गुरुवार, 19 दिसंबर 2013

जुम्मे के दिन मंदिर में मोदी, प्रशासन अलर्ट

वाराणसी। भारतीय जनता पार्टी के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी शुक्रवार को वाराणसी में विजय शंखनाद रैली को संबोधित करेंगे। मोदी के साथ पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह, पूर्व अध्यक्ष मुरली मनोहर जोशी और पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह समेत कई वरिष्ठ नेता रैली में शामिल होंगे।
रैली को संबोधित करने से पहले मोदी शहर के दो प्राचीन मंदिरों, काशी विश्वनाथ और संकटमोचन के दर्शन करने जाएंगे। मोदी के इस कार्यक्रम ने पुलिस प्रशासन के होश उड़ा दिए हैं। इससे पहले खबर आ रही थी कि जिला प्रशासन ने उनसे आग्रह किया है कि वह रैली के लिए जब आएं तो दो सबसे प्रतिष्ठित मंदिरों के दर्शन करने के लिए न जाएं।

बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता विजय बहादुर पाठक ने बताया कि नरेंद्र मोदी वाराणसी में रैली को संबोधित करने के बाद काशी विश्वनाथ मंदिर और संकटमोचन मंदिर के दर्शन करने पहुंचेंगे। उनके साथ कई अन्य नेता भी रहेंगे।

लगभग 10.45 बजे मोदी विशेष विमान द्वारा बावतपुर एयरपोर्ट आने के बाद हेलीकॉप्टर द्वारा बीएचयू स्थित ग्राउंड में पहुंचेंगे। उसके बाद वो कार पर सवार होकर पहले संकटमोचन मंदिर और बाद में बाबा विश्वनाथ का आशीर्वाद लेंगे।

प्रशासन का कहना है कि उसने इस दर्शन के लिए अपनी तैयारीयां पूरी कर ली है। प्रशासन की इन तैयारियों से बीजेपी कार्यकर्ताओं ने संतुष्टि जाहिर की है। जिला प्रशासन सुरक्षा की दृष्टि से मोदी को ऎसा करने से रोक रहा था। लेकिन भाजपा प्रशासन के आग्रह को मानने के लिए तैयार नहीं है। प्रशासन को लगता है कि रैली में आई लाखों की भीड़ को संभालने के लिए पुलिस बल कम पड़ सकता है।

इससे पहले प्रशासन ने कहा था कि रैली में आई लाखों की भीड़ को संभालने के फेर में पुलिस बल कम पड़ सकता है। खबर है कि जुम्मे का दिन होने की वजह से जिला प्रशासन ने उनसे आग्रह किया था कि वह जुमे का दिन होने की वजह से मंदिरों में दर्शन करने के लिए न जाएं। प्रशासन ने कहा था कि जुम्मे के दिन अगर नरेंद्र मोदी मंदिर गए तो उनकी सुरक्षा के इंतजाम ठीक ढंग से नहीं हो पाएंगे।

रैली की सुरक्षा के लिए उत्तर प्रदेश और गुजरात पुलिस के अलावा केंद्रीय बल भी मुस्तैद रहेंगे। सुरक्षा की दृष्टि से रैली स्थल के आस-पास के गांवों के लाइसेंसी हथियार जमा करा लिए गए हैं।

उत्तरप्रदेश के पूर्वाचल में नरेंद्र मोदी की यह पहली रैली है, जिस पर सबकी निगाहें लगी हैं। रैली में काशी क्षेत्र के 14 संसदीय और 72 विधानसभा क्षेत्रों से भीड़ का जुटान होगा। रैली की तैयारी में जुटी बीजेपी न सिर्फ उत्तर प्रदेश बल्कि पश्चिमी बिहार में भी इसका जोर-शोर से प्रचार कर रही है।

संकटमोचन सबसे ज्यादा संवेदनशील
सुरक्षा की दृष्टि से संकटमोचन मंदिर ज्यादा संवेदनशील है। मंदिर परिसर का ज्यादा क्षेत्र खुला और पेड़-पौधों से घिरा है। वहीं काशी विश्वनाथ मंदिर तो वैसे भी सुरक्षात्मक दृष्टि से अभेद किला है।

रैली से 24 घंटे पहले ही सुरक्षा एजेंसियों ने से अपने कब्जे में ले लिया। मंदिर परिसर में शुक्रवार को साइकिल स्टैंड व मोबाइल लॉकर सेंटर बंद रहेगा। मोदी के पहुंचने के 2 घंटे पहले से ही मंदिर परिसर को सील कर दिया जाएगा, जिससे आम लोग दर्शन करने को नहीं जा पाएंगे।

मोदी की सुरक्षा के लिए अलर्ट
रैली में नरेंद्र मोदी की सुरक्षा को लेकर शासन सतर्क है। प्रमुख सचिव गृह अनिल कुमार गुप्ता और पुलिस महानिदेशक देवराज नागर ने गुरूवार को अधिकारियों से सुरक्षा तैयारी की रिपोर्ट ली और आवश्यक दिशा निर्देश दिए।

इंटेलीजेंस ब्यूरो ने मोदी की रैली के दौरान किसी घटना के होने की आशंका जताई है। आइबी ने कानपुर, झांसी, बहराइच में कुछ विरोधी तत्वों द्वारा खुराफात की आशंका जताई है। इसलिए वाराणसी में पर्याप्त मात्रा में पुलिस बल भेजा गया है।

मुंबई रैली में वीआईपी होंगे चाय विक्रेता
मोदी की रविवार को मुंबई में होने वाली रैली के लिए शहर के 10,000 चाय विक्रेताओं को वीआईपी पास जारी किए गए हैं। भाजपा नेता राज पुरोहित ने कहा कि राजनीति में आने से पहले मोदी अहमदाबाद रेलवे स्टेशन पर चाय बेचते थे।

कांग्रेस उनकी इस पृष्ठभूमि का मजाक बनाती है। उन्होंने इसका जवाब देते हुए कहा कि चाय बेचना देश बेचने से अच्छा है। इस इस आमंत्रण से उत्तेजित चाय विक्रेताओं ने रैली में शामिल होने का फैसला किया है।

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