सोमवार, 14 मार्च 2016

'अमेरिका से नेपाल तक राजस्थानी भाषा को महत्व, यहां क्यों नहीं?'

'अमेरिका से नेपाल तक राजस्थानी भाषा को महत्व, यहां क्यों नहीं?'

राजस्थानी भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल करने की मांग सोमवार को लोकसभा में फिर उठी। भारतीय जनता पार्टी के चंद्र प्रकाश जोशी ने शून्यकाल में यह मामला उठाया।

जोशी ने कहा कि राजस्थानी को बोलने वाले लोगों की संख्या 8 करोड़ से अधिक है। राजस्थान प्रदेश का गठन भी भाषाई आधार पर ही हुआ था, लेकिन इस राज्य की भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल नहीं किया गया है।

उन्होंने कहा कि राजस्थानी अमेरिका में सूचीबद्ध सौ भाषाओं में से एक है। इसी तरह से नेपाल में भी इस भाषा का विशेष महत्व है और वहां इस भाषा को बोलने वालों की बड़ी संख्या है। वहां के एक मंत्री ने मंत्री पद की शपथ राजस्थानी भाषा में ली थी।

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