सोमवार, 26 नवंबर 2012

मजबूर छात्रा को घर बुलाया, सामने आया चेयरमैन का घिनौना चेहरा!

अजमेर.भगवंत यूनिवर्सिटी की एक छात्रा ने रविवार को भगवंत ग्रुप के चेयरमैन अनिल सिंह पर छेड़छाड़ का आरोप लगाया है। छात्रा ने क्रिश्चियनगंज थाना पुलिस को इस आशय की लिखित शिकायत भी पेश की है।पुलिस ने अनिल सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है।
मजबूर छात्रा को घर बुलाया, सामने आया चेयरमैन का घिनौना चेहरा! 
पुलिस ने अनिल सिंह के घर पर दबिश भी दी, लेकिन घर पर ताला लगा मिला। बताया जाता है कि छात्रा की करीब ढाई लाख रु. फीस बकाया है, इसीलिए चेयरमैन ने उसे घर पर बुलाया था। पुलिस जांच कर रही है कि अवकाश के दिन छात्रा को घर पर क्यों बुलाया गया। पीड़िता ने बताया कि हॉस्टल वार्डन वसुधा दोपहर को उसे अनिल सिंह के घर पर ले गई थी। इसके बाद वह चली गई। अनिल ने दरवाजा बंद कर लिया और छेडख़ानी करने लगे। इसपर पीड़िता दरवाजा खोलकर वहां से चली गई।

पुलिस ने वार्डन वसुधा को थाने लाकर पूछताछ की। वसुधा ने अपने ऊपर लगे सभी आरोपों को निराधार बताया। उन्होंने कहा कि वह छात्रा को लेकर कहीं नहीं गई थी। छात्रा का मानसिक संतुलन सही नहीं है। घटना के बारे में अनिल सिंह से बात करने की कोशिश की गई लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।

वसुधा को देखकर छात्रा अपना आपा खो बैठी और पुलिस की मौजूदगी में उसने हंगामा खड़ा कर दिया। घटना की जानकारी मिलते ही कांग्रेस के कई नेता थाने पहुंच गए और शिकायत पर मुकदमा दर्ज कर जांच की मांग की।

पुलिस ने आरोपी सिंह के खिलाफ भादंसं की धारा 342, 354 के तहत छेड़छाड़ का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। पुलिस के अनुसार आंध्रप्रदेश निवासी भगवंत यूनिवर्सिटी में बीटेक एयरोनॉटिकल इंजीनियरिंग तृतीय वर्ष की छात्रा है। घटना के बारे में ग्रुप के चेयरमैन से उनके दिल्ली और राजस्थान के नंबरों पर भास्कर ने बात करने के लिए कई बार फोन किए, लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।

थाने में हॉस्टल वार्डन को देख छात्रा ने खोया आपा

छात्रा की शिकायत पर पुलिस हॉस्टल वार्डन वसुधा को पूछताछ के लिए थाने ले आई। थाने में वसुधा को देखते ही छात्रा अपना आपा खो बैठी। पुलिस मौजूदगी में उसने हंगामा खड़ा कर दिया। छात्रा ने आरोप लगाया कि हॉस्टल वार्डन अब तक कई लड़कियों की जिंदगी खराब कर चुकी है। पुलिस ने बड़ी मुश्किल से छात्रा को शांत करने का प्रयास कर दोनों को अलग-अलग किया।

पीड़िता की सुनवाई नहीं होने पर कांग्रेस नेताओं ने जताई नाराजगी

छात्रा ने अपनी साथ हुई बदसलूकी की जानकारी कांग्रेस नेता सैयद फखरे मोइन, कुलदीप कपूर, पार्षद विजय यादव व पूर्व पार्षद रमेश सेनानी को दी। चारों नेता पीड़िता की मदद के लिए थाने पहुंचे। थाने में छात्रा द्वारा हंगामा करने के बाद थाना प्रभारी सुनील विश्नोई ने मीडिया सहित कांग्रेस नेताओं को थाने से बाहर करने का प्रयास किया। इस पर कांग्रेस के नेता नाराज हो गए।

फखरे मोइन ने आरोप लगाया कि पुलिस पीड़िता की शिकायत पर कार्रवाई करने के बजाय आरोपियों को बचाने पर लगी हुई है। नेताओं की नाराजगी को देखते हुए एएसपी डॉ. राजीव पचार ने हस्तक्षेप कर मामले को शांत किया।

थाने में नहीं महिला कांस्टेबल

छात्रा की शिकायत पर हॉस्टल वार्डन वसुधा को पूछताछ के लिए थाने पर लाया गया। लेकिन उस समय थाने पर कोई महिला कांस्टेबल मौजूद नहीं थी। जबकि बिना महिला कांस्टेबल के किसी भी महिला को पूछताछ के लिए थाने पर नहीं लाया जा सकता है।

सभी आरोप निराधार

हॉस्टल वार्डन वसुधा ने अपने ऊपर लगे सभी आरोपों को निराधार बताया है। उन्होंने कहा कि वह छात्रा को लेकर कहीं नहीं गई थी। वसुधा ने बताया कि छात्रा का मानसिक संतुलन सही नहीं है। वह अपनी कॉलेज फीस भी जमा नहीं करवा पाई है। करीब ढाई लाख रुपए की फीस बकाया है। उन्होंने आरोप लगाया कि छात्रा ने कई छात्रों को ठगा भी है और वह किसी भी तरह का आरोप लगा सकती है।

छात्रा के माता पिता नहीं हैं

कांग्रेस के नेता फखरे मोइन ने बताया कि 22 नवंबर को उनकी छात्रा से नगीना बाग स्थित बैंक ऑफ आंध्रा में मुलाकात हुई थी। वह तेलुगु में मैनेजर से बात करते-करते फूट फूट कर रो पड़ी। मैंने मैनेजर से पूछा था कि यह बच्ची क्यों रो रही है। उन्होंने बताया कि यह एजुकेशन लोन लेना चाहती है। मैं यहां से लोन दे नहीं सकता। इसके माता पिता भी अब इस दुनिया में नहीं हैं।

यूनिवर्सिटी सेमेस्टर परीक्षा में इसे नहीं बिठा रहा। करीब ढाई लाख रुपया फीस बकाया है। पूर्व विधायक डॉ. राजकुमार जयपाल के साथ हम लोग यूनिवर्सिटी पहुंचे और मानवता के नाते परीक्षा में बिठाने और फीस माफ करने का आग्रह किया। विवि प्रशासन ने भरोसा भी दिया, लेकिन उसी दिन शाम को छात्रा का फोन आया कि विवि प्रशासन अब उसे इस बात के लिए टॉर्चर कर रहा है कि कांग्रेस के लोगों को साथ क्यों लाई। इसके बाद आज यह घटना सामने आई।

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