शुक्रवार, 31 मार्च 2017

,जालोर राजस्थान दिवस पर सांस्कृतिक संध्या में मनचला ने बेहत्तरीन भजनों की प्रस्तुतियाॅ दी



 ,जालोर राजस्थान दिवस पर सांस्कृतिक संध्या में मनचला ने बेहत्तरीन भजनों की प्रस्तुतियाॅ दी

जालोर 31 मार्च - राजस्थान दिवस पर जिला मुख्यालय पर स्थित वीरम मंच पर गुरूवार को सांस्कृतिक संध्या का आयोजन किया गया जिसमें ख्याति प्राप्त भजन गायक मोईनुद्दीन मनचला एण्ड पार्टी ने राजस्थान की ऐतिहासिकता पर आधारित विभिन्न भजन एवं देश भक्ति गीतों की आकर्षक प्रस्तुतियाॅ दी जबकि लोक कलाकार ने भवाई नृत्य एवं कालबेलिया नृत्यांगनाओं ने नृत्य कर उपस्थित दर्शकों को आनन्दित कर दिया।

जिला प्रशासन, पर्यटन विभाग एवं जालोर नगर परिषद के संयुक्त तत्वावधान में वीरम मंच पर आयोजित संास्कृतिक संध्या में जिला कलेक्टर अनिल गुप्ता एवं पुलिस अधीक्षक कल्याणमल मीना ने सर्वप्रथम माॅ सरस्वती की तस्वीर पर माल्यार्पण कर कार्यक्रम का विधिवत शुभारभ्भ किया तत्पश्चात ख्याति प्राप्त भजन गायक मोईनुद्दीन मनचला ने दांतलावास के मंगला महाराज की उपस्थिति में गुरू वन्दना एक बार आईजो सतगुरू.......भजन की प्रस्तुती दी वही लोक कलाकार बाबूनाथ ने अपने सिर पर क्रमशः पाॅच गिलासे एवं उस पर मटकी रखकर भवाई नृत्य किया। मनचला द्वारा देवी की स्तुति ‘‘चैसठ जोगणी रे........भजन पर बाबूनाथ ने काॅच की गिलासों, थाली, नंगी तलवारों एवं टूटे हुए काॅच के टुकडों पर नृत्य कर दर्शकों को मंत्रा मुग्ध कर दिया।

भजन गायक मोईनुद्दीन मनचला ने राजस्थान की वीरता व शान के प्रतीक महाराणा प्रताप पर आधारित अपना चिर परिचित भजन ‘‘ मायड वो थारो पूत कठे, महाराणा प्रताप कठे.......की आकर्षक प्रस्तुती दी वही देश भक्ति गीत भारत का रहने वाला हॅू भारत की बात सुनाता हॅू,,,,,,,,,,, बाबा रामदेव के भजन ‘‘माॅ म्हाने घोडलियों मंगवा दंे,,,,,,, एक डाल दो पंछी बैठा......... आदि गीत व भजनों की बेहत्तरीन आकर्षक प्रस्तुतियाॅ दी। इस अवसर पर कालबेलिया नृत्यांगनाओं ने काल्यो कूद पडें पडियों मेला में........... गीत पर आकर्षक युगल नृत्य किया। संास्कृतिक संख्या का संचालन साहित्यकार परमानन्द भट् एवं नूर मोहम्मद ने किया । सांस्कृतिक संध्या के अन्त में कलाकारों एवं राजस्थान दिवस समारोह के तहत सम्पन्न खेलकूद प्रतियोगिता एवं मैराथन दौड में प्रथम व द्वितीय स्थान पर रहने वाले प्रतियोगियों को स्मृति चिन्ह प्रदान कर सम्मानित भी किया गया। कार्यक्रम के अन्त में जिला कलेक्टर ने सांस्कृतिक संख्या में भाग लेने वाले सभी लोगों का आभार ज्ञापित किया।

सांस्कृतिक संध्या में जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी हरिराम मीना, अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी कैलाशचन्द्र शर्मा, जालोर उपखण्ड अधिकारी राजेन्द्रसिंह, नगर परिषद के आयुक्त त्रिकमदान चारण, जालोर तहसीलदार ममता लहुआ,जालोर विकास अधिकारी सुरेश कविया, अतिरिक्त जिला शिक्षा अधिकारी मुकेश सोंलकी, जिला रोजगार अधिकारी आनन्द सुथार एवं जालोर नगर परिषद के नेता प्रतिपक्ष मिश्रीमल गहलोत सहित बडी संख्या में अनेक गणमान्य व्यक्ति एवं माता बहिने उपस्थित थी ।

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पशुपालक कल्याण बोर्ड के उपाध्यक्ष जिले के दौरे पर
जालोर 31 मार्च - राज्य के पशुपालक कल्याण बोर्ड के उपाध्यक्ष भूपेन्द्र देवासी 1 से 4 अप्रेल तक जिले के दौरे पर रहेंगे।

जिला कलक्टर अनिल गुप्ता ने बताया कि राज्य के पशुपालक कल्याण बोर्ड के उपाध्यक्ष (दर्जा उप मंत्राी) भूपेन्द्र देवासी 1 अप्रेल को सिरोही से दोपहर 1 बजे प्रस्थान कर दोपहर 2 बजे जालोर पहुंचेंगे जहां वे सिरे मंदिर तलहटी पर ब्रह्मलीन श्री शांतिनाथजी महाराज की मूर्ति स्थापना कार्यक्रम में भाग लेंगे तत्पश्चात् सायं 6 बजे जालोर से प्रस्थान कर सायं 7 बजे देवाडा पहुंचेंगे जहां वे रात्रि विश्राम करेंगे। देवासी 2 अप्रेल को देवाडा से सायं 6 बजे प्रस्थान कर सायं 7 बजे जालोर पहुंचेंगे जहां वे ज्योतिबा फुले माली सेवा संस्थान जालोर द्वारा आयोजित वार्षिकोत्सव कार्यक्रम में भाग लेंगे तत्पश्चात् रात्रि 10 बजे जालोर से प्रस्थान कर रात्रि 11 बजे सिरोही पहुंचेंगे तथा रात्रि विश्राम सिरोही सर्किट हाऊस में करेंगे।

उन्होंने बताया कि इसी प्रकार उपाध्यक्ष भूपेन्द्र देवासी 3 अप्रेल सोमवार को सिरोही से प्रातः 8.30 बजे से प्रस्थान कर प्रातः 10.30 बजे सांथू ग्राम पहुंचेंगे जहां वे सामाजिक कार्यक्रम में भाग लेंगे तथा पशुपालकों से मिलेंगे तत्पश्चात् सायं दोपहर 1.30 बजे सांथू से प्रस्थान कर दोपहर 2.30 बजे देवाडा पहुंचेंगे जहां वे रात्रि विश्राम करेंगे। इसी प्रकार 4 अप्रेल को देवासी सायं 5 बजे देवाडा से प्रस्थान कर सायं 8 बजे आहोर के गुडारामा ग्राम पहुंचेंगे जहां वे मामाजी मंदिर पर आयोजित धार्मिक कार्यक्रम में भाग लेंगे तत्पश्चात् रात्रि 11 बजे जालोर से सिरोही के लिए प्रस्थान करेंगे।

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बाल्य अवस्था शिक्षा अभियान का शुभारभ्भ
जालोर 31 मार्च - जिला कलक्टर अनिल गुप्ता ने हरजी ग्राम में स्थित आंगनवाडी केन्द्र में बाल्य अवस्था शिक्षा अभियान का शुभारभ्भ किया तथा उपस्थित ग्रामीणों को अभियान से जुडने का आहवान् किया।

महिला एवं बाल विकास विभाग की उप निदेशक श्रीमती सती चैधरी ने बताया कि महिला एवं बाल विकास विभाग के निर्देशानुसार 3 से 6 वर्ष की आयु वर्ग के बालक व बालिकाओं के लिए बाल्य अवस्था शिक्षा अभियान का शुभारभ्भ जिला कलेक्टर अनिल गुप्ता ने हरजी ग्राम में स्थित आंगनवाडी केन्द्र पर किया तथा उपस्थित ग्रामीणजनों से आग्रह किया कि वे ग्राम में संचालित आंगनवाडी केन्द्र की गतिविधियों में सहभागी बने तथा केन्द्र को बेहत्तर बनायें।

उन्होनें बताया कि जिला कलेक्टर ने विभाग द्वारा 3 से 4 वर्ष के बालकों के लिए किलकारी, 4 से 5 वर्ष के लिए उमंग एवं 5 से 6 वर्ष की आयु वाले बालक बालिकाओं के लिए तरंग शीर्षक पुस्तकों का भी विमोचन किया। इस अवसर पर आंगनवाडी केन्द्र के कार्यकत्र्ता एवं ग्रामीणजन उपस्थित थें।

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पेयजल आपूर्ति बाधित रहेगी

जालोर 31 मार्च - जालोर शहर में स्थित मुख्य पेयजल भण्डारण स्त्रोत कालकाजी एस.आर. में मरम्मत के लिए 1 से 4 अप्रेल तक एस.आर. से जुड़े क्षेत्रों में पेयजल आपूर्ति बाधित रहेगी।

जन स्वास्थ्य अभियान्त्रिाकी विभाग जालोर के सहायक अभियन्ता जितेन्द्र त्रिवेदी ने बताया कि जालोर शहर में स्थित मुख्य पेयजल भण्डारण स्त्रोत कालकाजी एस.आर. में रिसाव के कारण 1 अप्रेल से 4 अप्रेल तक मरम्मत की जायेगी जिसको देखते हुए मालियों का ठाकुर द्वारा, पीटी चैक, लाल पोल, कुम्हारों का वास आदि क्षेत्रों में 1 से 4 अप्रेल तक आगामी पेयजल सप्लाईयां बाधित रहेगी।

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बाड़मेर आज से लागू होगी इंटीग्रेटेड ई-पंचायत साफ्टवेयर व्यवस्था -पंचायती राज संस्थाओं की कार्यप्रणाली में आएगी पारदर्शिता



बाड़मेर आज से लागू होगी इंटीग्रेटेड ई-पंचायत साफ्टवेयर व्यवस्था

-पंचायती राज संस्थाओं की कार्यप्रणाली में आएगी पारदर्शिता

बाड़मेर, 31 मार्च। पंचायती राज संस्थाओं की कार्यप्रणाली को पारदर्शी बनाने एवं विकास कार्यों की सम्पूर्ण जानकारी आमजन को सहजता से उपलब्ध कराने के लिए 1 अप्रैल से राजस्थान ई-पंचायत व्यवस्था लागू होगी। इसके जरिए संपूर्ण सूचनाएं पब्लिक डोमेन पर उपलब्ध हो सकेगी।

ई-पंचायत व्यवस्था लागू होने पर विभिन्न योजनाओं की राशि का भुगतान करने की संपूर्ण कार्यवाही संबंधित ग्राम पंचायत स्तर से सुनिश्चित हो सकेगी। जो भुगतान ग्राम पंचायतों द्वारा वर्तमान में चैक के माध्यम से किया जा रहा है, वह भुगतान संबंधित व्यक्तियों, संस्थाओं के खाते में ग्राम पंचायतों द्वारा जमा करवाया जाएगा। ई-पंचायत सॉफ्टवेयर से सरपंच एवं सचिवों के अधिकारों का कोई हनन नहीं होगा, परंतु राजकोष के समुचित उपयोग एवं पारदर्शिता में काफी वृद्धि होगी। वर्तमान में महात्मा गांधी नरेगा योजना में इसी तरह का सॉफ्टवेयर की व्यवस्था संपूर्ण देश में लागू है तथा प्रभावी रूप से कार्य कर रहा है। ई-पंचायत साफ्टवेयर के माध्यम से विभाग वर्तमान में कितनी राशि ग्राम पंचायतों, पंचायत समिति एवं जिला परिषद के खातों में अवशेष पड़ी हुई राशि की जानकारी के साथ बेहतर वित्तीय प्रबंधन संभव हो सकेगा एवं सरकार को प्रतिवर्ष करोड़ोें रुपयों की बचत होगी।

अधिकारिक सूत्रांे के मुताबिक प्रति वर्ष ग्रामीण क्षेत्रों के विकास के लिए पंचायती राज संस्थाओं को लगभग 6 हजार करोड़ रुपए की राशि पंचायती राज के माध्यम से उपलब्ध करवाई जाती है। इस राशि का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में अधिकांश सुविधाओं का विकास करना है। कार्यों का चयन ग्राम सभा स्तर से होता है। राज्य सरकार की ओर से उपलब्ध करवाई जा रही राशि की जानकारी जनता का बिना सरकारी दफ्तरों के चक्कर काटे सहजता से मिल सके, इसके लिए एक सॉफ्टवेयर का निर्माण करवाया गया है इस सॉफ्टवेयर में राज्य सरकार के विभिन्न विभागों की जानकारियां सहजता से उपलब्ध हो सकेंगी।

ई-पंचायत सॉफ्टवेयर के माध्यम से विभिन्न कार्य होंगे संपादितः ग्रामीण जनता की ओर से अपेक्षित कार्यों के प्रस्ताव इस सॉफ्टवेयर पर ऑनलाइन दिये जा सकते हैं। ग्राम पंचायत की वार्षिक विकास कार्य योजना बनाते वक्त इन सभी कार्यों को विचारार्थ प्रस्तुत किया जाएगा। ग्राम सभा द्वारा तय की गई वार्षिक कार्य योजना पंचायत के पोर्टल पर उपलब्ध हो सकेगी। वर्तमान में कार्यों की प्रशासनिक, वित्तीय एवं तकनीकी स्वीकृतियां कम समय में जारी हो सकेंगी तथा इसी प्रकार निर्माण कार्यों के लिए मस्टररोल भी पंचायत स्वयं जारी कर सकेगी। कार्यों पर व्यय की जाने वाली राशि का भुगतान इस सॉफ्टवेयर के माध्यम से संबंधित पंचायत के सरपंच एवं ग्राम सेवक द्वारा सीधे ही सामग्री आपूर्तिकर्ता के बैंक खाते में किया जा सकेगा। इसी प्रकार श्रमिकों को भी सीधे ही भुगतान उनके बैंक खातों में हो सकेगा एवं समस्त भुगतान की कार्यवाही सरपंच एवं ग्राम सेवक द्वारा की जा सकेगी। इसमें किसी अन्य संस्था का दखल नहीं होगा। कैश बुक आदि भी इसी सॉफ्टवेयर के माध्यम से संधारित होंगी। इस सॉफ्टवेयर के माध्यम से निर्माण कार्यों की प्रगति नियमित रूप से स्वतः ही सृजित होगी। पंचायत समिति एवं जिला परिषद् को प्रगति भिजवाने की आवश्यकता नहीं रहेगी। ई-पंचायत सॉफ्टवेयर के माध्यम से बेहतर प्लानिंग करना संभव हो सकेगा एवं दूसरे विभागों द्वारा किस पंचायत में क्या कार्य किये जायेंगे इसकी सूचना भी आम जनता का तथा संबंधित पंचायत को भी पूर्व से ही उपलब्ध रहेगी। इस प्रकार पंचायत के नियंत्रण में उपलब्ध सॉफ्टवेयर पर राज्य सरकार की विभिन्न विकास योजनाओं की संपूर्ण जानकारी उपलब्ध हो सकेगी एवं आम जनता को इसका पूर्ण लाभ मिल सकेगा।

क्या-क्या कार्य संपादित होंगेः ई-पंचायत सॉफ्टवेयर के माध्यम से कार्यों के चयन, वार्षिक कार्य योजना तैयार करना (जीपीडीपी), जीओ टेगिंग करना, एमआईएस मैपिंग, कार्यों की स्वीकृतियां जारी करना, राशि प्राप्त करना, राशि भुगतान करना, कार्यों का निरीक्षण, यूसीसीसी जारी करना, समायोजन, आगामी किश्त की मांग करना, विभिन्न प्रकार की बैठकें, प्रशिक्षण, मानव संसाधन प्रबंधन एवं अन्य सॉफ्टवेयर के साथ इंटीग्रेशन आदि कार्य किये जाने हैं। यह सुविधायें ऑनलाइन पोर्टल पर उपलब्ध होंगी जो रियल टाईम बेसिस पर कार्य करेगा। इस सॉफ्टवेयर से अन्य सॉफ्टवेयर को इंटीग्रेट किया जाएगा, इस प्रकार इस सॉफ्टवेयर में सूचना दर्ज होने के उपरांत वह सूचना अन्य सभी विभागों जैसे प्रिया सॉफ्ट, प्लान प्लस, राज्य सरकार के अन्य सॉफ्टवेयर के साथ वैब सर्विस से इंटीग्रेट की जावेगी इससे दोहरे डाटा इंद्राज का कार्य खत्म हो जायेगा। व्यक्तिगत लाभ के कार्यों की जानकारी भी इसी सॉफ्टवेयर पर उपलब्ध हो सकेगी।

ग्रामीण विकास में होने वाले व्यय की होगी प्रभावी मॉनिटरिंग: इन्टीग्रेटेड ई-पंचायत सॉफ्टवेयर से पंचायती राज संस्थाओ के माध्यम से विकास कार्यों के लिए लगभग 5000 करोड़ रुपए प्रतिवर्ष उपलब्ध कराये जाते हैं परन्तु पंचायती राज में मॉनिटरिंग की कोई ठोस व्यवस्था नहीं होने से इन योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वयन नहीं हो पा रहा है। व्यय राशि, सृजित परिसंपत्तियों की जानकारी यथासमय प्राप्त नहीं हो पाती हैं। वर्ष 2014-15 में राज्य वित्त आयोग एवं केन्द्रीय वित्त आयोग मद में उपलब्ध करवायी गयी राशि में व्यय राशि एवं इससे सृजित परिसंपत्तियों की जानकारी लगभग 2 वर्ष बाद भी प्राप्त नहीं हो रही है। राज्य, केन्द्रीय वित्त आयोग की अभिशंषा के अनुसार राशि उपलब्ध करवाना बाध्यता है परंतु इसका उपयोग सुनिश्चित करना विभाग की प्राथमिकता है।

आठ हजार ग्राम पंचायतों को दिया प्रशिक्षण: ई-पंचायत सॉफ्टवेयर के संचालन हेतु दिया गया प्रशिक्षण ई-पंचायत सॉफ्टवेयर के संचालन के लिए सभी 33 जिलों एवं 295 पंचायत समितियों में दक्ष प्रशिक्षक उपलब्ध हैं। अभी तक 295 पंचायत समितियों एवं 8005 ग्राम पंचायतों को प्रशिक्षण भी दिया जा चुका है। जिलों में 1 अप्रेल, 2017 से सभी विभागीय योजनाओं की प्रभावी क्रियान्विति के साथ समस्त भुगतान ऑनलाइन किया जाएगा।

बाड़मेर, जिला कलक्टर से आवासीय कालोनी मंे शराब का ठेका नहीं खोलने की गुहार

बाड़मेर, जिला कलक्टर से आवासीय कालोनी मंे शराब का ठेका नहीं खोलने की गुहार

बाड़मेर, 31 मार्च। बाड़मेर आगोर स्थित मेघवालांे के टांके के पास रहने वाले ग्रामीणांे ने जिला कलक्टर को ज्ञापन सौंपकर आवासीय कालोनी मंे शराब का ठेका नहीं खोलने की मांग की है। उन्हांेने बताया कि आवासीय कालोनी के अलावा कई शिक्षण संस्थाएं भी प्रस्तावित शराब के ठेके के समीप है।
जिला कलक्टर को सौंपे ज्ञापन मंे बताया कि बाड़मेर आगोर के नाम से स्वीकृत शराब का ठेका सार्वजनिक स्थल मेघवालांे का टांका के समीप लगाया जा रहा है। इस स्थान पर महिलाएं पानी भरती है। इसके समीप रीको की आवासीय कालोनी के अलावा मेघवाल शैक्षणिक एवं शोध संस्थान, डेजर्ट डिसेबल विद्यालय है। ज्ञापन मंे बताया कि घनी आबादी वाले इस क्षेत्र मंे अगर शराब का ठेका लगाया जाता है तो आमजन के अलावा शिक्षण संस्थाएं प्रभावित होगी। ज्ञापन मंे जिला कलक्टर से सर्व समाज की भावना के मददेनजर प्रस्तावित स्थल पर शराब का ठेका नहीं लगाने की गुहार की गई है। ज्ञापन देने वाले ग्रामीणांे ने शराब का ठेका लगाए जाने की स्थिति मंे विरोध प्रदर्शन एवं धरने की चेतावनी दी है। ज्ञापन देने वालांे मंे पूर्व सरपंच नाथूसिंह, एडवोकेट गणेश कुमार, बाबूलाल, प्रेमकुमार, हरखाराम मेघवाल, सुधीरसिंह, मांगीलाल मंसूरिया, रणवीरसिंह, हजारीराम, किशनाराम, देराजराम, श्रवणकुमार, भंवराराम,देवानंद, सगताराम, रेवंताराम, खीमाराम,चांपाराम समेत कई ग्रामीण शामिल रहे।

बाड़मेर मंे युगपुरूष का मंचन रविवार को -युग पुरूष मंे दिखेगा मोहनदास से महात्मा गांधी बनने का सफर



बाड़मेर मंे युगपुरूष का मंचन रविवार को


-युग पुरूष मंे दिखेगा मोहनदास से महात्मा गांधी बनने का सफर





बाड़मेर, 31 मार्च। बाड़मेर जिला मुख्यालय पर भगवान महावीर टाउन हाल मंे रविवार शाम 7.30 से 9.30 बजे तक श्रीमद राजचन्द्र मिशन धरमपुर की ओर से युगपुरूष महात्मा के महात्मा नाटक का मंचन होगा।




श्रीमद राजचन्द्र मिशन धरमपुर के सी.डी.मेहता ने बताया कि इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप मंे बाड़मेर विधायक मेवाराम जैन एवं विशिष्ट अतिथि के रूप मंे नगर परिषद के सभापति लूणकरण बोथरा उपस्थित रहेंगे। यह नाटक महात्मा गांधी और उनके आध्यात्मिक मार्गदर्शक श्रीमद राजचंद्रजी के जीवन पर आधारित है। इसमें दिखाया जाएगा कि कैसे श्रीमद राजचंद्र के मार्गदर्शन में महात्मा गांधी एक आम मोहनदास करमचंद गांधी से महात्मा बने। इसलिए इस नाटक का नाम ‘युगपुरुष महात्मा के महात्मा’ दिया गया। नाटक में बताया जाएगा कि किस तरह महात्मा गांधी ने भारत तथा विश्व को सत्य और अहिंसा के सनातन सिद्धांत प्रदान किए। वहीं गुरुवर राजचंद्र ने बेरिस्टर मोहनदास गांधी में इन सिद्धांतों को प्रस्थापित करते हुए उनका आध्यात्मिक मार्गदर्शन कर उन्हें महात्मा गांधी बनाया। महात्मा गांधी की ओर से श्रीमद् राजचंद्रजी से ग्रहण किए गए सत्य एवं अहिंसा के मूल्यों का भारत के स्वतंत्रता संग्राम में प्रयोग के बारे मंे भी इस नाटक के जरिए दर्शाया जाएगा। उनके मुताबिक वर्तमान युग में भौतिक सुखों के पीछे दौड़ रहे मनुष्य को यह नाटक विचार करने के लिए प्रेरित करता है कि जीवन का ध्येय क्या होना चाहिए। मानवता ही सबसे उत्तम मूल्य है एवं मानवीय मूल्यों को अपनाकर जीवन आंतरिक रूप से अधिक समृद्ध बने, जिससे एक प्रेमयुक्त शांतिपूर्ण तथा मैत्री भाव से परिपूर्ण निर्भय समाज का निर्माण हो ऐसा संदेश दर्शकों तक पहुंचाने का प्रयास किया जाएगा।




उन्होंनेे बताया कि श्रीमद् की 140वीं जयंती वर्ष के अवसर पर मिशन के संस्थापक गुरुदेव राकेश भाई की प्रेरणा से नाटक का निर्माण किया गया था। श्रीमद राजचंद्र जी का जन्म 1867 में हुआ था। वहीं महात्मा गांधी का जन्म दो अक्टूबर 1869 में हुआ था। इस प्रकार राजचंद्र जी महात्मा गांधी से मात्र दो साल बड़े थे। वह अत्यंत प्रतिभावान संत, कवि और दार्शनिक थे। मात्र 33 वर्ष की युवा अवस्था में सन 1901 में श्रीमद राजचंद्र जी का निधन हो गया था। उनसे गांधी जी का पहला परिचय मुम्बई में सन 1891 में उस समय हुआ, जब वे बैरिस्टर बनकर इंग्लैंड से लौटे। गांधी जी ने अपनी आत्मकथा सत्य के प्रयोग में भी उनका उल्लेख किया है। इस नाटक का लेखन उत्तम गढ़हा ने और दिग्दर्शन राजेश जोशी ने किया है। संगीत निर्देशन सचिन जिगर ने दिया। यह नाटक हिन्दी, अंग्रेजी, गुजराती और कुछ अन्य भारतीय भाषाओं में भी तैयार किया गया है। उन्हांेने बताया कि नाटक देखने के लिए प्रवेश पत्र एवं परिचय पत्र होना जरूरी होगा।

बाड़मेर, तेज गर्मी के मददेनजर विद्यालयांे का समय 7.30 से 12.30 बजे रहेगा



बाड़मेर, तेज गर्मी के मददेनजर विद्यालयांे का समय 7.30 से 12.30 बजे रहेगा
बाड़मेर, 31 मार्च। जिले मंे तेज गर्मी के मददेनजर समस्त सरकारी एवं गैर सरकारी उच्च माध्यमिक, माध्यमिक, उच्च प्राथमिक एवं प्राथमिक विद्यालयांे मंे अध्ययनरत कक्षा 1 से 8 तक के समस्त विद्यार्थियांे का विद्यालय समय 8 अप्रैल तक प्रातः 7.30 बजे से 12.30 बजे निर्धारित किया गया है।

जिला कलक्टर सुधीर शर्मा ने बताया कि समस्त शिक्षण संस्थानांे मंे इस आदेश की पालना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए है। आदेश की पालना नहीं करने पर संबंधित शिक्षण संस्थाआंे के विरूद्व नियमानुसार कार्यवाही अमल मंे लाई जाएगी।


प्रेरकांे का 30 सितंबर तक की अवधि का नवीन अनुबंध होगा
बाड़मेर, 31 मार्च। साक्षर भारत कार्यक्रम की अवधि 30 सितंबर तक बढ़ाए जाने के कारण 31 मार्च तक कार्यरत रहे प्रेरकांे से नवीन अनुबंध भरवाने के निर्देश दिए गए है।

जिला साक्षरता एवं सतत शिक्षा अधिकारी पुखराज गौड़ ने बताया कि 31 मार्च तक कार्यरत रहे अंशकालीन आधार पर अनुबंधित प्रेरकांे से 30 सितंबर तक का नवीन अनुबंध पत्र 10 दिवस मंे भरवाने के निर्देश दिए गए है।