सोमवार, 21 जुलाई 2014

सांसारिक मोह-माया मिथ्या

धर्माऽऽख्याने श्मशाने च रोगिणां या मतिर्भवेत्।
सा सर्वदैव तिष्ठेच्चेत् को न मुच्येत बंधनात्।।
  सांसारिक मोह-माया मिथ्या
 
व्याख्या :प्रस्तुत श्लोक में आचार्य चाणक्य ने सांसारिक मोह-माया से बचने के लिए मन को दृढ़ बनाने की बात कही है। उनके अनुसार अस्थिर मन से संसार से विमुक्त होने की कामना करना कभी सुखकारी नहीं होता। 
धार्मिक कथा सुनने पर,श्मशान में चिता को जलते देखकर,रोगी को कष्ट में पड़े देखकर जिस प्रकार वैराग्य भाव उत्पन्न होता है,वह यदि स्थिर रहे तो यह सांसारिक मोह-माया व्यर्थ लगने लगे, परंतु अस्थिर मन श्मशान से लौटने पर फिर से मोह-माया में फंस जाता है।

सावन के सोमवार का उपाय: दांपत्य जीवन में प्रेम लाए

ज्योतिष शास्त्र के दिन-शास्त्रों में सावन के सोमवार का सर्वाधिक महात्म्य है। इस महीने में सोमवार के दिन शिव आराधना का विशेष महत्व है। सावन को मनोकामनाओं की पूर्ति का महीना भी कहा गया है। ज्योतिष के अनुसार इस महीने की एक विशेषता यह भी है कि इसका कोई भी दिन और व्रत शून्य नहीं होता। वार प्रणाली के अनुसार सोम अर्थात चंद्रमा को हिमांशु की संज्ञा दी जाती है। शब्द हिमांशु का अर्थ बर्फ की तरह ठंडा और कर्पूर की तरह उज्ज्वल होता है। चंद्रमा की पूजा भी स्वयं परमेश्वर शिव को समर्पित होती है क्योंकि चंद्रमा का निवास भी भुजंग भूषण शिव का मस्तक है। श्रावण मास व श्रवण नक्षत्र के स्वामी चंद्रमा हैं और चंद्र के स्वामी स्वयं शिव है। शास्त्रों में शिव को चन्द्रशेखर और चन्द्रमोलेश्वर कहकर संबोधित किया गया है।सावन के सोमवार का उपाय:  दांपत्य जीवन में प्रेम लाए
ज्योतिषशास्त्र के अनुसार दांपत्य जीवन में चंद्रमा और शुक्र ग्रह का अत्यधिक महत्व है। शुक्र अगर भोग और विलासिता का ग्रह है तो चंद्रमा मन और प्रेम का ग्रह है। सुखी दाम्पत्य हेतु शारीरिक आकर्षण से बढ़कर पति-पत्नी के बीच मानसिकता मिलना और पारस्परिक प्रेम का होना अत्यधिक आवश्यक है। कालपुरुष सिद्धांत अनुसार किसी भी जातक की कुण्डली में चंद्रमा का मूल स्थान चौथा घर जो घर और ग्रहस्थी को दर्शता है। चंद्रमा का उच्च स्थान व्यक्ति की कुण्डली का दूसरा घर जो सुख और धन को दर्शता है तथा चंद्रमा का पक्का घर व्यक्ति की कुण्डली का सातवां स्थान जो प्रेम, भोग प्रणय और दांपत्य को दर्शता है।

जिस किसी व्यक्ति के दांपत्य जीवन में समस्याएं है अथवा पति-पत्नी के बीच में पारस्परिक प्रेम की कमी है अथवा जहां कहीं गृहस्थी की गाड़ी पटरी से उतर गई है उनके लिए सर्वश्रेष्ठ है सावन के सोमवार की शिव उपासना। सोमवार का दिन गौरी और शंकर को समर्पित होता है अर्थात सोमवार की शिव उपासना और उपायों से गौरी (पत्नी) और शंकर (पति) के बीच की दूरियां भी समाप्त होती है।

उपाय: सोमवार के दिन शाम के समय लगभग 5 बजे घर में विराजमान पारद शिवलिंग अथवा किसी ऐसे शिवालय जाएं जहां सफ़ेद शिवलिंग स्थापित हों। यह उपाय करते समय मन को एकाग्र रखें और पूरा ध्यान गौरी और शंकर के युग्मित स्वरुप पर लगाएं। मन से ऐसा संकल्प लें के मैं अपनी गृहस्थी और दांपत्य में सुख वृद्धि हेतु ये उपाय कर रहा हूं अथवा कर रही हूं। सफेद कपड़े पहने और पूजा हेतु सफेद आसन का प्रयोग करें। सर्वप्रथम गाय के शुद्ध घी का दीपक प्रज्वलित करें। चंदन की धूप करें। शिवलिंग पर सफ़ेद कनेर के फूल चढ़ाएं। सफेद चंदन से शिवलिंग से त्रिपुंड बनाएं। साबूदाने की खीर का भोग लगाएं। गाय के दूध में देसी शक्कर, गंगाजल, मंदकिनी का इत्र और शतावरी मिलाकर शिवलिंग का अभिषेक करें और इस मंत्र का 108 बार जाप करें।

मंत्र: ॐ श्रीं अर्धनारीश्वराय प्रेमतत्त्वमूर्तये नमः शिवाय।।

उपाय पूरा होने पश्चात बची हुई खीर पति-पत्नी मिलकर बराबर खाएं। शिवलिंग पर चढ़े हुए सफेद कनेर के फूल शयन कक्ष में रखें। शिवलिंग से उतरा हुआ अभिषेक के द्रव्य से शयनकक्ष में छिड़काव करें। इस उपाय से निश्चित ही दांपत्य जीवन में पुनः प्रेम की गंगा बहेगी।

आचार्य कमल नंदलाल

रविवार, 20 जुलाई 2014

शंकराचार्य पर अभद्र टिप्पणी, दो फेसबुक यूजर अरेस्ट

कवर्धा। छत्तीसगढ़ के कवर्धा जिले की पुलिस ने शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानन्द के खिलाफ फेसबुक पर अभद्र टिप्पणी करने के आरोप में दो युवकों को गिरफ्तार कर लिया है। two man arrested after making controversial comment on shankaracharya facebook page
मिली जानकारी के अनुसार शंकराचार्य इन दिनों कवर्धा में इनदिनों चातुर्मास पर है। चातुर्मास पर उनके समर्थकों द्वारा फेसबुक पर पेज बनाया गया है जिसको वह नियमित से अपडेट भी करते है। इस पेज पर दो युवकों ने शंकराचार्य के बारे में अभद्र टिप्पणी कर दी।

शंकराचार्य के समर्थकों ने इसके बाद कवर्धा कोतवाली पर पहुंचकर टिप्पणी करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए रविवार को हंगामा किया। पुलिस ने इसके बाद दोनों युवकों को गिरफ्तार कर लिया।

फिर उठी मांग, प्रियंका गांधी को सौंपों पार्टी की कमान -

लखनऊ। कांग्रेस में एक बार फिर से प्रियंका गांधी को पार्टी की कमान सौंपने की मांग उठ रही है। इलाहाबाद के सुभाष चौराहे पर एक बैनर लगाकर कांग्रेसी कार्यकर्ता श्रीशचंद्र दुबे एवं हसीब अहमद चर्चा में आ गए हैं।
congress Posters demand priyanka gandhi to play role in party

लोकसभा चुनाव में पार्टी की करारी हार से जहां एक तरफ दिग्विजय सिंह एवं मुरली देवडा जैसे वरिष्ठ नेताओं ने राहुल गांधी के नेतृत्व पर सवालिया निशान लगा दिया वहीं इलाहाबाद में भी प्रियंका के हाथों कांग्रेस की कमान देने की मांग जोर उठाने लगी है।

इलाहाबाद के सुभाष चौराहे पर लगे बैनर में लिखा गया है कि शाह को अगर देना हो मात, प्रियंका को सौंप दो कांग्रेस का हाथ। इससे पहले भी इलाहाबाद में इस तरह की मांग उठ चुकी है। -  

बाड़मेर नवविवाहिता ने पीहर में फंदे पर लटक आत्महत्या की

बाड़मेर नवविवाहिता ने पीहर में फंदे पर लटक आत्महत्या की 


teenage girl body found hanging from a tree in hisar


पचपदरा थानान्तर्गत आदमपुरा इकराणी गांव में एक नव विवाहिता ने खेजड़ी के वृक्ष से रस्सी का फंदा लगाकर आत्म हत्या कर ली। पुलिस सूत्रों ने बताया कि धापू कंवर पत्नि बलवंतसिंह उम्र 22 वर्ष पुत्री धनसिंह जाति राजपूत ने शनिवार रात्रि में अपने घर के पास खेजड़ी के पेड़ से रस्सी का फंदा लगाकर अपनी इहलीला समाप्त कर दी। पुलिस को सूचना मिलने पर पुलिस घटना स्थल पर पहुंची और शव को अपने कब्जे में लेकर मौके पर ही डॉक्टरो से पोस्टमार्टम करवाकर परिजनो को सुपूर्द किया। पुलिस ने बताया कि मृतका की शादी तीन माह पूर्व ही गिड़ा में हुई थी तथा 15 दिन पूर्व पीहर आयी थी। पुलिस ने मृतका के सुसराल पक्ष को भी मौके पर बुलाया। नव विवाहिता के आत्म हत्या करने के कारणों का पता नहीं चला है, मामले की जांच उपखण्ड अधिकारी करेंगे।

"कांग्रेस का आलाकमान मैं होता तो गहलोत की छुट्टी कर देता" -

बाड़मेर। कांग्रेस में पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के धुर विरोधी रहे बाड़मेर से अब भाजपाई सांसद कर्नल सोनाराम चौधरी ने रविवार को एक बार फिर अशोक गहलोत पर निशाना साधा।
sonaram choudhary target on ashok gehlot

उन्होंने रिफाइनरी और मेट्रो रेल परियोजना को लेकर उनकी आलोचना करते हुए यहां तक कहा कि वे उस समय यदि कांग्रेस के आलाकमान होते तो गहलोत को पार्टी से ही निकाल देते। उन्होंने आरोप लगाया कि मेट्रो कोच खरीद में दिल्ली और जयपुर स्तर पर दलाली हुई है। रिफाइनरी का स्थान परिवर्तन करने के पीछे भी नेताओं का स्वार्थ रहा है।

शुरूआत ही रही खराब
कर्नल चौधरी ने रविवार को संवाददाताओं से स्थानीय सर्किट हाउस में बातचीत में कहा कि बिना कारण रिफाइनरी को लीलाला से हटाकर पचपदरा किया गया।

पहले लीलाला के पास नेताओं ने जमीन की खरीद-फरोख्त की और बाद में पचपदरा के आसपास अजा, अजजा खरीदने में अनियमितता हुई।

रिफाइनरी की शुरूआत ही खराब रही। उन्होंने कहा कि पचपदरा के पास रिफाइनरी लगने के बाद भी बाड़मेर, बायतु, शिव, चौहटन सहित सभी तहसीलों को फायदा मिले इसके लिए यहां पेट्रो केमिकल यूनिवर्सिटी सहित रिफाइनरी से जुड़े उद्योग धंधे यहां लगने चाहिएं।

उन्होंने कहा कि रिफाइनरी के लिए बिना ब्याज के एचपीसीएल को ऋण देने का गलत निर्णय किया है, जो एमओयू हुआ है, वह ठीक नहीं है।

खैरात के बदले नहीं मिलते वोट
गहलोत की गलत नीतियों के चलते कांग्रेस की हालत खराब हुई। गहलोत ने अन्तिम समय में प्रदेश में खैरात बांटकर मतदाताओं को लुभाने की कोशिश की, लेकिन जनता विशेषकर युवाओं ने दिखा दिया कि वे खैरात के बदले वोट नहीं देते।

उन्होंने मेट्रो परियोजना को लेकर कहा कि मेट्रो पर लगे रूपए बाड़मेर-जैसलमेर सहित कई जिलों में पेयजल, चिकित्सा, शिक्षा और सड़कों पर खर्च होते तो प्रदेश का विकास होता।

तारीफ की, समस्याएं बताई
कर्नल ने मुख्यमंत्री व प्रधानमंत्री की तारीफ करते हुए कहा कि वसुंधराराजे के नेतृत्व में पहले भी प्रदेश ने प्रगति की, अब प्रदेश फिर तरक्की करेगा। उन्होंने कहा कि बाड़मेर-जैसलमेर के पचास फीसदी गांवों में विद्युत सुविधा नहीं है।

यहां चिकित्सक व एएनएम के पद खाली है, शिक्षकों की कमी है। सड़कों की कमी है। कर्नल ने अधिकारियों को भी चेताते हुए कहा कि अधिकारी राजनीति से ऊपर उठकर ईमानदारी से कार्य करें वरना कठोर कार्रवाई भी होगी।

पिछली बार भाजपा कांग्रेस से नहीं हारी
उन्होंने कहा कि वसुंधराराजे को पिछली बार कांग्रेस ने नहीं भाजपा नेताओं ने हराया था। उन्होंने चेतावनी दी कि कांग्रेस के राज में हुए भ्रष्टाचार को लेकर कार्रवाई होने पर आधे कांग्रेस नेता जेल चले जाएंगे।

कर्नल में रेल बजट में बाड़मेर को नहीं मिलने पर कहा कि आने वाले समय में बाड़मेर को फायदा मिलेगा। कचरा कहना ठीक नहीं- उन्होंने पूर्व मंत्री अमीनखां के कचरा हटाने के बयान पर नाम लिए बगैर कहा कि 1999 के लोकसभा चुनाव में मै चुनाव हारा, लेकिन मैने किसी को कचरा नहीं कहा। ऎसे बयान सरहद पर भाईचारे और कौमी एकता को तोड़ने का काम करते हैं।

नगर निगम के पार्षद ने विधवा महिला की लूटी अस्मत

अजमेर। नगर निगम के पार्षद मनोज मिश्रा के खिलाफ एक विधवा महिला ने शादी का झांसा देकर दुष्कर्म करने का मामला सामने आया है। मामले की जांच रामगंज थानाप्रभारी नानूराम कर रहे है।Widow Woman raped by ajmer Municipal councilor
जैसगंज निवासी पीडिता ने दर्ज शिकायत में बताया कि दो साल पहले वह पार्षद मनोज मिश्रा के मकान के निकट रहती थी। इस दौरान बीपीएल कार्ड बनवाने तथा पेंशन के काम के लिए वह पार्षद से मिली। उनकी जान पहचान निकटता में तब्दील हो गई।

शादी का झांसा देकर मनोज ने पीडिता के साथ शरीरिक सम्बंध स्थापित कर लिए। मनोज ने उसे शादी के बाद एक मकान दिलवाने का झांसा भी दिया। तीन माह बाद मनोज ने पीडिता को उसकी बहन के मकान में रखा। वह आए दिन उसके साथ जबरन शरीरिक दुष्कर्म रहा करता।

लगभग बीस दिन पहले मनोज पीडिता के साथ जबरन सम्बंध बना रहा था। इस दौरान पीडिता ने शोर मचा दिया। शोर सुनकर क्षेत्रवासी वहां एकत्र हो गए।

इसके साथ मनोज ने पीडिता ने थाने पर शिकायत दने की बात कही तो मनोज ने उसके रसूखात बताते हुए धमकाया। शनिवार को पीडिता की शिकायत पर पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया।

बाड़मेर गड्ढे में डूबने से तीन मासूम काल कवलित

बाड़मेर गड्ढे में डूबने से तीन मासूम काल  कवलित 




बाड़मेर सरहदी जिले बाड़मेर के बालोतरा कस्बे के पास स्थित नाकोड़ा के सिनली जागीर में पानी से भरे गड्ढे में डूबने से तीन बच्चो की मौत हो गयी ,तीनो बच्चे एक ही परिवार के बताये जा रहे हैं। पुलिस ने शव बहार निकलवा कर शव परिजनों को सौंपे। मामले की जाँच शुरू की 

सरिस्का अभयारण्य में दिखे दो शावक



अलवर। अलवर जिले में स्थित प्रसिद्ध सरिस्का अभयारण्य में बाघिन एसटी-टू ने दो शावकों कोे जन्म दिया है। सरिस्का के क्षेत्रीय निदेशक आर एस शेखावत ने रविवार को बताया कि बाघिन के साथ इन शावकों को शनिवार रात करीब नौ बजे कैमरा ट्रेपिंग के दौरान देखा गया है। ये दोनों शावक मादा हैं।
Two tiger cubs sighted in Sariska sanctuary
उन्होंने कहा कि यह सरिस्का के लिए बहुत अच्छी खबर है। इससे बाघों के कुनबे में वृदि्ध हुई है और इससे आगे भी उम्मीद बढ़ी है। उन्होंने बताया कि इससे पूर्व भी करीब डेढ़ साल पहले सरिस्का में दो मादा शावकों ने जन्म लिया था।

उल्लेखनीय है कि सरिस्का में बाघों का कुनबा बढ़ाने के लिए रणथम्भौर अभयारण्य से बाघ लाकर छोडे गए थे और आज सरिस्का में बाघों की संख्या बारह तक पहुंच गई है।

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