बालोतरा। जोधपुर की फैक्ट्रियों से आ रहे रासायनिक व सीवरेज के पानी पर आखिरकार रविवार को प्रशासनिक अमला जागा। संभागीय आयुक्त, आईजी जोधपुर, जोधपुर व बाड़मेर कलेक्टर सहित करीब आधा दर्जन अफसर डोली गांव पहुंचे। डोली में आयोजित चौपाल में ग्रामीणों ने अपनी समस्याएं रखी। चौपाल के दौरान ग्रामीणों ने कहा कि उन्हें अफसरों की सफाई नहीं समाधान चाहिए। चौपाल में ग्रामीणों का आक्रोश भी झलका। अफसरों ने आश्वासन देकर उन्हें शांत कराया।
रविवार को संभागीय आयुक्त आरके जैन, आईजी जोधपुर ग्रामीण उमेश मिश्रा के साथ जोधपुर कलेक्टर सिद्धार्थ महाजन, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी बीआर पंवार, बाड़मेर कलेक्टर गौरव गोयल, एसपी संतोष चालके सहित करीब आधा दर्जन विभागों के अधिकारी डोली गांव पहुंचे। अधिकारियों ने खेतों में फैले व रास्तों पर बहते प्रदूषित पानी को देखा और डोली में चौपाल पर ग्रामीणों से इस समस्या के समाधान को लेकर चर्चा की।
चर्चा में यह बात खुलकर सामने आई कि प्रदूषित पानी को जोधपुर जिले से ही चैनल बनाकर लूनी नदी में प्रवाहित किया जाए तो कम दूरी व कम खर्चे में समस्या का स्थायी समाधान हो सकता है। आखिर में इस बात पर सहमति बनी कि क्षतिग्रस्त एनीकट की तत्काल मरम्मत करवाकर पानी रुकवाया जाए और जोधपुर सीमा से ही प्रदूषित पानी की निकासी लूनी नदी में करने के लिए चैनल बनाया जाए।
तीन दिन में पानी रुके, नहीं तो हम रोकेंगे
समाजसेवी श्रीराम गोदारा सहित डोली के पूर्व सरपंच मुल्तान¨सह, अराबा के गोविंदसिंह, कल्याणपुर सरपंच दौलतराम कुआं, भंवरसिंह अराबा आदि ग्रामीणों ने कहा कि हमंे प्रशासन की सफाई- से नहीं इस इस नरक से निजात चाहिए। ग्रामीणों ने कहा कि तीन दिन में पानी की आवक नहीं रुकी तो सभी गांववाले अपने स्तर पर पानी की आवक रोकंेगे।
..तो कल से काम शुरू करा दीजिए
बाड़मेर कलेक्टर ने बताया कि सिंचाई विभाग को 1.80लाख रुपए स्वीकृति दी गई है, इससे एनीकट की रिपेयरिंग करवाई जाएगी, इसके बाद पानी रुक जाएगा। ग्रामीणों की मांग थी कि कल से ही एनीकट रिपेयरिंग का काम शुरू करवा दिया जाए।
पहले बिफरे, जाम भी लगाया
संभागीय आयुक्त व अन्य अधिकारियों के आने से पहले एक बारगी ग्रामीण बिफर गए। अधिकारियों की अगुवाई में तैयारी में जुटे पचपदरा तहसीलदार ने जब कमरे में ग्रामीणों की ज्यादा भीड़ देखी तो उन्होंने हिदायत दी कि कुछ लोग अंदर रहें, बाकी बाहर निकल जाएं। इस पर ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा। इस पर वे नेशनल हाइवे पर आकर खड़े हो गए। ग्रामीणों का कहना था कि हम तो जल रहे हैं, ऐसे में उच्चाधिकारियों को हम पीड़ा नहीं बताएंगे तो कौन बताएगा। आखिरकार समझाइश के बाद मामला शांत हुआ।
निकासी का उपाय करेंगे
जोधपुर की ओर से आ रहे पानी की निकासी के लिए पुख्ता इंतजाम किए जाएंगे। फिलहाल एनीकट मरम्मत करवाकर पानी रोका जाएगा, बाद में तकनीकी मुआयना करवाकर चैनल बनाने की योजना बनाएंगे। किसानों को जो नुकसान हुआ है, उसके मुआवजे के लिए भी लिखेंगे।
आरके जैन, संभागीय आयुक्त, जोधपुर
इधर से सौ व उधर से चौदह किलोमीटर, जाएगा लूनी में ही. चौपाल पर जब अधिकारी पानी निकासी को लेकर माथापच्ची कर रहे थे, तो एक ग्रामीण ने सीधा रास्ता सुझाया। उसने बताया कि अब प्रदूषित पानी को नेशनल हाइ-वे के पास चैनल बनाकर निकासी का प्रयास हो रहा है, इससे लूनी नदी तक पहुंचने के लए करीब सौ किलोमीटर तक चैनल बनाना पड़ेगा, इस पर खर्चा भी इतना ही गुना आएगा। सैकड़ों खेत बर्बाद होंगे, गांवों में पानी जाएगा। इसकी बजाया सीधा जोधपुर जिले से ही मात्र 14 किलोमीटर का चैनल बनाया जाए तो पानी वहां से भी सीधा लूनी नदी में ही जाएगा। पानी यदि लूनी में ही डालना है तो इतनी समस्या क्यों मोल ली जा रही है।
विधायक ने बताया, उन्होंने भी किए प्रयास : बालोतरा . पचपदरा विधानसभा क्षेत्र के विधायक मदन प्रजापत ने डोली में रासायनिक पानी की समस्या के संबंध में कई ऐसे प्रयास किए जिससे कि इस समस्या का समाधान हो सके। निजी सहायक सुखराम ने बताया कि विधायक ने प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को पत्र भेजकर जोजरी नदी में आए बरसाती पानी के साथ मिले रासायनिक पानी से फसलों के खराबे के संबंध में मुआवजा देने की बात कही। इसके अलावा जोधपुर की फैक्ट्रियों से निकलकर आ रहे रासायनिक पानी की रोकथाम के लिए अध्यक्ष राजस्थान प्रदूषण बोर्ड, पर्यावरण मंत्री, प्रमुख शासन सचिव, जिला कलेक्टर जोधपुर व बाड़मेर को पत्र के माध्यम से अवगत करवाकर इसकी रोकथाम के लिए कार्रवाई करने की मांग की।
रविवार को संभागीय आयुक्त आरके जैन, आईजी जोधपुर ग्रामीण उमेश मिश्रा के साथ जोधपुर कलेक्टर सिद्धार्थ महाजन, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी बीआर पंवार, बाड़मेर कलेक्टर गौरव गोयल, एसपी संतोष चालके सहित करीब आधा दर्जन विभागों के अधिकारी डोली गांव पहुंचे। अधिकारियों ने खेतों में फैले व रास्तों पर बहते प्रदूषित पानी को देखा और डोली में चौपाल पर ग्रामीणों से इस समस्या के समाधान को लेकर चर्चा की।
चर्चा में यह बात खुलकर सामने आई कि प्रदूषित पानी को जोधपुर जिले से ही चैनल बनाकर लूनी नदी में प्रवाहित किया जाए तो कम दूरी व कम खर्चे में समस्या का स्थायी समाधान हो सकता है। आखिर में इस बात पर सहमति बनी कि क्षतिग्रस्त एनीकट की तत्काल मरम्मत करवाकर पानी रुकवाया जाए और जोधपुर सीमा से ही प्रदूषित पानी की निकासी लूनी नदी में करने के लिए चैनल बनाया जाए।
तीन दिन में पानी रुके, नहीं तो हम रोकेंगे
समाजसेवी श्रीराम गोदारा सहित डोली के पूर्व सरपंच मुल्तान¨सह, अराबा के गोविंदसिंह, कल्याणपुर सरपंच दौलतराम कुआं, भंवरसिंह अराबा आदि ग्रामीणों ने कहा कि हमंे प्रशासन की सफाई- से नहीं इस इस नरक से निजात चाहिए। ग्रामीणों ने कहा कि तीन दिन में पानी की आवक नहीं रुकी तो सभी गांववाले अपने स्तर पर पानी की आवक रोकंेगे।
..तो कल से काम शुरू करा दीजिए
बाड़मेर कलेक्टर ने बताया कि सिंचाई विभाग को 1.80लाख रुपए स्वीकृति दी गई है, इससे एनीकट की रिपेयरिंग करवाई जाएगी, इसके बाद पानी रुक जाएगा। ग्रामीणों की मांग थी कि कल से ही एनीकट रिपेयरिंग का काम शुरू करवा दिया जाए।
पहले बिफरे, जाम भी लगाया
संभागीय आयुक्त व अन्य अधिकारियों के आने से पहले एक बारगी ग्रामीण बिफर गए। अधिकारियों की अगुवाई में तैयारी में जुटे पचपदरा तहसीलदार ने जब कमरे में ग्रामीणों की ज्यादा भीड़ देखी तो उन्होंने हिदायत दी कि कुछ लोग अंदर रहें, बाकी बाहर निकल जाएं। इस पर ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा। इस पर वे नेशनल हाइवे पर आकर खड़े हो गए। ग्रामीणों का कहना था कि हम तो जल रहे हैं, ऐसे में उच्चाधिकारियों को हम पीड़ा नहीं बताएंगे तो कौन बताएगा। आखिरकार समझाइश के बाद मामला शांत हुआ।
निकासी का उपाय करेंगे
जोधपुर की ओर से आ रहे पानी की निकासी के लिए पुख्ता इंतजाम किए जाएंगे। फिलहाल एनीकट मरम्मत करवाकर पानी रोका जाएगा, बाद में तकनीकी मुआयना करवाकर चैनल बनाने की योजना बनाएंगे। किसानों को जो नुकसान हुआ है, उसके मुआवजे के लिए भी लिखेंगे।
आरके जैन, संभागीय आयुक्त, जोधपुर
इधर से सौ व उधर से चौदह किलोमीटर, जाएगा लूनी में ही. चौपाल पर जब अधिकारी पानी निकासी को लेकर माथापच्ची कर रहे थे, तो एक ग्रामीण ने सीधा रास्ता सुझाया। उसने बताया कि अब प्रदूषित पानी को नेशनल हाइ-वे के पास चैनल बनाकर निकासी का प्रयास हो रहा है, इससे लूनी नदी तक पहुंचने के लए करीब सौ किलोमीटर तक चैनल बनाना पड़ेगा, इस पर खर्चा भी इतना ही गुना आएगा। सैकड़ों खेत बर्बाद होंगे, गांवों में पानी जाएगा। इसकी बजाया सीधा जोधपुर जिले से ही मात्र 14 किलोमीटर का चैनल बनाया जाए तो पानी वहां से भी सीधा लूनी नदी में ही जाएगा। पानी यदि लूनी में ही डालना है तो इतनी समस्या क्यों मोल ली जा रही है।
विधायक ने बताया, उन्होंने भी किए प्रयास : बालोतरा . पचपदरा विधानसभा क्षेत्र के विधायक मदन प्रजापत ने डोली में रासायनिक पानी की समस्या के संबंध में कई ऐसे प्रयास किए जिससे कि इस समस्या का समाधान हो सके। निजी सहायक सुखराम ने बताया कि विधायक ने प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को पत्र भेजकर जोजरी नदी में आए बरसाती पानी के साथ मिले रासायनिक पानी से फसलों के खराबे के संबंध में मुआवजा देने की बात कही। इसके अलावा जोधपुर की फैक्ट्रियों से निकलकर आ रहे रासायनिक पानी की रोकथाम के लिए अध्यक्ष राजस्थान प्रदूषण बोर्ड, पर्यावरण मंत्री, प्रमुख शासन सचिव, जिला कलेक्टर जोधपुर व बाड़मेर को पत्र के माध्यम से अवगत करवाकर इसकी रोकथाम के लिए कार्रवाई करने की मांग की।
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