सोमवार, 30 जनवरी 2017

अजमेर।अमर, अकबर, एंथॉनी ने मिलकर किया मर्डर, तीनों भाइयों को मिली यह सजा



अजमेर।अमर, अकबर, एंथॉनी ने मिलकर किया मर्डर, तीनों भाइयों को मिली यह सजा

अमर, अकबर, एंथॉनी ने मिलकर किया मर्डर, तीनों भाइयों को मिली यह सजा
महिला अत्याचार निवारण मामलात अदालत के न्यायाधीश ने पांच सौ रुपए के विवाद को लेकर मामूली कहासुनी में हुई हत्या के मामले में शनिवार कायड़ निवासी तीन सगे भाइयों को उम्रकैद व 10-10 हजार रुपए जुर्माने से दंडित किया।

गेगल थाने में कायड़ निवासी शाहबुद्दीन ने 26 जुलाई 2014 को दर्ज करवाई रिपोर्ट में बताया कि गांव के पिंटू व सद्दाम पुत्र अनवर के बीच रुपयों के लेन-देन को लेकर विवाद था। पिंटू ने रास्ता रोक कर सद्दाम से रुपयों की मांग करते झगड़ा किया।

इस बीच मौके पर शेरखान, सद्दाम के पिता अनवर खां भी आ गए। अनवर ने पिंटू व शेरखान की समझाइश की।

इसके बाद सभी अपने घर चले गए। करीब आधे घंटे बाद शेरखान, शमशेर, फिरोज पुत्र फतेह मोहम्मद व पिंटू पुत्र गोपाल कार में सवार हो कुल्हाड़ी, सरिया व बरछे समेत अनवर के घर पहुंचे।

आरोपितों ने अनवर, उसकी पत्नी मुन्नी व पुत्री फरजाना तथा पुत्र सद्दाम से हथियारों से मारपीट की।

मारपीट में अनवर के सिर में गहरी चोट लगी, मुन्नी का हाथ टूट गया तथा फरजाना व सद्दाम के चोटें आईं।

चीखपुकार सुन पड़ोसी कयूम, माफिया व अजहरूद्दीन ने बीच बचाव किया तो आरोपित भाग गए। बाद में इलाज के दौरान अनवर की मृत्यु हो गई।

गवाह हुए पक्षद्रोही

अभियोजन पक्ष की ओर से सरकारी वकील भवानीसिंह रोहिल्ला ने 25 गवाह व 30 दस्तावेज पेश किए। अदालत में राजीनामा होने के बाद पीडि़त पक्ष के गवाह पक्षद्रोही हो गए।

लेकिन विधि विज्ञान प्रयोगशाला से आई रिपोर्ट व परिस्थितिजन्य साक्ष्य के आधार पर अदालत ने अभियुक्त शेरखान, शमशेर व फिरोज को उम्रकै द व 10-10 हजार रुपए जुर्माने से दंडित किया। आरोपित पिंटू के खिलाफ बाल न्यायालय में प्रकरण विचाराधीन है।

जयपुर।पूर्व मंत्री बाबूलाल नागर को बड़ी राहत, दुष्कर्म मामले में हुए बरी



जयपुर।पूर्व मंत्री बाबूलाल नागर को बड़ी राहत, दुष्कर्म मामले में हुए बरी


दुष्कर्म के आरोप में बंद पूर्व मंत्री बाबूलाल नागर को कोर्ट ने आज बरी कर दिया। अपर जिला एवं सेशन न्यायाधीश ने नागर संदेह का लाभ देते हुए बरी किया है अदालत ने अपने फैसले में कहा कि अभियोजन पक्ष मामले को संदेह से परे साबित करने में असफल साबित हुआ है।




डालते है एक नजर पूरे मामले पर

बाबूलाल नागर साढ़े तीन साल से जेल से बाहर आने का रास्ता साफ हो गया है नागर को कोर्ट ने बरी करने का आदेश दिया है गहलोत सरकार के दूसरे कार्यकाल में उनके केबिनेट मंत्री बाबूलाल नागर पर एक महिला ने 13 सितम्बर 2013 को इस्तगासे के जरिए बलात्कार का आरोप लगाया। विधायक होने के नाते इसकी जांच सीआईडीसीबी ने

शुरु की। लेकिन बाद में राज्य सरकार ने मामला सीबीआई को रैफर कर दिया। सीबीआई टीम ने करीब 15 दिन की लम्बी पूछताछ के बाद बाबूलाल नागर को गिरफ्तार कर लिया गया। इस दौरान नागर को अपने मंत्री पद से इस्तीफा भी देना पड़ा। वहीं कुछ दिनों बाद कांग्रेस ने उन्हें पार्टी से निष्काषित भी कर दिया था।




पूरे घटनाक्रम पर एक नज़र

महिला के अनुसार 11 सितम्बर 2013 को उसका बलात्कार हुआ।

13 सितम्बर 2013 को उसने इस्तगासे के जरिए मामला दर्ज करवाया।

9 अक्टूबर 2013 को सीबीआई ने केस दर्ज किया।

10 अक्टूबर को सीबीआई की टीम जयपुर पहुंची।

23 अक्टूबर को सीबीआई ने बाबूलाल नागर को नोटिस जारी किया।

25 अक्टूबर को लम्बी पूछताछ के बाद नागर को गिरफ्तार कर लिया गया।

पूरे मामले में 9 दिसम्बर 2013 को सीबीआई ने चार्जशीट पेश कर दी।




चालान पेश होने का बाद पूरे मामले में लम्बी सुनवाई चली। करीब 3 साल से ज्यादा समय तक चली सुनवाई के बाद एडीजे-2 जयपुर जिला ने 17 जनवरी 2017 को सुनवाई पूरी करके फैसला सुरक्षित रख लिया। इस सुनवाई में अभियोजनपक्ष की तरफ से 19 गवाहों के बयान हुए वहीं बचाव पक्ष की ओर से 13 गवाहों के बयान दर्ज करवाए गए।




चालान पेश होने के बाद का घटनाक्रम

पूरे मामले में अदालत ने प्रसंज्ञान लिया।

चार्ज बहस में नागर पर 376 का मामला बनना पाया गया।

करीब 3 साल 1 महीने यह मामला चला

इस दौरान 4 जिला न्यायाधीशों के ट्रांसर्फर भी हुए।

वहीं अंतिम बहस एडीजे-2 जिला न्यायालय के यहां हुई।

जज प्रहलाद राय शर्मा ने दोनों पक्षों की अंतिम बहस सुनी।

वहीं 17 जनवरी को फैसला सुरक्षित कर लिया।




राजनेता जिनका आचरण मर्यादित और सादगीपूर्ण होने की अपेक्षा की जाती है, अब उनके दामन पर दाग नजर आने लगे हैं । कांग्रेस सरकार के समय मंत्री रहे बाबूलाल नागर के अलावा भंवरी देवी सीडी प्रकरण में महिपाल मदेरणा और कांग्रेस विधायक रहे मलखान जेल में बंद हैं। विधायक किरोड़ी लाल मीना व प्रहलाद गुंजल भी अलग-अलग मामलों में आरोपित रहे हैं।




मंत्री राजेन्द्र राठौड़ को फर्जी मुठभेड़ में दारासिंह को मारने के मामले में अधीनस्थ अदालत बरी कर चुकी है, लेकिन हाईकोर्ट ने इस आदेश को रद्द कर दिया और उसके खिलाफ अपील फिलहाल सुप्रीम कोर्ट में लम्बित है। विधायक रहे उदयलाल आंजना व पूर्व मंत्री भरोसी लाल जाटव पर भी गंभीर अपराधों से जुडे होने का आरोप रहा है । राजनीतिक दलों से जुडे लोग कई बार इसे विरोधियों की साजिश कहते भी नजर आते हैं,लेकिन हकीकत तो हमें स्वीकार करनी ही होगी कि राजनीति और राजनेता पहले जैसे शायद नहीं रहे

बाड़मेर.युवक-युवती ने फंदा लगा दी जान, प्रेम-प्रसंग का अंदेशा, पुलिस मौके पर



बाड़मेर.युवक-युवती ने फंदा लगा दी जान, प्रेम-प्रसंग का अंदेशा, पुलिस मौके पर


बिजराड़ थाना क्षेत्र के गोहड़ का तला गांव में स्थित सरकारी स्कूल में सोमवार सुबह एक युवक-युवती ने पेड़ से फंदा लगा आत्महत्या कर ली। जानकारी अनुसार युवक-युवती के बीच लम्बे समय से अफेयर चल रहा था। इसके चलते दोनों नेपेड़ से फंदा लगा एक साथ आत्महत्या कर ली। घटना की जानकारी मिलने पर बिजराड़ थाना पुलिस मौके पर पहुंची। घटना की जानकारी पर क्षेत्र में सनसनी फैल गई है।







जानकारी अनुसार गोहड़ का तला गांव में स्थित सरकारी विद्यालय पेड़ से लटकते हुए सुबह शव दिखे। इस पर ग्रामीण इक्कठे हो गए। जानकारी मिलने पर पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने ग्रामीणों की मौजूदगी में शवों को निचे उतारा गया। दोनों की शिनाख्त होने के बाद परिजन भी मौके पर पहुंच गए।







प्रेम प्रसंग का होने का अंदेशा

गोहड़ का तला निवासी एक युवती का किसी अन्य युवक के साथ प्रेम हो गया था। प्रेम प्रसंग के चलते युवक-युवती आपस में शादी करना चाहते थे। लेकिन युवती की शादी कहीं अन्य युवक के साथ होने की खबर थी। इसके चलते दोनों ने पेड़ से फंदा लगा आत्महत्या कर ली।

भोपाल।कांग्रेस विधायक का आरोप, पुलिस ने आदिवासी महिलाओं से किया दुष्कर्म



भोपाल।कांग्रेस विधायक का आरोप, पुलिस ने आदिवासी महिलाओं से किया दुष्कर्म
कांग्रेस विधायक का आरोप, पुलिस ने आदिवासी महिलाओं से किया दुष्कर्म

यहां मध्यप्रदेश के धार जिले के एक गांव में पुलिस पर अपराधियों की धरपकड़ के नाम पर आदिवासी महिलाओं से दुष्कर्म और लूटपाट का आरोप लगने के साथ ही मामले पर राजनीति पूरी तरह से गर्मा गई है।

क्षेत्र के कांग्रेस विधायक उमंग सिंघार ने पुलिस पर आरोप लगाते हुए आदिवासियों की ओर से प्राथमिकी दर्ज कराने और एक उच्चस्तरीय न्यायिक जांच कमेटी से मामले की जांच कराने की मांग की है। सिंघार ने कहा कि पिछले बुधवार को उनकी विधानसभा क्षेत्र के भुतिया व होलीबयड़ा गांव में पुलिस ने दबिश देकर चंद अपराधियों को पकड़ने के नाम पर आदिवासियों के घरों में घुस कर उन पर अत्याचार किए।


इस दौरान पुलिसकर्मियों ने चार महिलाओं के साथ दुष्कर्म किया, लोगों को डराने के लिए गोलियां चलाईं और आंसूगैस के गोले छोड़े। उन्होंने पुलिस पर लोगों के घरों का सामान लूटने का भी आरोप लगाया। साथ ही कहा कि घटना के बाद एक पीड़ित महिला के पति पर पुलिस ने झूठा मामला दर्ज करा दिया।


उन्होंने धार पुलिस अधीक्षक (एसपी) पर मामले को दबाने का आरोप लगाते हुए कहा कि वे महिलाओं का मेडिकल परीक्षण कराने के लिए उन्हें जिला अस्पताल लेकर गए, लेकिन एसपी ने मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी पर दबाव डलवाते हुए केवल एक चिकित्सक से उनका परीक्षण करवाया, जबकि ऐसे मामलों में एक पैनल से मेडिकल परीक्षण करवाया जाता है।

कथित तौर पर दुष्कर्म का शिकार महिलाओं की पीड़ा को राजधानी तक पहुंचाने के लिए उन्हें अपने साथ भोपाल लाए कांग्रेस विधायक सिंघार ने शासन से आदिवासियों की तत्काल प्राथमिकी दर्ज कराने और एक उच्च स्तरीय न्यायिक जांच समिति से पूरे मामले की जांच कराने की मांग की है।

सिंघार ने जिले के कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक का स्थानांतरण करने और कार्यवाही में लिप्त बताए जा रहे अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राय सिंह नरवरिया समेत अन्य अधिकारियों को निलंबित करने की भी मांग की। सिंघार ने कहा कि वे इस मामले को लेकर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक ऋषि शुक्ला से मिलेंगे। साथ ही इस मुद्दे को वे राज्य महिला आयोग तक भी ले जाएंगे।

बाडमेर लम्बित प्रकरणों को प्राथमिकता से निपटाएं- शर्मा



बाडमेर लम्बित प्रकरणों को प्राथमिकता से निपटाएं- शर्मा
बाडमेर, 30 जनवरी। अनुसूचित जाति, जन जाति एवं महिलाओं पर अत्याचार निवारण के लम्बित प्रकरणों को प्राथमिकता से निस्तारण करने के प्रयास किए जाए। जिला कलक्टर सुधीर शर्मा ने सोमवार को जिला मुख्यालय पर आयोजित अनुसूचित जाति, जन जाति अत्याचार निवारण, महिलाओं पर अत्याचार निवारण तथा पुलिस एवं अभियोजन के मध्य समन्वय संबंधी बैठक के दौरान यह बात कही।

जिला कलक्टर शर्मा ने बैठक के दौरान अनुसूचित जाति, जन जाति के व्यक्तियों पर अत्याचार निवारण संबंधी लम्बित प्रकरणों की न्यायालय वार समीक्षा की तथा कहा कि इस तरह के प्रकरणों में पीडित को यथा शीध्र न्याय मिले, इसके लिए प्रयास किए जाने चाहिए। उन्होने इस तरह के प्रकरणों में राज्य सरकार की ओर से पीडित पक्ष को दी जाने वाली सहायता के प्रकरणों में भी प्रभावी कार्यवाही करने के निर्देश दिए। उन्होने महिला अत्याचार से संबंधित पुराने प्रकरणों में प्राथमिकता से पैरवी करवाकर निस्तारण करने को के निर्देश दिए। उन्होने कहा कि पुलिस एवं अभियोजन में लगातार समन्वय रखने के साथ प्रकरणों के निस्तारण में परस्पर सहयोग लिया जाए।

इस दौरान जिला पैरोल सलाहकार समिति के समक्ष विचारार्थ पैरोल आवेदन पत्रों पर विस्तृत समीक्षा पश्चात् लूणा खां पुत्र मोहम्मद खां मुसलमान के प्रकरण में जिला पुलिस अधीक्षक की रिपोर्ट प्राप्त कर आगामी बैठक में विचारार्थ रखे जाने का निर्णय लिया गया। इसी प्रकार दण्डित सोहनलाल उर्फ सोनू पुत्र प्रेमलाल सोनी का पैरोल आवेदन पत्र अस्वीकृत करने का निर्णय लिया गया।

बैठक में जिला पुलिस अधीक्षक डा. गगनदीप सिंगला, उप अधीक्षक (कारागृह) चैनसिंह महेचा, सहायक निदेशक सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग सुरेन्द्र कुमार पूनिया, सहायक निदेशक अभियोजन दौलतराम पंवार, विशिष्ट लोक अभियोजक सवाई कुमार माहेश्वरी, लोक अभियोजक बालोतरा महेन्द्र पीथानी, अपर लोक अभियोजक गणपत गुप्ता सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।

-0-




पाक सिम पर प्रतिबन्ध

जिला मजिस्ट्रेट ने राष्ट्रीय सुरक्षा के लिहाज से जारी किया आदेश


बाडमेर, 30 जनवरी। जिला मजिस्ट्रेट सुधीर शर्मा ने सीमावर्ती क्षेत्रों में पाकिस्तानी लोकल सिम के उपयोग पर प्रतिबन्ध लगाते हुए ऐसा करते पाए जाने पर कानूनी कार्यवाही की चेतावनी दी है।

जिला मजिस्टेªट शर्मा ने बताया कि बाड़मेर जिले से लगने वाली अन्तर्राष्ट्रीय सीमा पर पाकिस्तानी इलाके में लगे मोबाईल टावरों का नेटवर्क भारतीय सीमा के करीब 3-4 किलोमीटर अन्दर तक आ रहा है, ऐसे में पाकिस्तानी लोकल सिम से पाकिस्तानी नेटवर्क के जरिये आसानी से सम्पर्क होने की आशंका को देखते हुए दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के अन्तर्गत पाकिस्तानी सिम के उपयोग पर प्रतिबन्ध लगाया गया है। आदेश के अनुसार बाडमेर जिले मे किसी भी क्षेत्र जहां से पाकिस्तानी लोकल सिम से पाकिस्तानी नेटवर्क के द्वारा सम्पर्क स्थापित किया जा सकता है, मे कोई भी व्यक्ति पाकिस्तानी लोकल सिम का उपयोग नहीं करेगा। साथ ही किसी भी व्यक्ति को ऐसा करने की अनुमति नहीं दी जाएगी। आदेश का उल्लंधन करते पाए जाने पर व्यक्ति के विरूद्ध कानूनी प्रावधानों के अनुसार कडी कार्यवाही की जाएगी।

-0-




जन्म-मृत्यु रजिस्टेशन के संबंध में समीक्षा बैठक 6 फरवरी को
बाड़मेर, 30 जनवरी। जन्म और मृत्यु रजिस्ट्रीकरण का शत प्रतिशत लक्ष्य हासिल करने हेतु जन्म मृत्यु रजिस्टेªशन के संबंध में एक दिवसीय जिला स्तरीय प्रशिक्षण एवं समीक्षात्मक बैठक अति. मुख्य रजिस्ट्रार (जन्म-मृत्यु) एवं जिला कलक्टर सुधीर शर्मा की अध्यक्षता में 6 फरवरी को प्रातः 11.00 बजे कलक्ट्रेट कांफ्रेन्स हॉल में आयोजित की जाएगी।

जिला रजिस्ट्रार (जन्म मृत्यु) एवं आर्थिक एवं सांख्यिकी विभाग सहायक निदेशक हीरालाल मालू ने बताया कि उक्त बैठक में कलेण्डर वर्ष 2016 की जन्म-मृत्यु एवं विवाह पंजीयन की ऑन लाईन प्रगति, रेकार्ड डिजिटाइजेशन संबंधी सूचना सहित विभिन्न बिन्दुओं पर चर्चा की जाएगी।