बाड़मेर सरकारी कार्यालयों में अब प्रीपेड मीटर लगाने पर ही मिलेगी बिजली!
बाड़मेर सरकारी कार्यालयों में प्रीपेड मीटर लगाने के लिए राज्य सरकार ने अब पूरा मानस बना लिया है। इन विभागों में बिजली उपभोग की लम्बी बकाया राशि से परेशान डिस्कॉम की माली हालत खराब है।
आम उपभोक्ता कनेक्शन कटने के डर से प्राय: बकाया राशि जमा करवा देते हैं, लेकिन सरकारी कार्यालयों में स्थिति इसके उलट है। अधिकांश सरकारी कार्यालयों में लम्बे समय तक बकाया की स्थिति रहती है। ऐसे में इस पर लगाम कसने के लिए राज्य सरकार ने डिस्कॉम को दुबारा सर्वे कर विभागों को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए हैं। वहीं प्रीपेड मीटर लगाने से इनकार करने वाले कार्यालयों में शून्य राशि के प्रीपेड लगाए जाएंगे। ऐसा किए जाने पर इनको बिजली नहीं मिलेगी।
औसत उपभोग निकाला जाएगा
सरकारी विभागों में प्रीपेड बिजली मीटर लगाने के लिए करीब 10 माह पूर्व डिस्कॉम ने औसत बिजली उपभोग निकाल विभागों को नोटिस भिजवाकर एक वर्ष की अनुमानित उपभोग राशि के अनुरूप एक मुश्त राशि आवंटित करने के निर्देश दिए थे, लेकिन इसकी पालना नहीं हुई। इस पर 7 जून को राज्य के मुख्य सचिव की मौजूदगी में केंद्र सरकार के वित्तीय पुनर्गठन योजना की बैठक हुई।
इसमें हुए निर्णय के अनुसार तीनों डिस्कॉम के मुख्य अभियंता व लेखाधिकारी ने सभी अधीक्षण अभियंताओं को पत्र भेजे हैं। इसके अनुसार सभी विभागों को सिंगल व थ्री फेस बिजली उपभोग की औसत उपभोग के नोटिस भेज सॉफ्ट व हार्ड कॉपी डिस्कॉम मुख्यालय को भिजवानी होगी। इसके साथ ही संबंधित कार्यालय के अधिकारी से प्रीपेड मीटर लगाने और नहीं लगाने के संबंध में सूचना भी मांगी जाएगी।
आनाकानी पर शून्य बैलेन्स का मीटर
नोटिस के बाद अगर कोई विभाग प्रीपेड मीटर लगाने में आनाकानी करता है तो डिस्कॉम के तकनीकी निदेशक ने सभी अधीक्षण अभियंताओं को निर्देश दिए हैं कि वे विभागों के पुराने मीटर हटा लें, इनकी जगह शून्य बैलेन्स के प्रीपेड मीटर लगाएं। इसके बाद बिजली नहीं मिल पाएगी और कार्यालय में प्रीपेड मीटर लगाना ही होगा।
निर्देश मिले हैं
प्रीपेड मीटर लगाने के संबंध में निर्देश मिले हैं। करीब 8 माह पूर्व पहली बार सर्वे किया गया था। सभी विभागों को औसत उपभोग के नोटिस भिजवाए थे। अब शीघ्र ही दुबारा नोटिस भिजवाए जाएंगे।
जी.आर. सिरवी, अधीक्षण अभियंता डिस्कॉम बाड़मेर
बाड़मेर सरकारी कार्यालयों में प्रीपेड मीटर लगाने के लिए राज्य सरकार ने अब पूरा मानस बना लिया है। इन विभागों में बिजली उपभोग की लम्बी बकाया राशि से परेशान डिस्कॉम की माली हालत खराब है।
आम उपभोक्ता कनेक्शन कटने के डर से प्राय: बकाया राशि जमा करवा देते हैं, लेकिन सरकारी कार्यालयों में स्थिति इसके उलट है। अधिकांश सरकारी कार्यालयों में लम्बे समय तक बकाया की स्थिति रहती है। ऐसे में इस पर लगाम कसने के लिए राज्य सरकार ने डिस्कॉम को दुबारा सर्वे कर विभागों को नोटिस जारी करने के निर्देश दिए हैं। वहीं प्रीपेड मीटर लगाने से इनकार करने वाले कार्यालयों में शून्य राशि के प्रीपेड लगाए जाएंगे। ऐसा किए जाने पर इनको बिजली नहीं मिलेगी।
औसत उपभोग निकाला जाएगा
सरकारी विभागों में प्रीपेड बिजली मीटर लगाने के लिए करीब 10 माह पूर्व डिस्कॉम ने औसत बिजली उपभोग निकाल विभागों को नोटिस भिजवाकर एक वर्ष की अनुमानित उपभोग राशि के अनुरूप एक मुश्त राशि आवंटित करने के निर्देश दिए थे, लेकिन इसकी पालना नहीं हुई। इस पर 7 जून को राज्य के मुख्य सचिव की मौजूदगी में केंद्र सरकार के वित्तीय पुनर्गठन योजना की बैठक हुई।
इसमें हुए निर्णय के अनुसार तीनों डिस्कॉम के मुख्य अभियंता व लेखाधिकारी ने सभी अधीक्षण अभियंताओं को पत्र भेजे हैं। इसके अनुसार सभी विभागों को सिंगल व थ्री फेस बिजली उपभोग की औसत उपभोग के नोटिस भेज सॉफ्ट व हार्ड कॉपी डिस्कॉम मुख्यालय को भिजवानी होगी। इसके साथ ही संबंधित कार्यालय के अधिकारी से प्रीपेड मीटर लगाने और नहीं लगाने के संबंध में सूचना भी मांगी जाएगी।
आनाकानी पर शून्य बैलेन्स का मीटर
नोटिस के बाद अगर कोई विभाग प्रीपेड मीटर लगाने में आनाकानी करता है तो डिस्कॉम के तकनीकी निदेशक ने सभी अधीक्षण अभियंताओं को निर्देश दिए हैं कि वे विभागों के पुराने मीटर हटा लें, इनकी जगह शून्य बैलेन्स के प्रीपेड मीटर लगाएं। इसके बाद बिजली नहीं मिल पाएगी और कार्यालय में प्रीपेड मीटर लगाना ही होगा।
निर्देश मिले हैं
प्रीपेड मीटर लगाने के संबंध में निर्देश मिले हैं। करीब 8 माह पूर्व पहली बार सर्वे किया गया था। सभी विभागों को औसत उपभोग के नोटिस भिजवाए थे। अब शीघ्र ही दुबारा नोटिस भिजवाए जाएंगे।
जी.आर. सिरवी, अधीक्षण अभियंता डिस्कॉम बाड़मेर
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