मंगलवार, 29 अप्रैल 2014

बाड़मेर सूर्य देवता का रौद्ररूप पारा छियालीस के पार ,जनजीवन अस्त व्यस्त

बाड़मेर  सूर्य देवता का  रौद्ररूप पारा छियालीस के पार ,जनजीवन अस्त व्यस्त 

बाड़मेर। जिले में तेज गर्मी का कहर दूसरे दिन भी जारी रहा। तापमापी में पारा 46  डिग्री से अधिक पर मंगलवार को भी अटका रहा। तन झुलसाने वाली लू का प्रकोप देर रात तक जारी रहा। गर्मी के कहर को देखते हुए जिला प्रशासन ने विद्यालयों में समय परिवर्तित कर दिया है। चिकित्सा विभाग को भी अलर्ट रहने के निर्देश जारी किए है। प्रशासन ने जिले के सभी विद्यालयों में आठवीं तक की कक्षाओं की कक्षाएं सुबह 10 बजे तक ही लेने के निर्देश दिए है। यह आदेश 16 मई तक प्रभावी रहेंगे। जिला शिक्षा अधिकारी प्रारंभिक पृथ्वीराज दवे ने बताया कि जिला कलक्टर भानुप्रकाश एटुरू ने बढ़ी गर्मी को देखते हुए आठवीं तक के सरकारी व गैर सरकारी विद्यालयों में 16 मई तक सुबह सात से दस बजे तक ही विद्यालय संचालित करने के निर्देश दिए है।

जिले में सोमवार को तापमान 45.1 डिग्री रहा। सूर्योदय के साथ ही गर्मी का असर शुरू हो गया। सुबह नौ बजते-बजते तो लू शुरू हो गई। सड़कों पर आवाजाही कम रही। दुपहरी में सूर्य के तल्ख तेवर से बचने के लिए लोग छांव तलाशते रहे। राजमार्ग व मेगाहाइवे पर वाहनों की आवाजाही कमजोर हो गई।

चिकित्सा विभाग हरकत में
गर्मी बढ़ने के साथ उल्टी,दस्त और बुखार के मरीज बढ़ने लगे है। साथ ही लू तापघात का खतरा भी बढ़ा है। ऎसे में चिकित्सा विभाग ने भी इंतजाम प्रारंभ कर दिए है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. फूसाराम विश्नोई ने बताया कि बाड़मेर व बालोतरा प्रमुख चिकित्सा अधिकारी सहित सभी ब्लॉक चिकित्सा अधिकारियों को निर्देश जारी किए है कि सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर लू तापघात के मरीजों के लिए बैड की व्यवस्था रखें। कूलर, पंखे और बर्फ का प्रबंध होना चाहिए।

अघोषित विद्युत कटौती भी शुरू
शहर समेत जिले भर में गर्मी के साथ ही विद्युत की अघोषित कटौती भी शुरू हो गई है। शहर के राय कालोनी,पनघट रोेड, सदर बाजार आदि इलाकों में सुबह आठ बजे विद्युतापूर्ति ठप हो गई। करीब आधे घंटे बाद विद्युतापूर्ति बहाल हुई।

मनरेगा कार्य समय में परिवर्तन
गर्मी के मौसम को देखते हुए मनरेगा कार्यो का समय सुबह 7 से दोपहर 3 बजे तक (बिना विश्राम काल के) निर्धारित किया गया है। अतिरिक्त जिला कार्यक्रम समन्वयक महात्मा गांधी नरेगा सुरेश कुमार दाधीच ने बताया कि वर्तमान में महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत 9 घण्टे की कार्य अवधि मय विश्राम काल के निर्धारित है, लेकिन ग्रीष्म ऋतु को ध्यान में रखते हुए विश्राम काल का प्रावधान नहीं रखने की स्थिति में 8 घण्टे की कार्यावधि निर्धारित की जा सकती है। कार्यस्थलों पर छाया, पानी एवं मेडिकल किट की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए है।

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