सोमवार, 16 जुलाई 2012

देखिये तस्वीरे जसवंत सिंह के क्षेत्र में ख़ुशी के पटाखे फूटे









  देखिये तस्वीरे जसवंत सिंह के क्षेत्र में ख़ुशी के पटाखे फूटे 


बाड़मेर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) ने उपराष्ट्रपति पद के लिए यूपीए उम्मीदवार हामिद अंसारी को नकारते हुए अपना उम्मीदवार घोषित कर दिया है। बीजेपी नेता लालकृष्ण आडवाणी ने सोमवार को उपराष्ट्रपति पद के लिए उम्मीदवार घोषित करते हुए कहा कि बीजेपी नेता जसवंत सिंह एनडीए के उम्मीदवार होंगे।
उसके बाद राजस्थान के जसवंत सिंह जसोल के गृह जिले बाड़मेर में जसवंत सिंह के पुत्र मानवेन्द्र सिंह को सैकड़ो लोगो ने मिठाई खिलाकर बधाई दी और पटाखे छोड़ कर मानवेन्द्र सिंह को बधाई दी और भगवान से प्रार्थना की जसवंत सिंह अगले उप राष्ट्रपति के रूप में देश के दूसरे सर्वोच पद पर आसीन हो कर देश की सेवा करें ! ज्ञातव्य हैं कि राजस्थान के पश्चिमी इलाके की राजनीती के भी जसवंत बड़े स्तम्भ हैं , उप राष्ट्रपति पद पर उनको उम्मीदवार घोषित किए जाने के बाद राजस्थान में ख़ुशी की लहर दौड़ गई हैं , समर्थको में इस बात को लेकर ख़ासा उत्साह भी हैं की जसवंत अब उप राष्ट्रपति की दौड़ में एन डी ए के उम्मीदवार घोषित किए जा चुके हैं !
बाड़मेर जैसलमेर लोकसभा क्षेत्र में जसवंत के पुत्र मानवेन्द्र लोकसभा प्रतिनिधि के रूप में एक बार सांसद बन कर पूर्व में अपनी सेवाए दे चुके हैं ! इस मौके पर मानवेन्द्र सिंह ने कहा कि नेताओं को धन्यवाद देते हुए कहा कि मेरे पिताजी ने पिछले पचास सालो से राजनीती में अपनी सेवाए दी हैं और उनपर इतना बड़ा बड़ा भरोसा करने से वो काफी खुश हैं !इस मौके पर मानवेन्द्र सिंह ने कहा कि मैंने अपने सांसद मित्रो से बात की हैं और उम्मीद हैं कि वो पिताजी को पूरा समर्थन देंगे ! मेरे अलावा के नेता भी लगातार दूसरी पार्टियों के सम्पर्क में हैं पिताजी भी सभी पार्टी नेताओं से बात कर रहे हैं ! उम्मीद हैं कि सभी पार्टियों का साथ मिलेगा ! उन्होंने कहा कि मेरे परिवार में भी बहुत ख़ुशी हैं , वही कार्यकर्ताओं में भी इस बड़े फैसले को लेकर ख़ासा उत्साह हैं कार्यकर्ताओं और भाजपा नेताओं के अनुसार वे बहुत खुश हैं और अपनी ख़ुशी का इजहार उन्होंने मिठाई बांटकर तथा पटाखे फौड कर अपनी ख़ुशी दर्शाई हैं
रेगिस्तानी इलाके बाड़मेर के बड़े और कद्दावर नेता जसवंत सिंह को उपराष्ट्रपति पद पर उम्मीदवार घोषित करने के बाद इस इलाके के लोग अब दुआ कर रहे हैं कि वे अब आसानी से जीता हासिल कर इस इलाके का फिर से गौरव ब़ाये , साथ ही जैसलमेर में ख़ुशी कि लहर हैं क्यूंकि जैसलमेर के खुहडी गाँव में उनका ननिहाल हैं !
कौन हैं जसवंत सिंह
जसवंत सिंह का जन्म 3 जनवरी 1938 को हुआ था फिलहाल वे दार्जिलिंग संसदीय क्षेत्र से सांसद हैं. वे राजस्थान के बाड़मेर के जसोल गांव के निवासी है और 1960 के दशक में वे भारतीय सेना में अधिकारी थे. पंद्रह साल की उम्र में वे भारतीय सेना में शामिल हुए थे. वे जोधपुर के पूर्व महाराजा गज सिंह के करीबी माने जाते हैं. जसवंत सिंह मेयो कॉलेज और राष्ट्रीय रक्षा अकादमी, खडकवास्ला के छात्र रह चुके हैं. वे मई 16, 1996 से जून 1, 1996 के दौरान अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में वित्तमंत्री रह चुके हैं. दो साल बाद दिसंबर 5, 1998 से जुलाई 1, 2002 के दौरान वे वाजपेयी की सरकार में विदेशमंत्री बने. विदेशमंत्री के रूप में उन्होंने भारतपाकिस्तान के कड़वे रिश्ते को सुधारने की कोशिश की. फिर साल 2002 में यशवंत सिन्हा की जगह वे एकबार फिर वित्तमंत्री बने और मई 2004 में वाजपेयी सरकार की हार तक वे वित्तमंत्री बने रहे. वित्तमंत्री के रूप में उन्होंने बाजारहितकारी सुधारों को ब़ावा दिया. भारतीय जनता पार्टी में रहते हुए वे स्वयं को उदारवादी नेता मानते थे. 2001 में उन्हें सर्वश्रेष्ट सांसद का सम्मान मिला. अगस्त 19, 2009 को भारत विभाजन पर उनकी किताब जिन्नाइंडिया, पार्टिशन, इंडेपेंडेंस में नेहरूपटेल की आलोचना और जिन्ना की प्रशंसा के लिए उन्हें भाजपा से निकाल दिया गया.

1 टिप्पणी:

  1. उपराष्ट्रपति के लिए चुनाव लड़ रहे जसवंत सिंह जी के व्यक्तित्व पर ८ अप्रेल २००४ को राजस्थानी भाषा के मूर्धन्य साहित्यकार और इतिहासकार श्री सौभाग्य सिंह जी ने कुछ दोहे लिखकर उन्हें दिए तो पढ़कर उनका कहना था -"क्या मैं इसके लायक हूँ ?

    जसधारी जसवंत सिंह

    रावल जोरौ राठवड, त्रय तिण सुत त्रसिंग |

    अमर अजण सरदारसी , आंटीला अरडिंग |

    भलपत भगवत रा भगत , सेवा समाज सराह |

    जात हितारत में जिका , अरपण साधन वाह |

    अमर सुभावा अमरसी , अरजण अरजण आख |

    सरदारसी सारी समझ , सैनप सबली साख |

    सिंघ सरदार सी जेठौ सुतन , जसधारी जसवंत |

    अटल तणी सरकार ओ , वित् मंत्री बुधमंत |

    सतपथ त्यागण नह कियो , कूड़ी हाँ न करीह |

    पारख सदा ज प्रभु करै , भलै काज देरीह |

    कुल गौरव म्रजाद कुल , परीजां प्रेम पगेह |

    नाहर नर नाहर निडर , थाहर जसोल जगेह |

    जनम लियो जिण जात में , जसभागी जसवंत |

    जोराहर सरदार सुत , वाह वाह बुधवंत |

    समय रहत न एक सथ , फिरती घिरती छांह |

    कदै अगुणी बायरी , कदै वह पिछवाह |

    अजूण महेचो जसोवली , कियो अनुठो त्याग |

    जागीरी बंट लेण में , छोड़ दियो निज भाग |

    महि मुरधर महेवचो , वित मंत्री धनवंत |

    करज चुकायो कर कृपा जसधारी जसवंत |

    हाँ कह दी तो हाँ समझ , ना कह दी तो नांह |

    जसवंत मुखरा बोलड़ा , रहै ठौड़ हिक ठांह |

    बांस विडाँ में फल लगै, खारौ मीठौ होय |

    जसवंत कहिया मुख वचन , कदै न व्रिथा जाय |

    सोभाग्य सिंह शेखावत

    ८ अप्रेल २००४

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