पोरबंदर ब्लास्ट: बोट जलने के बाद 6 जनवरी तक ऑन था आतंकियों का सैटेलाइट फोन
नए साल के जश्न से ठीक पहले गुजरात के पोरबंदर तट पर जलकर डूबने वाली पाकिस्तानी बोट को लेकर जांच एजेंसियों ने नया खुलासा किया है. बताया जाता है कि बोट डूबने के बाद 6 जनवरी तक नाव पर सवार संदिग्ध आतंकियों के सैटेलाइट फोन ऑन रहे थे.
अंग्रेजी अखबार 'द टाइम्स ऑफ इंडिया' की खबर के मुताबिक, इन दोनों नंबरों को संदिग्धों ने बोट पर इस्तेमाल किया था. बोट डूबने के बाद मिली टेक्निकल रिपोर्ट में इस बात का दावा किया गया है. दोनों नंबरों को कई महीने से नेशनल टेक्निकल रिसर्च संगठन (एनटीआरओ) की निगरानी पर रखा गया था. इन नंबरों के आधार पर ही कोस्ट गार्ड को समंदर में बोट की हरकत के बारे में पता चला था.
इन फोन पर थाइलैंड और यूएई के नंबरों से फोन किया जाता था. एनटीआरओ ने इस बात की आशंका जताई थी कि ये नंबर किसी स्मगलिंग रैकेट के हैं और ये लोग किसी बड़े सौदे को अंजाम दे सकते हैं.
गौरतलब है कि कोस्ट गार्ड ने इस मामले में दोनों नंबरों के आधार पर जानकारी दी थी कि पोरबंदर में तट पर मौजूद बोट पर 4 लोग देखे गए, जिन्होंने कोस्ट गार्ड की चेतावनियों को नजरअंदाज कर दिया. लेकिन इससे पहले ही कोस्टगार्ड उन तक पहुंच पाती नाव सवारों ने बोट को धमाके से उड़ा दिया. खुफिया एजेंसियों ने बताया कि नाव कराची से चली थी. रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर और गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने भी अपने बयान में कहा कि बोट पाकिस्तानी सेवा के संपर्क में थी.
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