मंगलवार, 16 जुलाई 2019

बाड़मेर में 24 नवीन राजस्व गांवांे का गठन


 बाड़मेर में 24 नवीन राजस्व गांवांे का गठन

बाड़मेर, 16 जुलाई। राज्य सरकार ने अधिसूचना जारी कर बाड़मेर में 24 नवीन राजस्व गांवों का गठन किया है। बाड़मेर की बायतु, सिणधरी, धोरीमन्ना, चौहटन, रामसर, गिडा एवं पचपदरा तहसील में नवीन राजस्व ग्रामों का गठन किया गया है।
राजस्व मंत्री हरीश चौधरी ने बताया कि बायतु तहसील में खेमा बाबा नगर, जसनाथपुरा, रामदेव नगर, बैनिवालों की ढाणी तथा सिणधरी तहसील में आदर्श सडा, जेतेश्वर धाम नवीन राजस्व ग्राम का गठन किया गया है। इसी तरह धोरीमन्ना तहसील में नयी खरड, आथूणी भीलों की ढाणी, पदमाणियों का तला, रामदेवपुरा, देवनगरी, भीमनगर, विष्णुधाम, भाखड़ो की ढाणी, वांकलसर, विश्वकर्मा नगर तथा चौहटन तहसील में रामदेव नगर नवीन राजस्व ग्रामों का गठन किया गया है। राजस्व मंत्री चौधरी ने बताया कि बाड़मेर तहसील में श्रवणनगर, रामसर तहसील में छुट्टाणियों की बस्ती, कासमाणियों की बस्ती, पुराणियों की ढाणी, गिड़ा तहसील में डेलुओं की ढाणी, पचपदरा तहसील में देवनगर सुथारों की ढाणी एवं आदर्श सिंधियों की ढाणी नवीन राजस्व ग्राम का गठन किया गया है। चौधरी ने बताया कि नवीन राजस्व गांवांे के गठन से प्रभावित मूल एवं नवीन राजस्व ग्रामों के अभिलेखों के अलग- अलग संधारण के लिए इन गांवों की पृथक पृथक जमाबंदी, खसरा नंबर एवं नक्शे, अभिलेखों के परिशोधन  के लिए  जिला कलक्टर बाड़मेर को अधिकृत किया गया है।

 1649 हैक्टेयर मंे कीटनाशक का छिड़काव,विभागीय अधिकारी फील्ड मंे
-टिड्डी नियंत्रण के लिए अन्य जिलांे से कृषि विभाग के कार्मिकांे को बाड़मेर भेजा।
बाड़मेर,16 जुलाई। बाड़मेर जिले मंे टिड्डी नियंत्रण के लिए 1649 हैक्टेयर मंे कीटनाशक का छिड़काव किया गया है। टिड्डी चेतावनी संगठन एवं कृषि विभाग के कार्मिकांे को फील्ड मंे रहकर टिड्डी दल संबंधित गतिविधियांे से अवगत कराने के निर्देश दिए गए है।
जिला कलक्टर हिमांशु गुप्ता ने बताया कि बाड़मेर जिले के रामसर, गुड़ामालानी, शिव एवं गडरारोड़ क्षेत्र टिड्डी नियंत्रण के लिए अब तक 1649 हैक्टेयर मंे मेलाथियान 96 यूएलबी कीटनाशक का छिड़काव किया गया है। इसके अलावा माइक्रो नियर पौध संरक्षण यंत्रांे से उपचारित कर टिड्डी नियंत्रण किया गया है। उन्हांेने बताया कि विभागीय अधिकारियांे एवं कार्मिकांे को फील्ड मंे रहने के साथ टिड्डी नियंत्रण के लिए पुख्ता इंतजाम सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है। कृषि विभाग के उप निदेशक किशोरीलाल वर्मा ने बताया कि शिव तहसील की देवका ग्राम पंचायत की चतुरगिरी की ढाणी मंे पिछले दिनांे टिड्डी दल देखे जाने पर कीटनाशक किया गया था। अब टिड्डी के निम्फ देखे जाने पर टिड्डी चेतावनी संगठन को सूचित किया गया है। यहां निरोधात्मक कार्रवाई की जाएगी। उन्हांेने बताया कि टिड्डी नियंत्रण एवं सर्वेक्षण के लिए भरतपुर, अलवर से आए कृषि विभाग के अधिकारी 21 जुलाई तक बाड़मेर जिले के भ्रमण पर रहेंगे। उन्हांेने बताया कि टिड्डी चेतावनी संगठन के पास टिड्डी नियंत्रण के लिए एक माइक्रो नियर, 5 अलवा मस्त पौध संरक्षण यंत्र जो पावर आपरेटेड तथा पावर माउंटेड उपलब्ध है। इसके अलावा 10 माइक्रो अल्वा बैटरी चलित पंप भी उपलब्ध है, जो सीधे व्यक्ति संचालित किए जाते है। मौजूदा समय मंे टिड्डी चेतावनी संगठन के पास 6 वाहन टिड्डी नियंत्रण गतिविधियांे के लिए उपलब्ध है। इसके अलावा अतिरिक्त आठ वाहनांे के जरिए फील्ड सर्वे किया जा रहा है। उन्हांेने बताया कि वर्तमान मंे टिड्डी नियंत्रण मंे है। किसी भी फसल को कोई नुकसान नहीं है। उनके मुताबिक तामलोर ग्राम पंचायत मंे तामलोर, अमी का पार, पादरिया ग्राम पंचायत के जुम्मा फकीर की बस्ती, आदर्श छोटू ग्राम पंचायत के मूलाराम सरपंच की ढाणी तथा मजरांे मंे टिड्डी नियंत्रण एवं सर्वे का कार्य चल रहा है। वर्मा ने बताया कि संयुक्त निदेशक कृषि विस्तार जोधपुर ने दस कृषि पर्यवेक्षकांे को टिड्डी नियंत्रण के लिए बाड़मेर जिले मंे उपस्थिति देने के निर्देश दिए थे। इनको टिड्डी प्रभावित क्षेत्रांे मंे सर्वेक्षण एवं नियंत्रण कार्य के लिए भेजा गया है। इधर, संयुक्त निदेशक भरतपुर देशराजसिंह, उप निदेशक कृषि विस्तार अलवर पी.सी.मीणा, सहायक निदेशक कृषि विस्तार राजगढ़ ने टिडडी चेतावनी संगठन एवं कृषि विभाग बाड़मेर के कार्यालय मंे सपर्क कर टिडडी नियंत्रण गतिविधियांे के बारे मंे जानकारी ली। इसके उपरांत रामसर से होते हुए गडरारोड़ इलाके के भ्रमण पर गए। इस दौरान गडरारोड़ के समीप जुम्मा फकीर की बस्ती मंे प्रभावित इलाके का दौरा करने के साथ किसानांे से मिलकर टिडडी की गतिविधियांे के बारे मंे जानकारी ली। तामलोर मंे सीमा चौकी के आसपास टिडडी के निम्फ की गतिविधियां पाई गई। इस पर टिडडी चेतावनी संगठन के कार्मिकांे ने कीटनाशक का छिड़काव किया। यहां तामलोर सरपंच एवं ग्रामीणांे से संपर्क किया गया। टिडडी दल एवं निम्फ की गतिविधियां सरहदी इलाकांे मंे देखे जाने के बाद कृषि विभाग के कार्मिकांे को लगातार फील्ड मंे रहकर गतिविधियांे संबंधित सूचना नियमित रूप से विभाग तथा टिडडी चेतावनी संगठन को उपलब्ध कराने के लिए निर्देशित किया गया।

सूखा ग्रस्त गांवांे मंे अभाव की अवधि 31 जुलाई तक बढ़ाई
बाड़मेर,16 जुलाई। आपदा प्रबंधन, सहायता एवं नागरिक सुरक्षा विभाग ने अधिसूचना जारी कर मानसून की वर्षा नहीं होने के कारण सूखे की गंभीर स्थिति को देखते हुए अभाव की अवधि को 31 जुलाई तक बढ़ा दिया है।
अतिरिक्त जिला कलक्टर राकेश कुमार शर्मा ने बताया कि खरीफ फसल 2018 मंे सूखाग्रस्त गांवांे मंे अभाव घोषणा के संबंध मंे पूर्व मंे 19 नवंबर 2018 को जारी अधिसूचना की अवधि 17 मई तक प्रभारी थी, उसको सूखे की स्थिति को देखते हुए 15 जुलाई 2019 तक बढाया गया था। उन्हांेने बताया कि आपदा प्रबंधन, सहायता एवं नागरिक सुरक्षा विभाग ने मानसून की वर्षा नहीं होने एवं सूखे की गंभीर स्थिति के कारण इस अभाव अवधि को बढ़ाकर अब 31 जुलाई तक कर दिया है। इस दौरान राहत गतिविधियांे को यथावत संचालन होता रहेगा।

केन्द्रीय टीम ने ग्रामीण इलाकांे मंे विकास कार्याें का किया अवलोकन
- केन्द्रीय टीम ने ग्रामीणांे से जल शक्ति अभियान मंे भागीदारी का आहवान किया।
बाड़मेर,16 जुलाई। जल शक्ति अभियान के लिए केन्द्रीय नोडल अधिकारी भानुप्रताप यादव की अगुवाई मंे आई केन्द्रीय दल ने दूसरे दिन मंगलवार को ग्रामीण इलाकांे मंे ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज, कृषि तथा वन विभाग के कार्याें का अवलोकन किया। उन्हांेने रामसर एवं गडरारोड़ मंे परंपरागत जल स्त्रोत बेरियांे के जीर्णाेद्धार का निरीक्षण करने के साथ इसको जल संरक्षण के लिहाज से अनूठी पहल बताया।
केन्द्रीय नोडल अधिकारी एवं संयुक्त सचिव भानुप्रताप यादव ने रामसर का पार, बबुगुलेरिया एवं गडरारोड़ इलाके मंे जल संरक्षण कार्याें का अवलोकन किया। उन्हांेने बेरियांे को देखने के साथ इसमंे पानी की आवक तथा जीर्णाेद्धार के कार्य की विस्तार से जानकारी ली। जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी मोहनदान रतनू ने जल संरक्षण के लिए बेरियांे के जीर्णाेद्धार के साथ टांका निर्माण तथा अन्य जल संरक्षण गतिविधियांे के बारे मंे जानकारी दी। संयुक्त सचिव यादव ने विभिन्न स्थानांे पर ग्रामीणांे से रूबरू होने के साथ जल संरक्षण के लिए जल शक्ति अभियान मंे सक्रिय भागीदारी निभाने का आहवान किया। इस दौरान अधीक्षण अभियंता बलवीरसिंह, अधिशाषी अभियंता भेराराम बिश्नोई, विकास अधिकारी बाबूसिंह राजपुरोहित, गणपतलाल सुथार समेत अन्य विभागीय अधिकारी तथा विभिन्न जनप्रतिनिधि गण उपस्थित रहे। उन्हांेने इस दौरान पौधारोपण करते हुए आमजन से अधिकाधिक पौधारोपण करने एवं पेड़ बनने तक उसकी देखभाल करने का अनुरोध किया। उन्हांेने खड़ीन, वृक्ष कुंज, सार्वजनिक टांका निर्माण एवं तालाब निर्माण कार्याें का अवलोकन किया। इसी तरह बालोतरा, सिवाना एवं समदड़ी पंचायत समिति की विभिन्न ग्राम पंचायतांे मंे केन्द्रीय टीम के सदस्यांे से जल संरक्षण कार्याें का अवलोकन करने के साथ जन प्रतिनिधियांे एवं ग्रामीणांे से रूबरू होकर जल शक्ति अभियान मंे अधिकाधिक भागीदारी सुनिश्चित करने की बात कही। इस दौरान विकास अधिकारी सांवलाराम एवं रामेश्वरलाल, अधिशाषी अभियंता तेजसिंह चौधरी ने जल संरक्षण गतिविधियांे के बारे मंे अवगत कराया। केन्द्रीय टीम मंे शामिल सदस्यांे ने किसानों से कम पानी में तैयार होने वाली फसलों को लेने के बारे मंे समझाइश की। उन्हांेने कहा कि बारिश के पानी का पूरा उपयोग करते हुए बून्द-बून्द सिंचाई को अधिकाधिक बढावा दें। उन्हांेने जल शक्ति अभियान को सफल बनाने के लिए सबसे सक्रिय सहयोग का आग्रह किया। 

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