पर्यटन स्थलों के विकास के होंगे प्रयास : पंवार
पोकरण। भारतीय पर्यटन विकास निगम के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक डॉ. ललित के. पंवार ने शुक्रवार को पोकरण प्रवास के दौरान कस्बे के पोकरण फोर्ट, सालमसागर तालाब सहित विभिन्न धार्मिक पर्यटन स्थलों का अवलोकन कर उनके विकास व सौंदर्यीकरण का भरोसा दिलाया। डॉ.पंवार ने शुक्रवार को पोकरण फोर्ट में लाल पत्थर के कलात्मक झरोखों, मंगल निवास, संग्रहालय, पर्यटकों के लिए बनाए गए स्विमिंग पुल, गार्डन आदि का अवलोकन किया।
डॉ. पंवार ने कहा कि पोकरण क्षेत्र शक्ति, भक्ति, कला व संस्कृति का संगम है। यहां लोकदेवता बाबा रामदेव की कर्मस्थली व भादरियाराय मंदिर जैसा शक्तिपीठ स्थित है। इसके चलते यहां धार्मिक पर्यटकों का आवागमन बना हुआ है। इसी प्रकार परमाणु परीक्षण के बाद पोकरण ने शक्तिस्थल के रूप में अपनी पहचान विश्वभर में कायम की है।
यहां लाल पत्थर से निर्मित फोर्ट, कलात्मक हवेलियां, पहाड़ी पर स्थित छतरियां व ऎतिहासिक सरोवर पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करते है। ऎसे में यहां पर्यटन विकास की पर्याप्त संभावनाएं है। उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार धार्मिक पर्यटन स्थलों के विकास व सौंदर्यीकरण को लेकर प्रयास कर रही है। यहां आने वाले धार्मिक पर्यटकों को सड़क, पानी, छाया, अच्छे भोजन व आवास की बेहतर सुविधाएं मिले, इसके लिए भारतीय पर्यटन विकास निगम की ओर से योजना तैयार कर ऎतिहासिक धार्मिक व पर्यटन स्थलों के विकास, सुविधाओं व सौंदर्यीकरण को लेकर हरसंभव प्रयास किए जाएंगे।
उन्होने फोर्ट व संग्रहालय के प्रबंधक परमविजयसिंह राठौड़ से देशी, विदेशी व धार्मिक पर्यटकों की स्थिति के बारे में विस्तारपूर्वक चर्चा की। उन्होंने सालमसागर तालाब, शक्तिस्थल, कलात्मक छतरियो, बाबा रामदेव के गुरू बालीनाथजी के आश्रम का भी अवलोकन कर यहां के विकास की संभावनाओं के बारे मेें भी विचार-विमर्श किया। इस अवसर पर उपखंड अधिकारी अशोक चौधरी, समाजसेवी महेंद्र व्यास, शक्तिस्थल के व्यवस्थापक अशोककुमार व्यास भी थे।
पोकरण। भारतीय पर्यटन विकास निगम के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक डॉ. ललित के. पंवार ने शुक्रवार को पोकरण प्रवास के दौरान कस्बे के पोकरण फोर्ट, सालमसागर तालाब सहित विभिन्न धार्मिक पर्यटन स्थलों का अवलोकन कर उनके विकास व सौंदर्यीकरण का भरोसा दिलाया। डॉ.पंवार ने शुक्रवार को पोकरण फोर्ट में लाल पत्थर के कलात्मक झरोखों, मंगल निवास, संग्रहालय, पर्यटकों के लिए बनाए गए स्विमिंग पुल, गार्डन आदि का अवलोकन किया।
डॉ. पंवार ने कहा कि पोकरण क्षेत्र शक्ति, भक्ति, कला व संस्कृति का संगम है। यहां लोकदेवता बाबा रामदेव की कर्मस्थली व भादरियाराय मंदिर जैसा शक्तिपीठ स्थित है। इसके चलते यहां धार्मिक पर्यटकों का आवागमन बना हुआ है। इसी प्रकार परमाणु परीक्षण के बाद पोकरण ने शक्तिस्थल के रूप में अपनी पहचान विश्वभर में कायम की है।
यहां लाल पत्थर से निर्मित फोर्ट, कलात्मक हवेलियां, पहाड़ी पर स्थित छतरियां व ऎतिहासिक सरोवर पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करते है। ऎसे में यहां पर्यटन विकास की पर्याप्त संभावनाएं है। उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार धार्मिक पर्यटन स्थलों के विकास व सौंदर्यीकरण को लेकर प्रयास कर रही है। यहां आने वाले धार्मिक पर्यटकों को सड़क, पानी, छाया, अच्छे भोजन व आवास की बेहतर सुविधाएं मिले, इसके लिए भारतीय पर्यटन विकास निगम की ओर से योजना तैयार कर ऎतिहासिक धार्मिक व पर्यटन स्थलों के विकास, सुविधाओं व सौंदर्यीकरण को लेकर हरसंभव प्रयास किए जाएंगे।
उन्होने फोर्ट व संग्रहालय के प्रबंधक परमविजयसिंह राठौड़ से देशी, विदेशी व धार्मिक पर्यटकों की स्थिति के बारे में विस्तारपूर्वक चर्चा की। उन्होंने सालमसागर तालाब, शक्तिस्थल, कलात्मक छतरियो, बाबा रामदेव के गुरू बालीनाथजी के आश्रम का भी अवलोकन कर यहां के विकास की संभावनाओं के बारे मेें भी विचार-विमर्श किया। इस अवसर पर उपखंड अधिकारी अशोक चौधरी, समाजसेवी महेंद्र व्यास, शक्तिस्थल के व्यवस्थापक अशोककुमार व्यास भी थे।
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