सोमवार, 7 जनवरी 2013

जैन संत मुनियों पर हमले की निंदा

जैन संत मुनियों पर हमले की निंदा
आरोपियों को गिरफ्तार करने की मांग 

बाड़मेर कांग्रेस की महिला नेत्री और वार्ड पार्षद श्रीमती उर्मिला जैन ने केन्द्रीय गृह मंत्री को ज्ञापन भेज गत दिनों गुजरात में जैन संत मुनियों पर हुए हमले के आरोपियों की गिरफ़्तारी और संत मुनियों की सुरक्षा व्यवस्था पुख्ता करने की मांग की .उन्होंने लिखा हें की गत दिनों गुजरात के गिरनार में जैन संत मुनियों पर असामाजिल तत्वों द्वारा जानलेवा हमला किया गया .हमले के आरोपी आज तक गिरफ्तार नहीं हुए .गिरनार में संत जैन मुनि प्रबल्सागर महाराजा पर असामाजिल तत्वों ने चाकू से वार कर जान लेवा हमला किया था .इस हमले की हम भत्सर्ना करते हे .हमारी आपसे मांग हें की जैन संत मुनियों को पुख्ता सुरक्षा व्यवस्था उपलब्ध कराई जाए ,ताकि उनके धार्मिक कार्यो में विघ्न ना पड़े .धार्मिक संतो पर हमले से विभिन समाजो में रोष व्याप्त हें ,गुजरात में घटित इस कृत्य के आरोपियों के खिलाफ कार्यवाही ना होना निंदनीय हें ,


उन्होंने लिखा कि कि हमले के आरोपियों को तुरंत गिरफ्तार किया जाए तथा जैन संत मुनियों को सुरक्षा उपलब्ध कराई जाए ,अहिंसा का प्रसार प्रचार करने वाले मुनिओ पर हमले निंदनीय कृत्य हें .बाड़मेर वासी इसकी भर्तसना करते हें .

बाड़मेर गेंग रेप मामले की चार्जशीट बाड़मेर पुलिस को वापस लोटाई अदालत ने

बाड़मेर गेंग रेप मामले की चार्जशीट बाड़मेर पुलिस को वापस लोटाई अदालत ने 
बाड़मेर बाड़मेर पुलिस द्वारा गेंग रेप प्रकरण में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट न्यायलय में पेश की चार्जशीट वापस यह कहते लौटा दी की इस तरह के प्रकरणों की सुनवाई विशेष अदालते सुनती हें .राजस्थान के बाड़मेर में नाबालिग गैग रैप मामले में बाड़मेर पुलिस जोचार्जसीट सात दिन मेंमुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट कोर्ट में दाखिल की थी इस मामले कोमुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेटकोर्टने वापस लोटा दिया क्यों की पुलिस ने इस मामले में जो स्पेशल धारा5(जी)/6 दी प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रन फ्रोम सेक्सुअल ओफेन्सेज एक्ट 2012लगाई थी उसके सुनने के लिए वह सक्षम नहीं है अब पुलिस मगलवार को इसचार्जसीट को डीजे कोर्ट बालोतरा में दाखिल करेगे
बाड़मेर पुलिस ने पिछलेसप्ताह ही गैग रेप मामले में तीन आरोपियों को खिलाफ मगलवार दाखिल की थी
बाड़मेर पुलिस अधिशक राहुल बाहरठ ने बताया कि एक्ट को पिछले सालनवम्बर महिल की 8 तारीख को लागु किया गया था लेकिन इस धारा के मामले कीसुनवाई के लिए स्पेशल कोर्ट होते है लेकिन इस तरह के कोर्ट राजस्थान मेंएक या दो है पुलिस के अनुसार सर्कार ने इस तरह मामले की सुनवाई के लिए कुछ स्पेशल आदेश दे रखे है जिसमे अगर स्पेशल कोर्ट नहीं है तो मामले केसुनवाई उच्च कोर्ट में की जाएगी

बाड़मेर पुलिस अधिशक राहुल बाहरठ के अनुसार अब आदेश की प्रतिलिपि के साथही डीजे कोर्ट बालोतरा में चार्जसीट को पेश करेगे इस तरह मामलों कीसुनवाई के लिए सरकार की और स्पेशल कोर्ट के गठन की प्रक्रिया अभीराजस्थान में चल रही है अगर इस मामले को डीजे कोर्ट बालोतरा नहीं सुनाता है तो आगे हाई -कोर्ट भी जा सकते है

दरसल राजस्थान में इस एक्ट लागु होने के बाद पहली बार इस धारा उपयोगबाड़मेर पुलिस की और से किया गया था इस धारा में बाल यों अपराध के तहतआजीवन कारवास का प्रवाधान है लेकिन अब इस धारा के उपयोग के कारण उलझन में पड़ गया है--बाड़मेर पुलिस महकमा