मंगलवार, 5 नवंबर 2013

दिल्ली में 1000 करोड़ का हुआ 'देह' का व्यापार..जानिए गंदे धंधे का काला सच



नई दिल्ली। राजधानी दिल्‍ली देह व्‍यापार की सबसे बड़ी मंडी है। इस व्‍यापार की मंडी का कंट्रोल हमेशा किसी एक व्‍यक्ति के हाथ में रहा है। इसका कंट्रोल पहले सोनू पंजाबन के हाथों में था और बाद में बाबा भीमानंद के हाथ में आ गया। इन दोनों के जेल जाने के बाद से यह धंधा अब कोई सोनू बंगालन नाम की महिला संभाल रही है।



सूत्रों के अनुसार, जब दिल्‍ली पुलिस ने सोनू पंजबान को गिरफ्तार किया था तो उस वक्‍त दिल्‍ली में उसका कारोबार तकरीबन 1000 करोड़ रुपए का था। जिस पर अब सोनू बंगालन का राज है। सूत्रों का कहना है कि सोनू बंगालन का दिल्ली में होने वाला धंधा तो सिर्फ कुछ फीसदी का है। इसमें देश के कई राज्यों से लोगों और पैसों की आमदरफ्त होती है। यही नहीं, बड़ी तादाद में विदेशी लड़कियां धंधा करती हैं जिन्हें हिंदुस्तानी दलाल अपने पेरोल पर रखते हैं।


सूत्रों के मुताबिक दिल्‍ली में सोनू बंगालन की कमाई का पैमाना काफी बड़ा है। वहीं दलालों के जरिए दिल्‍ली में जिस्‍म की मंडी के कारोबार का टर्नओवर करोड़ों में पहुंच गया है। जिसकी पालनहार तकरीबन एक दो हजार नहीं बल्कि तकरीबन 20 हजार लड़कियां हैं। इस धंधे से जुड़े जानकारों का कहना है कि इस बाजार में इन लड़कियों की सर्विस और उसके मुताबिक रेट तय होता हैं।

सर्विस वक्त रेट (रुपए)

एक ट्रिप 2 घंटे 5000-8000

दो ट्रिप 2 घंटे 8000-10000

दो ट्रिप 4 घंटे 10000-15000

ओर्जी 8 घंटे या पूरी रात 25000

एस्कॉर्ट एक दिन 25000

प्ले हॉस्टेस 4 घंटे 15000
राजधानी में सेक्‍स रैकेट कैश और क्रैडिट कार्ड दोनों तरीकों से काम करता है। सोनू बंगालन के पेरोल पर काम करने वाली करीब 500 लड़कियों में ज्यादातर का टाइम और पैसा मुकर्रर होता है। ये लड़कियां ओवरटाइम भी करती थीं और छुट्टी भी मिलती हैं। इन सभी से बंगालन ने अपना प्रॉफिट तय कर रखा था जो हर ट्रिप और नाइट के बदले उसे पहुंचा दिया जाता था।




सोनू पंजाबन के सेक्‍स रैकेट में कई हाइप्रोफाइल लड़कियां शामिल !

जैसे ही राजधानी दिल्ली में शाम के साए में गहराती हैं। लोग आनंद की तलाश में किसी ऐसे ठिकाने की तरफ निकल पड़ते हैं जहां उनकी दबी हुई ख्वाहिशें पूरी हो सकें। जहां कोई उन्हें प्यार कर सके, उनकी टूटी हुई तमन्नाएं सहला सके। कानून ने इसे जिस्मफरोशी का नाम दिया है। एक अनुमान के मुताबिक देशभर में इस जिस्म के कारोबार में करीब 30 लाख लड़कियां लगी हैं जो एक पूरे शहर की आबादी के बराबर हैं।

सूत्रों का कहना है कि सोनू बंगालन के दिल्ली में सेक्स व्यापार में बड़ी तादाद में ऐसी लड़कियां शामिल हैं, जो बड़े घरों से ताल्‍लुक रखती हैं। ये ज्यादातर लड़कियों को पैसा चाहिए होता है और वो पैसे के लिए इस काम को करती हैं। इसमें बड़े बड़े अच्छे नंबर वन के घरों की लड़कियां भी हैं।

जेब खर्च के लिए जिस्मफरोशी का धंधा

लड़कियों को पैसा उनकी खूबसूरती, उनकी पढ़ाई-लिखाई, उनकी बातचीत के अंदाज, उनके पहनावे, उनकी अदाओं और उनके पिछले रिकॉर्ड को देखकर तय होता है। हालांकि दो घंटे के लिए एक अच्छी लड़की मार्केट में 5000 से लेकर 50 हजार रुपए तक पर मिलती है।

खास बात ये कि जिस्म के बाजार में पैसा एडवांस चलता है। वहां उधार की गुंजाइश नहीं। पैसा क्रैडिट कार्ड से भी अदा किया जा सकता है। जो शख्स ये सर्विस लेता है उसकी पहचान पूरी तरह छिपाकर रखी जाती है। सोनू बंगालन जो कई बार सेक्‍स रैकेट के धंधा चलाते हुए गिरफ्तार हो चुकी है। उसने पुलिस को बताया है कि उसके धंधे में यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाली हैं या अकेले पीजी में रहती हैं। इनमें कुछ घरेलू महिलाएं भी इस धंधे में थीं जो जेब खर्च निकालने के लिए जिस्मफरोशी का धंधा कर रही हैं। जाहिर है जल्द मोटा पैसा कमाने की तमन्ना उन्हें इस धंधे में खींच लाती है।

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