सोमवार, 11 सितंबर 2017

श्रीगंगानगर.ग्राहक बनका सौदा किया तय, इशारा मिलते हीे रेड मारी तो रैकेट हुआ एक्सपोज

ग्राहक बनका सौदा किया तय, इशारा मिलते हीे रेड मारी तो रैकेट हुआ एक्सपोज

ग्राहक बनका सौदा किया तय, इशारा मिलते हीे रेड मारी तो रैकेट हुआ एक्सपोज
श्रीगंगानगर. पुरानी आबादी में रवि चौक के पास पुलिस ने जिस्मफरोशी के अड्डे पर छापा मारा। यहां से 6 लड़कियों और 2 लड़कों को गिरफ्तार किया गया। लंबे समय से यहां जिस्मफरोशी की शिकायतें मिल रही थीं, जिसके चलते पुलिस ने कार्रवाई की। बोगस ग्राहक बनकर किया सौदा तय...

- जिस्मफरोशी के अड्डे पर पहले एक बोगस ग्राहक भेजा गया। बोगस ग्राहक ने एक हजार रुपए सौदा तय किया। जैसे ही मामले की पुष्टि हुई तो इशारा पाकर पुलिस ने कार्रवाई कर दी।

- सीओ सिटी तुलसीदास पुरोहित ने बताया कि मौके से वर्षा सोनी (36), कुलदीप कौर (35), हनुमानगढ़ की कमलजीत (30), रायसिंहनगर की रजनी (24), बिहार के गिरहड़ की रेखा (26), लालगढ़ जाटान की अमनदीप (22) , फाजिल्का जिले के सुखचैन सिंह (27)और मंगू सोनी (22) को पीटा एक्ट में गिरफ्तार किया है।

कश्मीर के पूर्व मंत्री के बेटे पर 200 महिलाओं को प्रताड़ित करने का आरोप

कश्मीर के पूर्व मंत्री के बेटे पर 200 महिलाओं को प्रताड़ित करने का आरोप

कश्मीर के पूर्व मंत्री के बेटे पर 200 महिलाओं को प्रताड़ित करने का आरोप
जम्मू. मेंगलुरू में एक लड़की ने पुलिस में शिकायत की कि आबिद गनी नाम के युवक ने उसे एक बहुराष्ट्रीय कंपनी में नौकरी दिलाने के नाम पर प्रताड़ित किया और गलत फायदा उठाया। इस लड़की की शिकायत पर आबिद को गिरफ्तार किया गया। बीपीओ फर्म में काम करने वाला आबिद स्वयं को एचआर विभाग का प्रमुख बताता था। गिरफ्तारी के बाद पूछताछ में उसने करीब 200 लड़कियों से इस तरह का बर्ताव करना कबूला।

- पिछले दो वर्ष से मेंगलुरू में रह रहा आबिद और कोई नहीं जम्मू-कश्मीर के इसी पूर्व मंत्री की दूसरी पत्नी का बेटा है।

- आबिद ने उत्तरप्रदेश की सिम ले रखी है। उसकी कॉल डिटेल से पता चला है कि वह अन्य युवतियों को भी इस तरह से परेशान करता रहता था।

पिता की भी एक महिला से फोन पर अश्लील वार्ता करने का ऑडियो सामने आया था

- बात 2014 की है। जम्मू कश्मीर में एक ऑडियो बहुत लोकप्रिय हुआ था। इसमें एक पूर्व मंत्री अब्दुल गनी वकील एक लड़की से अश्लील वार्ता करते हुए टेप किए गए थे। इसमें चर्चा हद पार करने वाली थी।

- तब कांग्रेस के जम्मू-कश्मीर के प्रमुख गुलाम नबी आजाद को यह कहना पड़ा था कि यदि यह टेप सही निकला तो गनी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।

- अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय से कानून की डिग्री लेकर वकालत करने वाले गनी के खिलाफ कथित सनसनीखेज ऑडियो ने जम्मू कश्मीर की राजनीति में उथल-पुथल मचा रखी थी।

- वकील इस बात का दावा करते हैं कि 2015 में उन्होंने कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया। उनमें और सैफुद्दीन सोज में कभी नहीं बनी। जबकि पार्टी के मुताबिक कांग्रेस के 12 नेताओं ने हाईकमान को पत्र लिखकर उन्हें पार्टी से हटाने की गुजारिश की थी। उन पर अनर्गल बयान देने के भी आरोप लगाए गए थे।

नाम- आबिद गनी, बीपीओ कर्मचारी

आयु- 26 वर्ष

पिता- अब्दुल गनी (कश्मीर के पूर्व मंत्री), मां- अमीना (बैंक कर्मी)

क्यों चर्चा में- हाल ही में इसे लड़कियों को परेशान करने के आरोप में गिरफ्तार किया है।

छात्रा को पुरुष टॉयलेट मेें खड़ा करने के मामले ने पकड़ा तूल

छात्रा को पुरुष टॉयलेट मेें खड़ा करने के मामले ने पकड़ा तूल

छात्रा को पुरुष टॉयलेट मेें खड़ा करने के मामले ने पकड़ा तूल
हैदराबाद: तेलंगाना नगर प्रशासन और शहरी विकास मंत्री के. टी. रामाराव ने हैदराबाद के निकट रामचन्द्रपुरम में एक निजी स्कूल में पांचवी कक्षा की छात्रा को सजा के तौर पर पुरुष टॉयलेट में खड़ा करने के मामले को उप-मुख्यमंत्री (शिक्षा) कड़यिम श्रीहरी के समक्ष उठाने का पीड़तिों को आश्वासन दिया है। रामाराव ने ट्विटर पर कहा कि इतनी भद्दी और अमानवीय घटना को लेकर वह स्कूल प्रबंधन के खिलाफ उचित कार्रवाई के लिये यह मामला उपमुख्यमंत्री (शिक्षा) के संज्ञान में लाएंगे। गौरतलब है कि एक निजी स्कूल में निर्धारित यूनीफॉर्म में नहीं आने पर 11 वर्षीय छात्रा को पुरुष टॉयलेट में खड़े होने की सजा दी गयी थी।




छात्रा के परिजनों ने पीड़तिा के बयान का एक वीडियो बना लिया है जिसमें उसने कहा है कि वह स्कूल में परपरागत यूनीफॉर्म में गयी थी। उसकी शारीरिक शिक्षा विषय की शिक्षिका ने उससे निर्धारित यूनीफॉर्म में नहीं आने का कारण पूछा। छात्रा ने शिक्षिका से कहा कि उसकी मां ने यूनीफॉर्म धो दी थी जिसके कारण वह निर्धारित यूनीफॉर्म में नहीं आ सकी। जवाब से नाराज शिक्षिका ने कक्षा पांच की छात्रा को सजा के तौर पर पुरुष टॉयलेट में खड़ा कर दिया।




शिक्षिका ने छात्रा को यह गलती नहीं दोहराने की धमकी दी। लड़की ने शिक्षिका को उसकी डायरी देखने के लिये कहा जिसमें उसके परिजनों ने यूनीफॉर्म धुलने का उल्लेख किया था। शिक्षिका ने डायरी देखने से इन्कार कर दिया। इस दौरान अन्य शिक्षक भी उसकी डायरी देखने या छात्रा की मदद करने नहीं आये। छात्रा ने बताया कि टॉयलेट इस्तेमाल करने आ रहे छात्र उसे देखकर हंस रहे थे। कुछ समय बाद उसकी शिक्षिका ने उसे कक्षा में जाने की अनुमति दी।




यह घटना जब लोगों के संज्ञान में आयी तब विभिन्न बाल अधिकार कार्यकर्ताओं ने विद्यालय प्रशासन के खिलाफ कार्रवाई किये जाने की मांग करते हुए प्रदर्शन किया। उसके बाद से इस मामले ने तूल पकड़ लिया है।

प्रद्युम्न मर्डर केस में आया नया मोड़, बस ड्राइवर ने खोले कई राज

प्रद्युम्न मर्डर केस में आया नया मोड़, बस ड्राइवर ने खोले कई राज

गुरुग्राम: रेयान इंटरनेशनल स्कूल में दूसरी क्लास में पढ़ने वाले प्रद्युम्न की हत्या मामले में नया मोड़ आ गया है। प्रद्युम्न की हत्या के आरोप में कंडक्टर अशोक कुमार जहां पुलिस हिरासत में है वहीं स्कूल बस के ड्राइवर ने इस मामले में अब नया खुलासा करके पुलसि कार्रवाई पर सवाल खड़े कर दिए हैं। बस ड्राइवर सौरभ राघव ने कहा उसने पुलिस के दबाव में आकर चाकू को बस की टूल किट का हिस्सा बताया था। मेल टुडे से बात करते हुए बस ड्राइवर ने कहा कि क्योंकि मैं उसी बस का ड्राइवर हूं और मेरे से भी पूछताछ हुई।

प्रद्युम्न मर्डर केस में आया नया मोड़, बस ड्राइवर ने खोले कई राज


पुलिस वालों और स्कूल प्रबंधन के लोगों ने मुझपर दबाव बनाया कि चाकू के स्कूल टूल किट में शामिल होने की बात को कबूलो। उसने कहा कि पुलिस ने मुझे पकड़ा और उसके बाद लगातार ऐसा कहलवाने की कोशिश की, लेकिन मैंने मना कर दिया। उसने कहा कि स्कूल प्रिंसिपल, तीन शिक्षक, स्कूल प्रंबधन के लोगों के साथ पुलिस वाले भी मौजूद थे। सिविल वर्दी में एक पुलिस वाले ने मुझे धमकी दी अगर मैं ऐसा नहीं बोलूंगा तो मेरे पर थर्ड डिग्री का इस्तेमाल किया जाएगा।




घटना के एक दिन पहले ही मैंने टूल किट चैक की थी, और मुझे पता है कि चाकू उसका हिस्सा नहीं था। अब पुलिस बस ड्राइवर के बयान के बाद पुलिस किस थ्यूरी पर केस की जांच करेगी, यह देखने वाली बात है क्योंकि मृतक के परिजनों का भी आरोप है कि पुलिस केस की सही से जांच नहीं कर रही है और जो आरोपी हैं वो अभी भी गिरफ्त से बाहर हैं।

मोडासा किडनी कांड: 7 युवा दलालों के चंगुल से निकल भागने में कामयाब

मोडासा किडनी कांड: 7 युवा दलालों के चंगुल से निकल भागने में कामयाब

मोडासा किडनी कांड: 7 युवा दलालों के चंगुल से निकल भागने में कामयाब
मोडासा। यहां हुए किडनी कांड के शिकार बने दो मुस्लिम युवाओं को पुलिस ने 8 घंटे तक थाने में बिठाए रखा और पूछताछ की। युवाओं को किडनी के बदले 12 लाख रुपए देने की बात हुई थी, पर उन्हें केवल 2 लाख 40 हजार रुपए ही दिए गए। दलालों के खिलाफ रिपोर्ट लिखने में पुलिस पसोपेश में दिखाई दी। इससे उसकी भूमिका भी शक के दायरे में है। इस मामले में दलालों के चंगुल से 7 युवाओं के भाग निकलने की जानकारी है। पुलिस केस दाखिल ही नहीं करना चाहती थी…

जिनकी किडनी ली गई है, उनसे धोखाधड़ी की गई है। किडनी कांड का शिकार हुए लोगों से एक किडनी के 12 लाख रुपए देने का समझौता हुआ था, पर उन्हें केवल दो लाख 40 हजहार रुपए ही दिए गए। इस मामले में दो मुस्लिम युवाओं को पुलिस ने 8 घंटे तक थाने में बिठाए रखा। उनसे पूछताछ कर पुलिस ने संतोष कर लिया। दूसरी ओर दलालों के चंगुल से 7 लोग भागने में कामयाब रहे।

किडनी कांड को सामान्य माना पुलिस ने

मोडासा के रसिलाबाद सोसायटी में रहने वाला सलाउद्दीन मोयुद्दीन पीराने मोडासा और मुम्बई के दलालों द्वारा किडनी के 12 लाख रुपए देने का वादा कर किडनी निकाल ली। इसके बाद उन्हें 2 लाख 40 हजार रुपए देकर उन्हें रास्ते पर छोड़ दिया। इन लोगों ने जब पुलिस थाने में जाकर दलालों के खिलाफ रिपोर्ट लिखानी चाही, तो पुलिस ने इस मामले को सामान्य माना और शिकायतकर्ताओं को काफी समय तक थाने में बिठाए रखा। थोड़ी पूछताछ की। पुलिस की इस तरह की कार्रवाई से उसकी भूमिका भी शक के दायरे में आ गई है।

दोनों दलाल भाई फरार

एयरलाइंस नगर में रहने वाले और दर्जी का काम करने वाले इकबाल रसूल शेख भी किडनी दलालों के चंगुल में आ गया था। दिल्ली में किडनी निकालकर उसे केवल 3 लाख रुपए दिए गए। इसने पुलिस को बता दिया कि किडनी कांड का मास्टर माइंड मोडासा की जमजम सोसायटी में रहने वाले दो सगे भाई मोसीन और इमरान उर्फ जावेद हैं। इसके बाद भी पुलिस ने इन पर कोई कार्रवाई नहीं की। उनके खिलाफ एफआईआर लिखने में भी हीलाहवाला करती रही। अब उनके घर पर ताला लगा हुआ है, दोनों भाई कहीं फरार हो गए हैं।

सबूत के लिए मेडिकल आफिसर के बयान लिए जाएंगे

मोडासा किडनी कांड की जांच टाउन पीएसआई एनएम चौधरी को सौंपी गई है। उन्होंने टेलिफोन पर बताया कि बहरहाल इस मामले की जांच जारी है। इसके लिए पहले किडनी कांड के शिकार युवाओं का मेडिकल चेकअप होगा, उसके बाद मेडिकल आफिसर के बयान लिए जाएंगे।

7 युवा बच गए

एक जाग्रत नागरिक ने बताया कि शहर के सात युवा इन दलालों के चंगुल से बच गए हैं। मोडासा के सलाउद्दीन को 12 ला रुपए के बदले केवल दो लाख 40 हजार रुपए दिए गए। इस क्षेत्र के 7 युवा दलालों के चंगुल से बच निकले हैं।

दलालों की मां बच्चों की करतूतों से थी परेशान

किडनी कांड के खुलासे के साथ दोनों भाई फरार हो गए हैं। उनकी मां अपने दोनों बेटों की इस तरह की करतूत से तंग आ चुकी थी, इसलिए वह अलग ही अकेले रह रही थी। बच्चों का भांडा फूटने पर अब वह भी अपने घर पर नहीं है। उसके घर पर ताला लगा है। लोगों की कहना है कि इस किडनी कांड की निष्पक्ष जांच की जाए, तो कई और भी लोगों के नाम सामने आ सकते हैं।