सांचौर के निकट धमाणा का गोलिया गांव में पर्यावरण मेले का आयोजन, ग्रामीणों ने लगाए पौधे, पर्यावरण शुद्धि हवन का भी आयोजन। सांचौर विश्व पर्यावरण दिवस पर निकटवर्ती धमाणा का गोलिया स्थित अमृतादेवी विश्नोई उद्यान में विशाल पर्यावरण मेले का आयोजन किया गया। इस मौके ग्रामीणों ने पौधे लगाकर उनके संरक्षण का जिम्मा लिया साथ ही पर्यावरण शुद्धि हवन भी किया। इस मौके साढ़े तीन सौ से अधिक पौधे लगाए गए। इस अवसर पर आयोजित पर्यावरण गोष्ठी को संबोधित करते हुए सुखदेव मुनी ने कहा कि आज पर्यावरण को बचाने के लिए चिंतन किया जा रहा है, पर्यावरण शुद्ध नहीं होगा तो मानव जीवन खतरे में पड़ जाएगा। इसलिए प्रत्येक व्यक्ति को पौधे लगाने चाहिए। पूर्व सरपंच भीखाराम सारण ने कहा कि बढ़ते प्रदूषण से मानव जीवन खतरे में है। मोहनकुमार विश्नोई ने कहा कि विश्नोई समाज ने पेड़ों की रक्षा के लिए जोधपुर के निकट खेजड़ली में 363 महिला-पुरुषों का बलिदान देकर पेड़ों की रक्षा की थी जो दुनिया के सामने एक मिशाल है। परावा सरपंच ईशराराम विश्नोई ने कहा कि शिक्षा के अभाव में समाज का विकास नहीं होता उसी प्रकार पर्यावरण संरक्षण के बिना मानव जीवन को धरती पर लंबे समय तक बचाना मुश्किल है। पार्षद बीरबल पूनिया ने पर्यावरण के लिए पेड़-पौधे लगाने की बात कही। इस अवसर पर गायक कलाकार चंपालाल करीर द्वारा गुरु जांभोजी की वाणी की प्रस्तुति दी गई। पर्यावरण शुद्धी यज्ञ कर लिया संकल्प इस मौके पर्यावरण शुद्धी यज्ञ का आयोजन किया गया। इससे पूर्व पाहल बनाया गया। यज्ञ में महिला, पुरुषों व बच्चों ने आहूतियां देकर पर्यावरण संरक्षण का संकल्प लिया। साथ 363 पौधे लगाए गए, जिसमें पूर्व प्रधान सुखराम विश्नोई, वन विभाग के रैंजर नाहरसिंह, पूर्व सरपंच भीखाराम सारण, मोहनकुमार विश्नोई, बीरबल पूनिया, परावा सरपंच ईशराराम, हनुमानाराम पंवार, जयकिशन विश्नोई सहित पर्यावरणप्रमियों ने खेजड़ी, नीम सहित कई छायादार पौधों का रोपण कर पर्यावरण संरक्षण का संकल्प लिया। इस मौके विचार गोष्ठी में अमृतादेवी उद्यान सेवा समिति ने उद्यान परिसर में छायादार दो हजार पौधे इसी माह लगाने की बात कहते हुए मरूस्थल के रूप में विरान क्षेत्र को हरा-भरा करने की शपथ लेते हुए पौधों का लालन-पालन कर उनके संरक्षण की शपथ ली। |
सोमवार, 6 जून 2011
सांचौर के निकट धमाणा का गोलिया गांव में पर्यावरण मेले का आयोजन, ग्रामीणों ने लगाए पौधे, पर्यावरण शुद्धि हवन का भी आयोजन।
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