पानी के लिए मचा हां हां कर कानोड़ गाँव रहा बंद
बूंद-बूंद पानी के लिए तरस रहा है रेगिस्तान
बाड़मेर महाराष्ट्र में पानी के हाहाकार के बाद अब राजस्थान के रेगिस्तान में पानी को लेकर हाहाकार मच गया है रेगिस्तान के लोग बूंद-बूंद पानी के लिए तरस ते नजर आ रहे है शनिवार को बाड़मेर जिले के कानोड़ कस्बे में सकडो लोगो ने पानी किल्लत लेकर गावो को बंद करके सडको पर जमकर प्रदशन कर मटकियो को फोड़ कर जलदाय विभाग के खिलाफ धरना प्रदशन शरू कर दिया इन इलाको अब यह हालात पैदा हो गए है कि पीने के पानी के घड़ेके लिए महिलाओ को पाच से दस किलोमीटर तक सफर तय करना पड़ रहा है आज आखिरइन दर्जनों भर गाव को लोगो को घुसा फुट कर सडको पर आ गया अब रेगिस्तान केलोगो को इस बात कि चिंता सता रही है कि अब यहं हाल तो मई और जून महीने में तपती गर्मी में इंसानों के साथ जानवरों को पानी की बूंद के लिए कितना तरसना पड़ेगा
राज्य की अशोक गहलोत सरकार का दावा है कि बाड़मेर जिले में पानी के लिए सैकड़ो करोडो रूपए खर्च किए है ताकि रेगिस्तान के दूर दराज केगावो में रहने वाले लोगो को पानी के लिए तरसना न पड़े लेकिन आज हम आपको इन योजनाओ और नेताओ के वादों की हकीकत बताते है बाड़मेर जिले के बायतु कस्बेके कानोड़ सहित दर्जनों गावो में पीने के लिए पानी लेने के लिए यह के लोगोको कई किलोमीटर का सफर तय करना पड़ता है अब पारा 40 के पार पहुंचाते ही ग्रामीण लोगो का आक्रोश सडको पर फुट पड़ा हें ग्रमीण तेजराम जाजरा के अनुसार हमारेयह तीन साले से पानी का भयंकर सकट है हम लोगो ने इस बारे में कई बारजलदाय विभाग के अधिकारियो को इस बार में बताया लेकिन कोई भी हमारी नहींसुनता है इसलिए आज यह के दर्जनों भर गावो के सेकड़ो लोगो ने गाव बंद करसडको पर उतर कर प्रदशन कर रहे है इंसानों के लिए पीने के लिए पानी नहींतो आप सोच सकते हो कि जानवरो तो मरने की कगार पर है अब अगर पीने के पानीका बंदोबस्त सरकार ने नहीं किया तो हालात बेकाबू हो सकते है
. सतर साल की पपू देवी के अनुसार अब हालात इतने बिगड़ गए हैकि पानी के लिए कई किलोमीटर का सफर तय करना पड़ रहा है पानी के हौज खाली हो गए हैअब पानी के एक टेंकर की कीमार बारह सौ रुपये अदा करने की हैसियत हमारी नहीं हें , पेट पर गाँठ देकर हमें मजबूरन टेंकर डलवाने पड़ते हें वही केसराराम के अनुसारनेता वोट लेने के बाद एक बार भी नजर नहीं आए अब यह हालात है तो आप सोचसकते हो कि आने वाले दिनों में पानी की बूंद के लिए भी हमें तरसना पड़ेगा
पानी की समस्या को लेकर जलदाय विभाग के अधिशासी अभियंता आर.सी .मिश्रा का कहना हैकि इन इलाके में पानी की भयंकर समस्या है अब हमने इन इलाके में पानी केटेंकर से सप्लाई शरू करगे और जल्द ही इन इलाको में पानी के लिए चलने वालीपाइप लाइन को शरू करगे
राज्य की अशोक गहलोत सरकार ने बाड़मेर जिले में पानी कीयोजनाओ के नाम पर लाखो नहीं करोडो नहीं अरबो रूपए फुक दिए है लेकिन इसकी जमीनी हकीकत यह है कि रेगिस्तान में आज भी पानी के लिए त्राहि त्राहि मचीहुई है लोगो अब पानी की किल्लत को लेकर सडको पर उतर गए है और हालात बद से बदतर होते नजर आ रहे है सबसे बड़ा सवाल यह है कि अभी तो गर्मी की शरुआत हुईहै और इतना हाहाकार गया है तो मई और जून महीने में क्या हाल होगे रेगिस्तान के लोगो के--
. सतर साल की पपू देवी के अनुसार अब हालात इतने बिगड़ गए हैकि पानी के लिए कई किलोमीटर का सफर तय करना पड़ रहा है पानी के हौज खाली हो गए हैअब पानी के एक टेंकर की कीमार बारह सौ रुपये अदा करने की हैसियत हमारी नहीं हें , पेट पर गाँठ देकर हमें मजबूरन टेंकर डलवाने पड़ते हें वही केसराराम के अनुसारनेता वोट लेने के बाद एक बार भी नजर नहीं आए अब यह हालात है तो आप सोचसकते हो कि आने वाले दिनों में पानी की बूंद के लिए भी हमें तरसना पड़ेगा
पानी की समस्या को लेकर जलदाय विभाग के अधिशासी अभियंता आर.सी .मिश्रा का कहना हैकि इन इलाके में पानी की भयंकर समस्या है अब हमने इन इलाके में पानी केटेंकर से सप्लाई शरू करगे और जल्द ही इन इलाको में पानी के लिए चलने वालीपाइप लाइन को शरू करगे
राज्य की अशोक गहलोत सरकार ने बाड़मेर जिले में पानी कीयोजनाओ के नाम पर लाखो नहीं करोडो नहीं अरबो रूपए फुक दिए है लेकिन इसकी जमीनी हकीकत यह है कि रेगिस्तान में आज भी पानी के लिए त्राहि त्राहि मचीहुई है लोगो अब पानी की किल्लत को लेकर सडको पर उतर गए है और हालात बद से बदतर होते नजर आ रहे है सबसे बड़ा सवाल यह है कि अभी तो गर्मी की शरुआत हुईहै और इतना हाहाकार गया है तो मई और जून महीने में क्या हाल होगे रेगिस्तान के लोगो के--
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