सोमवार, 31 अक्तूबर 2016

10 घंटे में 10 किमी भी नहीं भाग पाए 'गद्दार', यूं कर दिया गया 'नापाक' बदन छलनी

10 घंटे में 10 किमी भी नहीं भाग पाए 'गद्दार', यूं कर दिया गया 'नापाक' बदन छलनी
10 घंटे में 10 किमी भी नहीं भाग पाए 'गद्दार', यूं कर दिया गया 'नापाक' बदन छलनी

भोपाल। केंद्रीय जेल से फरार हुए प्रतिबंधित संगठन स्टुडेंट्स इस्लामिक मूवमेंट ऑफ इंडिया (सिमी) के आठों आतंकवादियों को पुलिस मार गिराया है। विशेष आॅपरेशन के तहत राजधानी के पास स्थित खेजड़ी देव गांव (अचारपुरा इलाका) की मडीखेड़ा पहाड़ी पर पुलिस और आतंकियों के बीच मुठभेड़ हुई थी। (यहां क्लिक कर पढ़ें एनकाउंटर की पूरी कहानी)।

चादर की रस्सी बनाकर फांदी थी जेल की दीवार

रात 2 बजे के बाद जेल के बी ब्लॉक में बंद सिमी आतंकवादियों ने ओढऩे वाली चादरों और कथित तौर पर कुछ औजारों की मदद से जेल की सुरक्षा में सेंध लगाई थी। अनुमान था कि शहर के बाहरी इलाके में स्थित जेल से बाहर निकलने के बाद आरोपी आतंकवादी बैरसिया बायपास की ओर से भागे थे। आतंकवादी पिछले 10 घंटों में 10 किमी भी नहीं भाग पाए थे। पुलिस ने बैरसिया क्षेत्र स्थित अचारपुरा गांव के पास ही सभी को घेर लिया था।

आतंकवादियों के पास थे हथियार: आईजी

पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने एनकाउंटर पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि आतंकवादियों का भागना जांच का विषय। इस पर भोपाल आईजी योगेश चौधरी ने कहा कि आतंकवादियों के पास हथियार थे। पहले उन्होंने ही पुलिस पर फायर किया था जवाबी फायरिंग में आतंकवादी मारे गए।

पुलिस पर आतंकवादियों ने बरसाए थे पत्थर

-पुलिस को सुबह भोपाल के बाहरी क्षेत्र अचारपुरा गांव के पास कुछ लोगों के होने की सूचना मिली थी।

-सूचना मिलते ही पुलिस तत्काल सक्रिय हुई और पहाडी पर आतंकवादियों को घेर लिया गया।

-आतंकवादियों ने पुलिस पर पत्थर बरसाने शुरू कर दिए थे।

-जवाब में पुलिस ने भी ताबड़तोड़ गोलियां चलाई, जिसमें आठों आतंकवादी ढेर हो गए।

-मुठभेड स्थल को चारों तरफ से पुलिस ने घेर लिया है और आसपास के इलाकों की सघन तलाशी ली जा रही है।

-आशंका है कि जेल से भागने के बाद आतंकवादियों को सिमी से जुडे बाहरी लोगों ने मदद की होगी और उनके पास हथियार भी हो सकते हैं।

खंडवा के रहने वाले थे पांच आतंकवादी

-पुलिस सूत्रों ने बताया कि अकील, जाकिर, मेहबूब, अमजद और मोहम्मद सादिक सिमी की गतिविधियों का केंद्र रहे खंडवा जिले के निवासी हैं।

-ये सभी खंडवा जेल से 30 सितंबर 2013 को फरार हुए थे, जिन्हें बाद में गिरफ्तार कर लिया गया था।

-इनके साथ ही मूल रूप से मुंबई निवासी डॉ अबू फैजल भी उस समय खंडवा जेल से फरार हुआ था।

-ये सभी 6 आतंकवादी 21 अगस्त 2013 से खंडवा जिला जेल में बंद थे।




सभी पर दर्ज था देशद्रोह का आरोप

-ये सभी विचाराधीन कैदी थे, जिन पर खंडवा में आतंकवादी निरोधक दस्ता (एटीएस) जवान और दो नागरिकों की दिनदहाड़े हत्या, रतलाम जिले में भी एटीएस जवान की हत्या, देशद्रोह, बैंक डकैती, लूट जैसे संगीन अपराधों के गंभीर आरोप हैं।

-इन सभी पर खंडवा सहित प्रदेश की विभिन्न अदालतों में गंभीर मामले विचाराधीन हैं।

-सूत्रों के मुताबिक खंडवा जिला जेल में सिमी और इंडियन मुजाहिदीन के 9 सदस्य बंदी थे।

-इनमें से 6 फ़रार हो गए थे, जिन्हें बाद में पकड़ लिया गया था।

-अन्य प्रकरणों में गिरफ्तार तीन बंदियों को सेंट्रल जेल इंदौर और भोपाल में स्थानांतरित किया गया है।

-सिमी का अकील खिलजी (42वर्ष), अब्दुल रकीब (27वर्ष) तथा अब्दुल्ला उर्फ अल्ताफ (19वर्ष) शामिल है।

-सभी पर धार्मिक उन्माद भड़काने, राष्ट्रद्रोह, विधि विरुद्ध क्रियाकलाप निवारण अधिनियम के तहत प्रकरण दर्ज हैं।

दिग्विजय ने दिया था बयान

-मप्र के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने कहा, 'जिस प्रकार सिमी के लोग जेल तोड़ के भाग रहे हैं, यह जांच का विषय है कि इसमें मिलीभगत तो नहीं हैं। आरएसएस और कट्टरपंथी विचारधारा के लोग मिलकर दंगे कराते हैं।'

-प्रथम दृष्टया जेल अधीक्षक अखिलेश तोमर, जेलर विवेक परस्ते और आलोक वाजपेयी के अलावा मुख्य प्रहरी आनंदीलाल को भी निलंबित कर दिया था।

रविवार, 30 अक्तूबर 2016

#INDvPAK: दिवाली पर हॉकी इंडिया ने दिया गिफ्ट, पाक को 3-2 से रौंदा

#INDvPAK: दिवाली पर हॉकी इंडिया ने दिया गिफ्ट, पाक को 3-2 से रौंदा


भारतीय पुरुष हॉकी टीम को एशियन चैम्पियंस ट्रॉफी के खिताब के लिए दिवाली के दिन अपने चिर प्रतिद्वंद्वी और मौजूदा विजेता पाकिस्तान को 3-2 से हराया। भारत के लिए पहला गोल रुपिंदर पाल सिंह ने पहले क्वार्टर में किया। उनके बाद रमनदीप सिंह ने दूसरा गोल भारत के लिए किया।




पहले हॉफ में आक्रामक खेल दिखाने वाली टीम इंडिया ने पाकिस्तान को पेनल्टी कॉर्नर दिया। पाक की ओर से मुहम्मद अलीम बिलाल ने कोई गलती नहीं की और पाक की ओर से पहला गोल दागा। इसके बाद अली शान ने पाक के लिए दूसरा गोल दागा। चौथे क्वार्टर में तनावपूर्ण क्षणों में नितिन थिमैया ने भारत के लिए तीसरा गोल दागा।


#INDvPAK: दिवाली पर हॉकी इंडिया ने दिया गिफ्ट, पाक को 3-2 से रौंदा

भारत ने अपने स्टार गोलकीपर और कप्तान पी.आर.श्रीजेश की बदौलत शनिवार को टूर्नामेंट के सेमीफाइनल मुकाबले में दक्षिण कोरिया को पेनाल्टी शूटआउट में हराकर फाइनल में प्रवेश किया था। एशियन चैम्पियंस ट्रॉफी के इतिहास पर एक नजर डालें, तो भारतीय टीम ने 2011 में पाकिस्तान को पेनाल्टी शूटआउट में मात देकर खिताबी जीत हासिल की थी। हालांकि, पाकिस्तान की टीम इस खिताब को दो बार अपने नाम कर चुकी है।




कतर की राजधानी दोहा में 2012 में आयोजित हुए इस टूर्नामेंट में पाकिस्तान ने अपना बदला पूरा करते हुए भारत को हराकर खिताबी जीत हासिल की थी और 2013 में मेजबान देश जापान को हराकर दूसरी बार खिताब जीता था।भारतीय टीम ने टूर्नामेंट के चौथे संस्करण में बेहतरीन खेल का प्रदर्शन करते हुए अपने तीसरे मुकाबले में पाकिस्तान को ही 3-2 से मात दी है।




भारत इस टूर्नामेंट में अपना एक भी मुकाबला नहीं हारा है। पहले मुकाबले में जापान को 10-2 की करारी शिकस्त देकर भारत ने एशियन चैम्पियंस ट्रॉफी के चौथे संस्करण का विजयी आगाज किया था, वहीं दूसरे मैच में उसने दक्षिण कोरिया को 1-1 से बराबरी पर रोका था। भारतीय टीम ने तीसरे मुकाबले में पाकिस्तान को हराने के बाद चीन के खिलाफ चौथे मैच में 9-0 से जीत हासिल की थी। सेमीफाइनल में उसने दक्षिण कोरिया को हराकर खिताबी मुकाबले में प्रवेश किया। पाकिस्तान की टीम को इस टूर्नामेंट में दो बार हार का सामना करना पड़ा है, वहीं उसने बाकी तीन मुकाबलों में जीत हासिल की।