शनिवार, 1 अक्तूबर 2011

पहले पति को मारा, काटा और पकाया...अब लगा रही है रिहाई की गुहार



एक पूर्व मॉडल जिसने अपने पति की पहले लाठी से पीट-पीट कर हत्या कर दी और फिर उसके टुकड़े-टुकड़े करके उन हिस्सों को पका डाला था, अब अपनी रिहाई की गुहार लगा रही है।

मिस्त्र में पैदा हुई ओमाएमा नेल्सन ने अपने पति विलियम नेल्सन की वर्ष 1991 में हत्या कर दी थी और हत्या के जुर्म में 27 सालों की सजा भुगत रही है।

नेल्सन उस वक्त मात्र 24 वर्ष की थी, जब उसने अपने पति की हत्या कर दी थी और उसके सिर सहित कई हिस्सों को बेरहमी से स्टोव पर उबाला और बाद में तेल में पकाया था। हत्या से एक महीने पहले ही उनकी शादी हुई थी।

नृशंस हत्या के बाद नेल्सन अपने पति के शरीर के टुकड़ों को काले बैग में भरकर अपने पूर्व प्रेमियों के घर गई और खुद को मुसीबत से बाहर निकालने के लिए उन्हें 75,000 डॉलर देने की पेशकश की।

मनोवैज्ञानिकों की निगरानी में दिए गए बयान में नेल्सन ने पुलिस अधिकारियों को बताया कि उसने अपने बचाव के लिए पति की हत्या की थी। नेल्सन ने यह भी बताया कि उसके पति ने पिछली रात को उसके साथ बलात्कार किया था।

सेंट्रल कैलिफोर्निया की चाओचिला स्टेट प्रीजन में अगले बुधवार को नेल्सन के मामले विचार किया जाएगा। गौरतलब है कि वर्ष 2006 में भी उसकी रिहाई की एक याचिका रद्द की जा चुकी है।

मुख्यमंत्री ने सुनी जनता की समस्याएं



जोधपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शनिवार को अपने जोधपुर प्रवास के दौरान सर्किट हाउस में करीब बीस मिनट तक जनता की समस्या सुनकर उन पर आवश्यक कार्रवाई का भरोसा दिया।

मुख्यमंत्री गहलोत जोधपुर एयरपोर्ट से सुबह करीब पौने दस बजे सर्किट हाउस पहुंचे, जहां पर उन्होंने करीब बीस मिनट तक लोगों से ज्ञापन लेकर समस्याएं सुनी। इस दौरान अखिल राजस्थान संयुक्त कर्मचारी महासंघ, राजस्थान पंचायतीराज कर्मचारी संघ, शिक्षक संयुक्त संघर्ष समिति, राजस्थान नर्सेज एसोसिएशन सहित विभिन्न संगठनों ने ज्ञापन देकर समस्याएं सुलझाने का आग्रह किया। इस दौरान उन्होंने आमजन और कांग्रेस नेताओं से व्यक्तिगत मुलाकात भी की।
एयरपोर्ट पर गहलोत का स्वागत किया


मुख्यमंत्री अशोक गहलोत दिल्ली से वायुयान से जोधपुर एयरपोर्ट पर सुबह साढ़े नौ बजे पहुंचे, जहां पर बड़ी संख्या में मौजूद कांग्रेस कार्यकर्ताओं व अधिकारियों ने स्वागत किया। इस मौके पर जल संसाधन मंत्री महिपाल मदेरणा, लूणी विधायक मलखानसिंह विश्नोई, कांग्रेस जिलाध्यक्ष सईद अंसारी, यूआईटी के पूर्व चेयरमैन राजेंद्रसिंह सोलंकी, पूर्व विधायक जुगल काबरा सहित अनेक गणमान्य लोग स्वागत के लिए पहुंचे। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने गहलोत जिंदाबाद के नारे भी लगाए। एयरपोर्ट पर गहलोत ने सभी से व्यक्तिगत तौर पर मुलाकात कर लोगों के हालचाल पूछे।

ओसामा की बीवियों पर तालिबान की नजर!

ओसामा की बीवियों पर तालिबान की नजर!

इस्लामाबाद। पाकिस्तान में ओसामा बिन लादेन की पत्नियों और बच्चों को अगवा करने क तालिबान की साजिश नाकाम हो गई है। सूत्रों के अनुसार यदि ऎन वक्त पर पाकिस्तानी पुलिस ने अलर्ट जारी कर ओसामा की तीन पत्नियों और उनके बच्चों का ठिकाना नहीं बदला होता, तो तालिबानी आतंककारी उन्हें भगा ले जाने में कामयाब हो जाते।

एक अंग्रेजी अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक तालिबान प्रमुख मुल्ला उमर ने 500 लोगों को उस खुफिया मकान पर धावा बोलने के आदेश दिए थे, जहां पर ओसामा की सबसे छोटी बेगम अमल और दो अन्य बीवियों को पूछताछ के लिए रखा गया था। माना जा रहा है कि पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई में किसी खबरी से तालिबान को उस घर के बारे में पता चला था। हालांकि, तालिबान की यह साजिश नाकाम हो गई, क्योंकि ऎन वक्त पर अलर्ट जारी कर लादेन की तीन पत्नियों और पांच बच्चों को किसी दूसरे ठिकाने पर शिफ्ट कर दिया गया।

आईएसआई के एक सूत्र के मुताबिक "पिछले कुछ हफ्तों से हमें लगातार कॉल्स और अलर्ट मिल रहे थे। तालिबानी इलाके में इन दिनो काफी सरगर्मी देखी जा रही थी और ऎसे में ओसामा और उसकी बीवी-बच्चों को भगाने की आशंका से इनकार हीं किया जा सकता था। हम ओसामा के परिवार की सुरक्षा और कड़ी करने पर विचार कर रहे हैं। सुरक्षा के लिहाज से हम चाहते हैं ओसामा परिवार के ठिकाने को एक सप्ताह में कम से कम तीन बार बदला जाए, ताकि किसी को भी यह भनक न लग सके कि उन्हें कहां रखा गया है।"

गौरतलब है कि अमरीकी सेना ने गत मई में पाकिस्तान के ऎबेटाबाद में खुफिया ऑपरेशन चलाकर ओसामा बिन लादेन को मार गिराया था। इस हमले में ओसामा की जान बचाते हुए उसकी बीवी अमल घायल हो गई थी और तभी से अमल पाक सेना की कस्टडी में है। पाकिस्तानी सुरक्षा एजेंसी उससे लगातार पूछताछ कर रहे हैं, हालांकि, उनका कहना है कि अमल पूछताछ में सहयोेग नहीं कर रही है।

10 साल से फरार पति बन गया जेल में पहरेदार!

बीजिंग। चीन में अपनी पत्नी को पीटने के बाद 10 साल से फरार एक व्यक्ति जेल में पहरेदारी करते मिला। समाचार पत्र 'शंघाई डेली' ने शुक्रवार को बताया कि अब भगोड़े व्यक्ति को नौकरी पर रखने के बारे में अधिकारियों से पूछताछ की जा रही है। यह घटना हेनान प्रांत के डेंगफेंग शहर में घटी। वांग झिजा नामक व्यक्ति ने मई 2001 में अपनी पत्नी को कथित तौर पर ईंट से मारकर घायल कर दिया और उसे छोड़कर भाग गया।
आन्हुई प्रांत में उसने भाई के व्यक्तिगत विवरणों के आधार पर अपनी नई फर्जी पहचान बनाई। वांग ने सहायक पुलिस अधिकारी के पद के लिए आवेदन किया था और उसे 2008 में नौकरी पर रखा लिया गया। दो महीने पहले उसका स्थानांतरण जेल रक्षक के पद पर कर दिया गया था।

कनार्टक विधानसभा में मंत्री पर चला चाकू

कनार्टक विधानसभा में मंत्री पर चला चाकू

बैगंलुरू। कनार्टक विधानसभा परिसर में शुक्रवार सुबह को एक अज्ञात व्यक्ति ने मंत्री पर चाकू से हमला कर दिया। पुलिस ने हमलावर को पकड़ कर गिरफ्तार कर लिया है। बताया जा रहा है कि आवास मंत्री वी सोमन्ना पर विधानसभा परिसर में उनके चेंबर में हमला किया गया।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार हमलावर को गिरफ्तार कर पूछताछ किया जा रहा है। इस बारे में अभी तक सूचना नहीं मिली है कि उस व्यक्ति ने मंत्री पर हमला क्यों किया। इस मामले की जांच की जा रही है। उल्लेखनीय है कि वी सोमन्ना राज्य के आवासीय मंत्री है और गोविंदराज से एमएलए है।

महिला ने मरने के बाद दिया बच्चे को जन्म

मैड्रिड।। स्पेन के डॉक्टर आजकल एक ऐसे बच्चे की देखभाल कर रहे हैं जिसका प्रसव एक ऐसी महिला से कराया है, जिसकी एक पागल बंदूकधारी ने मैड्रिड के चर्च में गोली मारकर हत्या कर दी थी।

यह नाटकीय घटना गुरुवार शाम उत्तरी मेड्रिड में सेंट मारिया डेल पिनार में घटी। मेड्रिड पुलिस के प्रवक्ता ने बताया, 'एक शख्स चर्च में घुसा और बिना कुछ कहे एक गर्भवती महिला के सिर में गोली मार दी। इसके बाद उसने एक अन्य महिला के सीने पर गोलियां दाग दीं और फिर उसी हथियार से खुदकुशी कर ली।'

उन्होंने बताया, '54 वर्षीय इस हत्यारे का महिलाओं से कोई संबंध नहीं था। हमें लगता है यह पागलपन का एक दौरा था।'

उस समय ड्यूटी पर मौजूद आपात कार्यकर्ता केफेरीना क्यूएस्टा ने कहा कि गर्भवती महिला को बचाने के लिए वह कुछ नहीं कर सकती थीं। उन्होंने कहा, 'हमारी कोशिशों के बावजूद मां को बचा पाना नामुमकिन था। इसलिए हमने बच्चे के लिए कुछ किया।'

बच्चे का जन्म घटनास्थल पर आपातकालीन सीजेरियन ऑपरेशन के जरिए हुआ और उसे अस्पताल ले जाया गया।

गंभीर रूप से घायल हुई दूसरी महिला को भी उसी अस्पताल में ले जाया गया। उसकी स्थिति के बारे में कोई जानकारी नहीं मिल सकी है।

भाई के साथ थे मेरी पत्नी के अवैध संबंध, इसलिए दिया 'सजा-ए-मौत'

बिलासपुर। सीपत में अवैध संबंध की शक पर शुक्रवार की तड़के एक दर्जी ने अपनी पत्नी पर कैंची से वारकर उसकी हत्या कर दी। इसके बाद उसने थाने पहुंचकर समर्पण कर दिया।


सीपत निवासी शारदा सूर्यवंशी (25 वर्ष) की करीब 6 साल पहले यहीं के संतोष सूर्यवंशी नामक युवक से शादी हुई थी। संतोष दर्जी था। शादी के कुछ साल तक उनके बीच संबंध ठीक-ठाक रहा, पर बाद में झगड़ा होने लगा। शुक्रवार तड़के संतोष सोकर उठा और शारदा को जगाया। बहाना बनाकर वह उसे बाड़ी की ओर ले गया। यहां पहुंचते ही उसने शारदा पर कैंची से ताबड़तोड़ हमला कर दिया। वह उसपर तब तक वार करता रहा, जब तक उसकी मौत नहीं हो गई। वारदात को अंजाम देने के बाद संतोष थाने पहुंचकर आत्मसमर्पण कर दिया। बाद में पुलिस घटनास्थल पर पहुंची और महिला के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा। पोस्टमार्टम के दौरान उसके शरीर पर करीब दो दर्जन स्थानों पर कैंची से गहरे चोट के निशान मिले।


अवैध संबंध के शक पर हुई हत्या


संतोष ने पुलिस को बताया कि उसकी पत्नी का संतोष के भाई के साथ अवैध संबंध था। वह दोनों को कई बार संदिग्ध हालत में भी देख चुका था। संतोष के अनुसार उसने अपनी पत्नी को कई बार समझाया पर उसमें सुधार नहीं हुआ। इधर, महिला के पिता डोमनलाल ने अपनी बेटी की हत्या के लिए दहेज प्रताड़ना का आरोप लगाया है।

ब्रिटिश संसद में जासूसी में पकड़ी गई रशियन हसीना पर निर्वासन की तलवार



ब्रिटिश संसद में जासूसी करने के आरोप में पकड़ी गई रशियन बाला कतिया जाटुलिवेटर के निर्वासन के मामले में नया मोड़ आ गया है। कतिया जाटुलिवेटर के भाग्य का फैसला करने वाले पैनल में ब्रिटिश खुफिया एजेंसी एमआई-5 के पूर्व प्रमुख स्टीफन लैंडर को भी शामिल किया गया है। जजों का पैनल जाटुलिवेटर के निर्वासन के मामले पर फैसला करेगा। वहीं एमआई-5 के पूर्व प्रमुख को पैनल में शामिल किए जाने पर कतिया के वकील ने पक्षपात की संभावना जताई है।

गौरतलब है कि ब्रिटिश संसद में काम कर चुकी कतिया पर रूस के लिए संवेदनशील सूचनाएं चुराने का आरोप है। ब्रिटिश इंटेलीजेंस द्वारा लगाए गये आरोपों के मुताबिक काटिया जाटुलिवेटर ने ब्रिटिश संसद में कार्यरत रहने के दौरान अपनी पोजिशन का इस्तेमाल लिबरल डेमोक्रेट सांसद माइक हैनकाक के सहायक के तौर पर क्रेमलिन के लिए किया।। यूनिवर्सिटी ऑफ ब्राडफोर्ड, ब्रिटेन में पढा़ई के लिए आई जाटुलिवेटर ने नवंबर २००६ में ब्रिटिश सांसद हैंकाक के लिए काम करना शुरु किया। दिसंबर 2010 में मामले का खुलासा होने पर जाटुलिवेटर को गैटविक एअरपोर्ट पर गिरफ्तार किया गया।
इस मामले में कतिया पर निर्वासन का मामला चल रहा है। आरोप साबित होने पर उन्हें ब्रिटेन छोड़ना होगा।

जाटुलिवेटर ने स्पेशल इमीग्रेशन अपील्स कमीशन(SIAC) से अपने ऊपर लगे आरोपों को निराधार बताते हुए वापस लेने का आग्रह किया है। ये पहली बार होगा कि एसआईएसी किसी जासूसी से जुड़े मामले की सुनवाई करेगी। जस्टिस मिटिंग ने बताया कि लैंडर पैनल में महत्वपूर्ण विशेषज्ञता उपलब्ध कराने के लिए शामिल किए गए हैं।



वहीं जाटुलिवेटर के मामले की पैरवी कर रहे वकील टिम ओवेन ने कहा कि लैंडर के पैनल में शामिल होने से स्पष्ट तौर पर पूर्वाग्रह पर आधारित पक्षपातपूर्ण फैसले की संभावना बढ़ गई है। उनका आरोप था कि लैंडर उन लोगों में हैं जो चाहते हैं कि जाटुलिवेटर का निर्वासन हो जाए।

1996-2002 तक लैंडर ने डायरेक्टर जनरल के रूप में अपनी सेवाएं सुरक्षा एजेंसियों को दी। उसके बाद 2006 से 2009 तक सीरियस आर्गनाइज्ड क्राइम एजेंसी के चेयरमैन रहे।

जाटुलिवेटर ने अपने ऊपर लग रहे आरोपों से इंकार किया वहीं उनके वकील ने मामले को गलत, परिकल्पनाओं पर आधारित बताया। जाटुलिवेटर की गिरफ्तारी पर पोर्ट्समाउथ से सांसद हैंकॉक ने कहा कि वह एक बेहतरीन और ईमानदार कर्मचारी थीं।
अपील की सुनवाई अक्टूबर में होनी है।

यूसुफ की हिरासत में मौत, मुश्किल में उमर

यूसुफ की हिरासत में मौत, मुश्किल में उमर

नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर के मुख्य मंत्री उमर अब्दुल्लाह के करीबी यूसुफ शाह की शुक्रवार को न्यायिक हिरासत हुई मौत ने प्रदेश की राजनीति में हड़कम्प मचा दिया है। एमएलसी बनवाने के नाम पर यूसुफ पर दो लोगों से पैसे (84 व 24 लाख रूपए) लेने के आरोप थे। पुलिस हिरासत में मौत की इस घटना के बाद प्रदेश में सरकार विरोधी प्रदर्शन ने जोर पकड़ लिया है। हालांकि विपक्ष के धावे के बाद सरकार ने इस घटना की न्यायिक जांच के आदेश दे दिए हैं।

उधर, यूसुफ के बेटे सय्यद तालिब ने बताया कि गृहमंत्री नासिर असलम वानी ने गुरूवार लगभग दोपहर 3 बजे फोन कर अपने निवास पर बुलाया था। उन्होंने एक तवेरा कार भेजी और उसी वक्त यूसुफ उनके निवास चले गए। तालिब के अनुसार दोपहर बाद जब उन्होंने अपने पिता से सम्पर्क करने की कोशिश की तो वह करीब 5 बजे तक गृहमंत्री के निवास पर ही थे।

मुश्कील में उमर अब्दुल्लाह

मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्लाह के बेहद करीबी लोगों में शुमार करने वाले यूसुफ की मौत ने उनकी मुश्किलें बढ़ा दी हैं। विपक्षी पीडीपी ने मुख्यमंत्री के इस्तीफे की मांग की है।

मौत नहीं राजनैतिक हत्या !
विपक्ष ने आरोप लगाया है कि यूसुफ शाह की मौत मुख्यमंत्री निवास पर हुई है और यह राजनैतिक हत्या है। लोगों से पैसे लेकर मुख्यमंत्री से काम करवाने वाले युसूफ शाह को पोल खुलने के डर से मरवाया गया है।