जयपुर. प्रदेश में अफसरों और कर्मचारियों पर दफ्तर समय में न्यूज सहित अन्य वेबसाइट देखने पर पाबंदी लगा दी गई है। इस संबंध में परिपत्र जारी किया है। अवहेलना पर संबंधित विभाग की इंटरनेट सेवा बंद कर दी जाएगी।
इस कृत्य को गैर कानूनी तक ठहराया गया है। आईटी विभाग के परिपत्र में कहा गया है कि इंटरनेट का उपयोग राजकीय कामों के अलावा ऑनलाइन गेम, मैच स्कोर, न्यूज चैनल और अन्य अवांछित साइटों को देखने में किया जाता है, जिससे सरकारी काम में बाधा पैदा होती है।
सरकारी कार्यालयों में इंटरनेट सुविधा का उपयोग अवांछित साइटों को देखने और गैर सरकारी कामों में किया जाना राजकीय कार्य में व्यवधान और राजकीय संसाधनों के दुरुपयोग की श्रेणी में आता है और गैर कानूनी है। अगर किसी विभाग में इंटरनेट का उपयोग अवांछित साइटों को देखने और गैर सरकारी कामों में करना पाया गया तो विभाग की इंटरनेट सेवा को तुरंत रोक दिया जाएगा।
हां, परिपत्र जारी किया है, सरकारी दफ्तरों में इंटरनेट का उपयोग केवल सरकारी कामों के लिए ही होना चाहिए। गृह विभाग, सीएमओ सहित जिन विभागों को न्यूज चैनल या खबर देखने की जरूरत है वे देख सकते हैं, सार यही है कि इसका इस्तेमाल सरकारी कामों में ही होना चाहिए।
संजय मल्होत्रा, सचिव व आयुक्त, आईटी व संचार विभाग
इस कृत्य को गैर कानूनी तक ठहराया गया है। आईटी विभाग के परिपत्र में कहा गया है कि इंटरनेट का उपयोग राजकीय कामों के अलावा ऑनलाइन गेम, मैच स्कोर, न्यूज चैनल और अन्य अवांछित साइटों को देखने में किया जाता है, जिससे सरकारी काम में बाधा पैदा होती है।
सरकारी कार्यालयों में इंटरनेट सुविधा का उपयोग अवांछित साइटों को देखने और गैर सरकारी कामों में किया जाना राजकीय कार्य में व्यवधान और राजकीय संसाधनों के दुरुपयोग की श्रेणी में आता है और गैर कानूनी है। अगर किसी विभाग में इंटरनेट का उपयोग अवांछित साइटों को देखने और गैर सरकारी कामों में करना पाया गया तो विभाग की इंटरनेट सेवा को तुरंत रोक दिया जाएगा।
हां, परिपत्र जारी किया है, सरकारी दफ्तरों में इंटरनेट का उपयोग केवल सरकारी कामों के लिए ही होना चाहिए। गृह विभाग, सीएमओ सहित जिन विभागों को न्यूज चैनल या खबर देखने की जरूरत है वे देख सकते हैं, सार यही है कि इसका इस्तेमाल सरकारी कामों में ही होना चाहिए।
संजय मल्होत्रा, सचिव व आयुक्त, आईटी व संचार विभाग
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें