बैतूल।। मध्य प्रदेश के बैतूल जिले की पुलिस ने नाबालिग लड़कियों का सौदा करने वाले अंतर्राज्यीय गिरोह का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने दो महिलाओं सहित पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है जबकि भीलवाड़ा (राजस्थान) निवासी एक आरोपी फरार है।
पुलिस अधीक्षक ललित शाक्यवार ने सोमवार संवाददाताओं को बताया कि छह जून को गंज पुलिस चौकी में दो नाबालिग लड़कियों की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई गई थी। पुलिस को जांच में पता चला कि काशिया ग्राम निवासी पवन (18) ने दोनों लड़कियों को किसी महिला के साथ जिले से बाहर भेज दिया है। पुलिस ने पवन को हिरासत में लेकर पूछताछ की और आरोपियों ने दोनों लड़कियों को मुक्त कर लिया।शाक्यवार के मुताबिक पुलिस द्वारा की गई पूछताछ मुक्त हुई लड़कियों ने पुलिस को बताया कि 25 मई को पवन और प्रेम ने उनके साथ दुराचार किया था। इसके बाद पवन ने बैतूल के बसोड़ी मोहल्ला में रहने वाली अपनी मुंहबोली मौसी माला उर्फ मालती वर्मा (38 वर्ष) के सुपुर्द कर दिया।
शाक्यवार ने बताया कि मालती 27 मई को दोनों लड़कियों को लेकर रेलगाड़ी से भोपाल गई और वहां से रतलाम पहुंची। वह इन लड़कियों को लेकर सज्जन सिंह राजपूत के घर गई। वहां तीन दिन रहने के बाद मालती ने सीमा (काल्पनिक नाम) को सज्जन सिंह के हवाले और छाया (काल्पनिक नाम) को राधेश्याम के हवाले कर दिया।
उन्होंने बताया कि तीन दिन तक दोनों लड़कियों के साथ दुराचार किया गया। उसके बाद मालती, सज्जन सिंह, राधेश्याम और मीराबाई बागरी दोनों लड़कियों को राजस्थान के भीलवाड़ा ले गई। वहां वे लड़कियों को बेचने का प्रयास कर ही रहे थे कि पुलिस के दबाव पर पवन ने मालती को फोन किया। मालती ने लड़कियों को रेलगाड़ी में बैठा दिया, तब दोनों बैतूल पहुंचीं। इस बीच पुलिस ने लड़कियों की तलाश के लिए विशेष पुलिस टीम गठित की। पुलिस टीम ने रतलाम पहुंचकर आरोपियों को गिर?तार कर लिया। पुलिस ने इस मामले में छह आरोपियों के खिलाफ अनैतिक व्यापार अधिनियम की धारा 5, 6 तथा 3 (2) 5 तथा एससी/एसटी एक्ट के तहत राधेश्याम, मीराबाई, माला बाई उर्फ मालती, पवन और प्रेम को गिरफ्तार कर लिया। सज्जन सिंह फरार है जिसकी पुलिस तलाश कर रही है।
शाक्यवार ने बताया कि आरोपियों को रिमांड पर लेकर पूछताछ की जाएगी और भीलवाड़ा में पुलिस टीम भेजकर गिरोह के अन्य सदस्यों को भी गिरफ्तार किया जाएगा।
पुलिस अधीक्षक ललित शाक्यवार ने सोमवार संवाददाताओं को बताया कि छह जून को गंज पुलिस चौकी में दो नाबालिग लड़कियों की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई गई थी। पुलिस को जांच में पता चला कि काशिया ग्राम निवासी पवन (18) ने दोनों लड़कियों को किसी महिला के साथ जिले से बाहर भेज दिया है। पुलिस ने पवन को हिरासत में लेकर पूछताछ की और आरोपियों ने दोनों लड़कियों को मुक्त कर लिया।शाक्यवार के मुताबिक पुलिस द्वारा की गई पूछताछ मुक्त हुई लड़कियों ने पुलिस को बताया कि 25 मई को पवन और प्रेम ने उनके साथ दुराचार किया था। इसके बाद पवन ने बैतूल के बसोड़ी मोहल्ला में रहने वाली अपनी मुंहबोली मौसी माला उर्फ मालती वर्मा (38 वर्ष) के सुपुर्द कर दिया।
शाक्यवार ने बताया कि मालती 27 मई को दोनों लड़कियों को लेकर रेलगाड़ी से भोपाल गई और वहां से रतलाम पहुंची। वह इन लड़कियों को लेकर सज्जन सिंह राजपूत के घर गई। वहां तीन दिन रहने के बाद मालती ने सीमा (काल्पनिक नाम) को सज्जन सिंह के हवाले और छाया (काल्पनिक नाम) को राधेश्याम के हवाले कर दिया।
उन्होंने बताया कि तीन दिन तक दोनों लड़कियों के साथ दुराचार किया गया। उसके बाद मालती, सज्जन सिंह, राधेश्याम और मीराबाई बागरी दोनों लड़कियों को राजस्थान के भीलवाड़ा ले गई। वहां वे लड़कियों को बेचने का प्रयास कर ही रहे थे कि पुलिस के दबाव पर पवन ने मालती को फोन किया। मालती ने लड़कियों को रेलगाड़ी में बैठा दिया, तब दोनों बैतूल पहुंचीं। इस बीच पुलिस ने लड़कियों की तलाश के लिए विशेष पुलिस टीम गठित की। पुलिस टीम ने रतलाम पहुंचकर आरोपियों को गिर?तार कर लिया। पुलिस ने इस मामले में छह आरोपियों के खिलाफ अनैतिक व्यापार अधिनियम की धारा 5, 6 तथा 3 (2) 5 तथा एससी/एसटी एक्ट के तहत राधेश्याम, मीराबाई, माला बाई उर्फ मालती, पवन और प्रेम को गिरफ्तार कर लिया। सज्जन सिंह फरार है जिसकी पुलिस तलाश कर रही है।
शाक्यवार ने बताया कि आरोपियों को रिमांड पर लेकर पूछताछ की जाएगी और भीलवाड़ा में पुलिस टीम भेजकर गिरोह के अन्य सदस्यों को भी गिरफ्तार किया जाएगा।
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