मरुधरा के महात्मा ईसरदास बारहट का जन्मोत्सव मनाया
बाड़मेर
बाड़मेर मरुधरा के महान संत और डींगल भाषा के महान कवि महात्मा ईसरदास का 557 वा जन्मोत्सव उनकी जन्मस्थली भादरेस में रविवार को परम पूज्य आई सगत् श्री लक्ष्मी बाई सा, खानपुरा, नागौर के सानिध्य में मनाया गया। महात्मा ईसरदास के हजारो भक्त राजस्थान और गुजरात से समारोह में पंहुचे। समारोह में कार्यक्रम में मुख्य अतिथि राजवेस्ट के प्रबंधक कमलकांत, अध्यक्षता चारण समाज के अध्यक्ष मुरारदान और विषिष्ट अतिथि विधायक मेवाराम जैन, रावत त्रिभुवनसिंह राठौड़, ।ब्श्रड तनसिंह देथा, एमडी बीसीसीबी भंवरदान चारण, आयुक्त वाणिज्य कर विभाग अखेदान देथा, पूर्व विधायक हरिसिंह सोढ़ा, उद्यमी जोगेन्द्रसिंह चैहान, साहित्यकार शांतिलाल खत्री के आतिथ्य में सम्पन्न हुआ।
रविवार की रोज सुबह शक्ति स्वरूपा लक्ष्मी बाईसा ने महात्मा ईसरदास की मूर्ति पर दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम की विधिवत शुरूआत की। शुरूआत में अनवर भाई मीर ने ग्रन्थ पर विस्तृत प्रकाष डालते हुए इसे समय सापेक्ष बताया कि हरिरस का मंथन करना भी वर्तमान समय की मांग है। महादानसिंह भादरेष द्वारा लिखित पुस्तक ईसरदास बारहठ की प्रमाणिक जीवन का विमोचन किया गया। तेजदान देथा ने भी ओजस्वी भाषा में ईसरदास जी के जीवन पर प्रकाष डाला। डाॅ. अखेदान देथा ने महात्मा ईसरदास के व्यक्तित्व को एक दार्षनिक के रूप में प्रस्तुत करते हुए महत्वपूर्ण तथ्य प्रस्तुत किये। एसीजेएम तनसिंह देथा ने समारोह में प्रेरणास्प्रद अंदाज में बालिका षिक्षा एवं युवा वर्ग को संस्कारवान होने हेतु संकल्पित किया। रावत त्रिभुवनसिंह ने उपस्थित जन समुदाय को समय के साथ चलकर जीवन सफल बनाने की सीख दी। रावत ने स्थानीय राजवेस्ट कपंनी को काॅर्पोरेषन क्षैत्र में भादरेष में शैक्षणिक गतिविधियां संचालित करने हेतु आह्वान किया।
राजवेस्ट पाॅवर के प्रबंधक कमलकान्त ने कंपनी की तरफ से हरसंभव विकास एवं मदद का भरोसा दिलाया। पूर्व विधायक हरिसिंह सोढा ने समस्त चारण समाज को नषा मुक्ति का संकल्प लेने हेतु प्रेरित किया। विधायक मेवाराम जैन ने राजवेस्ट कंपनी को खरी सुनाते हुए भादरेष गांव में अपेक्षित विकास कार्य नहीं होने की बात से अवगत करवाया एवं स्थानीय युवाओं को रोजगार देने हेतु कहा। बाड़मेर सेन्ट्रल काॅपरेटिव बैंक के प्रबंध निदेषक भंवरदान चारण ने इस दिवस पर प्रतियोगिता परीक्षाओं में सफल होने हेतु कड़ी मेहनत और लग्न की सीख दी। दिल्ली विष्वविद्यालय मंे सहायक प्रोफेसर ईष्वरदान ने भी अपने विचार रखे। ओजस्वी भाषण मंे युवाओं को प्रोत्साहित किया। कार्यक्रम के अंतिम पड़ाव में कुंपदान झीबा का माल्यार्पण कर सम्मान किया गया। अंत में चारण समाज के अध्यक्ष मुरारदान ने धन्यवाद ज्ञापित किया।
भादरेस में महात्मा ईसरदास की 557 वी जयंती 15 अगस्त को शनिवार को शाम को रात्रि जागरण भक्ति संध्या का आयोजन किया गया जिसमें गुजरात के प्रसिद्ध कलाकार भरतदान गढवी, शक्तिदान ईसराणी, सागरदान ईसराणी, प्रदीपदान ईसराणी, कालुसिंह गंगासरा, चण्डीदान ईसराणी तथा कन्नु भाई ने अपनी प्रस्तुतिया दी। देर रात भजन सध्या में कार्यक्रम चलता रहा और भादरेष पूर्ण ईसरदासमय हो गया।
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