आनदंपाल एनकाउंटर की होगी CBI जांच, इन 7 बातों पर बनी सहमति
जयपुर।राजस्थान के गैंगस्टर रहे आनंदपाल एनकाउंटर मामले में मंगलवार को एक बार फिर से नया मोड़ आ गया। राजपूत समाज से वार्ता के बाद सरकार ने इस एनकाउंटर की जांच सीबीआई से करवाए जाने पर विचार करने पर सहमति जताई। इसके साथ ही अन्य कुछ मांगों पर भी सरकार और समाज के बीच सहमति बनी। इसके साथ ही राजपूत समाज ने आंदोलन स्थगित करने की घोषणा भी की।
- सचिवालय में सरकार और राजपूत समाज के प्रतिनिधियों के बीच कई घंटों तक वार्ता का दौर चला। सरकार की ओर से गृहमंत्री गुलाब चंद कटारिया मौजूद रहे।
- वार्ता के बाद कटारिया और राजपूत सभा के अध्यक्ष गिर्राज सिंह लोटवाड़ा ने प्रेस कांफ्रेंस करते हुए सहमति बनी मांगों के बारे में जानकारी दी।
- गृहमंत्री कटारिया ने कहा कि राजपूत समाज के सभी मांगों पर सहमति बन गई है। उन्होंने बताया कि दो एफआईआर के साथ की सीबीआई जांच के लिए अनुशंसा की जायेगी। किसी पर भी द्वेषता पूर्ण कार्रवाई नहीं होगी।
इन 7 बातों पर बनी सहमति
1 अानंदपाल प्रकरण में दिनांक 24 जून, 2017 को हुई आनंदपाल की मृत्यू (एफआईआर संख्यां 190/17 पुलिस थाना रतनगढ़) एवं, दिनांक 12 जुलाई, 2017 को सांवराद में हुए घटनाक्रम में सुरेंन्द्रसिंह की मृत्यु (एफआईआर संख्यां 238/17 पुलिस थाना आशोकनगर) से संबंधित प्रकरणों की जांच सीबीआई से करवाई जाने हेतु राज्य सरकार की ओर से अनुशंषा प्रेषित करने पर सहमति बनी।
2 राज्य सरकार द्वारा अन्य प्रकरणों में दर्ज मुकदमों में कोई द्वैषतापूर्ण कार्यवाही नहीं की जायेगी।
3 आनंदपाल की पुत्री को भारत आने में राज्य सरकार की ओर से कोई कठिनाई नहीं प्रस्तुत की जायेगी।
4 श्रवणसिंह एवं उसके परिवार पर कोई नजरबंदी नहीं है तथा वह एवं उसका परिवार अपना सामान्य जीवनयापन कर रहा है। कल कुछ पत्रकार उनसे मिले भी है। श्रवणसिंह या उसके परिवार का कोई भी जिम्मेदार व्यक्ति उनके मकान को संभाल सकता है।
5 कमांडो सोहनसिंह का परिवार जयपुर से मेदांता हॉस्पिटल साथ में ही गया है। वहां यदि परिजनों को चिकित्सा कारणों से मिलने में कठिनाई आना व्यक्त किया गया तो चिकित्सा अावश्यकताअों को ध्यान में रखते हुए चिकित्सकों से संपर्क कर उसके परिजनों को मिलाने में अपेक्षित सहयोग मिलेगा।
6 आनंदपाल के परिजनों द्वारा आवेदन करने के 24 घंटे के भीतर प्रथम पोस्टमार्टम रिपोर्ट उपलब्ध करा दी जायेगी।
7 राज्य सरकार के द्वारा जन आंदोलन के दौरान हिंसा में घायल, मृतकों के परिजनों को देय मुआवजे के संंबंध में राज्य सरकार द्वारा पूर्व प्रसारित दिशानिर्देश अनुसार सहायता देय होगी।
जयपुर।राजस्थान के गैंगस्टर रहे आनंदपाल एनकाउंटर मामले में मंगलवार को एक बार फिर से नया मोड़ आ गया। राजपूत समाज से वार्ता के बाद सरकार ने इस एनकाउंटर की जांच सीबीआई से करवाए जाने पर विचार करने पर सहमति जताई। इसके साथ ही अन्य कुछ मांगों पर भी सरकार और समाज के बीच सहमति बनी। इसके साथ ही राजपूत समाज ने आंदोलन स्थगित करने की घोषणा भी की।
- सचिवालय में सरकार और राजपूत समाज के प्रतिनिधियों के बीच कई घंटों तक वार्ता का दौर चला। सरकार की ओर से गृहमंत्री गुलाब चंद कटारिया मौजूद रहे।
- वार्ता के बाद कटारिया और राजपूत सभा के अध्यक्ष गिर्राज सिंह लोटवाड़ा ने प्रेस कांफ्रेंस करते हुए सहमति बनी मांगों के बारे में जानकारी दी।
- गृहमंत्री कटारिया ने कहा कि राजपूत समाज के सभी मांगों पर सहमति बन गई है। उन्होंने बताया कि दो एफआईआर के साथ की सीबीआई जांच के लिए अनुशंसा की जायेगी। किसी पर भी द्वेषता पूर्ण कार्रवाई नहीं होगी।
इन 7 बातों पर बनी सहमति
1 अानंदपाल प्रकरण में दिनांक 24 जून, 2017 को हुई आनंदपाल की मृत्यू (एफआईआर संख्यां 190/17 पुलिस थाना रतनगढ़) एवं, दिनांक 12 जुलाई, 2017 को सांवराद में हुए घटनाक्रम में सुरेंन्द्रसिंह की मृत्यु (एफआईआर संख्यां 238/17 पुलिस थाना आशोकनगर) से संबंधित प्रकरणों की जांच सीबीआई से करवाई जाने हेतु राज्य सरकार की ओर से अनुशंषा प्रेषित करने पर सहमति बनी।
2 राज्य सरकार द्वारा अन्य प्रकरणों में दर्ज मुकदमों में कोई द्वैषतापूर्ण कार्यवाही नहीं की जायेगी।
3 आनंदपाल की पुत्री को भारत आने में राज्य सरकार की ओर से कोई कठिनाई नहीं प्रस्तुत की जायेगी।
4 श्रवणसिंह एवं उसके परिवार पर कोई नजरबंदी नहीं है तथा वह एवं उसका परिवार अपना सामान्य जीवनयापन कर रहा है। कल कुछ पत्रकार उनसे मिले भी है। श्रवणसिंह या उसके परिवार का कोई भी जिम्मेदार व्यक्ति उनके मकान को संभाल सकता है।
5 कमांडो सोहनसिंह का परिवार जयपुर से मेदांता हॉस्पिटल साथ में ही गया है। वहां यदि परिजनों को चिकित्सा कारणों से मिलने में कठिनाई आना व्यक्त किया गया तो चिकित्सा अावश्यकताअों को ध्यान में रखते हुए चिकित्सकों से संपर्क कर उसके परिजनों को मिलाने में अपेक्षित सहयोग मिलेगा।
6 आनंदपाल के परिजनों द्वारा आवेदन करने के 24 घंटे के भीतर प्रथम पोस्टमार्टम रिपोर्ट उपलब्ध करा दी जायेगी।
7 राज्य सरकार के द्वारा जन आंदोलन के दौरान हिंसा में घायल, मृतकों के परिजनों को देय मुआवजे के संंबंध में राज्य सरकार द्वारा पूर्व प्रसारित दिशानिर्देश अनुसार सहायता देय होगी।
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