आह्वान किया है कि वे स्वंय के गांव में स्थापित युवा मंडल को सक्रिय करावे । सक्रिय कराने की दिषा में युवा मंडल की नवीन कार्यकारिणी के चुनाव करावे तथा भारत सरकार की नई राष्ट्रीय युवा नीति की के अनुरूप युवा मंडल में 15 से 29 आयु वर्ग के युवाओ को ही षामिल कराया जाये।

जोषी ने ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र में कार्यरत युवा मंडल 10 जून 2016 से पूर्व अपने अपने मंडलो में नई कार्यकारिणी का गठन करावे तथा उनमें 15 से 29 आयु वर्ग के युवाओ को ही षामिल करावे तथा युवा मंडल अपनी नई कार्यकारिणी की सूचना व सदस्यो की सूची नेहरू युवा केन्द्र को उपलब्ध करावे ताकि केन्द्र के अभिलेखो व संगठन मुख्यालय की बेबसाईट पर उनके नाम दर्ज किये जा सके।

जोषी ने कहा कि जो युवा मंडल नवीन कार्यकारिणी की सूचना निष्चित तिथी तक उपलब्ध नहीं करायेगे और जिन युवा मंडलो में 15 से 29 आयु वर्ग युवा नहीं होगे उन युवा मंडलो के नाम केन्द्र की बेबसाईट ओैर अभिलेख से हटा दिये जायेगे साथ ही उप रजिस्ट्रार सहकारी समिति कार्यालय को भी उनके पंजीयन निरस्त करने की अनुषंषा कर दी जायेगी।

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री श्री राजेन्द्र राठौड दो दिवसीय यात्रा पर शुक्र्रवार को जैसलमेर आऐगे



चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री श्री राजेन्द्र राठौड दो दिवसीय यात्रा पर शुक्र्रवार को जैसलमेर आऐगे


जैसलमेर , 26 मई/चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, आयुर्वेद, संसदीय मामलात मंत्री श्री राजेन्द्र राठौड दो दिवसीय यात्रा पर शुक्रवार को जैसलमेर आ रहे है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री शुक्रवार, 27 मई व 28 मई शनिवार को जनप्रतिनिधियो, कार्यकर्ताओं एवं क्षेत्रीय जनता के साथ विकास कार्याे पर चर्चा करेंगे। वे 28 मई को सांय जैसलमेर से जयपुर के लिए प्रस्थान करेंगे।

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उपाध्यक्ष बीस सूत्री कार्यक्रम डाॅ दिगम्बर सिंह दो दिवसीय यात्रा पर शुक्रवार को जैसलमेर आएंगें


जैसलमेर , 26 मई/उपाध्यक्ष बीस सूत्री कार्यक्रम , आयोजन , समन्वय एवं क्रियान्वयन डाॅ दिगम्बर सिंह दो दिवसीय यात्रा पर शुक्रवार, 27 मई को जैसलमेर आ रहे है। डाॅ सिंह 27 व 28 मई को जैसलमेर में आयोजित जनप्रतिनिधियो, कार्यकर्ताओं के सम्मेलन में भाग लेंगे। वे शनिवार को सांय जैसलमेर से जयपुर के लिए प्रस्थान करेंगे।

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जिले के प्रभारी मंत्री श्री अमराराम चैधरी 27 व 28 मई को जैसलमेर यात्रा पर


जैसलमेर , 26 मई/जिले के प्रभारी मंत्री एवं राजस्व, उपनिवेषन मंत्री श्री अमराराम चैधरी 27 व 28 मई को दो दिवसीय यात्रा पर जैसलमेर आ रहे है। प्रभारी मंत्री श्री चैधरी 27 व 28 मई को जैसलमेर में आयोजित जनप्रतिनिधियो, कार्यकर्ताओं के सम्मेलन में भाग लेंगे।

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राजस्थान मेडिकेयर रिलीफ सोसायटी की बैठक शुक्रवार को


जैसलमेर , 26 मई/राजस्थान मेडिकेयर रिलीफ सोसायटी जैसलमेर की बैठक जिला कलक्टर विष्व मोहन शर्मा की अध्यक्षता में शुक्रवार, 27 मई को सांय 5 बजे कलेक्ट्रेट सभागार में रखी गई है। प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डाॅ जे.आर.पंवार ने यह जानकारी दी।

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बाड़मेर,एफआरटी सेवा से आमजन को मिलेगी राहतःचौधरी



बाड़मेर,एफआरटी सेवा से आमजन को मिलेगी राहतःचौधरी

-राजस्व राज्यमंत्री अमराराम चौधरी,जिला प्रमुख श्रीमती प्रियंका मेघवाल, यूआईटी चैयरमैन डा.प्रियंका चौधरी ने एफआरटी वाहनो को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
बाड़मेर, 26 मई। जिला मुख्यालय पर एफआरटी सेवा प्रारंभ होने से आमजन को राहत मिलेगी। इससे विद्युत संबंधित समस्याआें का त्वरित गति से समाधान हो सकेगा। राजस्व राज्यमंत्री अमराराम चौधरी ने गुरूवार को जिला मुख्यालय पर जोधपुर डिस्काम की एफआरटी सेवा के शुभारंभ के अवसर पर कही। इसके तहत उपभोक्ता अब टोल फ्री दूरभाष 1800-180-6045 पर विद्युत संबंधित समस्या का समाधान करवा सकते है।

इस अवसर पर राजस्व राज्यमंत्री अमराराम चौधरी ने कहा कि एफआरटी सेवा प्रारंभ करने वाली कंपनी सेवा की भावना से कार्य करने के साथ आमजन को अधिकाधिक राहत दिलाने के प्रयास करें। एफआरटी की शुरूआत से मौजूदा समय में कम स्टाफ की वजह से दिक्कतां का सामना कर रहे डिस्काम को भी राहत मिलेगी। उन्हांने कहा कि मौजूदा गर्मी के मौसम में कई बार विद्युत संबंधित फाल्ट स्टाफ की कमी के चलते अथवा कार्य की अधिकता के चलते देरी से दुरस्त हो पाता है। ऐसे में एफआरटी की सेवाआें की बदौलत अधिकाधिक विद्युत संबंधित समस्याएं अधिकतम दो घंटे की अवधि में निस्तारित कर दी जाएगी। उन्हांने कहा कि बाड़मेर में बेहतरीन सेवाएं मिलने के बाद एफआरटी की सेवाएं बालोतरा में भी प्रारंभ करवाने के प्रयास किए जाएंगे। उन्हांने कहा कि बाड़मेर जिला जोधपुर एवं प्रदेश के अन्य बड़े शहरां की तरह विकास कर रहा है। राज्य सरकार बाड़मेर के विकास को लेकर बेहद गंभीर है। शुभारंभ समारोह में जिला प्रमुख श्रीमती प्रियंका मेघवाल, यूआईटी चैयरमैन डा.प्रियंका चौधरी, अतिरिक्त जिला कलक्टर ओ.पी.बिश्नोई, डिस्काम के पूर्व एमडी बी.डी.मालू, उपखंड अधिकारी एच.आर.मेहरा, अधीक्षण अभियंता जी.आर.सिरवी, अधिशाषी अभियंता मांगीलाल जाट, कंपनी के मैनेजर हरफूल सिंह समेत जन प्रतिनिधि एवं विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।

समारोह में यूआईटी चैयरमैन डा.प्रियंका चौधरी ने कहा कि विद्युतापूर्ति में पहले की अपेक्षा काफी सुधार हुआ है। फिर भी कई बार फाल्ट के कारण उपभोक्ताआें को दिक्कतां का सामना करना पड़ता है। राज्य सरकार ने एफआरटी के जरिए विद्युत संबंधित समस्याआें के समाधान की शुरूआत की है। इससे आमजन को खासी राहत मिलेगी। उन्हांने कहा कि कंपनी उनको सौंपी गई जिम्मेदारी को बखूबी निभाने के साथ त्वरित गति एवं बेहद कम समय में विद्युत संबंधित समस्याआें का निस्तारण करें। उन्हांने कहा कि एफआरटी के टोल फ्री नंबर का अधिकाधिक प्रचार-प्रसार करें,ताकि आमजन को इसका वास्तविक फायदा मिल सके।

इस अवसर पर अतिरिक्त जिला कलक्टर ओ.पी.बिश्नोई ने कहा कि डिस्काम को स्टाफ की कमी एवं लंबी विद्युत लाइनां के कारण फाल्ट होने की स्थिति में कई बार इसको दुरस्त करने में काफी समय लग जाता है। एफआरटी की शुरूआत से डिस्काम के साथ आम उपभोक्ताआें को खासी राहत मिलेगी। डिस्काम के अधीक्षण अभियंता गोपाराम सिरवी ने कहा कि एफआरटी की सेवाएं बाड़मेर जिला मुख्यालय पर दो सब डिविजन नए एवं पुराने पावर हाउस से संचालित होगी। यहां दो टीमें लगातार चौबीस घंटे मय तीन पारियां में कार्मिकां की सेवाआें के साथ तैनात रहेगी। टीमां के पास वाहन के साथ अत्याधुनिक विद्युत उपकरण भी उपलब्ध रहेगे। ताकि कम समय में उपभोक्ताआें की विद्युत संबंधित समस्याआें का निस्तारण किया जा सके। इस दौरान राजस्व राज्यमंत्री अमराराम चौधरी, जिला प्रमुख श्रीमती प्रियंका मेघवाल, यूआईटी चैयरमैन डा.प्रियंका चौधरी, अतिरिक्त जिला कलक्टर ओ.पी.बिश्नोई एवं अधीक्षण अभियंता जी.आर.सिरवी ने एफआरटी के वाहनो को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।

दो घंटे में ऐसे होगा विद्युत समस्याआें का समाधानः टोल फ्री नंबर 1800-180-6045 पर शिकायत दर्ज होते ही उपभोक्ताआें को एसएमएस के माध्यम से शिकायत संख्या प्राप्त होगी। यह शिकायत कस्टमर केयर सेंटर के माध्यम से तुरंत एफआरटी टीम तक पहुंच जाएगी। इसके पश्चात एफआरटी टीम शिकायत दर्ज होने के अधिकतम दो घंटे के भीतर विद्युत समस्या का निवारण करेगी। शिकायत निवारण के बाद उपभोक्ताआें को काल करके सेवा की गुणवत्ता की जांच की जाएगी। उन्हांने बताया कि इस नवीन व्यवस्था से बाड़मेर शहर के उपभोक्ताआें की विद्युत संबंधित समस्याआें का दो घंटे के भीतर समाधान हो सकेगा। इससे बाड़मेर शहर के 36 हजार उपभोक्ता लाभांवित होंगे। जयपुर, जोधपुर एवं अन्य बड़े शहरां की तर्ज पर इंटेलनेट ग्लोबल सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड कंपनी गुड़गांव हरियाणा को संविदा पर इसका जिम्मा दिया गया है।

जोधपुर डिस्काम श्रमिक संघ ने ऊर्जा राज्य मन्त्री राणावत का मुख्यालय पहुंचने पर किया स्वागत



जोधपुर डिस्काम श्रमिक संघ ने ऊर्जा राज्य मन्त्री राणावत का मुख्यालय पहुंचने पर किया स्वागत

श्रमिक समस्याओं को लेकर सौंपा ज्ञापन


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सुनील दवे की रिपोर्ट 
जोधपुर विद्युत वितरण निगम लिमिटेड जोधपुर प्रबन्ध निदेशक मुख्यालय पर आज ऊर्जा राज्य मन्त्री श्री पुष्पेन्द्र सिंह राणावत नें कम्प्यूटरिकृत फीडर नियंत्रण पेनल ( स्काडा कण्ट्रोल ) सिस्टम का अवलोकन किया ।

पहली बार जोधपुर डिस्काम मुख्यालय पधारने पर जोधपुर डिस्काम श्रमिक संघ प्रदेशाध्यक्ष श्री सोहन सिंह जैतमाल महामन्त्री श्रीजब्बर सिंह पंवार व संरक्षक श्री जगदीश दाधीश के साथ भारतीय मजदूर संघ के पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं ने माननीय मन्त्री जी का भव्य स्वागत किया ।

राणावत ने जोधपुर डिस्काम बुलेटिन पुस्तिका का विमोचन किया ।

कार्यक्रमों के उपरान्त सभी अधिकारियों के साथ बैठक ली व राजस्थान विद्युत क्षेत्र में उपलब्धियों पर प्रकाश डाला व केंद्र सरकार द्वारा घोषित त्वरित "उर्जा विकास व सुधार कार्यक्रम " ( RAPDRP ) नवीन सुधार व विद्युत प्रयोजनाओं की जानकारी दी । वहीं जोधपुर डिस्काम श्रमिक संघ द्वारा श्रमिक समस्याओं को लेकर व निगम हित में मांग पत्र दिया गया । संगठन की मांग पर विगत दिनों जिला बदर किए गए हड़ताली कर्मचारियों को गृह जिले में पुनः पद स्थापित करने के लिए मन्त्रीजी द्वारा प्रबन्ध निदेशक महोदया आरती डोगरा को मौखिक निर्देश दिए गए।

बैठक के उपरांत श्रमिक संघ प्रतिनिधि मण्डल ने कर्मचारियों के विभिन्न मुद्दों को लेकर प्रबन्ध निदेशक महोदया से वार्ता की उन्होंने संगठन के मांग पत्र पर तुरन्त अमल कर समस्या निस्तारण का भरोसा दीया ।

इस अवसर पर डिस्काम उपाध्यक्ष रघुनाथ सिंह सोलंकी,धर्म सिंह ,उप महामंत्री लव जीत पंवार, बाड़मेर वृत महामन्त्री जगदीश सिंह रावल, बीकानेर अध्यक्ष चुन्नी लाल राजस्थानी, सिवाना महामन्त्री राजेश दवे एवं पृथ्वी राज ग्रुजर, गोविन्द गोपाल पंवार सहित अनेक कार्यकर्ता मौजूद थे ।

पीएम मोदी 31 को राजस्थान में, लोगों को बताएंगे सरकार की उपलब्धियां

पीएम मोदी 31 को राजस्थान में, लोगों को बताएंगे सरकार की उपलब्धियां
पीएम मोदी 31 को राजस्थान में, लोगों को बताएंगे सरकार की उपलब्धियां
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 31 मई को अजमेर आएंगे। वे यहां केन्द्र सरकार के दो वर्ष का कार्यकाल पूरा होने के उपलक्ष्य में जनसभा को सम्बोधित करेंगे। जिला प्रशासन, पुलिस, खुफिया पुलिस और भाजपा ने मोदी की अजमेर यात्रा का संकेत मिलते ही तैयारियां शुरू कर दी हैं। जिला प्रशासन को शाम प्रधानमंत्री मोदी के 31 मई को अजमेर आने की सूचना मिलने के बाद कलक्टर गौरव गोयल ने प्रशासनिक अधिकारियों की बैठक आयोजित की। इसमें मोदी के हेलीकॉप्टर की लैंडिंग, यात्रा के मार्ग में सुरक्षा, सभा स्थल, सुरक्षा और अन्य व्यवस्थाओं को लेकर चर्चा की गई।

प्रधानमंत्री मोदी की सभा पटेल मैदान या आजाद पार्क में कराने पर विचार किया गया। कलक्टर पुलिस एवं खुफिया विभाग के अधिकारियों के साथ शहर का दौरा करेंगे। उधर, भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष अशोक परनामी भी अजमेर आएंगे, वे प्रधानमंत्री मोदी की प्रस्तावित अजमेर यात्रा में जनसभा के स्थान का चयन, जनसभा में भीड़ जुटाने, सुरक्षा सहित अन्य व्यवस्थाओं पर जिला प्रशासन, जिले के दोनों मंत्रियों, विधायकों और भाजपा पदाधिकारियों से बातचीत करेंगे। प्रत्येक विधायक को उनके विधानसभा क्षेत्र से जनता को सभा में लाने का लक्ष्य दिया जाएगा। अजमेर के अलावा नागौर, टोंक, भीलवाड़ा, पाली, चित्तौडग़ढ़ और राजसमंद से भी लोगों को सभा में लाने का लक्ष्य दिया जाएगा।

दरगाह और पुष्कर भी जा सकते हैं मोदी
प्रधानमंत्री मोदी की अजमेर यात्रा का अधिकृत कार्यक्रम अभी जारी नहीं हुआ है। लेकिन प्रशासनिक हल्कों और भाजपाइयों में मोदी के दरगाह और पुष्कर जाने की भी संभावना जताई जा रही है। प्रशासन दोनों जगह पर भी यात्रा की तैयारियों की व्यवस्था करेगा।

सभा देहात में कराने का प्रयास
देहात भाजपा अध्यक्ष प्रो. भगवती प्रसाद सारस्वत सहित देहात के विधायकों ने प्रधानमंत्री मोदी की सभा अजमेर देहात के किसी स्थान पर कराने का प्रयास किया है। भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष अशोक परनामी गुरुवार को पार्टी पदाधिकारियों और जनप्रतिनिधियों से चर्चा के बाद इस पर निर्णय करेंगे।