चालानी गार्ड को गच्चा देकर भागा बंदी
मेड़तासिटी (नागौर)/भीलवाड़ा। पांच राज्यों का वांछित अपराधी राजेन्द्र सिंह शुक्रवार तड़के चालानी गार्ड को गच्चा देकर न्यायिक अभिरक्षा से भाग छूटा। राजेन्द्र पिछले कुछ समय से केन्द्रीय कारागृह अजमेर में कैद था। विचाराधीन बंदी कोटड़ी थाने के बड़ला निवासी राजेन्द्र सिंह को चालानी गार्ड आनंद प्रकाश, महावीर सिंह, सुनील, सुखाराम व सुशील जैकब पंजाब स्थित फिरोजपुरा एडीजे कोर्ट में तारीख पेशी पर ले गए।
पेशी के बाद जम्मूतवी-अहमदाबाद एक्सप्रेस से 11 जनवरी सुबह 4 बजे मेड़तारोड पहुंचे। वहां से मेड़तासिटी रेलवे स्टेशन के बाहर बस का इंतजार करते समय करीब सवा 5 बजे बंदी राजेन्द्र सिंह चालानी गार्ड महावीर सिंह को धक्का देकर हथकड़ी निकालते हुए भाग गया। वह गांधी चौक के पास पहले से तैयार खड़े एक मोटरसाइकिल सवार के साथ फरार हो गया। चालानी गार्ड के दीवान आंनद प्रकाश ने मेड़ता सिटी थाने में मामला दर्ज कराया है। सूचना पर पुलिस उप अधीक्षक पूनाराम डूडी व सीआई मय जाप्ता मौके पर पहुंचे। फरार बंदी को पकड़ने के लिए पुलिस की टीमों को रवाना कर शहर सहित पड़ोसी जिले पाली व अजमेर में नाकाबंदी करवाई। फिलहाल उसका कोई सुराग नहीं मिला है।
राजेन्द्र इससे पहले चार बार पुलिस को गच्चा दे चुका है। भीलवाड़ा जिले के कोटड़ी क्षेत्र में बड़ला गांव निवासी राजेन्द्र के आने की संभावना के चलते जिले में भी नाकाबंदी कर दी गई।
पुलिस अधीक्षक नितिन ब्लग्गन ने बताया कि राजेन्द्र के खिलाफ भीलवाड़ा जिले में आधा दर्जन से अधिक संगीन प्रकरण दर्ज हैं। उसके खिलाफ सोनीपत (हरियाणा), महोबा (उत्तरप्रदेश), जावद व मंदसौर (मध्यप्रदेश) व फिरोजपुर (पंजाब) में तस्करी, लूट, कातिलाना हमले और फरारी के मामले दर्ज हैं। राजेन्द्र 22 मई 2012 को भीलवाड़ा में एडीजे कोर्ट संख्या दो से फरार हो गया था।
यहां से भागा चार बार
4 वष्ाü 2010 में महात्मा गांधी चिकित्सालय भीलवाड़ा के बंदी वार्ड से अपने साथी महेश पाटीदार के साथ।
4 वष्ाü 2011 में पुर बाई पास पर पुलिस को नजर आने के बाद पिकअप में भागा।
422 मई 2012 को एडीजे कोर्ट-2, भीलवाड़ा से।
4 आरोपी एक बार पंजाब पुलिस की हिरासत से भी भाग चुका है।
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