सोमवार, 4 नवंबर 2013

राहुल ने चुनाव आयोग से एक सप्ताह की मोहलत मांगी

नई दिल्ली।। कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने अपने भाषणों को लेकर जारी नोटिस का जवाब देने के लिए चुनाव आयोग से एक सप्ताह का और समय मांगा है। राहुल ने राजस्थान और मध्य प्रदेश में अपनी चुनावी रैलियों में कहा था कि बीजेपी मुजफ्फरनगर में सांप्रदायिक हिंसा भड़काने का काम कर रही है। इसके साथ ही राहुल ने मुजफ्फरनगर दंगे के पीड़ित युवकों से पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के संपर्क में होने का दावा किया था। बीजेपी ने चुनाव आयोग से शिकायत की थी कि राहुल चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन कर रहे हैं।

चुनाव आयोग ने गुरुवार को राहुल गांधी को इन भाषणों के लिए नोटिस जारी करते हुए 4 नवंबर साढ़े ग्यारह बजे तक जवाब देने को कहा था। आयोग के एक सूत्र ने कहा, 'नोटिस का जवाब देने के लिए राहुल ने एक सप्ताह का समय मांगा है।' हालांकि, बीजेपी ने कहा है कि कांग्रेस उपाध्यक्ष को और समय नहीं मिलना चाहिए।

राहुल ने मुख्य चुनाव आयुक्त वी. एस. संपत को भेजे पत्र में कहा कि वह जवाब देने के लिए कुछ और समय चाहते हैं। उन्होंने त्योहारों के कारण छुट्टियों और पहले से तय यात्रा प्रतिबद्धताओं का हवाला देते हुए कहा कि उन्हें इस मुद्दे पर अपने वकीलों से सलाह करने का बहुत कम समय मिला था। राहुल ने कहा कि उन्हें आयोग का नोटिस 31 अक्टूबर को रात साढ़े नौ बजे मिला था। आयोग के सूत्रों ने बताया कि चुनाव आयोग राहुल गांधी के आग्रह पर विचार कर रहा है।
आयोग ने नोटिस में कहा कि गांधी की 23 अक्टूबर को चुरु और 24 अक्टूबर को इंदौर में दिया गया भाषण पहली नजर में आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है। उनसे सोमवार तक जवाब देने को कहा गया था कि क्यों न उनके खिलाफ कार्रवाई की जाए। अपनी विज्ञप्ति में आयोग ने कहा कि उसने राहुल गांधी के भाषण की सीडी देखी है और उस पर व्यापक विचार-विमर्श के बाद नोटिस जारी किया गया है।

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें