शुक्रवार, 29 जुलाई 2011

भगवान श्रीकृष्ण के कलयुगी अवतार खाटू श्यामजी।



भगवान श्रीकृष्ण के कलयुगी अवतार खाटू श्यामजी। 

वीर प्रसूता राजस्थान की धरा यूँ तो अपने आँचल में अनेक गौरव गाथाओं को समेटे हुए है, लेकिन आस्था के प्रमुख केन्द्र खाटू की बात अपने आप में निराली है। 

 शेखावाटी के सीकर जिले में स्थित परमधाम खाटू। यहाँ विराजित हैं भगवान श्रीकृष्ण के कलयुगी अवतार खाटू श्यामजी। श्याम बाबा की महिमा का बखान करने वाले भक्त राजस्थान या भारत में ही नहीं बल्कि दुनिया के कोने-कोने में मौजूद हैं।


श्याम मंदिर बहुत ही प्राचीन है, लेकिन वर्तमान मं‍दिर की आधारशिला सन 1720 में रखी गई थी। इतिहासकार पंडित झाबरमल्ल शर्मा के मुताबिक सन 1679 में औरंगजेब की सेना ने इस मंदिर को नष्ट कर दिया था। मंदिर की रक्षा के लिए उस समय अनेक राजपूतों ने अपना प्राणोत्सर्ग किया था। 

खाटू में भीम के पौत्र और घटोत्कच के पुत्र बर्बरीक की पूजा श्याम के रूप में की जाती है। ऐसी मान्यता है कि महाभारत युद्ध के समय भगवान श्रीकृष्ण ने बर्बरीक को वरदान दिया था कि कलयुग में उसकी पूजा श्याम (कृष्ण स्वरूप) के नाम से होगी। खाटू में श्याम के मस्तक स्वरूप की पूजा होती है, जबकि निकट ही स्थित रींगस में धड़ स्वरूप की पूजा की जाती है।



हर साल फाल्गुन मास शुक्ल पक्ष में यहाँ विशाल मेला भरता है, जिसमें देश-विदेश से भक्तगण पहुँचते हैं। हजारों लोग यहाँ पदयात्रा कर पहुँचते हैं, वहीं कई लोग दंडवत करते हुए खाटू नरेश के दरबार में हाजिरी देते हैं। यहाँ के एक दुकानदार रामचंद्र चेजारा के मुताबिक नवमी से द्वादशी तक भरने वाले मेले में लाखों श्रद्धालु आते हैं। प्रत्येक एकादशी और रविवार को भी यहाँ भक्तों की लंबी कतारें लगी होती हैं।



खाटू मंदिर में पाँच चरणों में आरती होती है- मंगला आरती प्रात: 5 बजे, धूप आरती प्रात: 7 बजे, भोग आरती दोपहर 12.15 बजे, संध्या आरती सायं 7.30 बजे और शयन आरती रात्रि 10 बजे होती है। गर्मियों के दिनों में हालाँकि इस समय थोड़ा बदलाव रहता है। कार्तिक शुक्ल एकादशी को श्यामजी के जन्मोत्सव के अवसर पर मंदिर के द्वार 24 घंटे खुले रहते हैं।

दर्शनीय स्थल : श्याम भक्तों के लिए खाटू धाम में श्याम बाग और श्याम कुंड प्रमुख दर्शनीय स्थल हैं। श्याम बाग में प्राकृतिक वातावरण की अनुभूति होती है। यहाँ परम भक्त आलूसिंह की समाधि भी बनाई गई है। श्याम कुंड के बारे में मान्यता है कि यहाँ स्नान करने से श्रद्धालुओं के पाप धुल जाते हैं। पुरुषों और महिलाओं के स्नान के लिए यहाँ पृथक-पृथक कुंड बनाए गए हैं।

कैसे पहुँचें :
सड़क मार्ग : खाटू धाम से जयपुर, सीकर आदि प्रमुख स्थानों के लिए राजस्थान राज्य परिवहन निगम की बसों के साथ ही टैक्सी और जीपें भी यहाँ आसानी से उपलब्ध हैं।
रेलमार्ग : निकटतम रेलवे स्टेशन रींगस जंक्शन (15 किलोमीटर) है।
वायुमार्ग : यहाँ से निकटतम हवाई अड्‍डा जयपुर है, जो कि यहाँ से करीब 80 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है

गुरुवार, 28 जुलाई 2011

पीने से रोकने पर जवान ने बीवी को आग लगाई

जयपुर।। बीवी ने जब पीने से मना किया तो सेना के जवान उसे उसके शरीर पर किरोसिन छिड़कर आग लगा दी। यह घटना राजस्थान के अलवर जिले की है।

जम्मू कश्मीर के लेह जिले में पोस्टेड अशोक कुमार छुट्टी पर अपने घर रोमरोली तीन दिन पहले आया था। रात को जब उसकी पत्नी खाना बना रही थी, तो उसने पीना शुरू कर दिया।

नीमराना पुलिस स्टेशन के जांच अधिकारी ने इस बाबत कहा, चूंकि अशोक लगातार पी रहा था, इसलिए उसकी पत्नी ने खाना फिर से किचन में ले जाकर रख दिया और सोने चली गई। लेकिन सुबह चार बजे जब वह उठी तो देखी कि उसका पति उस वक्त भी पी रहा था, तो उसने उसे मना किया। इसी बात को लेकर दोनों में तकरार होने लगी। पहले तो अशोक ने अपनी पत्नी की पिटाई की और बाद में उसके शरीर पर किरोसिन गिराकर आग लगा दी। 

अधिकारी ने बताया, बाद में पड़ोस के लोगों ने अशोक की पत्नी कमलेश को हॉस्पिटल पहुंचाया। लेकिन रास्ते में ही उसकी मौत हो गई। पुलिस ने अशोक को गिरफ्तार कर लिया है। 

लोकपाल से पीएम बाहर, मंत्री अन्दर

लोकपाल से पीएम बाहर, मंत्री अन्दर 
 

नई दिल्ली। भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाने के लिए केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने गुरूवार को प्रधानमंत्री को लोकपाल के दायरे से बाहर रखते हुए लोकपाल विधेयक के प्रारूप को मंजूरी दे दी जिसे एक अगस्त से शुरू होने वाले संसद के आगामी मानसून सत्र में पेश किया जाएगा।

प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की अध्यक्षता में यहां हुई केन्द्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में लोकपाल के प्रारूप को मंजूरी दी गई। केन्द्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अम्बिका सोनी और लोकपाल का प्रारूप बनाने के लिए गठित कमेटी के सदस्य केन्द्रीय विधि एवं न्याय मंत्री सलमान खुर्शीद ने बैठक में लिए गए निर्णय की जानकारी संवाददाताओं को दी।

उन्होंने बताया कि लोकपाल विधेयक के प्रारूप को 30 जुलाई तक तैयार कर लेने के वादे को निभाते हुए सरकार ने इसे मंजूरी दी है, जो संसद के आगामी मानसून सत्र में पेश किया जाएगा। उन्होंने बताया कि न्यायपालिका के किसी अतिवरिष्ठ व्यक्ति की अध्यक्षता में लोकपाल कमेटी का गठन किया जायेगा जिसमें अध्यक्ष के अलावा आठ सदस्य होंगे। इनमें से चार सदस्य न्यायपालिका से होंगे।

उन्होंने बताया कि लोकपाल के दायरे में प्रधानमंत्री कार्यालय और सभी मंत्रियों को रखा गया है पर प्रधानमंत्री उसकी परिधि से बाहर रहेंगे। हालांकि सभी पूर्व प्रधानमंत्री अवश्य उसके दायरे में आएंगे। सोनी ने बताया कि लोकपाल के पास आने वाली सभी शिकायतों का निस्तारण सात वर्ष में करना जरूरी होगा अन्यथा सात वर्ष बाद आरोपी स्वत: बरी हो जाएगा। 

बच्चों को पढ़ाएगा बुकीमॉन्स्टर सॉफ्टवेयर

अगर आपका बच्चा पढ़ने में ध्यान नहीं देता तो चिंता की कोई बात नहीं। अब एक ऐसा सॉफ्टवेयर आ गया है जो आपके बच्चे को पढ़ने में मदद करेगा।

जी हां, अब उन पेरेंट्स के लिए एक अच्छी खबर है जो अपने बच्चों को ट्यूशन पढ़ाने के लिए कोई शिक्षक ढूंढ रहे हैं।

सॉफ्टवेयर का नाम बुकीमॉन्स्टर रखा गया है। शोधकर्ताओं का मानना है कि यह बच्चों के लिए रीडिंग कोच साबित होगा। इस सॉफ्टवेयर में कम्प्यूटर से उत्पन्न आवाजों की मदद से पढ़ाई की जा सकेगी। यह सॉफ्टवेयर बच्चों की किताब को पढ़कर भी सुनाएगा। वाइकाटो विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने इस सॉफ्टवेयर को बनाया है

इंटरनेट के शौकीन दंपत्ति ने बेचें तीन बच्चे

चीन में एक युवा दंपत्ति को इंटरनेट पर सर्फिंग करना इतना भाता है कि इसके आगे उन्हें अपने बच्चों से भी मोह नहीं है। मध्य चीन में इस दंपत्ति को इंटरनेट और ऐशो आराम के लिए धन जुटाने की खातिर अपने तीन बच्चों को बेचने के आरोप में पकड़ा गया। बच्चों को बेचकर वे सारी रकम साइबर कैफे में उड़ाते रहे। घटना हुनान प्रांत की है।

न्यूज पोर्टल रेडनेट के मुताबिक, पुलिस ने तीनों बच्चों का पता लगा लिया है। उसके बावजूद 19 वर्षीय ली लोंगवेंग और उनकी 18 वर्षीया पत्नी ली येंग को अपने बच्चे वापस नहीं चाहिए। इनमें एक तीन साल का बेटा, दो साल की बेटी और और एक हाल ही में जन्मा बेटा है।

जियांगडोंग काउंटी की जेल में बंद दंपती से जब पुलिस ने पूछताछ की तो उन्होंने कहा, हमें अपने बच्चे नहीं चाहिए। प्लीज उन्हें वापस मत लाओ। पुलिस के अनुसार, इस आवारा दंपती को अपने जेल में बंद रहने की भी परवाह नहीं है।

दोनों पुलिस से हंसकर पूछते हैं, हम बाहर कब जा सकते हैं। इंटरनेट के आदि इस दंपती की मुलाकात भी 2007 में हुझाऊ शहर के साइबर कैफे में हुई थी। ली अपना स्कूल छोड़कर ली यिंग के साथ रहने लगा। कुछ ही समय में ली गर्भवती हो गई। वह गर्भपात कराना चाहती थी लेकिन ली की मां ने उसे ऐसा नहीं करने दिया। 2008 में उसने एक बेटे को जन्म दिया

चुंबन लेने वाली मुस्लिम लड़कियां गिरफ्तार

सबा राज्य के तवाउ शहर में मलेशियन इस्लामिक अधिकारियों ने सार्वजनिक तौर एक दूसरे का आलिंगन और चुंबन करने वाली दो मुस्लिम लड़कियों गिरफ्तार किया है।

खबरों के मुताबिक उनकी उम्र 16 और 17 वर्ष है। उन्हें तवाउ नगर निगम और ‘सबा इस्लामिक रिलीजियस अफेर्यस डिपार्टमेंट’ के एक संयुक्त अभियान के दौरान मंगलवार को हिरासत में लिया गया।

विभाग के अधिकारी अब्दुल इमाम बासिरन ने बताया कि दोनों लड़कियों को इस्लामी शरियत आपराधिक अपराध अधिनियम के तहत गिरफ्तार किया गया है।

दोषी पाए जाने की स्थिति में उन पर अधिकतम 15,000 रुपए का जुर्माना, छह माह कैद या दोनों की सजा हो सकती है

अजमेर : पाकिस्तान की विदेश मंत्री द्वारा दरगाह की जियारत ..shandar foto







अजमेर : पाकिस्तान की विदेश मंत्री द्वारा दरगाह की जियारत 

जयपुर, 28 जुलाई। पाकिस्तान की विदेश मंत्री हिना रब्बानी खार ने आज प्रसिद्घ सूफी संत ख्वाजा मोईनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह की जियारत की और उनकी पवित्र मजार पर नीले व हरे रंग की मखमली चादर चढ़ाते हुए अपने अकीदत े फूल पेश किये। 
पाकिस्तान विदेश मंत्री ने ख्वाजा साहब े आस्ताने शरीफ में लगभग दस मिनट रूकते हुए हिन्दुस्तान-पाकिस्तान की प्रगाढ़ मैत्री े लिए दुआ मांगी। उन्होंने पांयती दरवाजे े पास दो रकाब शुक्रराना नमाज अदा की। इने साथ पाकिस्तान का आठ सदस्यीय मंडल ने भी जियारत की। 
पाकिस्तान की विदेश मंत्री लगभग साढ़े तीन बजे दरगाह े मुख्य निजाम द्वार पर पहुंची। जहां उने खादिम नातिक चिश्ती व अंजुमन कमेटी े पाधिकारियों ने उनकी अगवानी की । 
वे लगभग आधे घंटे दरगाह रूकी और यहां से सीधे घूघरा हेलीपेड े लिए रवाना हो गई। दरगाह में कड़ी सुरक्षा े बीच उन्होंने सुकून से जियारत की और उन्होंने अंजुमन कमेटी े विजिटिंग रजिस्टर में लिखा की ‘‘उन्हें आज अजमेर ख्वाजा साहब की दरगाह में आकर बहुत प्रसन्नता हुई है, वे शीघ्र ही पुनः दरगाह में हाजरी देने की कोशिश करेगी‘‘ अंजुमन कमेटी े सदर ने भी उनका स्वागत किया। इस मौे पर जिला कलक्टर श्रीमती मंजू राजपाल व जिला पुलिस अधीक्षक श्री बिपिन कुमार पांडे भी मौजूद थे।


 पाक विदेश मंत्री को भावभीनी विदाई 


जयपुर, 28 जुलाई। पाकिस्तान की विदेश मंत्री हिना रब्बानी खार को जयपुर े हवाई अड्डे से गुरूवार सायं भावभीनी विदाई दी गई। 
पाक विदेशमंत्री आज मध्यान्ह जयपुर आने े पश्चात यहां से दोपहर अजमेर दरगाह शरीफ में जियारत करने गई व सायंकाल पुनः जयपुर पहुंची और सांगानेर हवाई अड्डे से लाहौर े लिए प्रस्थान किया। 
प्रमुख शासन सचिव सामान्य प्रशासन विभाग श्रीमती किरण सोनी गुप्ता ने पाक विदेश मंत्री को राजस्थान की काफी टेबल बुक भेंट की। इस अवसर पर जिला कलक्टर श्री नवीन महाजन, अतिरिक्त पुलिस कमिश्नर श्री बीजू जोर्ज जोसफ, उप प्रमुख प्रोटोकोल अधिकारीश्री लोकनाथ सोनी उपिस्थत थे।

ऑक्सफर्ड और कैंब्रिज में पढ़ने का मौका


यूके में पढ़ने के सपने देख रहे हैं तो आप उन स्कॉलरशिप्स का सहारा ले सकते हैं जो ब्रिटेन में विभिन्न यूनिवर्सिटियों द्वारा दी जा रही हैं। अगले सत्र के लिए दी जा रही इन स्कॉलरशिप्स में कुछ की डेडलाइन तो निकल चुकी हैं, लेकिन अब भी बहुत से स्कॉलरशिप्स हैं जिनके जरिए आप विलायती डिग्री का सपना पूरा कर सकते हैं।

ब्रिटेन में पढ़ाई और रिसर्च के लिए वैसे तो ढेरों प्रकार की स्कॉलरशिप और फेलोशिप दी जाती हैं। लेकिन कैंब्रिज और ऑक्सफर्ड की बात ही कुछ और है। इन प्रमुख यूनिवर्सिटियों के लिए मिलने वाली स्कॉलरशिप्स तो हैं ही, और भी तमाम स्कॉलरशिप्स हैं जिन्हें आप अपने कोर्स के हिसाब से चुन सकते हैं।

कॉमनवेल्थ स्कॉलरशिप्स के अलावा फिलहाल आप जिन फेमस स्कॉलरशिप्स के लिए ऐप्लिकेशन दे सकते हैं, वे हैं: रोड्स, डॉ. मनमोहन सिंह और चार्ल्स वैलेस इंडिया ट्रस्ट स्कॉलशिप्स।



रोड्स स्कॉलरशिप 
रोड्स स्कॉलशिप के जरिए चयनित स्टूडेंट्स को जहां ऑक्सफर्ड में सपने साकार करने का मौका मिलता है वहीं डॉ. मनमोहन सिंह स्कॉलरशिप के तहत कैंब्रिज के सेंट जोंस कॉलेज में रिसर्च का मौका मिलता है। इस साल भी आर्ट्स, साइंस, लॉ और मेडिसिन में फर्स्ट क्लास ऑनर्स डिग्री रखने वाले पांच इंडियन स्टूडेंट्स को ऑक्सफर्ड यूनिवर्सिटी में स्कॉलरशिप के जरिए पढ़ने का मौका मिलेगा।

फाइनल इयर स्टूडेंट भी ऐप्लिकेशन दे सकते हैं। इसके लिए आवेदन कर रहे स्टूडेंट्स के लिए पढ़ाई के अलावा अन्य गतिविधियां, जैसे: खेल, थिएटर और कम्युनिटी सर्विस आदि भी अहम होते हैं। ऐप्लिकेशन देने की अंतिम तारीख 31 जुलाई, 2011 है। इस संबंध में अधिक जानकारी वेबसाइट rhodesscholarships-india.com से ली जा सकती है।

डॉ. मनमोहन सिंह स्कॉलरशिप 
इंडियन पीएम के सम्मान में शुरू की गई यह स्कॉलरशिप ज्यादा पुरानी नहीं है। 2007 में ही इसकी शुरुआत की गई, लेकिन कुछ बरसों में यह प्रतिष्ठित स्कॉलरशिप में शुमार है। इस स्कॉलरशिप के जरिए भारतीय स्टूडेंट्स को कई सब्जेक्ट्स में मौके मिलते हैं। सिलेक्टेड स्टूडेंट्स सेंट जोंस कॉलेज से साइंस, इकनॉमिक्स और सोशल साइंस में डॉक्टोरल डिग्री हासिल कर सकते हैं।

ऐप्लिकेशन देने का समय वैसे तो दिसंबर तक है, लेकिन अगर आप ब्रिटेन में पढ़ने को लेकर सीरियस हैं, तो अपने होमवर्क में अभी से जुट जाएं। डॉक्टोरल डिग्री में प्रोग्राम और उससे जुड़े गाइड की भी तलाश करनी होती है। सत्र सितंबर-अक्टूबर में शुरू होते हैं। ऐप्लिकेंट के लिए यहां भी पढ़ाई के अलावा कई चीजें देखी जाती हैं जैसे लीडरशिप क्वॉलिटी वगैरह।

ऐप्लिकेशन सीधे कॉलेज में भेजना होता है। सफल ऐप्लिकेंट्स को फेलोशिप भी कॉलेज ही देता है। इंटरव्यू आमतौर पर फरवरी-मार्च में होते हैं और सफल कैंडिडेट्स के नामों की घोषणा अप्रैल के आसपास की जाती है। इसके लिए ऐप्लिकेशन दिसंबर के अंतिम सप्ताह तक दिए जा सकते हैं। स्कॉलशिप के रूप में एकेडमिक फीस, हवाई खर्च वगैरह शामिल है। इस स्कॉलशिप के लिए स्टूडेंट्स का पीजी होना जरूरी है। चयन प्रक्रिया में इंटरव्यू अहम है। चुनिंदा स्टूडेंट्स को ही इंटरव्यू के लिए बुलाया जाता है।

चार्ल्स वैलेस इंडिया ट्रस्ट स्कॉलरशिप्स 
ब्रिटेन के लिए आर्ट्स और हेरिटेज कंजर्वेशन के लिए दिए जाने वाले चार्ल्स वैलेस इंडिया ट्रस्ट स्कॉलरशिप्स/अवॉर्ड के लिए भी ऐप्लिकेशन मंगाए जा रहे हैं। इस ट्रस्ट के द्वारा कई प्रकार के स्कॉलरशिप दिए जाते हैं। जैसे: लॉंग टर्म अवॉर्ड्स इन द आर्ट्स एंड हेरिटेज कंजर्वेशन, विजिटिंग फेलोशिप, ट्रांसलेटर फेलोशिप और शॉर्ट टर्म रिसर्च ऐंड प्रोफेशनल विजिट वगैरह। लेकिन कोई भी एक साल से ज्यादा समय के लिए नहीं होता है। आपको स्कॉलरशिप आपने हिसाब से चुननी होगी। जैसे ट्रांसलेटर फेलोशिप को लें। यह फेलोशिप दो महीने की अवधि के लिए होता है। कोई अपर एज लिमिट भी नहीं है। सितंबर तक आवेदन कर सकते हैं। लांग टर्म अवॉर्ड सबसे अहम है और यह हर साल अधिकतम 10 व्यक्तियों को दिया जाता है। इसके लिए इस साल शुक्रवार 25 नवंबर तक नजदीकी ब्रिटिश काउंसिल में आवेदन किए जा सकते हैं।

एमर्जिंग मार्केट स्कॉलशिप्स 
आप एमबीए या इकनॉमिक्स में कोर्स करना चाहते हैं तो एलएसबीएफ (लंदन स्कूल ऑफ बिजनेस एंड फाइनेंस) द्वारा भी कई प्रकार के स्कॉलशिप्स ऑफर किए जाते हैं। इसे एमर्जिंग मार्केट स्कॉलशिप्स के नाम से जाना जाता है। जैसे: ओरेकल कैपिटल स्कॉलशिप, द डाइवर्सिटी स्कॉलरशिप, द विमन इन बिजनेस स्कॉलशिप और द एंटरप्रेनरशिप स्कॉलरशिप। जाने से पहले की औपचारिकताओं, वीजा और यात्रा व्यवस्था में ब्रिटिश काउंसिल स्टूडेंट्स की मदद करती है। इन स्कॉलशिप की जानकारी आप ब्रिटिश काउंसिल से भी ले सकते हैं। वेबलिंक है:www.britishcouncil.org/india-scholarships 

ब्रिटेन के लिए अन्य स्कॉलशिप्स की लिस्ट में से आप अपनी उपयोगिता चुन सकते हैं। याद रहे कि तमाम स्कॉलरशिप्स की प्रक्रिया में लंबा समय लगता है। इस साल हो रहे आवेदन 2012-13 सेशन के लिए हैं।

लिस्ट:

द गोवा एजुकेशन ट्रस्ट स्कॉलशिप्स : यह खास तौर से गोवा के स्टूडेंट्स के लिए है। इसे 2010 में शुरू किया गया था।

न्यूटन इंटरनेशनल फेलोशिप : इसके तहत दो साल तक के लिए पोस्ट डॉक्टोरल रिसर्च का मौका मिलता है।
डॉ. डीसी पवाते मेमोरियल फेलोशिप इन कैंब्रिज : इसके तहत तीन लोगों को विजिटिंग फेलोशिप चार महीने की अवधि के लिए मिलती है।
द ग्रेजुएट स्कॉलरशिप्स एट एलएसई : यह स्कॉलरशिप मास्टर्स प्रोग्राम के लिए दी जाती है।
स्कॉल स्कॉलर फॉर द ऑक्सफर्ड एमबीए
यूनिवर्सिटी ऑफ लिवरपूल स्कॉलरशिप्स
यूनिवर्सिटी ऑफ मैनटेस्टर स्कॉलरशिप्स
एरासमस मुंड स्कॉलरशिप्स
पोस्ट ग्रैजुएट लीगल स्कॉलरशिप एट वारविक लॉ स्कूल
गेट्स कैंब्रिज स्कॉलरशिप्स
ऑक्सफर्ड सेंटर फॉर इस्लामिक स्टडीज स्कॉलरशिप्स
यूनिवर्सिटी ऑफ ग्लासगो: स्कॉलरशिप्स फॉर ग्रैजुएट स्कूल ऑफ मेडिसिन
यूनिवर्सिटी ऑफ आर्ट्स इन लंदन स्कॉलरशिप्स
द किंग्स कॉलेज लंदन स्कॉलरशिप्स 

विदेश जाने के लिए ताक पर रखा रिश्ता और भाई-बहन बन गए पति-पत्नी


मोगा . विदेश जाने के लिए एक भाई ने अपनी ही बहन के साथ शादी रचा ली। यही नहीं दोनों ने मिलकर फर्जी कागजात और प्रमाणपत्र तैयार करवाकर न्यूजीलैंड जाकर रहने लगे।
इस जालसाजी का खुलासा कोई और नहीं बल्कि लड़की के बहनोई ने किया। जिसकी शिकायत पर थाना धर्मकोट पुलिस ने जांच के बाद दो महिलाओं सहित चार लोगों के खिलाफ साजिश, धोखाधड़ी, पासपोर्ट एक्ट और जाली कागज तैयार करने का मामला दर्ज कर लिया है। 
एएसआई पलविंदर सिंह ने बताया की गांव सांगला निवासी नवतेज सिंह ने कुछ महीने पहले पुलिस को दी लिखित शिकायत में आरोप लगाया था की कस्बा धर्मकोट निवासी उसकी साली राजपाल कौर ने विदेश जाने के लिए वर्ष 2007 में जाली कागज के आधार पर पासपोर्ट के लिए आवेदन किया था।
पासपोर्ट तैयार होने के बाद उसकी साली राजपाल कौर अपने परिजनों के साथ मिल कर अपने ही सगे भाई वीर सिंह के साथ शादी कर उसे कोर्ट में रजिस्ट्रर करवा लिया। भाई-बहन से पति पत्नी बनने के बाद दोनों चार साल पहले न्यूजीलैंड जाकर रहने लगे। 
पुलिस ने नवतेज सिंह की शिकायत पर लंबी जांच के बाद शिकायतकर्ता के साले वीर सिंह, साली राजपाल कौर, सास हरबंस कौर और ससुर रेशम सिंह के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। पुलिस का कहना है कि दो आरोपी फिलहाल विदेश में है जबकि दो को गिरफ्तार करने के लिए छापेमारी की जा रही है। इस बाबत विदेश मंत्रालय, पासपोर्ट और वीजा दफ्तर को भी सूचित कर दिया गया है।

'पति ने किया बलात्कार, धोखाधड़ी और दहेज भी मांगा'


लुधियाना. मंडी गोबिंदगढ़ . बलाचौर (नवांशहर) के गांव महितपुर की एनआरआई महिला ने अपने पति पर बलात्कार, धोखाधड़ी और देहज के लिए प्रताड़ित करने का आरोप लगाया है। पुलिस ने पति सहित ससुराल के पांच सदस्यों के खिलाफ शिकायत दर्ज कर ली है।
कैनेडा के न्यू लंडन कोर्ट र्बमटन ओंटेरियो के त्रिलोक सिंह ने बताया कि अगस्त 2006 में उसकी कैनेडा में रहने वाली बेटी अर्शप्रीत कौर की फतेहगढ़ साहिब जिले के गांव हरगना निवासी मंजीत सिंह शाही से इंटरनेट पर दोस्ती हुई। इसके बाद मंजीत के परिजन किसी न किसी बहाने से उसकी बेटी से पैसे मंगवाने लगे।
4 नवंबर, 2007 को अर्शप्रीत भारत पहुंची व मंजीत उसे अपने घर ले गया। उसी रात अर्शप्रीत ने फोन पर बताया कि मंजीत ने उसके साथ बलात्कार किया है। पुलिस के डर से मंजीत ने माफी मांग ली। 13 नवंबर, 2007 को दोनों की शादी हो गई।
मंजीत के परिजनों ने उसे दहेज के लिए प्रताड़ित करना शुरू कर दिया। 30 नवंबर को अर्शप्रीत कैनेडा चली गई। इसके बाद मंजीत अर्शप्रीत को फोन करके उसे कैनेडा बुलाने के लिए कहने लगा। 28 जून, 2010 को मंजीत कैनेडा पहुंचा व अर्शप्रीत को फोन कर कहा कि वह 50 लाख रुपए भेजे वरना उसे तलाक दे देगा। मांग पूरी न होने पर मंजीत ने तलाक के कागजात भेज दिए। 8 दिसंबर, 2010 को कैनेडा सरकार ने मंजीत को भारत भेज दिया। इसके बाद से मंजीत व उसके परिवार वाले उनकी बेटी और उन्हें जान से मार देने की धमकियां दे रहे हैं।
कैनेडा जाने को रची साजिश
जांच में सामने आया कि मंजीत सिंह 2001 में इंग्लैंड गया था, लेकिन वहां सैटल नहीं हो पाया। वह कैनेडा में सैटल होना चाहता था, इसलिए उसने अर्शप्रीत से शादी के लिए हां कर दी। उसके साथ बलात्कार कर उसे शादी के लिए मजबूर कर दिया।

नाश्ते की शर्त में पूर्व प्रेमिका की हत्या

नाश्ते की शर्त में पूर्व प्रेमिका की हत्या 
 

लंदन। ब्रिटेन में एक स्कूली छात्र ने मुफ्त नाश्ते की शर्त में अपनी पूर्व प्रेमिका की हत्या कर दी। इस छात्र को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। सोलह वर्षीय जोशुआ डेविस से उसके एक मित्र ने वादा किया था कि यदि उसने अपनी पूर्व प्रेमिका 15 वर्षीया रेबेका एल्वर्ड की हत्या कर दी तो वह उसके लिए मुफ्त नाश्ते की व्यवस्था करेगा। डेविस और रेबेका का पहले ही अलगाव हो गया था लेकिन वह अपने रिश्ते में सुलह की उम्मीद से उससे फिर मिली थी।

दूसरी ओर डेविस ने रेबेका को जानलेवा फॉक्सग्लोव्स फूल देकर ,नदी में डुबोकर या उस पर पत्थर गिराकर उसकी हत्या करने की योजना बनाई थी। मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक डेविस से मिलने जाने से पहले इस मुलाकात पर अपने लिए नए परिधान खरीदने वाली रेबेका इस सब से अनजान थी कि उसकी हत्या की शर्त लगाई गई है।

हत्या की इस सुनवाई में पता चला कि किस तरह किशोरावस्था में हुआ प्रेम नफरत के रिश्ते में बदल गया और अंत में रेबेका की बेरहमी से हत्या कर दी गई। डेविस ने रेबेका की हत्या के सम्बंध में अपने दोस्तों को लिखित संदेश भेजकर जानकारी दी थी। इनमें से एक संदेश में डेविस ने लिखा था कि यदि उसने हत्या कर दी तो वे क्या करेंगे। इस पर एक दोस्त ने उसे मुफ्त नाश्ता देने का वादा किया था। डेविस ने हत्या से दो दिन पहले अपने इस दोस्त से नाश्ता तैयार रखने के लिए कहा था। वह हंसमुख रेबेका को जंगल में ले गया और पत्थर मारकर हत्या कर दी। 

गुरु-शिष्या प्रेम कहानी का नाटकीय ढंग से हुआ अंत


मेहसाणा। हाल ही चर्चा में रहा 50 वर्षीय विवाहित शिक्षक और 18 वर्षीय छात्रा के प्रेम प्रकरण का नाटकीय ढंग से अंत हो गया है। 15 दिन बाद पुलिस की गिरफ्त में आने के बाद एक ही दिन में पूरी कहानी ऐसी बदली कि किसी को समझ में नहीं आया कि आखिर यह सब हुआ कैसे?

हम दोनों ने साथ जीने-मरने की कसम खाई है। समाज को भी चाहिए कि वह हमारे रिश्ते को मंजूरी दे दे... ये शब्द थे, बहुचर्चित होम्योपैथिक कॉलेज के अध्यापक से शादी करने वाली छात्रा के।

अनेक अटकलों के बीच शहर पुलिस स्टेशन में युवती और उसके परिवार के बीच घंटो तक चली बहस निष्फल रही थी। लेकिन शाम को अचानक अध्यापक और युवती ने एक-दूसरे से अलग होने का फैसला कर लिया और इस तरह 15 दिनों में इस प्रेम कहानी का अंत हो गया।




मेहसाणा के होम्योपैथिक कॉलेज का एक प्रोफेसर कॉलेज की ही एक छात्रा के साथ फरार हो गया और शादी कर ली। इस घटना को लेकर पूरे शहर में चर्चा का माहौल है। अहमदाबाद स्थित समाज कल्याण बोर्ड की डायरेक्टर ने शनिवार को कॉलेज प्रबंधन से मिलकर प्रोफेसर को सस्पैंड करने की मांग की है। इसके बाद बोर्ड ने पुलिस अधिकारियों से मुलाकात की और तत्काल छात्रा की खोज करने की मांग की।

जानकारी के अनुसार कॉलेज में बतौर प्रोफेसर राजेश आर. मेमदाणी (50) का कॉलेज की एक 19 वर्षीय छात्रा रोशनी से पिछले कुछ समय से प्रेम-प्रसंग चल रहा था। राजेश यहां पिछले दस वर्षों से कार्यरत है। इसके अलावा राजेश दो बच्चों का पिता भी है। इसके बाद भी उसने छात्रा से प्रेम-विवाह कर लिया।

सबसे बड़ी बात यह है कि गुरु-शिष्या के संबंधों को शर्मसार कर देने वाली यह घटना गुरु-पूर्णिमा के दिन ही हुई। बताया जाता है कि प्रोफेसर ने छात्रा से इसी दिन शादी भी कर ली।
घटना की जानकारी होते ही अहमदाबाद में कार्यरत समाज कल्याण बोर्ड की डायरेक्टर अल्काबेन ब्रह्मभट्ट ने शनिवार को कॉलेज के ट्रस्टी मनुभाई पटेल से संपर्क किया। अल्काबेन ने कॉलेज प्रबंधन से मुलाकात कर तत्काल प्रभाव से अध्यापक को सस्पैंड करने की मांग की है। इसके अलावा बोर्ड ने पुलिस अधिकारियों से भी मुलाकात की और जल्द से जल्द छात्रा को खोजने की मांग की।

फुटपाथ पर भीख मांगने वाला भिखारी निकला करोड़पति!


अहमदाबाद। शहर के फुटपाथ पर भीख मांगने वाले भावसिंह आज अपने अपने वतन वापसी के लिए शहर से विदा ले रहे हैं। भावसिंह अपने वतन भीख में मांगे हुए चंद पैसे लेकर नहीं, बल्कि करोड़पति बनकर लौट रहे हैं।
पाटण जिले के कल्याणपुर गांव में रहने वाले भावसिंह लगभग दो दशक पहले घर से भाग निकले थे। इसके बाद वे भीख मांगकर अपना गुजर-बसर करने लगे। हाल ही में भीख मांगते समय उसे पुलिस ने पकड़ लिया और भिक्षुकगृह भेज दिया। इसी बीच भावसिंह के बड़े भाई गोविंदभाई भिक्षुकगृह पहुंच गए और उन्होंने बताया कि भावसिंह के नाम पर डेढ़ करोड़ रुपए कीमत की जमीन है। यह बात सुनते ही आसपास के सभी लोग चौंक उठे। इसके बाद भावसिंह अहमदाबाद से विदाई लेते हुए बड़े भाई के साथ अपने वतन के लिए रवाना हो गए।
 

चित्तौडगढ़: बहनों ने चप्पलों से की मनचले की धुनाई

चित्तौडगढ़ के प्रतापनगर इलाके में गुरुवार को दो बहनों ने साहस का परिचय देते हुए छेडख़ानी करने वाले युवकों की चप्पलों से पिटाई कर दी। बाद उन्हें पुलिस के हवाले कर दिया। पिछले कई दिनों से इन दोनों बहनों को कुछ मनचले युवक परेशान कर रहे थे। युवतियों द्वारा बार-बार समझाने के बावजूद युवक बाज नहीं आ रहे थे। आखिरकार दोनों ने दबंगता दिखाते हुए सरेराह चप्पल से आरती उतारी।

पुलिस के अनुसार ब्यूटी पार्लर चलाने वाली दो बहनों को कई दिनों से कुछ मनचले परेशान कर रहे थे। युवतियों द्वारा समझाए जाने के बावजूद वे अपनी आदतों से बाज नहीं आ रहे थे। मनचलों की आदत से परेशान हो कर दोनों युवतियों ने आखिरकार पुलिस को इसकी जानकारी दी। रोज की तरह युवतियां प्रतापनगर स्थित शहीद भगत सिंह पार्क में घूमने गई और पूर्व सूचना पर पुलिसकर्मी मनचलों पर दूर से निगाह रखे हुए थे। पार्क में पहुंचते ही मनचलों ने दोनों बहनों को परेशान करना शुरू कर दिया लेकिन पुलिस को देख मनचले वहां से भाग खड़े हुए।

कुछ देर बाद इनमें से एक युवक मोटरसाइकिल लेने वापस पार्क के बाहर पहुंचा तो दोनों बहनों ने उसकी चप्पलों से जमकर धुनाई कर दी और पुलिस के हवाले कर दिया। कोतवाली थाने ले जाने के बाद पूछताछ करने पर युवक ने अपना नाम विजय कॉलोनी निवासी लोकेश राठौड़ बताया। इसने अपने दोस्तों के नाम भी बताए है, जो इन युवतियों को परेशान कर रहे थे।

भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने रिश्वत लेते पकड़ा हैड कांस्टेबल को


जोधपुर। भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने पाली सदर थाने की खैरवा पुलिस चौकी के हैड कांस्टेबल को रिश्वत लेते रंगे-हाथों गिरफ्तार किया है। हालांकि उसे ब्यूरो की कार्रवाई की भनक लग गई थी इसलिए वह कार में बैठ कर फरार हो गया। मगर ब्यूरो टीम ने पीछा कर उसे पकड़ लिया। 

ब्यूरो के डीआईजी संजीब कुमार नार्जारी ने बताया कि बालेलाव गांव निवासी मांगीलाल बावरी का अपने ही भाइयों से झगड़ा हुआ था। इसका मुकदमा पाली सदर थाने में दर्ज हुआ था। मुकदमे की जांच खैरवा पुलिस चौकी के हैड कांस्टेबल श्रवण कुमार मीणा को दी गई थी। हैड कांस्टेबल ने अनुसंधान में उसके खिलाफ कार्रवाई नहीं करने की एवज में 3000 रुपए की मांग की। तब परिवादी ने ब्यूरो को शिकायत कर दी। शिकायत के सत्यापन में हैड कांस्टेबल परिवादी से 1500 रुपए लेने को तैयार हो गया।

गुरुवार को ब्यूरो ने योजनाबद्ध तरीके से ट्रैप का आयोजन किया। हैड कांस्टेबल ने पुलिस चौकी के गेट के बाहर ही परिवादी से रिश्वत राशि ली, जैसे ही ब्यूरो अधिकारी उसे पकडऩे पहुंचे हैड कांस्टेबल एक कार को रुकवा कर उसमें बैठ कर भाग निकला। ब्यूरो टीम ने पीछा कर कार को पकड़ा और रिश्वत लेने के आरोप में हैड कांस्टेबल को गिरफ्तार कर लिया तथा कार की सीट पर रखी रिश्वत राशि भी बरामद कर ली।

सांगानेर में नाबालिग से गैंग रेप

सांगानेर में नाबालिग से गैंग रेप 
 

जयपुर। सांगानेर थाना क्षेत्र में रहने वाली चौदह वर्षीय किशोरी से गैंग रेप का मामला सामने आया है। पुलिस ने किशोरी की शिकायत पर दो लोगों के खिलाफ नामजद मामला दर्ज किया है। दोनों की तलाश की जा रही है।

पुलिस के अनुसार तिरूपति बालाजी नगर में रहने वाली चौदह वर्षीय किशोरी मंगलवार की रात करीब ग्यारह बजे अपने घर के बाहर लघु शंका के लिए निकली थी। घर के अंदर जाने से पहले ही विक्की बैरवा और शेखर बैरवा अपनी बाइक से वहां आए और जबरन किशोरी को अपने साथ बाइक पर बैठा लिया। किशोरी के चीखने से पहले ही बदमाशों ने उसका मुंह दबा दिया। उसके बाद देर रात किशोरी को विक्की और शेखर अपने कमरे पर ले गए।

दोनों ने कई बार रेप किया और कल सवेरे उसके घर के पास ही छोड़कर फरार हो गए। पीडिता ने परिजनों को घटना के बारे में जानकारी दी और सांगानेर थाने में मामला दर्ज कराया। पुलिस ने पीडिता का मेडिकल मुआयना कराया है। फरार आरोपी विक्की और शेखर की तलाश की जा रही है। 

हिना ख्वाजा की चौखट पर

हिना ख्वाजा की चौखट पर 
 

अजमेर/जयपुर/नई दिल्ली। पाकिस्तान की विदेश मंत्री हिना रब्बानी खार गुरूवार को ख्वाजा मोइनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह की जियारत की। बतौर विदेश मंत्री अजमेर शरीफ की यह उनकी पहली यात्रा है। कड़ी सुरक्षा के बीच हिना का काफिला सर्किट हाउस से दरगाह के गेट पहुंचा। दरगाह निजाम गेट पर खादिम सैयद नातिक चिश्ती ने उनका इस्तकबाल किया। बाद में उन्हें आस्ताने शरीफ ले जाया गया जहां उन्होंने चादर पेशकर दुआ मांगी। हिना ने दरगाह के शिल्प सौंदर्य को भी निहारा तथा आध्यात्कि शांति का अनुभव किया। हिना के साथ आठ सदस्ययीय दल भी दरगाह आया। सुरक्षा की दृष्टि से हिना के दरगाह पहुंचे से पहले ही जायरीन का दरगाह में प्रवेश रोक दिया गया तथा आस्ताना शरीफ को खाली करा लिया गया।

इससे पहले हिना जयपुर से सेना के एक विशेष हेलीकॉप्टर के जरिए दोपहर करीब डेढ़ बजे अजमेर की किशनगढ़ हवाई पट्टी पहुंची। वहां से कार के जरिए सर्किट हाउस गई। करीब साढ़े तीन बजे वे सर्किट हाउस से दरगाह के लिए रवाना हुई। हिना अपने 14 सदस्यीय दल के साथ पहले दिल्ली से जयपुर पहुंची। यहां मौसम खराब होने के कारण उनकी अजमेर रवानगी में करीब एक घंटे का विलम्ब हुआ। अजमेर से वे जयपुर होती हुई स्वदेश लौट जाएंगी।

हिना ने गुरूवार को दिल्ली में निजामुद्दीन औलिया की मजार पर जाकर चादर पेश की। सूत्रों के अनुसार हिना ने भारत यात्रा से पूर्व दिल्ली की जामा मस्जिद में नमाज अता करने की भी इच्छा व्यक्त की थी। जिसके बाद वहां आवश्यक प्रबंध कर लिए गए थे लेकिन उनका जामा मस्जिद जाने का कोई कार्यक्रम नहीं बना। अलबत्ता वे अजमेर शरीफ पहुंची। हिना एक उच्चस्तरीय शिष्टमंडल के साथ विदेश मंत्री स्तर की बातचीत के लिए मंगलवार को भारत पहुंची थीं। 

नीलीमा व हरीश को मैग्सेसे अवार्ड

नीलीमा व हरीश को मैग्सेसे अवार्ड 
 

मनीला। एशिया के प्रतिष्ठित रेमन मैग्सेसे अवार्ड पर भारतीयों का दबदबा कायम है। साल 2011 के लिए नीलीमा मिश्रा और भारतीय मूल के अमरीकी हरीश हेंडे को इस प्रतिष्ठित अवार्ड से नवाजा जाएगा।

नीलीमा को महाराष्ट्र में गरीब बच्चों की सेवा करने जबकि पेशे से इंजीनियर हरीश को सोलर बिजली से कई घरों को रोशन करने के प्रयास के लिए यह पुरस्कार दिया जाएगा।

अलग-अलग क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान के लिए चार अन्य व्यक्तियों को भी रेमन मैग्सेसे अवार्ड से नवाजा जाएगा। अवार्ड फाउंडेशन के अध्यक्ष अरमन सीटा अबेला ने कहा कि दोनों भारतीयों ने प्रौद्योगिकी में बढ़ावा देकर देश के लिए बहुत बड़ा योगदान दिया है। इनके कार्यो से एशिया में बड़ा बदलाव हुआ है।

फिलीपींस के राष्ट्रपति रेमन मैग्सेसे के नाम पर दिए जाने वाले इस अवार्ड को 31 अगस्त को मनीला में प्रदान किया जाएगा। 

आतंकियों से मुकाबला करते शहीद हो गया जोधपुर का 'लाल'

जोधपुर। जोधपुर के करवड़ गांव निवासी नायब सूबेदार लालसिंह खींची बुधवार सुबह कश्मीर के कुपवाड़ा सेक्टर में आतंकियों से मुकाबला करते शहीद हो गए। 57 राष्ट्रीय राइफल के खींची का शव शुक्रवार सुबह जोधपुर लाया जाएगा, जहां उनका राजकीय सम्मान से अंतिम संस्कार किया जाएगा। कुपवाड़ा सेक्टर में बुधवार सुबह आतंकियों से मुठभेड़ के दौरान सीने में गोली लगने पर लालसिंह को मिल्रिटी अस्पताल ले जाया गया। वहां इलाज के दौरान उनकी मृत्यु हो गई।

यूनिट के सूबेदार मेजर कमलेश सिंह ने दोपहर दो बजे लालसिंह के भाई भीमसिंह खींची को फोन पर उनके शहीद होने की सूचना दी। वर्ष 1966 में जन्मे लालसिंह चौपासनी स्कूल में बारहवीं कक्षा तक पढ़ाई करने के बाद बीस साल पूर्व सेना में भर्ती हुए थे। कमांडो का विशेष प्रशिक्षण हासिल करने की वजह से वे करीब 18 साल जम्मू-कश्मीर में ही तैनात रहे। उनका शव गुरुवार को दिल्ली और वहां से शुक्रवार को जोधपुर लाया जाएगा।

पहले भी झेली थी गोली

लालसिंह की कश्मीर में कई बार आतंकियों से मुठभेड़ हो चुकी थी। पांच साल पूर्व मुठभेड़ के दौरान पेट व आंत में दो गोलियां लगी थी, लेकिन उनकी जान बच गई थी। उनकी इस वीरता के लिए उन्हें सेना मेडल भी दिया गया था। मौत को नजदीक से देखने के बावजूद लालसिंह का हौसला कम नहीं हुआ था और वे आतंकियों से मुकाबला करने में सबसे आगे रहते थे।

भाई को सुनाए थे पिछली मुठभेड़ के किस्से

लालसिंह छह महीने पूर्व घर आए थे। पांच दिन पूर्व ही अपने भाई भीम सिंह से फोन पर घर के हाल-चाल जानने के बाद आतंकियों से हुई पिछली मुठभेड़ के किस्से भी सुनाए थे। बुधवार को जब उनके शहीद होने की सूचना मिली तो भीम सिंह को एकबारगी विश्वास ही नहीं हुआ।

मां व पत्नी को गोली लगने की सूचना दी

लालसिंह के शहीद होने की सूचना मिलते ही करवड़ गांव व उनके रिश्तेदारों में शोक की लहर फैल गई। उनका पार्थिव शरीर शुक्रवार को जोधपुर पहुंचेगा। उनकी मां व पत्नी ओमकंवर को उनके शहीद होने की सूचना की बजाय गोली लगने की सूचना ही दी गई। ओमकंवर अपने एक बेटे व बेटी के साथ जोधपुर में रहती हैं। दोपहर में लालसिंह के घायल होने की सूचना देकर उन्हें करवड़ गांव बुला लिया गया।

विवाहिता की हत्या मामले में मां-बेटे को 15/15 साल कैद

अमृतसर . फतेहगढ़ चूड़ियां रोड स्थित निरंकारी कालोनी में करीब दो साल पहले विवाहिता की मौत मामले में मां-बेटे को दोषी करार देते हुए सत्र न्यायाधीश एचएस मदान ने 15/15 साल कैद के आदेश दिए हैं। बीस-बीस हजार रुपए जुर्माने की सजा भी सुनाई गई है। यह राशि जमा न कराने पर मां-बेटे को दो/दो साल और जेल में बिताने होंगे।

सिविल लाइंस पुलिस ने मृतका के पिता विपन कुमार अरोड़ा की शिकायत पर केस दर्ज किया था। कोट खालसा निवासी शिकायतकर्ता के मुताबिक दो मई 2004 को उसने अपनी बेटी ज्योति की शादी फतेहगढ़ चूड़ियां निवासी राजिंदर कुमार के लड़के लवली कुमार के साथ की थी। ज्योति के दूसरा बच्चा (लड़की) पैदा होने के बाद लवली अपनी मां सीता रानी से मिलकर उसकी बेटी से मारपीट करने लगा।

पिटने के बाद कई बार मायके पहुंची अपनी बेटी को वह समझा कर ससुराल छोड़ आते, लेकिन उनका दामाद अपनी आदतों से बाज नहीं आया। 26 अगस्त 2009 की शाम उनकी बेटी ने उनके मोबाइल पर मिस काल की। उन्होंने जब ज्योति को फोन किया तो उसने लवली और उसकी मां द्वारा मारपीट किए जाने की बात कही तो उन्होंने अपनी लड़की को समझाते हुए अगली दिन आने की बात कही। अगली सुबह सात बजे ही वह अपनी पत्नी और बेटे के साथ फतेहगढ़ चूड़ियां पहुंचे तो पाया कि ससुराल में फर्श पर ही उनकी बेटी का शव पड़ा था। पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ केस दर्ज करने के बाद उसी दिन मां-बेटे को गिरफ्तार कर लिया।

करोड़ों का बजट, लाखों के पौधे, मात्र ५१ हजार रोपे


करोड़ों का बजट, लाखों के पौधे, मात्र ५१ हजार रोपे
हरित राजस्थान कार्यक्रम विफल साबित हुआ, अब तक महज पंद्रह फीसदी पौधे लगाए, गत वर्षों में लगाए पौधे संरक्षण के अभाव में दम तोड़ दिए 

बाड़मेर
 

रेत के धोरों पर हरियाली की ख्वाहिश दशकों बाद भी पूरी नहीं हो पाई। हरित राजस्थान कार्यक्रम से पहले रोपे गए आधे से अधिक पौधे सूख गए। दूसरी ओर बारिश के बाद ग्राम पंचायत स्तर पर पौधरोपण अभियान में कोई तेजी नहीं दिख रही। जिले में कुल 3 लाख 20 हजार पौधे लगाने का लक्ष्य तय किया गया था। लेकिन अब तक महज 51 हजार पौधे ही रोपे गए हैं।

हरित राजस्थान कार्यक्रम के तहत जिले की प्रत्येक पंचायत समिति क्षेत्र में 40-40 हजार पौधे लगाने का लक्ष्य तय किया गया। मनरेगा योजना के तहत पौधरोपण के लिए करीब डेढ़ करोड़ रुपए का बजट स्वीकृत कर रखा है।
 

ग्राम पंचायतों को वन विभाग की नर्सरियों से पौधे खरीदकर सरकारी, गोचर भूमि पर सघन पौधरोपण करना प्रस्तावित है। मानसून की पहली बारिश के बाद महज पंद्रह फीसदी पौधरोपण हो पाया है। पौधरोपण में कहीं पर पंचायतें रुचि नहीं दिखा रही तो कहीं मानसून की बेरुखी आड़े आ रही है। पौधरोपण के आंकड़ों पर गौर करें तो पंचायत समिति बालोतरा, चौहटन व सिणधरी को छोड़ दें तो एक भी पंचायत समिति दो हजार के आंकड़े को पार नहीं कर पाई है। जबकि प्रत्येक पंचायत समिति का लक्ष्य 40 हजार पौधे लगाना है।
 

रोपे पचास, पनपे पांच
 

पिछले साल हरित राजस्थान कार्यक्रम के तहत करीब दो लाख पौधे लगाए गए। वहीं वर्ष 2009 10 में 1 लाख 8 हजार 976 पौधे लगाए गए। प्रशासन ने पौधों के संरक्षण की जिम्मेदारी संबंधित ग्राम पंचायतों को सौंप दी। इस दौरान आधे से अधिक पौधे तो कुछ ही दिनों में नष्ट हो गए। वहीं देखभाल के अभाव में करीब पच्चीस फीसदी पौधे बर्बाद हो गए। इसके बाद महज पच्चीस फीसदी पौधे ही जिंदा रहे।

क्या है हकीकत..
 

प्रशासन ने गत वर्ष हरित राजस्थान कार्यक्रम के तहत करीब दो लाख पौधे लगाए। इस दौरान एक पौधे पर 256 रुपए खर्च किए गए। इन्हें पांच साल तक जिंदा रखना था। इसमें से 46 हजार पौधे पहले साल ही बर्बाद हो गए। इनके संरक्षण पर खर्च किए गए 1 करोड़ 17 लाख 76 हजार रुपए बेकार चले गए।
 

पंचायतों से होगी वसूली
 

पिछले वर्षों में रोपे गए पौधे नष्ट होने पर प्रशासन संबंधित ग्राम पंचायतों को जिम्मेदार मानते हुए पेनल्टी वसूलेगा। संरक्षण के अभाव में नष्ट हुए पौधों के स्थान पर नए पौधे रोपित करने के साथ देखभाल करनी होगी। साथ ही आगामी पांच साल तक पौधे जिंदा रखना अनिवार्य है। इसमें लापरवाही बरतने पर ग्राम पंचायतों से पौधों की लागत राशि वसूली जाएगी।

जिम्मेदार ही बेखबर

हरित राजस्थान कार्यक्रम से पौधरोपण से संबंधी सूचनाएं जुटाने की जिम्मेदारी जिला परिषद को सौंप रखी है। इस शाखा के कार्मिक अब तक किए गए पौधरोपण के आंकड़ों से ही अंजान हैं। जबकि लक्ष्य निर्धारण व लगाए गए पौधों से संबंधित फीड बैक लेने का कार्य इसी विभाग का है।

नशे में धुत सिपाही सस्पेंड


नशे में धुत सिपाही सस्पेंड 
 
बालोतरा। बालोतरा के उप जिला कारागृह में नियुक्त एक सिपाही बुधवार को जिला कलक्टर गौरव गोयल के निरीक्षण के दौरान शराब के नशे मे धुत पाया। इसे गंभीरता से लेते हुए जिला कलक्टर ने निलंबित करने के आदेश किए। बुधवार को बालोतरा दौरे के दौरान जिला कलक्टर उप जिला कारागृह मे निरीक्षण के लिए पहुंचे। गार्ड सलामी के दौरान एक सिपाही नदारद पाया गया। इस संबंध में जानकारी चाहे जाने पर जेल प्रभारी ने बताया कि सिपाही हरीसिंह स्टोर कक्ष में आराम कर रहा है।


इस पर जिला कलक्टर ने स्टोर कक्ष का बंद दरवाजा खटखटाया। काफी कोशिश के बाद भी अंदर बैठे सिपाही ने चिटकनी नहीं खोली। इस पर जिला कलक्टर ने थाने से पुलिस को बुलवाकर दरवाजा खुलवाया। सिपाही हरीसिंह शराब के नशे में धुत पाया गया। जिला कलक्टर को सामने देख उसके होश फाख्ता हो गए। इसे गंभीरता से लेते हुए जिला कलक्टर ने उसके निलंबन के लिए डीआईजी जेल को अभिशंषा की। बाद में सिपाही का राजकीय नाहटा अस्पताल में मेडिकल मुआयना करवाया गया। कलक्टर ने जेल प्रशासन को आगाह किया कि कर्तव्य मे कोताही किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं की जाएगी।


हकबकाई पुलिस - राजकीय नाहटा अस्पताल में मेडिकल मुआयने के दौरान एकबारगी वहां मौजूद पुलिस अधिकारियों के होश फाख्ता हो गए। हुआ यूं कि मुआयने के बाद शराब के नशे मे धुत सिपाही ने चिकित्सक डॉ.एम.एल.खारवाल को बताया कि वह किसी गुप्त रोग के बारे में उन्हें दिखाना चाहता है। उसकी जिद पर पुलिस के दो अधिकारियो व जवानों को कमरे से बाहर भेजकर अंदर से चिटकनी लगा दी गई। इसी दौरान वहां पहुंचे अस्पताल के पीएमओ डॉ.एन.एल.गुप्ता ने जब ये माजरा देखा तो उन्होंने किसी अनिष्ट के अंदेशे से पुलिस कर्मियो को दरवाजा खुलवाने को कहा। बाद मे पुलिस अधिकारियों को भी समझ में आया कि उनसे चूक रह गई है, तब उनके होश उड़ गए। जोर-जोर से खटखटाकर दरवाजे को खुलवाया गया।


व्यवस्थाएं परखी - जिला कलक्टर गोयल ने उपखंड अधिकारी ओ.पी.विश्Aोई के साथ बालोतरा के उप जिला कारागृह में निरीक्षण कर व्यवस्थाओ को परखा। बंदियो से रूबरू होकर उनकी समस्याएं सुनी।
 

गांव के सार्वजनिक टांकों पर दलितों को पानी भरने की इजाजत नहीं


 राजस्था न: सरहद पर दो बूंद पानी के लिए तरसते दलित ,स्वीकृति के बाद भी टेंकरों से सप्लाई  नहीं

बाडमेर: भारत-पाकिस्तान सरहद पर बसे परंपरागत रूप से अभावग्रस्त राजस्थाबन के बाड़मेर जिले में भीषण गर्मी के साथ-साथ पेयजल संकट से आम आदमी का जीना मुहाल हो गया है।राज्य सरकारके आदेशो के बाद जिला प्रशासन ने शिव बाड़मेर बायतु आदि इलाको में टेंकरों से पेयजल आपूर्ति के टेंडर कर लिए .टेंडर किये दो माह से अधिक समय बीत जाने के बाद भी पेयजल की आपूर्ति शुरू नहीं की है . अभावों के आदी होने के बावजूद थारवासी इस बार के पेयजल संकट और भीषण गर्मी को सहन नहीं कर पा रहे हैं। सरहदी क्षेत्रों में पेयजल संकट किसी सजा से कम नहीं है। विशेषकर, दलित वर्ग के लोगों के लिए।

दलितों की जिंदगी दो बूंद पानी की तलाश तक सिमट कर रह गई है। पूरा दिन एक घड़ा पानी की तलाश में निकल जाता है। ग्रामीण क्षेत्रों में दलित परिवारों के लिए पेयजल की अलग से व्यवस्था परंपरागत रूप से है। आज भी सवर्ण जातियां दलित वर्ग के लोगों को अपने साव, तालाबों और टांकों से पानी भरने नहीं देती। अभिशप्त दलित वर्ग दो बूंद पानी के लिये संर्घष कर रहा है।

जाति के आधार पर बंटे इन पेयजल स्रोतों का निर्माण सरकार ने भले ही सार्वजनिक तौर पर कराया हो, मगर जमीनी हकीकत यही है कि दलित को सार्वजनिक कुओं से पानी भरने की इजाजत तथाकथित सभ्य समाज नहीं देता। कहने को जिला प्रशासन द्वारा सभी आठों तहसीलों में पानी के टैंकरों की व्यवस्था कर रखी है, मगर ये पानी के टैंकर जरूरतमंद लोगों तक पहुंचने से पहले गांवों के प्रभावशाली लोगों के हत्थे चढ जाते हैं। सार्वजनिक टांकों में पानी भरे जाने के बजाय प्रभावशाली सवर्ण जाति के निजी टांकों में भरे जाने के कारण दलितों के पेयजल स्रोत खाली ही रहते हैं। ऐसे में दलित परिवार की महिलाओं को आसपास के गांवों में पानी की तलाश में निकलना पडता है।


गांव के सार्वजनिक टांकों पर दलितों को पानी भरने की इजाजत नहीं

गांव-गांव में यही कहानी दोहराई जाने के कारण आज दलितों के पानी के टांके खाली पड़े हैं। जाति के आधार पर बंटे पानी के कारण दलित वर्ग के लोग पलायन को मजबूर हैं। गांवों में बाकायदा सवर्ण जातियों के लिए अलग से टांके बने हैं, तो दलित वर्ग के लिए ‘मेधवालों की बेरी’, ‘भीलों की बेरी’, ‘सांसियों का तला’, ‘मिरासीयों का पार’ नाम से पानी के स्रोत अलग से गांव की सरहदों पर बने हुए हैं। जिले में लगभग 70-80 सरपंच, जिला परिषद सदस्य तथा पंचायत समिति सदस्य और एक विधायक दलित समाज से होने के बावजूद ग्रामीण अंचलों में दलितों का सरेआम शोषण हो रहा है। दो बूंद पानी के लिए दलित वर्ग को बार-बार अपमानित होना पड रहा है।

जाति आधारित बंटवारा महज पानी में ही हो, ऐसा नहीं हैं। हर योजना का बंटवारा जाति आधारित हो रहा है। जिला प्रशासन द्वारा संचालित पेयजल राहत टैंकर चलाने वाले किशनाराम ने बताया, ‘‘हम गरीबों तक पानी पहुंचाना चाहते हैं, मगर गांव के प्रभावशाली लोग हमें गांव में घुसने पर ‘देख लेने’ की धमकिया देते हैं, जोर-जबरदस्ती कर पानी के टैंकर अपने घरों के टांकों में खाली कराते हैं। हमें गांवों में बार-बार जाना होता है। किस-किस से दुश्मानी मोल लें।’’

रूघाराम मेघवाल कहते हैं, ‘गांवों में दलितों के टांकों में पानी रीत (रिक्त ) चुका हैं। पानी खरीदने की हमारी हैसियत नही है। बीस-बीस किलोमीटर परिवार की महिलाएं और बच्चे पैदल चल कर पानी की तलाश में भटकते रहते हैं।  दिन भर की तलाश के बाद एक घड़ा ला पाते हैं। ऐसी स्थिति कब तक चलेगी? जिला प्रशासन को बार-बार सूचित किया, मगर कोई कार्यवाही नहीं हो रही है।

बुधवार, 27 जुलाई 2011

अजमेर शरीफ में चादर चढ़ाएंगी हिना

अजमेर शरीफ में चादर चढ़ाएंगी हिना 
 

नई दिल्ली। पाकिस्तान की विदेश मंत्री हीना रब्बानी खार गुरूवार को अजमेर शरीफ की यात्रा करेंगी। अजमेर शरीफ की यह उनकी पहली यात्रा होगी। उच्च पदस्थ पाकिस्तानी सूत्रों के अनुसार हिना पहले जयपुर जाएंगी जहां से वे अजमेर शरीफ जाकर चादर चढ़ाएंगी। अजमेर से वे जयपुर होती हुई स्वदेश लौट जाएंगी।

सूत्रों के अनुसार हिना ने भारत यात्रा से पूर्व दिल्ली की जामा मस्जिद में नमाज अता करने की भी इच्छा व्यक्त की थी जिसके बाद वहां आवश्यक प्रबंध कर लिए गए थे लेकिन अब उनका जामा मस्जिद जाने का कोई कार्यक्रम नहीं है। अलबत्ता वे अजमेर शरीफ जाएंगी। हिना एक उच्चस्तरीय शिष्टमंडल के साथ विदेश मंत्री स्तर की बातचीत के लिए मंगलवार को भारत पहुंची थीं। 

शहीद की शहादत को सलाम, लेफ्टिनेंट अर्चित वर्डिया का अंतिम संस्कार सेना सम्मान के साथ किया गया








































शहीद की शहादत को सलाम, लेफ्टिनेंट अर्चित वर्डिया का अंतिम संस्कार सेना सम्मान के साथ किया गयासियाचिन की अशोक चोटी पर शहीद हुए शहर के जांबाज लेफ्टिनेंट अर्चित वर्डिया का अंतिम संस्कार सेना सम्मान के साथ यहां रानी रोड श्मशान में बुधवार सुबह किया गया। इस मौके पर परिवार सदस्यों के साथ सेना, प्रभारी मंत्री महेंद्रजीत मालविया, सांसद रघुवीर मीणा, प्रशासन, गणमान्य नागरिक,स्थानीय लोगों ने अर्चित को सेल्यूट किया।
सेना का गार्ड ऑफ ऑनर: 
रेजीमेंट 175 मीडियम के जवान शहीद साथी को सिखली रेजीमेंट के जवानों ने गार्ड ऑफ ऑनर दिया। रेजीमेंट 175 मीडियम के जवान भी अंतिम संस्कार कार्यक्रम में पहुंचें। एकलिंगगढ़ छावनी ज्यों ही शहीद अर्चित का पार्थिव शरीर लिए सेना की गाड़ी माछला मगरा स्थित बड़े पापा के निवास पहुंची तो परिवार के सब्र का बांध फुट पड़ा। शहीद की शहादत को सलाम करने वहां पहुंचा जन समूह की आंखें नम हो गई।
अर्चित अमर रहे के नारे गूंज उठे : छावनी से लेकर रानी रोड श्मशान तक अर्चित के अमर रहने के नारों की गूंज बनी रही। बीच मार्गों में भी लोगों ने अर्चित को सेल्यूट किया।
छावनी से निकली शवयात्रा : सेना की गाड़ी में कैफीन में पार्थिव देह को रखा गया। कैफीन को तिरंगा झंडे से ढका गया। शवयात्रा छावनी से रवाना होकर माछला मगरा, उदियापोल, सूरजपोल, देहलीगेट, कोर्ट चौराहा, चेटक सर्कल, महाकालेश्वर मंदिर मार्ग होते हुए रानी रोड श्मशान पहुंची। इससे पूर्व माछला मगरा स्थित अर्चित के ताऊजी के निवास स्थल पर अंतिम दर्शन के लिए कुछ देर पार्थिव देह रखा, जहां लोगों और परिवारजनों ने अंतिम दर्शन करते हुए पुष्प अर्पित किए।

पाकिस्तानी व्यक्ति ने अपनी छह बेटियों को गोलियों से भून डाला।

 एक पाकिस्तानी व्यक्ति ने अपनी छह बेटियों को गोलियों से भून डाला। हत्यारे को शक था कि उसकी दो बेटियों के पड़ोस के लड़कों के साथ संबंध थे।

'एक्सप्रेस ट्रिब्यून' में प्रकाशित खबर में बताया गया कि आरिफ मुबशिर ने अपनी किशोर बेटियों को अपने कमरे में बुलाया और उनपर गोलियों की बौछार कर दी। उसकी पत्नी और परिवार के अन्य सदस्य इस घटना के गवाह बने। घटना के बाद मुबशिर की पत्नी ने पुलिस को बुलाया। पंजाब प्रांत के मुबशिर ने उन लड़कियों की हत्या कर डाली, क्योंकि उनके भाई ने उसे बताया था कि लड़कियों का कोई प्रेम संबंध चल रहा है।

मुबशिर ने पुलिस अधिकारियों को बताया कि उसने अपनी बेटियों की हत्या इसलिए कर डाली, क्योंकि उन्होंने परिवार को अपमानित किया। उस व्यक्ति ने बताया कि उसकी बेटी समीना (14) और राजिया (16) के पड़ोस के लड़कों के साथ संबंध थे और बहनों ने इसमें एक-दूसरे की मदद की।

उसने कहा, मुझे तत्काल बताया जाना चाहिए था, लेकिन लड़कियों ने एक-दूसरे का पक्ष लिया। वे दोनों भ्रष्ट थीं। पुलिस अधिकारियों ने मुबशिर को हिरासत में ले लिया और उसके खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। अधिकारी ने कहा, उसने जो किया, उसे लेकर उसे कोई पछतावा नहीं
है

बनना था इंजीनियर बन गया सीरियल किलर, 6 साल 36 कत्ल


भोपाल। एक शख्स जो कभी बनना चाहता था इंजीनियर लेकिन वक्त के साथ उसका जहन बदला और वो बन गया सीरियल किलर। पैसों की चाहत में वो बन गया लुटेरा। लेकिन लूट के साथ ही वो लोगों की हत्याएं भी करने लगा। गिरफ्तार होने से पहले तक वो 36 लोगों को मौत के घाट उतार चुका था। दरअसल मध्य प्रदेश पुलिस ने एक खतरनाक सीरियल किलर पकड़ा है। पुलिस रिकॉर्ड में सरमन शिवहरे नाम के इस हत्यारे ने अब तक 16 लोगों को मौत के घाट उतारा है। हालांकि पूछताछ में हत्यारे ने 36 मर्डर करने की बात कबूल की है। पुलिस के मुताबिक सभी हत्यायएं लूट के इरादे से की गईं।
लेकिन सरमन को मध्य प्रदेश के सतना में एक ज्वैलर्स के यहां लूटपाट करना भारी पड़ गया। पहले तो सरमन ने प्रीति ज्वैलर्स के मालिक रामदत्त सोनी और उनकी पत्नी शोभा को गोली मार दी। इसमें शोभा की मौके पर ही मौत हो गई और फिर इसके बाद लूटपाट शुरू की। लेकिन तभी भीड़ ने इसे दबोच लिया और पीट-पीटकर अधमरा कर दिया। इसके बाद पुलिस ने जब पूछताछ शुरू की तो फिर सरमन ने अपने गुनाहों की फेहरिस्त खोलकर रख दी। सतना, इंदौर, जबलपुर, ग्वालियर औऱ पन्ना में इसने 36 हत्याओं की बात कबूली। सीरियल किलर के खुलासे के फौरन बाद ही एक दर्जन से ज्यादा हत्या की पुष्टि भी हो गई।
बनना था इंजीनियर बन गया सीरियल किलर, 6 साल 36 कत्ल



सरमन सतना में लूट के बाद रीवा रियासत के म्यूज़ियम को लूटने की फिराक में था। इसी इरादे से वो रीवा जा रहा था। रीवा पुलिस ने सरमन के साथी इन्द्रसेन सिंह को भी गिरफ्तार किया है। इन्द्रसेन म्यूज़ियम की चौकीदारी करता है। सरमन का एक और साथी रामकिशोर फरार है जिसकी तलाश की जा रही है।
सरमन कितना बड़ा शातिर अपराधी था इसका अंदाज़ा इस बात से लगाया जा सकता है कि पिछले छह साल से हत्या की वारदात को अंजाम देने के बाद वो उसी इलाके में छिपता था। पुलिस शहर की नाकेबंदी करने के बावजूद कभी उसे पकड़ नहीं पाई। यही नहीं छह साल में छत्तीस हत्याओं की बात कबूलने वाले इस सीरियल किलर ने सिर्फ तीन वारदातों में अपने साथियों की मदद ली और बाकी सारे अपराध इसने अकेले अंजाम तक पहुंचाए। फिलहाल सतना पुलिस सरमन को रिमांड में लेकर पूछताछ कर रही है। इस बीच सरमन को पकड़ने वाले नौजवानों को आला अधिकारियों ने नगद इनाम के साथ हथियार का लायसेंस देने का ऐलान किया है।
पुलिस के मुताबिक मध्य प्रदेश में पन्ना जिले के गणेशगंज इलाके में रहने वाला सरमन इंजीनियर बनना चाहता था। लेकिन जब वो इंजीनियर नहीं बन पाया तो सीरियल किलर बन गया। सरमन ने अपराध की दुनिया में छह साल पहले पहला कदम रखा। सबसे पहले इसने मंडला घाटी में एक अज्ञात शख्स की गोली मारकर हत्या कर दी। इसी साल इसने इंदौर में डॉक्टर वर्षा हत्याकांड को अंजाम दिया। सरमन ने डॉक्टर वर्षा और उनके कम्पाउंडर राम सिंह की गोली मारकर हत्या कर दी। साथ ही जेवरात औऱ नगदी लेकर फरार हो गया।
इसके बाद पन्ना में हीरा व्यापारी जगदीश जड़िया और उसके साथी की गोली मारकर हत्या कर दी और फिर लूटपाट को अंजाम दिया। पन्ना के शातिर अपराधी डब्बू को भी सरमन ने ही मौत के घाट उतारा। झांसी रोड पर एक अनजान शख्स को भी मारा। इसी साल मार्च में ग्वालियर में राजेन्द्र साहू औऱ विनय जैन की हत्या के बाद साढ़े पांच लाख रूपए की लूटपाट की। जून महीने में सरमन ने ग्वालियर में दो बड़ी वारदातों को अंजाम दिया। पहले व्यापारी प्रभात अग्रवाल औऱ फिर एक औऱ व्यापारी नीरज गुप्ता की हत्या कर डाली।
सिर्फ पैसे के लिए ही नहीं बल्कि रिवॉल्वर या पिस्तौल लूटने के इरादे से भी सरमन हत्या जैसी वारदात को अंजाम तक पहुंचाता था। इसी साल अप्रैल में इसने जबलपुर में हवलदार राजकुमार की हत्याकर उसकी रिवॉल्वर लूटी थी। जबकि इसी महीने सरमन हाईकोर्ट के एक जज के गनमैन की मोटर साईकल में लिफ्ट के बहाने बैठा और फिर उसकी गोली मारकर हत्या कर दी। साथ ही गनमैन की नब्बे एम एम की रायफल लूट ली। जो बरामद कर ली गई है। सरमन ने 36 हत्याओं की बात कबूल की है। इसमें से एक दर्जन से ज्यादा हत्या की पुष्टि भी की जा चुकी है। हैरानी की बात ये है कि सरमन भले ही किसी इलाके में लूटपाट के मकसद से पहुंचता था लेकिन उसका ध्यान पहले हत्या की तरफ होता था। और उसके बाद ही लूटपाट को अंजाम देता था।