सीकर। शहर के पालवास रोड स्थित एक निजी अस्पताल में विद्युत कनेक्शन के लिए एस्टीमेट बनाने के लिए चार हजार की रिश्वत लेते विद्युत निगम की महिला कनिष्ठ अभियंता रिचा वर्मा व हेल्पर बजरंगलाल को भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। जिले में रिश्वत के आरोप में महिला अधिकारी के गिरफ्तार होने का यह पहला मामला है।
एसीबी के अपर पुलिस अधीक्षक डॉ.मूलसिंह राणा ने बताया कि आरोपितों को मंगलवार को एसीबी न्यायालय में पेश किया जाएगा। एवीवीएनएल के कनिष्ठ अभियंता कार्यालय में पालवास रोड पर महेश कुमार ने अपने मकान पर अस्पताल बना रखा है। महेश कुमार एक महीने से विद्युत निगम में कनेक्शन के लिए चक्कर लगा रहा था। नए बिजली कनेक्शन के लिए कनिष्ठ अभियंता की ओर से एस्टीमेट बना कर देना पड़ता है। एस्टीमेट के लिए जेईएन रिचा वर्मा ने 20 हजार रूपए रिश्वत की मांग की। इस पर महेश ने 20 हजार रूपए देने से मना कर दिया। बाद में कनिष्ठ अभियंता रिचा वर्मा ने नए कनेक्शन के लिए चार हजार रूपए में एस्टीमेट बनाकर देने का आश्वासन दिया।
हेल्पर को दी रिश्वत की राशि
सोमवार सुबह महेश ने एसीबी में रिश्वत की शिकायत की। एसीबी ने मामले का सत्यापन करवाया तो जेईएन ने चार हजार रूपए रिश्वत की मांग की। शाम को महेश रिश्वत की राशि लेकर जेईएन कार्यालय पहुंचा। जेईएन कार्यालय में महेश रिश्वत की राशि देने पहुंचा तो जेईएन रिचा वर्मा ने राशि हेल्पर बजरंग लाल को देने को कहा। बाद में महेश ने राशि बजरंग को दे दी। इस दौरान एसीबी ने दबिश देकर बजरंग को दबोच लिया। टीम ने जेब से रिश्वत की राशि बरामद कर ली। एसीबी ने मौके से हेल्पर बजरंग व जेईएन रिचा को गिरफ्तार कर लिया ।
एक महीने बाद जेईएन होने वाली थी स्थाई
रिश्वत लेते गिरफ्तार हरियाणा गुड़गांव मानेसर की जेईएन रिचा वर्मा ने 29 फरवरी 2012 को कार्यग्रहण किया था। एक माह बाद ही वह प्रशिक्षण काल के बाद स्थाई होने वाली थी। इसके अलावा हेल्पर बजरंगलाल लम्बे समय से इसी कार्यालय में नियुक्त है। बजरंग के बेटे की शादी 22 जनवरी को हुई है।
एसीबी के अपर पुलिस अधीक्षक डॉ.मूलसिंह राणा ने बताया कि आरोपितों को मंगलवार को एसीबी न्यायालय में पेश किया जाएगा। एवीवीएनएल के कनिष्ठ अभियंता कार्यालय में पालवास रोड पर महेश कुमार ने अपने मकान पर अस्पताल बना रखा है। महेश कुमार एक महीने से विद्युत निगम में कनेक्शन के लिए चक्कर लगा रहा था। नए बिजली कनेक्शन के लिए कनिष्ठ अभियंता की ओर से एस्टीमेट बना कर देना पड़ता है। एस्टीमेट के लिए जेईएन रिचा वर्मा ने 20 हजार रूपए रिश्वत की मांग की। इस पर महेश ने 20 हजार रूपए देने से मना कर दिया। बाद में कनिष्ठ अभियंता रिचा वर्मा ने नए कनेक्शन के लिए चार हजार रूपए में एस्टीमेट बनाकर देने का आश्वासन दिया।
हेल्पर को दी रिश्वत की राशि
सोमवार सुबह महेश ने एसीबी में रिश्वत की शिकायत की। एसीबी ने मामले का सत्यापन करवाया तो जेईएन ने चार हजार रूपए रिश्वत की मांग की। शाम को महेश रिश्वत की राशि लेकर जेईएन कार्यालय पहुंचा। जेईएन कार्यालय में महेश रिश्वत की राशि देने पहुंचा तो जेईएन रिचा वर्मा ने राशि हेल्पर बजरंग लाल को देने को कहा। बाद में महेश ने राशि बजरंग को दे दी। इस दौरान एसीबी ने दबिश देकर बजरंग को दबोच लिया। टीम ने जेब से रिश्वत की राशि बरामद कर ली। एसीबी ने मौके से हेल्पर बजरंग व जेईएन रिचा को गिरफ्तार कर लिया ।
एक महीने बाद जेईएन होने वाली थी स्थाई
रिश्वत लेते गिरफ्तार हरियाणा गुड़गांव मानेसर की जेईएन रिचा वर्मा ने 29 फरवरी 2012 को कार्यग्रहण किया था। एक माह बाद ही वह प्रशिक्षण काल के बाद स्थाई होने वाली थी। इसके अलावा हेल्पर बजरंगलाल लम्बे समय से इसी कार्यालय में नियुक्त है। बजरंग के बेटे की शादी 22 जनवरी को हुई है।
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