शनिवार, 23 जनवरी 2016

जालोर भामाशाह परिहार ने वितरित किये चरण पादुकाए

जालोर भामाशाह परिहार ने वितरित किये चरण पादुकाए


--भामाशाह महेन्द्र परिहार ने कलेक्टर के अभियान की मेंगलवा राजकीय आदर्श उच्च माध्यमिक विधालय में की शरुआत
-- कलेक्टर के की अगुआई में भामाशाह दे रहे भरपूर सहयोग
--प्रधान,एसडीएम सहित ग्रामीण रहे उपस्थित
गरीब बच्चों को जूते पहनाए भामाशाह ने


जेताराम परिहार तालियाना


जीवाणा । मेंगलवा के युवा व एल एस ए महेन्द्र कुमार ने जिला कलेक्टर डॉक्टर जितेन्द्र कुमार सोनी से पर्रेणा लेकर अपने खुद के ग्राम के विधालय आदर्श राजकीय उच्च माध्यमिक विधालय में शनिवार सुबह मेहन्द्र कुमार परिहार ने उपखंड के अधिकारियो और जन प्रतिनिधियो की उपस्थति में विधालय के कमजोर तबको को छात्रों को चरण पादुकाए वितरित कर कलेक्टर के अभियान का सायला क्षेत्र से आगाज किया ! इस दौरान परिहार द्वारा विधालय के 200 छात्र- छात्रोंओ को कलक्टर के द्वारा चलाये जा रहे चरण पादुकाए वितरित की गयी ! इस दौरान सायला प्रधान जबर सिंह तुरा, अध्यक्षता के नाते सायला उपखंड अधिकारी संजय वासू, वही विशिस्थ अतिथि के नाते सरपंच अर्जुन डांगी,प्रधनाचार्य,एसएमसी अध्यक्ष मांगीलाल मेघवाल, मोहित राजपुरोहित , हीराराम पंचाल, राणाराम परिहार, मोमताराम,सहित ग्राम के प्रबुद्जन सहित अनेको लोग उपस्थित थे ! 

अभियान एक नजर ----

सर्दी में सरकारी स्कूल के छोटे-छोटे बच्चों को नंगे पांव ठिठुरते एक आईएएस अधिकारी को सहन नहीं हुआ और उन्हें अपने साथ ले जाकर बाजार से जूते दिला दिए ! सिलसिला यहां खत्म नहीं हुआ बल्कि शुरू हुआ और आज ये शख्स 25,000 जरूरतमंद स्कूली बच्चों को जूते पहनाने जा रहा है. वो भी बिना सरकारी मदद और बिना कोई टैक्स लगाये !
जी हां, हम बात कर रहे हैं राजस्थान के जालोर जिले की और ये जिम्मा उठाने वाले शख्स हैं यहां के जिला कलेक्टर डॉक्टर जितेंद्र कुमार सोनी. गणतंत्र दिवस से पहले-पहले जिलेभर के 25 हजार गरीब बच्चों को जूते उपलब्ध कराने की ठान चुके हैं. यही नहीं सोनी की इस कोशिश में दानदाता और बहुत से शिक्षक भी जुट गए हैं और अपने स्कूल, कस्बे और शहर के ऐसे बच्चों के लिए खुलकर आर्थिक सहयोग दे रहे हैं.

ऐसे हुई शुरुआत:

पिछले साल दिसंबर में कलेक्टर सामान्य दौरे पर एक सरकारी स्कूल पहुंचे थे. वहां कुछ बच्चों को नंगे पांव ठिठरते देखा तो उन्होंने वहीं से जूते खरीद उन्हें पहना दिए. लेकिन इसी के साथ उन्होंने ऐसे अन्य स्कूली बच्चों के बारे में सोचा और एक अभियान की रूपरेखा तैयार की ! उन्होंने जालोर जिले के तमाम सरकारी स्कूलों का हाल जानना चाहा और फिर मदद के लिए भी तैयार लोगों का भी सहयोग मांगा !

तैयार हुई 'चरण पादुका योजना'
कलेक्टर सोनी ने जिले की 274 ग्राम पंचायतें और तीन नगर पालिकाओं के तमाम सरकारी स्कूलों से ऐसे गरीब बच्चों की जानकारी मांगी जो बिना जूते स्कूल आते हैं. जल्द ही आंकड़ा सामने था, जिले में 25 हजार बच्चे ऐसे हालात में मिले जिनके लिए कलेक्टर ने चरण पादुका योजना तैयार की ! इसके तहत उन्होंने दानदाताओं और संस्थाओं को मदद के लिए आमंत्रित किया और नतीजतन नंगे पांवों तक जूत पहुंचने लगे !

गणतंत्र दिवस तक सभी बच्चों तक जूते:-
सोनी के अनुसार उन्होंने गणतंत्र दिवस से पहले-पहले सभी जरूरतमंद बच्चों तक जूते पहुंचाने का लक्ष्य रखा है ! यह काम तेजी से हो रहा है. और उम्मीद है इस गणतंत्र दिवस पर कोई गरीब बच्चा सर्दी में नंगे पांव ठिठुरता हुआ स्कूल नहीं पहुंचेगा ! 

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