गुरुवार, 19 जनवरी 2012

नौकरी छोड़ लगे साहब के बंगलोंं पर


नौकरी छोड़ लगे साहब के बंगलोंं पर



तहसील कार्यालय के एक दर्जन कार्मिक लगे हुए है प्रतिनियुक्ति या मौखिक आदेश पर अन्य विभागों और सरकारी बंगलों में, कलेक्टर, एडीएम व तहसीलदार के बंगले पर दे रहे हाजिरी।

जालोर सरकारी विभागों में लगे सहायक कर्मचारियों को प्रतिनियुक्ति के बहाने दूसरी जगहों पर लगाकर अन्य दूसरे काम करवाए जा रहे हैं। इनमें से अधिकांश तो सरकारी बंगलोंं पर अधिकारियों के यहां हाजिरी दे रहे हैं। खास बात तो यह है कि इनमें से कुछ तो मौखिक आदेश पर लगे हुए हैं। इस मामले में राजस्थान सहायक कर्मचारी संघ ने कलेक्टर को एक ज्ञापन सौंपकर ऐसी प्रतिनियुक्ति रद्द करने और कार्मिकों को वापस मूल विभाग में भेजने के आदेश दिए हैं।

गौर करने वाली बात यह है कि जो कार्मिक प्रतिनियुक्ति या मौखिक आदेश पर लगाए गए हैं, वे अधिकारियों के बंगले पर ड्यूटी बजा रहे हैं। जिससे मूल कार्यालय में कार्य भी प्रभावित हो रहा है।



बंगलो पर हाजिरी : सबसे खास बात यह है कि इस प्रकार की नियुक्ति स्वयं कलेक्टर और एसडीएम के बंगलो पर की गई है। जिनमें कुछ प्रतिनियुक्ति पर तो कुछ मौखिक आदेश पर लगे हुए हैं। कुल मिलाकर 3 कार्मिक कलेक्टर के, दो तहसीलदार के और एक कार्मिक को मूल पदस्थापन के स्थान पर एडीएम के बंगले पर लगाया हुआ है। जानकारी के अनुसार कार्मिक दीपाराम को मूल कार्यालय तहसील के स्थान पर कलेक्टर के बंगले, रूपा राम को तहसील के स्थान पर कलेक्टर के बंगले, बागा राम को तहसील कार्यालय के स्थान पर कलेक्टर के वाहन संचालन में, श्यामसिंह को मूल कार्यालय के स्थान पर कलेक्ट्रेट में चौकीदारी, लक्ष्मण सिंह को कलेक्टर के बंगले में, रामसिंह को एसडीएम के कार्यालय में, शंकरलाल को तहसीलदार के बंगले पर, रमेशपुरी को तहसीलदार के बंगले, नैनेखां को एसडीओ कार्यालय में, गलबाराम को वाहन चलाने में, दीपाराम लखारा को एसडीओ कार्यालय में, जबकि रामाराम को कोष कार्यालय के स्थान पर एडीएम के बंगले पर व जोगाराम को मूल कार्यालय तहसील के स्थान पर कलेक्ट्रेट कार्यालय में लगाया गया है।

सौंपा ज्ञापन

इस मामले को लेकर राजस्थान सहायक कर्मचारी संघ ने कलेक्टर के नाम ज्ञापन सौंपा है। ज्ञापन में बताया गया है कि जालोर तहसील कार्यालय के 11 सहायक कर्मचारी अधिकारियों के बंगलों पर घरेलू कार्य व वाहन पर लगाए गए हैं, जबकि तहसील कार्यालय में मात्र 4 कर्मचारी तैनात हैं। इनमें से 3 कर्मचारी ही पूरे जालोर तहसील क्षेत्र में तामील करवाते हैं। समय कम मिलने से इन कार्मिकों के घरेलू कार्य भी प्रभावित हो रहा हैं। ज्ञापन में बताया गया है कि इन कार्मिकों को समय पर अवकाश भी नहीं दिया जा रहा है, जिससे कार्मिकों को खासी परेशानी हो रही है। संघ ने इन सभी कार्मिकों की प्रतिनियुक्ति समाप्त कर मूल कार्यालय भेजने की मांग की है।

प्रशासनिक व्यवस्था के लिए जरुरी

॥प्रशासनिक व्यवस्था के लिए यह भी जरुरी है कि जहां स्टाफ कम है या जहां कार्य प्रभावित हो रहा है वहां स्टाफ को लगाया जाए। ऐसी स्थिति में प्रतिनियुक्ति जरुरी हो जाती है। स्टाफ की कमी से यह दिक्कत रहती है। इसी परेशानी की वजह से स्टाफ की प्रतिनियुक्ति करनी पड़ती है। फिर भी जहां तक होता है प्रतिनियुक्ति नहीं की जाती है। ॥ -केवल कुमार गुप्ता, कलेक्टर, जालोर

मूल कार्यालय में हो नियुक्ति

॥तहसील कार्यालय का आधा स्टाफ प्रतिनियुक्ति या मौखिक आदेश पर अधिकारियों के बंगलों या अन्य विभागों में लगे हुए है, जिससे कार्य प्रभावित हो रहा है। इन सभी कार्मिकों को मूल कार्यालय में भेजा जाना चाहिए। ॥ -मांगीलाल सांखला, जिलाध्यक्ष, राजस्थान सहायक कर्मचारी संघ, जालोर




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