- तीर्थ जल से स्नान के बाद शिव मंदिर में शिव का जल से अभिषेक कर सफेद चंदन के साथ एक बिल्वपत्र व पांच सफेद आंकड़े के फूल चढ़ाएं। साथ ही मिठाई, एक मुट्ठी गेंहू और नारियल शिवलिंग के सामने चढ़ाकर शिव मंत्रों जैसे ॐ रुद्राय नम:, ॐ नम: शिवाय या ॐ शंकराय नम: का स्मरण दु:ख शमन की कामना से करें।
- इसी तरह श्री हनुमान को पवित्र जल से स्नान कराकर सिंदूर, चमेली के तेल व चांदी के वर्क से चोला चढ़ाएं। लाल फूलों की माला, पान व जनेऊ चढ़ाकर गुड़ से बने लड्डू या शहद का भोग लगाएं।
- शिव चालीसा व हनुमान चालीसा का पाठ कर शिव-हनुमान की आरती गुग्गल धूप, दीप से करें। शिव स्नान का जल व श्री हनुमान का सिंदूर व प्रसाद ग्रहण करें व बांटे। इन सामान्य पूजा उपायों से पितृदोष, ग्रहदोष और शनिदोष का बुरा असर जीवन व घर-परिवार पर नहीं होता।
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