भोपाल। केबीसी (कौन बनेगा करोड़पति) सीजन-5 में 50 लाख रुपए जीतने के बाद देशभर में चर्चित हुईं श्योपुर जिले में तहसीलदार अमिता सिंह के खिलाफ गीता कुशवाह ने धोखाधड़ी की शिकायत की है। उन पर आरोप है कि उन्होंने सिटी सेंटर ग्वालियर स्थित फ्लैट को बेचने का एग्रीमेंट कर 25 हजार का बयाना ले लिया, लेकिन उन्होंने न तो रजिस्ट्री की और न ही बयाना वापस किया।
अमिता सिंह तोमर वर्तमान में श्योपुर जिले की विजयपुर तहसील में तहसीलदार के पद पर पदस्थ हैं। अमिता ने ग्वालियर के आदित्यपुरम इलाके में रहने वाली गीता कुशवाह से 14 अक्टूबर 2006 को एक एग्रीमेंट किया था।
एग्रीमेंट के मुताबिक अमिता ने सिटी सेंटर अनुपम नगर स्थित साया अपार्टमेंट के फ्लैट नंबर 203 को बेचने का सौदा गीता कुशवाह से किया था। गीता ने इसके लिए उन्हें एडवांस में 25 हजार रुपए दिए थे। पंद्रह दिन के अंदर उक्त फ्लैट की रजिस्ट्री होनी थी। उस समय अमिता सिंह सीहोर में पदस्थ थीं।
गीता का आरोप है कि एग्रीमेंट करने के बाद वे सीहोर चली गईं और एक-दो दिन में आकर रजिस्ट्री करने की बात कहकर मामले को टालती रही। ऐसे करके 15 दिन का समय बीत गया। इसके बाद गीता ने उनसे रजिस्ट्री करने या पैसे वापस करने को कहा। तब श्रीमती सिंह ने उन्हें आश्वासन दिया कि वे रजिस्ट्री कर देंगी। समय बीतने के साथ ही अमिता ने पैसा वापस करने से टाल-मटोल करना शुरू कर दिया। इस बीच गीता ने चंबल संभाग के कमिश्नर से लेकर विश्वविद्यालय थाने में भी आवेदन दिया, लेकिन अभी तक कोई सुनवाई नहीं हुई है।
उधर, जब टीम ने इस मामले में अमिता सिंह तोमर से बात की तो उनका कहना था कि उन्होंने यह रकम वापस कर दी है और रिश्तेदारी में भरोसा कर वह एग्रीमेंट वापस नहीं लिया है। इसी का फायदा गीता कुशवाह उठा रही हैं।
वापस कर दिए थे पैसे
हमने तो गीता कुशवाह का एडवांस भी वापस कर दिया था। लेकिन वे मुकर रही हैं। मैंने उन्हें 25 हजार रुपए नगद दिए थे, लेकिन वह एग्रीमेंट वापस नहीं लिया था। अब उसी का फायदा गीता उठा रही हैं। वे बहुत चालाक महिला हैं और झूठी शिकायतें कर रही हैं।
- अमिता सिंह तोमर, तहसीलदार, विजयपुर जिला श्योपुर
50 लाख की विजेता 25 हजार की बेईमानी!
केबीसी-5 से चर्चित हुईं अमिता
अमिता सिंह ने केबीसी-5 में 50 लाख रुपए की रकम जीती थी। 19 सितंबर 2011 को प्रसारित हुए ‘कौन बनेगा करोड़पति’ के 21वें एपिसोड में अमिता सिंह ने 50 लाख रुपए के सवाल का सही जवाब दिया था। केबीसी के पांचवें सीजन में एक करोड़ रुपए के प्रश्न तक पहुंचने वाली वे पहली प्रतिभागी थीं। गीता के मुताबिक उन्होंने उस समय भी अमिता को फोन कर बधाई दी थी और 25 हजार रुपए की रकम वापस करने के लिए कहा था।
कमिश्नर से की शिकायत
अधिकारियों से शिकायत के बाद अमिता ने गीता का फोन उठाना बंद कर दिया। अमिता का ट्रांसफर श्योपुर जिले की विजयपुर तहसील में हो गया और इसी बीच अमिता ने केबीसी में भी पचास लाख रुपए जीते। गीता ने फिर अमिता से पैसे वापस मांगे तो उन्होंने मना कर दिया। इसके बाद गीता ने 18 अक्टूबर 2011 को चंबल संभाग के कमिश्नर अशोक शिवहरे को जन सुनवाई में आवेदन दिया। कमिश्नर ने इस मामले में सुनवाई की और गीता को पैसा वापस दिलाने का आश्वासन दिया।
अमिता सिंह तोमर वर्तमान में श्योपुर जिले की विजयपुर तहसील में तहसीलदार के पद पर पदस्थ हैं। अमिता ने ग्वालियर के आदित्यपुरम इलाके में रहने वाली गीता कुशवाह से 14 अक्टूबर 2006 को एक एग्रीमेंट किया था।
एग्रीमेंट के मुताबिक अमिता ने सिटी सेंटर अनुपम नगर स्थित साया अपार्टमेंट के फ्लैट नंबर 203 को बेचने का सौदा गीता कुशवाह से किया था। गीता ने इसके लिए उन्हें एडवांस में 25 हजार रुपए दिए थे। पंद्रह दिन के अंदर उक्त फ्लैट की रजिस्ट्री होनी थी। उस समय अमिता सिंह सीहोर में पदस्थ थीं।
गीता का आरोप है कि एग्रीमेंट करने के बाद वे सीहोर चली गईं और एक-दो दिन में आकर रजिस्ट्री करने की बात कहकर मामले को टालती रही। ऐसे करके 15 दिन का समय बीत गया। इसके बाद गीता ने उनसे रजिस्ट्री करने या पैसे वापस करने को कहा। तब श्रीमती सिंह ने उन्हें आश्वासन दिया कि वे रजिस्ट्री कर देंगी। समय बीतने के साथ ही अमिता ने पैसा वापस करने से टाल-मटोल करना शुरू कर दिया। इस बीच गीता ने चंबल संभाग के कमिश्नर से लेकर विश्वविद्यालय थाने में भी आवेदन दिया, लेकिन अभी तक कोई सुनवाई नहीं हुई है।
उधर, जब टीम ने इस मामले में अमिता सिंह तोमर से बात की तो उनका कहना था कि उन्होंने यह रकम वापस कर दी है और रिश्तेदारी में भरोसा कर वह एग्रीमेंट वापस नहीं लिया है। इसी का फायदा गीता कुशवाह उठा रही हैं।
वापस कर दिए थे पैसे
हमने तो गीता कुशवाह का एडवांस भी वापस कर दिया था। लेकिन वे मुकर रही हैं। मैंने उन्हें 25 हजार रुपए नगद दिए थे, लेकिन वह एग्रीमेंट वापस नहीं लिया था। अब उसी का फायदा गीता उठा रही हैं। वे बहुत चालाक महिला हैं और झूठी शिकायतें कर रही हैं।
- अमिता सिंह तोमर, तहसीलदार, विजयपुर जिला श्योपुर
50 लाख की विजेता 25 हजार की बेईमानी!
केबीसी-5 से चर्चित हुईं अमिता
अमिता सिंह ने केबीसी-5 में 50 लाख रुपए की रकम जीती थी। 19 सितंबर 2011 को प्रसारित हुए ‘कौन बनेगा करोड़पति’ के 21वें एपिसोड में अमिता सिंह ने 50 लाख रुपए के सवाल का सही जवाब दिया था। केबीसी के पांचवें सीजन में एक करोड़ रुपए के प्रश्न तक पहुंचने वाली वे पहली प्रतिभागी थीं। गीता के मुताबिक उन्होंने उस समय भी अमिता को फोन कर बधाई दी थी और 25 हजार रुपए की रकम वापस करने के लिए कहा था।
कमिश्नर से की शिकायत
अधिकारियों से शिकायत के बाद अमिता ने गीता का फोन उठाना बंद कर दिया। अमिता का ट्रांसफर श्योपुर जिले की विजयपुर तहसील में हो गया और इसी बीच अमिता ने केबीसी में भी पचास लाख रुपए जीते। गीता ने फिर अमिता से पैसे वापस मांगे तो उन्होंने मना कर दिया। इसके बाद गीता ने 18 अक्टूबर 2011 को चंबल संभाग के कमिश्नर अशोक शिवहरे को जन सुनवाई में आवेदन दिया। कमिश्नर ने इस मामले में सुनवाई की और गीता को पैसा वापस दिलाने का आश्वासन दिया।