हेलमेट की अनिवार्यता को लागू करने के निर्देश
बाड़मेर सड़क हादसों में जान गंवाने वाले वाहन चालकों को बचाने के लिए तेरह जून से जिला पुलिस अधीक्षक ने हेलमेट की अनिवार्यता को लागू करने के निर्देश दे दिए हैं। शुरुआती तौर पर पहले वाहन चालकों से समझाइश की जाएगी और बाद में सख्ती से उन्हें हेलमेट पहनने के लिए बाध्य किया जाएगा।
जिला पुलिस अधीक्षक संतोष चालके ने बताया कि सड़क हादसों में गुजरे तीन सालों में जान गंवाने वालों में 49 सवार दुपहिया वाहन वाले थे। इनकी मौत का मुख्य कारण हेलमेट नहीं पहनना था। सड़क हादसों में मरने वालों की तादाद को कम करने के लिए ही पुलिस ने अब शहर में हेलमेट पहनने की अनिवार्यता को लागू करने का निर्णय किया है। बाद में बालोतरा में भी इसे शुरू किया जाएगा।
पुलिस करेगी पहले प्रचार : वाहन चालकों का समझाने के लिए पुलिस पहले प्रचार करेगी। चौराहों पर तैनात यातायात पुलिस कर्मी चालकों को हेलमेट को बोझ नहीं बल्कि सुरक्षा के लिए पहनने की बात को समझाएगी। इतना ही नहीं स्वंयसेवी संस्थाओं की मदद से नुक्कड़ नाटकों, बैनर व अन्य प्रचार माध्यमों से लोगों में जागरुकता लाने का काम करेगी। पुलिस की मंशा है कि हेलमेट की शर्त को लोग अपनी सुरक्षा के मद्देनजर समझें और इसे पहनें।
शेयर करो आइडिया
पुलिस के इस अभियान में यदि आपके पास कोई आइडिया है तो उसे आप पुलिस अधीक्षक की फेस बुक पर शेयर कर सकते हैं। शहरवासियों की ओर से मिले सुझावों को पुलिस अपने इस अभियान में शामिल कर लागू करेगी। एसपी संतोष चालके ने बताया कि ऐसा इसलिए किया जा रहा है ताकि शहर के लोग खुद ये तय कर सकें कि उन्हें इस अभियान का हिस्सा कैसे बनना है।
स्कूलों में चलेगा कैंपेन
हेलमेट को लेकर शहर की सरकारी व निजी स्कूलों में अभियान चला कर स्कूली बच्चों को जागरुक किया जाएगा। इतना ही नहीं परिजन को यह बात समझाई जाएगी कि वे तय कर लें कि बच्चा घर से निकलने से पहले अपना हेलमेट पहन रहा है या नहीं।
जिला पुलिस अधीक्षक संतोष चालके ने बताया कि सड़क हादसों में गुजरे तीन सालों में जान गंवाने वालों में 49 सवार दुपहिया वाहन वाले थे। इनकी मौत का मुख्य कारण हेलमेट नहीं पहनना था। सड़क हादसों में मरने वालों की तादाद को कम करने के लिए ही पुलिस ने अब शहर में हेलमेट पहनने की अनिवार्यता को लागू करने का निर्णय किया है। बाद में बालोतरा में भी इसे शुरू किया जाएगा।
पुलिस करेगी पहले प्रचार : वाहन चालकों का समझाने के लिए पुलिस पहले प्रचार करेगी। चौराहों पर तैनात यातायात पुलिस कर्मी चालकों को हेलमेट को बोझ नहीं बल्कि सुरक्षा के लिए पहनने की बात को समझाएगी। इतना ही नहीं स्वंयसेवी संस्थाओं की मदद से नुक्कड़ नाटकों, बैनर व अन्य प्रचार माध्यमों से लोगों में जागरुकता लाने का काम करेगी। पुलिस की मंशा है कि हेलमेट की शर्त को लोग अपनी सुरक्षा के मद्देनजर समझें और इसे पहनें।
शेयर करो आइडिया
पुलिस के इस अभियान में यदि आपके पास कोई आइडिया है तो उसे आप पुलिस अधीक्षक की फेस बुक पर शेयर कर सकते हैं। शहरवासियों की ओर से मिले सुझावों को पुलिस अपने इस अभियान में शामिल कर लागू करेगी। एसपी संतोष चालके ने बताया कि ऐसा इसलिए किया जा रहा है ताकि शहर के लोग खुद ये तय कर सकें कि उन्हें इस अभियान का हिस्सा कैसे बनना है।
स्कूलों में चलेगा कैंपेन
हेलमेट को लेकर शहर की सरकारी व निजी स्कूलों में अभियान चला कर स्कूली बच्चों को जागरुक किया जाएगा। इतना ही नहीं परिजन को यह बात समझाई जाएगी कि वे तय कर लें कि बच्चा घर से निकलने से पहले अपना हेलमेट पहन रहा है या नहीं।
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