गुरुवार, 5 जुलाई 2012

मौत के बाद कुंआरे के बेटा?

मौत के बाद कुंआरे के बेटा?

बाड़मेर। जीवन भर अविवाहित रहे एक व्यक्ति की मौत के बाद उसके बेटे बनकर जमीन हड़पने का मामला उजागर हुआ है। गोदपुत्र बनकर नामांतरकरण में जमीन अपने नाम करवा ली और इसके बेचान की भी तैयारी हो गई। गांव में जब यह बात पता चली तो राज खुला और अब पटवारी से लेकर उपखण्ड अधिकारी तक ने यह सिफारिश कर दी है कि कूटरचित दस्तावेज और राजस्व कार्मिकों से सांठगांठ कर यह गड़बड़झाला किया गया। यह जमीन सरकारी खाते में दर्ज करने के योग्य है। जमीन के बढ़ते दामों ने लोगोे की नीयत को बिगाड़ दिया है।

ऎसा ही एक मामला पचपदरा तहसील के सराणा गांव में सामने आया है, जिसमें फर्जी पुत्र बनकर जमीन हड़पने की साजिश रची। सराणा गांव का शंकर वल्द चतरींग पुरोहित जीवन पर्यन्त अविवाहित रहा। बेऔलाद फौत हुए इस व्यक्ति ने किसी को भी गोद नहीं लिया। शंकर के नेत्रहीन माता इमरती बाई थी, जो अपने भाइयों के साथ रहती थी। उसकी भी मृत्यु हो गई। शंकर के नाम सराणा में 72 बीघा एवं छह बिस्वा जमीन थी।

शंकर की फौतगी के बाद नियमानुसार यह जमीन सरकारी खाते में दर्ज होनी थी, लेकिन यह जमीन जबरा ऊर्फ जबरसिंह पुत्र कोजाजी के नाम दर्ज हो गई है। जिन्होंने खुद को शंकर का गोदपुत्र बताते हुए हकदार बताया। उन्होंने राजस्व कारिंदों से मिलीभगत कर नामांतरण करण अपने नाम करवा लिया।

ऎसे चला खेल
शंकर की मृत्यु होने के साथ ही यह जमीन खालसा होने की स्थिति में आ गई। कीमती जमीन होने के कारण इन लोगों ने कूटरचित दस्तावेज तैयार कर गोदनामे के आधार पर नामांतरण भरवा लिया जबकि गोदनामे का न तो रजिस्ट्रीकरण हुआ और न ही प्रमाणित। जमीन बेचान की जानकारी आने पर शिकायत हुई और मामला सामने आया।

जांच में माना दोषी
उप तहसीलदार जसोल की ओर से इस मामले में जांच करवाई गई। जांच में पाया गया कि कूटरचित दस्तावे के आधार पर यह सारा खेल हुआ है। उप तहसीलदार ने जांच रिपोर्ट में फौतगी नामांकरण को खारिज करने एवं राजस्थान काश्त अधिनियम 1955 की धारा 61 के तहत जमीन को खालसा घोषित करने की सिफारिश करते हुए इसे तहसीलदार पचपदरा के क्षेत्राधिकार का मामला बताया।

गलत हुआ है
इस मामले की जांच करवाई गई है। शंकर के कोई गोदपुत्र नहीं है। नामांतरण करण गलत दर्ज हुआ है। इसे खारिज करने की सिफारिश की गई है।
- दलपतसिंह, नायब तहसीलदार जसोल

हत्या के आरोपी को आजीवन कारावास

हत्या के आरोपी को आजीवन कारावास

बाड़मेर अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश फास्ट ट्रैक बाड़मेर गणेशाराम ने बीजराड़ थानांतर्गत दो वर्ष पुराने हत्या के मामले में आरोपी गेनाराम पुत्र कानजीराम भील निवासी देदूसर (बीजराड़) को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। प्रकरण के अनुसार परिवादी सरीसराम पुत्र मोहबताराम भील निवासी नवातला जैतमाल ने बीजराड़ थाने में 14 फरवरी2010 को लिखित रिपोर्ट पेश कर बताया कि आज दोपहर करीब 12 बजे केरोसीन डीलर की दुकान पर नेताराम केरोसीन लेने गया था। वहां उसको गोरधनराम मिला और कहा कि घर चलते हैं। वह उसे अपनी ढाणी ले गया, जहां पहले से मौजूद गेनाराम ने उस पर लाठी से वार किए, जिससे उसकी मौत हो गई। पुलिस ने मामले के अनुसंधान के बाद कोर्ट में चालान पेश किया। ट्रायल के दौरान राज्य सरकार की ओर से अपर लोक अभियोजक महेंद्र पिथाणी ने अभियोजन पक्ष के साक्ष्य प्रस्तुत किए व तर्क दिए। आरोपी की ओर से अधिवक्ता रूपसिंह राठौड़ ने कहा कि उसे गलत फंसाया जा रहा है। उन्होंने तर्क दिया कि मृतक खुद तस्कर था और तस्करों ने ही उसे मारकर वहां डाल दिया था। परिवादी की ओर से अधिवक्ता करणाराम चौधरी ने तर्क पेश किए। दोनों पक्षों की बहस व साक्ष्यों को देखने के बाद अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश फास्ट ट्रैक गणेशाराम ने आरोपी गेनाराम को हत्या का दोषी मानते हुए उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई।

रामदेवरा मेले में रहेगी चाक चौबंद व्यवस्थाएं



रामदेवरा मेले में रहेगी चाक चौबंद व्यवस्थाएं



रामदेवरा  अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ख्याति प्राप्त बाबा रामदेव मेले की पूर्व तैयारियों के संबंध में बुधवार को ग्राम पंचायत रामदेवरा के प्रथम तल पर स्थित सभागार में बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता करते हुए कलेक्टर शुची त्यागी ने समस्याओं व उनके निराकरण के संबंध में चर्चा की।

एसडीएम अशोक चौधरी ने बैठक का संचालन करते हुए बिंदुवार चर्चा की। कलेक्टर ने सभी विभागों के प्रतिनिधियों को सकारात्मक सोच रखते हुए जिम्मेदारी का निर्वहन करने की बात कही। पीडब्ल्यूडी की ओर से नाचना चौराहा व रेलवे स्टेशन रोड पर प्रगतिशील दोनों पुलियों के निर्माण कार्य के साथ नोखा धर्मशाला चौराहे पर निर्माणाधीन सुलभ कॉम्पलेक्स व टूटी सड़कों का पेचवर्क 15 जुलाई से पूर्व पूरा कराने के निर्देश दिए। पीएचईडी ने वर्तमान में रामदेवरा गांव स्थित सात व बीएसएफ स्थित दो नलकूपों के अतिरिक्त गोमट गांव के पास एक ओर नलकूप खुदवाने संबंधित प्रस्ताव व स्वीकृति तैयार करवाने की बात कही। एक्सईएन दिनेश नागौरी ने बताया कि मेले के दौरान नल लगे चार पानी के टैंकर राउंड दा क्लॉक मेला परिसर में सेवाएं देंगे। उन्होंने वाहन पार्किंग स्थलों व प्राइवेट बस स्टैंड पर भी पर्याप्त पानी की सुविधा उपलब्ध करवाने का विश्वास दिलाया। डिस्कॉम को कस्बे में दर्शनार्थियों के लिए छाया के लिए लगे लोहे के टीन शैड पर गुजरते व उसके आस-पास स्थित बिजली के तारों को इंसुलेटेड करने, ढीले तारों को कसने, आवश्यकता वाले स्थानों पर उच्च क्षमता वाले ट्रांसफार्मर लगाने व नीचे लगे ट्रांसफार्मरों की ऊंचाई बढ़ाने के निर्देश दिए। एईएन मोहन सिंह ने बताया कि नए ट्रांसफार्मरों के लिए पांच स्थानों का चयन कर लिया गया है, जहां शीघ्र ही उन्हें स्थापित कर दिया जाएगा। उन्होंने कस्बे के मध्य स्थित मिनी जीएसएस बिजली कार्यालय तक पहुंचने वाले मार्ग में किए गए अतिक्रमण हटाने की मांग की। उन्होंने बताया कि मेला अवधि में 132 व 133 केवी स्टेशनों के साथ नाचना जीएसएस से संबंध जोडऩे की व्यवस्था की जाएगी। ताकि मेले के दौरान निर्बाध बिजली आपूर्ति सुनिश्चित की जा सके।

रोशनी के होंगे पुख्ता इंतजाम

मेला अवधि के दौरान सफाई व रोशनी की पर्याप्त व्यवस्था के लिए समय पर टैंडर निकालने व मेला व्यवस्था के लिए आने वाले प्रत्येक कर्मचारी व स्टाफ को पर्याप्त सुविधाएं मुहैया सुनिश्चित करवाने की बात कही। विकास अधिकारी छोगालाल विश्नोई ने बताया कि कस्बे व आस-पास के विद्यालय जहां सुरक्षा जाब्ता ठहराया जाता है का सर्वे करवाकर अभाव वाले विद्यालयों में पर्याप्त शौचालय व पानी के टांकों का निर्माण करवाया जाएगा।

एंबुलेंस तैयार रखने के निर्देश

स्वास्थ्य विभाग द्वारा संपूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं एवं पर्याप्त दवाईयों की व्यवस्था करने के साथ एंबुलेंस की उपस्थिति सुनिश्चित करने की बात कही। ब्लॉक सीएमएचओ डॉ. बी.के. प्रजापत ने रामदेवरा में वर्तमान में यात्रियों की आवक देखते हुए दो चिकित्सक नियुक्त किए जाने की जानकारी दी। एसडीएम चौधरी ने ग्राम पंचायत से कस्बे में पॉलीथीन व जूट वाले नारियलों पर रोक लगाने की सख्त हिदायत दी।

दोनों भादवा माह में होगा मेले का आयोजन

बैठक में समाधि समिति के संचालक अशोक छंगाणी ने कहा कि इस बार भादवा माह में अधिक मास होने के कारण हिंदी वर्ष में दो भादवा माह में मेले का आयोजन किया जाएगा। पूर्व की भांति श्रावण माह में ही यात्रियों की आवक शुरू हो जाती है। ऐसे में इस वर्ष दो भादवा माह होने के कारण लगातार तीन माह तक कस्बे में श्रद्धालुओं का तांता लगा रहेगा।

यह थे मौजूद

पोकरण नगर पालिका के आयुक्त जोधाराम विश्नोई, सीडीपीओ राणीदानसिंह भाटी, प्रधान वहीदुल्ला मेहर, सहायक अभियंता धन्नाराम विश्नोई, सहायक अभियंता डिस्कॉम मोहन सिंह राठौड़, सरपंच भोमाराम वानर, ग्रामसेवक ताराराम पंवार, वार्डपंच समंदरसिंह, समाधि समिति के संचालक अशोक छंगाणी, रामदेव अन्न क्षेत्र के महंत प्रेमनाथ, पटवारी माधवदान रतनू, रामदेवरा चिकित्साधिकारी डॉ. महावीर गोदारा, डॉ. एस.एस. तंवर, भंवर विश्नोई, व्यापार संघ अध्यक्ष आसुसिंह तंवर, अभयसिंह तंवर सहित काफी संख्या में गणमान्य लोग व अधिकारीगण उपस्थित थे।

जैसलमेर पार्क व चौराहों की बदलेगी सूरत कार्य योजना तैयार,


पार्क व चौराहों की बदलेगी सूरत कार्य योजना तैयार, 

संस्थाओं व कंपनियों का इंतजार

अनुपम मिशन योजना 30 पार्क व 10 चौराहे दिए जाएंगे गोद


 जैसलमेरस्वर्णनगरी के पार्क व चौराहों की सूरत बदली नजर आएगी। उपेक्षा की मार झेल रहे चौराहों पर रंग बिरंगे फव्वारे नजर आएंगे। वहीं पार्कों में हरियाळी छाएगी। जनसहभागिता के तहत ये पार्क व चौराहे निजी संस्थाओं को गोद दिए जाएंगे। प्रशासनिक स्तर पर कवायद शुरू होने से शहर के लोगों को सुकून मिलने की आस जगी है। अनुपम मिशन योजना के तहत शहर के पार्क व चौराहे गोद पर दिए जाएंगे। कलेक्टर शुचि त्यागी की पहल पर नगरपरिषद ने पार्क व चौराहों को चिन्हित कर सूची तैयार की है। प्रारंभिक रिपोर्ट के मुताबिक शहर के 30 पार्क व 10 चौराहे गोद देने की कार्ययोजना तैयार की गई है। इन्हे संवारने व देखरेख की जिम्मेदारी स्वयं सेवी संस्थाओं व कंपनियों को सौंपी जाएगी। अनुपम मिशन योजना को मूर्तरुप देने की कवायद से बदहाल पार्क व चौराहे का स्वरूप निखरेगा। कलेक्टर शुचि त्यागी ने शहर के सौंदर्यीकरण के मद्देनजर यह पहल की है। इससे आमजन को राहत मिलेगी।

यह है मौजूदा हालात: स्वर्णनगरी कहने को पर्यटन नगरी है लेकिन यहां की व्यवस्था पर्यटन के अनुसार बिल्कुल ही नहीं है। शहर में दर्जनों पार्क व चौराहे बने हुए हैं लेकिन एक भी विकसित नहीं है। यहां तक कि शहर के मुख्य चौराहे भी बदहाल है। यहां आने वाले सैलानियों को राहत के लिए कहीं भी स्थान नहीं मिलता है। वाटिकाओं और पार्कों में हरियाली गायब है।

बेटियां होने पर घर से निकाला

बेटियां होने पर घर से निकाला




विवाहिता ने एडीएम व एएसपी से मिलकर की न्याय की गुहार

बाड़मेर जिले के सवाऊ पदमसिंह गांव की एक विवाहिता बुधवार को ससुराल वालों की प्रताडऩा से परेशान होकर एडीएम और एसपी के पास न्याय की गुहार लेकर पहुंची। विवाहिता के दो बेटियां है। विवाहिता ने आरोप लगाया कि बेटियां होने के कारण उसका पति व सास उसे परेशान करते हैं तथा उसके साथ मारपीट करते हैं।शहर में अपने पीहर रह रही कांता ने एडीएम अरुण पुरोहित व रामसिंह मीणा एएसपी के समक्ष पेश होकर न्याय दिलाने की मांग की। ज्ञापन में उन्होंने बताया कि उसका विवाह फरवरी,२००८ में रूपकिशोर पुत्र जेठाराम शर्मा के साथ हुआ था, लेकिन शादी के बाद से ही ससुराल पक्ष की ओर से उसे दहेज के लिए प्रताडि़त किया जाता रहा है। उसके दो पुत्रियां हैं। ससुराल पक्ष की ओर से पहली पुत्री के जन्म के बाद उसे मारपीट कर घर से निकाल दिया था, जिस पर आपसी समझाइश पर १४ महीने बाद वापस ससुराल भेजा गया। वहीं जब दूसरी बेटी का जन्म हुआ तो पति, सास व ससुर ने उसके साथ फिर से मारपीट करना शुरू कर दिया। कांता ने बताया कि उसके पिता पेंशनभोगी है। दोनों बेटियों के भविष्य को देखते हुए उन्होंने पुलिस व प्रशासन से न्याय दिलाने की मांग की।

बाड़मेर. एसपी ऑफिस के बाहर बेटियों के साथ पीडि़ता।

सावन में मानसून की बेरुखी की मार

मानसून की लेट लतीफी ने किसानों की चिंता को बढ़ा दिया है। गत वर्ष जहां 15 जून के आस-पास मानसून सक्रिय हो गया था। वहीं इस बार जुलाई माह शुरू होने के बाद भी मानसून ने अभी तक दस्तक नहीं दी है, जिससे खरीफ की फसल की बुवाई नहीं हो सकी है। अब खरीफ की फसल की बुआई का ठीक समय है, मगर बारिश न होने के कारण कई किसानों ने खेतों की जुताई तक नहीं की है। कृषि विभाग का मानना है कि खरीफ की फसल को पकने में तीन माह का समय लगता है। यदि 15 जुलाई तक मानसून सक्रिय नहीं हुए तो खरीफ की फसल पर संकट के बादल छा सकते है। क्योंकि खरीफ की फसल की बुवाई का समय 15 जून से 15 जुलाई तक होता है। जबकि अभी तक क्षेत्र में कई जगह तो जुताई तक नहीं हुई है।  
तापमान में 3 डिग्री गिरावट, आसमान में छाए रहे बादल

खेतों में पसरा सन्नाटा, किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें

बादलों ने थामी पारे की रफ्तार बारिश की उम्मीद हुई प्रबल

बीते कई पखवाड़े से भीषण गरमी और लू से परेशान लोगों को आखिरकार बुधवार दोपहर बाद राहत मिली। दोपहर तीन बजे से शुरू हुए बादलों के जमावड़े ने पारे की रफ्तार को थाम लिया। साथ ही मंद-मंद बयारें चलने से तापमान में तीन डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई। मौसम विभाग के मुताबिक बुधवार को अधिकतम तापमान 42.6 दर्ज किया गया, जबकि न्यूनतम तापमान 28.6 डिग्री सेल्सियस रहा। तापमान में गिरावट की वजह से दोपहर बाद लोगों को उमस से भी राहत मिली। दिन में हवाएं चलने से पारे की रफ्तार बढऩे की बजाय कम हुई है। मौसम विशेषज्ञों के मुताबिक गुजरात से केरल के बीच बना हवाओं का एक सिस्टम बुधवार को भी सक्रिय रहा। दूसरी तरफ उत्तर-पूर्वी अरब सागर के ऊपर एक अपर एयर सर्कुलेशन एक्टिव है। साथ ही बंगाल की खाड़ी के ऊपर भी एक अपर एयर सर्कुलेशन एक्टिव हो गया है। इसके अलावा उत्तर-पश्चिमी राज-स्थान के ऊपर हवाओं का एक टर्फ सक्रिय है। इन सिस्टमों के प्रभाव के चलते राजस्थान में अगले 48 घंटों में बारिश होने के आसार हैं। हालांकि, एक-दो इलाकों को छोड़कर सभी में तेज बारिश होने की संभावना नहीं है।

कैसे सहज जाएंगे खेत बारिश का पानी

मानसून के अभाव में अधिकांश खेतों में अभी तक किसानों ने जुताई का कार्य शुरू नहीं किया है। ऐसे में बारिश को खेत कैंसे सहज पाएंगे। यहीं चिंता किसानों को इन दिनों सता रही है। नियमानुसार मानसून सक्रिय होने से एक पखवाड़े पहले खेतों की गहरी जुताई होना आवश्यक है। किसानों का कहना है कि खरीफ की फसल के लिए खेतों की जुताई करीब एक फुट से नौ इंच गहरी होना आवश्यक है। मगर, बिना बारिश के निर्धारित जुताई होना असंभव नजर आ रहा है। वहीं किसान अभी तक परम्परा गत रूप से हर वर्ष भांति मानसून की बाट जोह रहे है। जबकि अभी तक बारिश नहीं होने से भूमि भी कठोर बनी हुई है। जिस पर हलों का चलना संभव नहीं दिखाई देता। वैसे तो किसानों ने खरीफ की फसल की बुवाई के लिए खाद, बीज व अन्य सामग्री खरीद कर रख ली है, ताकि बारिश होते ही खेतों की जुताई के साथ बुवाई शुरू की जा सके।

-विष्णु के दस अवतार

 

हिन्दूओं का विशवास है कि सृष्टि में सभी प्राणी पूर्वनिश्चित धर्मानुसार अपने अपने कार्य करते रहते हैं और जब कभी धर्म की हानि की होती है तो सृष्टिकर्ता धर्म की पुनः स्थापना करने के लिये धरती पर अवतार लेते हैं। मुख्यतः आज तक सृष्टि पालक भगवान विष्णु नौ बार धरती पर अवतरित हो चुके हैं और दसवीं बार अभी हों गे। सभी अवतारों की कथायें पुराणों में विस्तार पूर्वक संकलित हैं। उन का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार हैः –
मत्स्य अवतार – एक बार राजा सत्यव्रत कृतमाला नदी के तट पर तर्पण कर रहे थे तो एक छोटी मछली उन की अंजली में आकर विनती करने लगी कि वह उसे बचा लें। राजा सत्यव्रत ने एक पात्र में जल भर कर उस मछली को सुरक्षित कर दिया किन्तु शीघ्र ही वह मछली पात्र से भी बड़ी हो गयी। राजा ने मछली को क्रमशः तालाब, नदी और अंत में सागर के अन्दर रखा पर हर बार वह पहले से भी बड़े शरीर में परिवर्तित होती गयी। अंत में मछली रूपी विष्णु ने राजा सत्यव्रत को एक महाभयानक बाढ़ के आने से समस्त सृष्टि पर जीवन नष्ट हो जाने की चेतावनी दी। तदन्तर राजा सत्यव्रत ने एक बड़ी नाव बनवायी और उस में सभी धान्य, प्राणियों के मूल बीज भर दिये और सप्तऋषियों के साथ नाव में सवार हो गये। मछली ने नाव को खींच कर पर्वत शिखर के पास सुरक्षित पहँचा दिया। इस प्रकार मूल बीजों और सप्तऋषियों के ज्ञान से महाप्रलय के पश्चात सृष्टि पर पुनः जीवन का प्रत्यारोपन हो गया। इस कथा का विशलेशन हज़रत नोहा की आर्क के साथ किया जा सकता है जो बाईबल में संकलित है। यह कथा डी एन ऐ सुरक्षित रखने की वैज्ञानिक क्षमता की ओर संकेत भी करती है जिस की सहायता से सृष्टि के विनाश के बाद पुनः उत्पत्ति करी जा सके।
कुर्मा अवतार – महाप्रलय के कारण पृथ्वी की सम्पदा जलाशाय़ी हो गयी थी। अतः भगवान विष्णु ने कछुऐ का अवतार ले कर सागर मंथन के समय पृथ्वी की जलाशाय़ी सम्पदा को निकलवाया था। वैज्ञानिक भी कहते हैं कि आईस ऐज के बाद सृष्टि का पुनरर्निमाण हुआ था। पौराणिक सागर मंथन की कथानुसार सुमेरु पर्वत को सागर मंथन के लिये इस्तेमाल किया गया था। माऊंट ऐवरेस्ट का ही भारतीय नाम सुमेरू पर्वत है तथा नेपाल में उसे सागर मत्था कहा जाता है। जलमग्न पृथ्वी से सर्व प्रथम सब से ऊँची चोटी ही बाहर प्रगट हुयी होगी। यह तो वैज्ञानिक तथ्य है कि सभी जीव जन्तु और पदार्थ सागर से ही निकले हैं। अतः उसी घटना के साथ इस कथा का विशलेशन करना चाहिये।
वराह अवतार – भगवान विष्णु ने दैत्य हिरणाक्ष का वध करने के लिये वराह रूप धारण किया था तथा उस के चुंगल से धरती को छुड़वाया था। पौराणिक चित्रों में वराह भगवान धरती को अपने दाँतों के ऊपर संतुलित कर के सागर से बाहर निकाल कर ला रहे होते हैं। वराह को पूर्णतया वराह (जंगली सूअर) के अतिरिक्त कई अन्य चित्रों में अर्ध-मानव तथा अर्ध-वराह के रूप में भी दर्शाया जाता है। वराह अवतार के मानव शरीर पर वराह का सिर और चार हाथ हैं जो कि भगवान विष्णु की तरह शंख, चक्र, गदा और पद्म लिये हुये दैत्य हिरणाक्ष से युद्ध कर रहे हैं। विचारनीय वैज्ञानिक तथ्य यह है कि सभी प्राचीन चित्रों में धरती गोलाकार ही दर्शायी जाती है जो प्रमाण है कि आदि काल से ही हिन्दूओं को धरती के गोलाकार होने का पता था। इस अवतार की कथा का सम्बन्ध महाप्रलय के पश्चात सागर के जलस्तर से पृथ्वी का पुनः प्रगट होना भी है।
नर-सिहं अवतार – भगवान विष्णु ने नर-सिंह (मानव शरीर पर शेर का सिर) के रूप में अवतरित हो कर दैत्यराज हिरण्यकशिपु का वध किया था जिस के अहंकार और क्रूरता ने सृष्टि का समस्त विधान तहस नहस कर दिया था। नर-सिंह एक स्तम्भ से प्रगट हुये थे जिस पर हिरण्यकशिपु ने गदा से प्रहार कर के भगवान विष्णु की सर्व-व्यापिक्ता और शक्ति को चुनौती दी थी। यह अवतार इस धारणा का प्रतिपादन करता है कि ईश्वरीय शक्ति के लिये विश्व में कुछ भी करना असम्भव नहीं भले ही वैज्ञानिक तर्क से ऐसा असम्भव लगे।
वामन अवतार – वामन अवतार के रूप नें भगवान विष्णु मे दैत्यराज बलि से तीन पग पृथ्वी दान में मांगी थी। राजा बलि ने दैत्यगुरू शुक्राचार्य के विरोध के बावजूद जब वामन को तीन पग पृथ्वी देना स्वीकार कर लिया तो वामन ने अपना आकार बढ़ा लिया और दो पगों में आकाश और पाताल को माप लिया। जब तीसरा पग रखने के लिये कोई स्थान ही नहीं बचा तो प्रतिज्ञा पालक बलि ने अपना शीश तीसरा पग रखने के लिये समर्पित कर दिया। विष्णु ने तीसरे पग से बलि को सुतल-लोक में धंसा दिया परन्तु उस की दान वीरता से प्रसन्न हो कर राजा बलि को अमर-पद भी प्रदान कर दिया। आज भी बलि सुतुल-लोक के स्वामी हैं। दक्षिण भारत में इस कथा को पोंगल त्योहार के साथ जोडा जाता है।
परशुराम अवतार – परशुराम का विवरण रामायण तथा महाभारत दोनो महाकाव्यों में आता है। वह ऋषि जमदग्नि के पुत्र थे और उन्हों ने भगवान शिव की उपासना कर के एक दिव्य परशु (कुलहाड़ा) वरदान में प्राप्त किया था। एक बार राजा कृतवीर्य अर्जुन सहस्त्रबाहु अपनी सैना का साथ जमदग्नि के आश्रम में आये तो ऋषि ने उन का आदर सत्कार किया। ऋषि ने सभी पदार्थ कामधेनु दिव्य गाय की कृपा से जुटाये थे। इस से आश्चर्य चकित हो कर कृतवीर्य ने अपने सैनिकों को ज़बरदस्ती ऋषि की गाय को ले जाने का आदेश दे दिया। अंततः परशुराम ने कृतवीर्य तथा उस की समस्त सैना का अपने परशु से संहार किया। तदन्तर कृतवीर्य के पुत्रों ने ऋषि जमदग्नि का वध कर दिया तो परशुराम ने कृतवीर्य और समस्त क्षत्रिय जाति का विनाश कर दिया और पूरी पृथ्वी उन से छीन कर ऋषि कश्यप को दान कर दी। सम्भवतः बाद में कश्यप ऋषि के नाम से ही उन के आश्रम के समीप का सागर कश्यप सागर (केस्पीयन सी) के नाम से आज तक जाना जाता है। पूरा कथानांक प्रचीन इतिहास अपने में छुपाये हुये है। परशुराम अवतार राजाओं के अत्याचार तथा निरंकुश्ता के विरुध शोषित वर्ग का प्रथम शक्ति पलट अन्दोलन था। परशुराम अवतार ने शासकों को अधिकारों के दुरुप्योग के विरुध चेताया और आज के संदर्भ में भी इसी प्रकार के अवतार की पुनः ज़रूरत है।
राम अवतार - परशुराम अवतार राजसत्ता के दुरुप्योग के विरुध शोषित वर्ग का आन्दोलन था तो भगवान विष्णु ने ऐक आदर्श राजा तथा आदर्श मानव की मर्यादा स्थापित करने के लिये राम अवतार लिया। राम का चरित्र हिन्दू संस्कृति में एक आदर्श मानव, भाई, पति, पुत्र के अतिरिक्त राजा के व्यवहार का भी कीर्तिमान है। अंग्रेजी साहित्य के लेखक टोमस मूर ने पन्द्रवीं शताब्दी में आदर्श राज्य के तौर पर एक यूटोपिया राज्य की केवल कल्पना ही करी थी किन्तु राम राज्य टोमस मूर के काल्पनिक राज्य से कहीं अधिक वास्तविक आदर्श राज्य स्थापित हो चुका था। राम का इतिहास समेटे रामायण विश्व साहित्य का प्रथम महाकाव्य है।
कृष्ण अवतार – कृष्ण अवतार का समय आज से लगभग 5100 वर्ष या ईसा से 3102 वर्ष पूर्व का माना जाता है। कृष्ण ने महाभारत युद्ध में एक निर्णायक भूमिका निभाय़ी और उन के दुआरा गीता का ज्ञान अर्जुन को दिया जो कि संसार का सब से सक्ष्म दार्शनिक वार्तालाप है। कृष्ण के इतिहास का वर्णन महाभारत के अतिरिक्त कई पुराणों तथा हिन्दू साहित्य की पुस्तकों में भी है। उन के बारे में कई सच्ची तथा काल्पनिक कथायें भी लिखी गयी हैं। कृष्ण दार्शनिक होने के साथ साथ एक राजनीतिज्ञ्, कुशल रथवान, योद्धा, तथा संगीतिज्ञ् भी थे। उन को 64 कलाओं का ज्ञाता कहा जाता है और सोलह कला सम्पूर्ण अवतार कहा जाता है। कृष्ण को आज के संदर्भ में पूर्णत्या दि कम्पलीट मैन कहा जा सकता है।
बुद्ध अवतार – विष्णु ने सिद्धार्थ गौतम बुद्ध के रूप में जन-साधारण को पशु बलि के विरुध अहिंसा का संदेश देने के लिये अवतार लिया। भारतीय शिल्प कला में सब से अधिक मूर्तियां भगवान बुद्ध की ही हैं। आम तौर पर बौध मत के अनुयायी गौतम बुद्ध के अतिरिक्त बुद्ध के और भी बोधिसत्व अवतारों को मानते हैं।
कलकी अवतार –विष्णु पुराण में सैंकड़ों वर्ष पूर्व ही भविष्यवाणी की गयी है कि कलियुग के अन्त में कलकी महा-अवतार होगा जो इस युग के अन्धकारमय और निराशा जनक वातावरण का अन्त करे गा। कलकी शब्द सदैव तथा समय का पर्यायवाची है। कलकी अवतार की भविष्यवाणी के कई अन्य स्त्रोत्र भी हैं।

बुधवार, 4 जुलाई 2012

जब बाज़ार में आई नाबालिग की अश्लील क्लिप,तब खुली पार्षद के बेटे की पोल

सरवाड़.भाजपा महिला पार्षद के पुत्र पर नाबालिग लड़की को बहला-फुसलाकर उसके साथ ज्यादती करने और अश्लील वीडियो क्लिपिंग बनाकर बाजार में प्रचारित करने का मामला सरवाड़ थाने में दर्ज हुआ है। आचार्य मोहल्ला निवासी एक व्यक्ति ने सरवाड़ थाने में रिपोर्ट पेश की।

 

इसमें आरोप लगाया गया कि उसकी 15 वर्षीय पुत्री को मोहल्ले का ही एक युवक बहला-फुसलाकर अपने मकान में ले गया। वहां उसने नाबालिग से साथ ज्यादती की और अश्लील वीडियो क्लिपिंग बना ली। इस दौरान उसे पीड़िता को धमकाया कि इस बारे में यदि किसी को बताया तो वह उसकी अश्लील क्लिपिंग बाजार में प्रचारित कर देगा।



इधर बाजार में क्लिपिंग आने के बाद पीड़िता के पिता ने पुलिस को शिकायत की। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ नाबालिग के साथ ज्यादती करने और अश्लील क्लिपिंग बनाने के आरोप में रविवार रात को मामला दर्ज किया और सोमवार सुबह पीड़िता का केकड़ी अस्पताल में मेडिकल कराया। मालूम हो कि आरोपी की मां सरवाड़ नगर पालिका में भाजपा पार्षद है

दुनियाभर में बजा दिया भारत का डंका, फिर भी कोई नहीं करना चाहता शादी

.लंदन ओलंपिक के लिए भारत तैयार हो चुका है। 27 जुलाई से शुरू हो रहे ओलंपिक खेल 12 अगस्त तक चलेंगे और इस मौके पर हम भारतीयों की नजर अपने सितारों पर लगी रहेगी। ओलंपिक में जाने वाले भारतीय दल में सबसे ज्यादा खिलाड़ी हरियाणा राज्य से हैं।
हम आज से आपके लिए हरियाणा के उन बेहतरीन खिलाड़ियों पर कवरेज देने जा रहे हैं, जो ओलंपिक में भारत का विजय पताका फहरा सकते हैं।
दुनियाभर में बजा दिया भारत का डंका, फिर भी कोई नहीं करना चाहता शादी 
अगर आपने 23 साल की गीता फोगट का नाम अभी तक नहीं सुना है तो जरा अपने दिमाग पर जोर डालिए और 2010 में भारत में हुए राष्ट्रमंडल खेलों की लिस्ट पर नजर दौड़ाइए। आपको जानकर खुशी होगी कि गीता भारत की पहली ऐसी महिला कुश्ती पहलवान हैं, जिन्होंने 55 किग्रा भार वर्ग में स्वर्ण पदक जीता था। अब यह शेरनी ओलंपिक में दहाड़ने को तैयार है। अगर मेहनत रंग लाई तो यह लड़की आने वाले समय में ऐसा कारनामा कर सकती है, जो भारतीय महिला कुश्ती के इतिहास में स्वर्ण अक्षरों से लिखा जाएगा। इसके बावजूद कोई उनसे शादी करने को तैयार नहीं है। आखिर क्यों?

किसने दी मिनी स्कर्ट नहीं पहने की धमकी?

किसने दी मिनी स्कर्ट नहीं पहने की धमकी?
श्रीनगर। जम्मू कश्मीर के एक कट्टरपंथी संगठन ने सैलानियों को आगाह किया है कि वे छोटे कपडे पहनकर घाटी में नहीं घूमें। संगठन ने चेतावनी दी है कि ऎसा नहीं करने पर उन्हें कड़ी प्रतिक्रिया सहनी पड़ सकती है। जमात-ए-इस्लामी ने एक बयान में कहा कि कुछ महिला सैलानी जिनमें से ज्यादातर विदेशी हैं, मिनी स्कर्ट और अन्य आपत्तिजनक कपड़े पहनकर इधर-उधर घूमती हैं। यह कश्मीर की संस्कृति और मूल्यों के खिलाफ है। ऎसा किसी भी हाल में स्वीकार नहीं किया जाएगा।

संगठन ने राज्य के पर्यटन विभाग से भी कहा है कि वह सैलानियों को स्थानीय मूल्यों का सम्मान करने के लिए प्रेरित करे। बयान में कहा गया कि यह विभाग के अधिकारियों की ड्यूटी है कि वे सैलानियों को स्थानीय मूल्यों के बारे में बताएं। उन्हें उनका सम्मान करने के लिए कहें। ऎसा नहीं होने पर सैलानियों को कड़ी प्रतिक्रिया का सामना करना पड़ सकता है।

थाने से घसीटकर लाए और जिंदा जला दिया

थाने से घसीटकर लाए और जिंदा जला दिया
इस्लामाबाद। पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में ईशनिंदा के एक अभियुक्त को हजारों लोगों की भीड़ ने थाने से बाहर निकालकर आग लगा दी। पुलिस के अनुसार घटना पंजाब में बहावलपुर के नजदीक स्थित एक गांव की है। जिस शख्स को जिंदा जलाया गया है उस पर पवित्र कुरान की एक प्रति को जलाने का आरोप लगाया गया था।

इस आरोप में उसे गिरफ्तार किया गया था। पुलिस का कहना है कि ईशनिंदा की कथित घटना से गुस्साई हजारों लोगों की भीड़ थाने के बाहर एकत्र हो गई। भीड़ सलाखों के पीछे कैद व्यक्ति को घसीटती हुई थाने के बाहर ले आई और उसे उसी जगह पर ले गई जहां कथित तौर पर उसने कुरान की प्रति को जलाया था। इसके बाद उस पर पेट्रोल छिड़क कर आग लगा दी गई।

जैसलमेर शहर में यातायात व्यवस्था परिवहन विभाग एवं पुलिस का सांझा अभियान

शहर में यातायात व्यवस्था बनाने के लिए परिवहन विभाग एवं पुलिस का सांझा अभियान
जैसलमेर पुलिस अधीक्षक जिला जैसलमेर ममता बिश्नोई के आदेशानुसार बुधवार  को सुनिल पंवार प्रोबे आरपीएस एवं परिवहन विभाग के प्रभारी अधिकारी अनिल पांड्या के नेतृत्व में यातायात प्रभारी लालाराम उनि मय यातायात शाखा जाब्ता सउनि अर्जूनसिंह, नेहचलाराम, हैड कानि0 निश्चल कुमार एवं टीकूराम के सम्पूर्ण शहर में गश्त कर शहर में प्राईवेट बसों द्वारा अस्थाई बस स्टेण्डो पर रूकी बसों को स्थाई बस स्टेण्ड डेडांसर मैदान में रोकने के निर्देश दिये। इसके अलावा पुलिस टीम द्वारा शहर में वाहन चालकों के कागजात को चैक किया गया तथा सभी प्राईवेट बसों के ऑपरेटरो को सख्त निर्देश दिये गये कि आईंदा वह अपनी बसों को निर्धारित बस स्टेण्ड पर ही रोके ओर अगर कई दूसरी जगह बस रूकी हुई पाई गई तो उसके विरूद्ध एमवी एक्ट के तहत कार्यवाही की जावेगी। इसके अलावा परिवहन अधिकारी द्वारा भी सभी बसों के ऑपरेटरो को निर्देश दिये गये कि अगर आदेशानुसार कोई भी बस किसी दूसरे स्थान पर खडी पाई गई तो उस बस का परमिट निरस्त कर दिया जायेगा।

पुलिस अधीक्षक ने सभी जिलेवासियो से अपील की है कि वह पुलिस की द्वारा चलाये जा रहे अभियान में सहयोग करे, क्यों कि पुलिस जो भी व्यवस्था बनाती है, वह जनता की भलाई एवं सुविधा के लिए बनाती हे। इसलिए जनता का फर्ज बनता है कि जनता भी पुलिस का हरसम्भव सहयोग करें।

बाड़मेर पुलिस डायरी ...अपराध समाचार ...बुधवार

बाड़मेर पुलिस डायरी ...अपराध समाचार ...बुधवार 

लज्जा भंग का मामला दर्ज

बाड़मेर वेदव्यास पुत्र रणछोड़ दास गुरू नि. पाटोदी ने मुलजिम नरपतसिंह पुत्र विरधसिंह राजपूत नि. पाटोदी के विरूद्व मुकदमा दर्ज करवाया कि मुलजिम द्वारा मुस्तगीस के घर में प्रवेश कर मुस्तगीस की पत्नि की लज्जा भंग करना व जातिगत शब्दो से अपमानित करना वगेरा पर मुलजिम के विरूद्व पुलिस थाना पचपदरा पर मुकदमा दर्ज किया जाकर अग्रीम अनुसंधान किया जा रहा है।


दुर्घटना में घायल
बाड़मेर रमेशकुमार पुत्र बोहरीदास बोथरा नि. नयापुरा, नाहटो का वास बाड़मेर ने मुलजिम राजु चौधरी पुत्र देवाराम नि. नेहरू नगर बाड़मेर के विरूद्व मुकदमा दर्ज करवाया कि मुलजिम द्वारा टेम्पो थ्री व्हीलर नम्बर आरजे 04 टीए 951 को तेजगति व लापरवाही से चलाकर मुस्तगीस के टक्कर मारना जिससे चोटे आना वगेरा पर मुलजिम के विरूद्व पुलिस थाना कोतवाली पर मुकदमा दर्ज किया जाकर अग्रीम अनुसंधान किया जा रहा है।

चोरी का मामला दर्ज
बाड़मेर सवाईसिंह पुत्र भवानीसिंह राजपूत नि. अरणाय ने मुलजिम दलपतसिंह पुत्र हिन्दुसिंह राणा राजपूत नि. भाड़खा वगेरा दो के विरूद्व मुकदमा दर्ज करवाया कि मुलजिम द्वारा वेलपेड ऐरीया 10 में चोरी करने की नियत से अन्दर प्रवेश करना व हल्ला करने पर भाग जाना वगेरा पर मुलजिम के विरूद्व पुलिस थाना सदर पर मुकदमा दर्ज किया जाकर अग्रीम अनुसंधान किया जा रहा है।


सड़क दुर्घटना में एक की मौत
बाड़मेर दलीपसिंह पुत्र प्रेमसिंह राजपूत नि. बेलासर, बीकानेर ने मुलजिम ट्रक नम्बर आरजे 19 जी 9116 के चालक के विरूद्व मुकदमा दर्ज करवाया कि मुलजिम द्वारा वाहन को तेजगति व लापरवाही से चलाकर ट्रक नम्बर आरजे 07 जीए 2953 के टक्कर मारना जिससे ट्रक में सवार मुस्तगीस के काका हरीसिंह पुत्र किशनसिंह की मौके पर ही मृत्यु होना वगेरा पर मुलजिम के विरूद्व पुलिस थाना बालोतरा पर मुकदमा दर्ज किया जाकर अग्रीम अनुसंधान किया जा रहा है।


शराब के लिए मांगे पैसे
बाड़मेर ताजाराम पुत्र भीयाराम जाट नि. पाबुवाली मौखाब ने मुलजिम गुणेशराम पुत्र लाभुराम जाट नि. झाख के विरूद्व मुकदमा दर्ज करवाया कि मुलजिम द्वारा मुस्तगीस के लड़के किसनाराम को रोककर शराब के लिए पैसे मांगना मना करने पर मारपीट करना वगेरा पर मुलजिम के विरूद्व पुलिस थाना शिव पर मुकदमा दर्ज किया जाकर अग्रीम अनुसंधान किया जा रहा है। --

बाड़मेर नाबालिग के बालक के साथ कुकर्म


बाड़मेर नाबालिग के बालक के साथ कुकर्म 


बाड़मेर कलाराम पुत्र हरलाल विश्नोई नि. उपरला ने मुलजिम ओमप्रकाश पुत्र आसूलाल विश्नोई नि. उपरला वगेरा दो के विरूद्व मुकदमा दर्ज करवाया कि मुलजिम द्वारा मुस्तगीस के पुत्र उम्र 12 साल के साथ कुकर्म करना वगेरा पर मुलजिम के विरूद्व पुलिस थाना चौहटन पर मुकदमा दर्ज किया जाकर अग्रीम अनुसंधान किया जा रहा है।

बाड़मेर युवती का अपहरण कर उसके साथ किया बलात्कार

बाड़मेर युवती का अपहरण कर उसके साथ किया बलात्कार 




बाड़मेर जिले के बिजराड  थाना क्षेत्र में एक युवक द्वारा एक युवती का अपहरण कर भगा ले जाकर उसके साथ बलात्कार का मामला दर्ज कराया हें .पुलिस अधीक्षक राहुल बारहट ने बताया की मेगवाल जाति के व्यक्ति ने मुलजिम रतनाराम पुत्र ओमाराम जाट निवासी कड़ला के विरूद्व मुकदमा दर्ज करवाया कि मुलजिम द्वारा मुस्तगीस की पुत्री को शादी करने की नियत से भगाकर अपहरण कर ले जाना व बलात्कार करना वगेरा पर मुलजिम के विरूद्व पुलिस थाना बीजराड़ पर मुकदमा दर्ज किया जाकर अग्रीम अनुसंधान किया जा रहा है।