रविवार, 29 जनवरी 2012

भंवरी प्रकरण: जेल में खुली "डील" की पोल!

जोधपुर।भंवरी के अपहरण की डील कितने लाख रुपए में हुई और यह रुपया किसने, कब दिया, फिर रुपयों को कहां ठिकाने लगाया। इन सवालों का जवाब लेने के लिए सीबीआई रविवार सुबह पुखराज व दिनेश को जेल ले गई। जेल में बंद मुख्य आरोपी सोहनलाल को उसके बेटे पुखराज व भतीजे दिनेश से रूबरू करवा कर पैसों की पोल खुलाने का प्रयास किया। सोहनलाल ने पहले पैसों के बारे में कोई जानकारी नहीं दी थी, लेकिन पुखराज पैसे लेकर मद्रास भागा था।
भंवरी के अपहरण व हत्या के मामले में रिमांड पर चल रहा पुखराज विश्नोई मुख्य आरोपी सोहनलाल का बेटा है। वहीं पुखराज के साथ समर्पण करने वाला दिनेश उसका चचेरा भाई है। ये दोनों तीन माह से गायब थे। सीबीआई को जानकारी मिली थी ये दोनों भंवरी के अपहरण की डील में आए लाखों रुपए लेकर भागे हैं।
सीबीआई ने तीन दिन से उनका इंटेरोगेशन किया तो उन्होंने डील के राज खोले। फिर इन्हीं राज को सोहनलाल से कबूल कराने के लिए रविवार सुबह 11 बजे दोनों को जेल ले जाया गया तथा सोहनलाल व उसके बेटे पुखराज को आमने- सामने कराया गया। वहीं भतीजे दिनेश का भी दोपहर 1 बजे तक जेल में ही क्रास इंटेरोगेशन किया गया।
उल्लेखनीय है कि सीबीआई ने अपर मुख्य महानगर मजिस्ट्रेट (सीबीआई केसेज) कोर्ट में एक अर्जी लगा कर इन दोनों आरोपियों को जेल में सोहनलाल से रूबरू कराने की इजाजत मांगी। कोर्ट ने शनिवार और रविवार सुबह 11 से दोपहर 2 बजे तक उन्हें जेल में क्रास इंटेरोगेशन करने की अनुमति दे दी। शनिवार को इन दोनों को सहीराम से रूबरू कराया गया था।

एक साथ पैदा हुए 14 बच्चे, बना अनोखा रिकार्ड

बुलंदशहर। एक फर्टिलिटी सेन्टर ने टेस्ट ट्यूब बेबी के जन्म का रिकॉर्ड बनाया है। यहां 26 जनवरी यानि गणतंत्र दिवस के दिन एक साथ 7 जुड़वां टेस्ट ट्यूब बेबी पैदा हुए हैं। यह सभी स्वस्थ है। घटना यूपी के बुलंदशहर की है।

दुनिया में सात जोड़े स्वस्थ टेस्ट ट्यूब बेबी का जन्म अपने आप में एक रिकॉर्ड है। इससे पहले अमेरिका के वॉशिंगटन में सात जुड़वां पैदा तो हुए लेकिन उनकी सांसें लंबी नहीं चल सकी। ऐसा करने वाले डॉक्टर आकाश की यह उपलब्धि अहम है।


बताते चलें कि टेस्ट ट्यूब बेबी यानी बांझपन में संतान-सुख पाने का बेहतर तरीका। दुनिया में टेस्ट ट्यूब बेबी के नतीजे महज बीस फीसदी रहते हैं।




टेस्ट ट्यूब बेबी का बढता चलन




तकनीक के विकास के साथ ही दुनिया भर में माताओं की सूनी गोद को हरा-भरा करने के लिए टेस्ट ट्यूब बेबी को जन्म दिलाने का चलन बढ़ा है। अमेरिका में टेस्ट ट्यूब बेबी का जन्म एक उद्योग का रूप ले चुका है और अब यह तेजी से बढ़ रहा है।



अमेरिका में टेस्ट ट्यूब बेबी के 'उद्योग' का सालाना टर्नओवर तीन बिलियन डॉलर है। दुनिया में पहला टेस्ट ट्यूब बेबी अस्तित्व में लाने वाले महान वैज्ञानिक प्रो. बॉब एडवर्ड को इसके लिए नोबल पुरस्कार दिया जा चुका है।6

खुद की लगाई आग में फंसकर रह गए मरीज,32 मरे

लीमा.लातिन अमेरिकी देश पेरू की राजधानी लीमा के एक स्वास्थ्य पुनर्वास केंद्र में लगी आग में जलकर कल 32 रोगियों की मौत हो गई।

 


स्थानीय रेडियो आरपीपी ने बताया कि यह आग इमारत के भीतर एक प्रेशर कुकर में विस्फोट होने के बाद लगी लेकिन प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि नशे की लत से जूझ रहे लोगों के पुनर्वास के लिए काम करने वाले इस केंद्र में रहने वाले मरीजों ने अपने गद्दों को आग लगा दी जो धीरे-धीरे पूरे भवन में फैल गई।



रेडियो ने बताया कि इस पुनर्वास केंद्र में नशे की लत से उबरने की कोशिश कर रहे 80 मरीज रहते थे।

उन्होंने बताया कि रोगियों के क्लीनिक से भाग जाने के डर से इन्हें बंद करके रखा गया था लेकिन आग लगने के बाद यही चीज उनके लिए घातक साबित हुई। अधिकतर मरीजों की दम घुटने की वजह से मौत हो गई। कुछ मरीज दूसरी मंजिल की खिड़की से कूदकर बच निकलने में कामयाब रहे।


अग्निकांड में बचे एक मरीज ने बताया कि क्लीनिक में बंद कुछ रोगी वहां से निकल भागना चाहते थे और इसी वजह से उन्होंने कपड़ों के ढेर में आग लगा दी। लेकिन यह आग उनके नियंत्नण के बाहर हो गई और पूरे क्लीनिक में फैल गई।

लीमा की महापौर सुसान विल्लेरान ने इस हादसे पर गहरा दुख व्यक्त करते हुए कहा कि पूरे मामले की विस्तृत जांच की जाएगी। शुरूआती जांच के मुताबिक इस क्लीनिक को स्थानीय प्रशासन से पुनर्वास केंद्र चलाने की इजाजत नहीं मिली थी। उन्होंने कहा कि प्रशासन को कुछ गंभीर कदम उठाने होंगे ताकि इस तरह की घटना दोबारा न हो सके।


आग में झुलसे लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। दमकलकर्मी और पुलिस के जवान राहत एवं बचाव कार्य में जुटे हुए हैं।

बेकाबू तिपहिया वाहन पलटा आठ घायल

बेकाबू तिपहिया वाहन पलटा आठ घायल

बालोतरा। मेगा स्टेट हाइवे पर नेवाई सरहद में शनिवार शाम एक तिपहिया वाहन पलटने से आठ जने घायल हो गए। तीन महिलाओं की हालत नाजुक बताई जा रही है। सिमरखिया से रवाना हुआ एक तिपहिया वाहन शनिवार शाम मेगा स्टेट हाइवे से होते हुए पचपदरा की तरफ लौट रहा था। सरहद नेवाई में सड़क पर एक बच्चे को बचाने के प्रयास में चालक ने वाहन से संतुलन खो दिया। बेकाबू हुआ तिपहिया वाहन सड़क से उतरकर खaे में पलट गया।

हादसे में श्रीमती पेपो देवी पत्नी धनाराम निवासी पचपदरा, श्रीमती अणची देवी पत्नी पप्पूराम निवासी दूदवा, श्रीमती सजनी पत्नी चेतनराम निवासी दूदवा गंभीर घायल हुए, जबकि श्रीमती गीता देवी पत्नी मिश्रीमल निवासी उमरलाई, पदमाराम पुत्र मिसरीमल निवासी उमरलाई, ओमप्रकाश पुत्र धनाराम निवासी पचपदरा, कमला पत्नी मनोज निवासी दूदवा, मनोज पुत्र गेनाराम निवासी दूदवा मामूली घायल हुए।

घटना की सूचना मिलने पर पचपदरा थाने के एएसआई रेवंतसिंह राजपुरोहित व लजपतसिंह राजपुरोहित मय जाप्ता तथा बालोतरा से 108 एंबुलेंस के पायलट ओमप्रकाश माली व ईएमटी दिनेश पटेल ने मौके पर पहुंचकर घायलों को उपचार के लिए बालोतरा के राजकीय नाहटा अस्पताल पहुंचाया। सभी घायलों की हालत खतरे से बाहर हैं।

जर्मनी में महकेगा जालोर का जीरा


जर्मनी में महकेगा जालोर का जीरा

 जैविक व्यापार मेला
जैविक खेती को बढ़ावा देने के लिए इस मेले की शुरुआत की गई है। यह हर साल फरवरी में होता है। इस साल यह जर्मनी में होगा, जिसमें ८० देशों के किसान और व्यापारी भाग लेंगे। ये किसान इस मेले में अपनी फसलों की प्रदर्शनी लगाते हैं। भारत का भारतीय निर्यात संवर्धन संगठन इस मेले में अपनी साझा भागीदारी भी निभाता है। इस संगठन के माध्यम से किसान वहां जाकर जैविक खेती से हुई अपनी फसलों का प्रदर्शन करते हैं।
जालोर



जालोर के जीरे की महक इस साल लगने वाले विश्व जैविक व्यापार मेले में भी होगी। इस मेले का आयोजन १५ फरवरी से जर्मनी के न्यूनबर्ग में होगा, जिसमें दुनिया के अनेक देश हिस्सा लेंगे। इस साल इसमें सांचौर के किसानों और व्यापारियों को जाने का मौका मिला है, जो वहां विशेष रूप से जीरे की प्रदर्शनी लगाएंगे। सांचौर से किसान और व्यापारी योगेश जोशी और उनकी टीम इस मेले में भाग लेगी। इस मेले में यहां के जीरे को एक पहचान तो मिलेगी ही, साथ ही यह किसानों के लिए भी काफी फायदेमंद होगा।

जालोर से हुआ चयन

जर्मनी में होने वाले इस मेले में भाग लेने के लिए जालोर जिले से रेपिड आर्गेनिक कंपनी का चयन हुआ है। कंपनी के निदेशक योगेश जोशी अपनी टीम के साथ इस मेले में भाग लेंगे। जोशी सांचौर क्षेत्र में जैविक खेती के माध्यम से जीरे का उत्पादन करते हैं। साथ ही करीब दो हजार किसानों से भी इस प्रकार की खेती करवा रहे हैं। जोशी ने बताया कि यह हमारे लिए काफी अच्छा मौका है, जब जीरे की प्रदर्शनी को इस मेले में जगह मिल पाई है। उन्होंने कहा कि इससे किसानों को काफी फायदा होगा। उन्होंने बताया कि जीरे के साथ ही हम सौंफ, तिल, राजगिरा, गेहूं और बाजरा की भी प्रदर्शनी लगाएंगे। यह सभी जैविक खेती से पैदा किए गए हैं।

सांचौर क्षेत्र में होती है जीरे की जैविक खेती, इस साल जर्मनी में होने वाले अंतरराष्ट्रीय जैविक व्यापार मेले में लगेगी जालोर के जीरे की प्रदर्शनी, सांचौर के किसान होंगे शामिल