जैसलमेर में गाजी फकीर की चौथी बरसी पर सबसे बड़ी रोजा इफ्तारी का हुआ आयोजन, पूर्व मंत्री शाले मोहम्मद के गांव में हुआ आयोजन

 जैसलमेर में गाजी फकीर की चौथी बरसी पर सबसे बड़ी रोजा इफ्तारी का हुआ आयोजन, पूर्व मंत्री शाले मोहम्मद के गांव में हुआ आयोजन



जैसलमेर जिले मे मरहूम गाजी फकीर की चौथी  बरसी पर उनके निवास स्थान भागू का गांव में कार्यक्रम आयोजित किया गया. वहीं इस दौरान रोजा इफ्तार पार्टी भी आयोजित हुई. पीर पागारो जमत के चीफ खलीफा व पूर्व कैबिनेट मंत्री शाले मोहम्मद ने अपने गांव में 20 हजार रोजेदारों के लिए रोजा इफ्तारी का आयोजन किया. इस मौके पर पूर्व जिला प्रमुख अब्दुल्ला फकीर ,पूर्व प्रधान अमरदीन ,फ़क़ीर इलियास फ़क़ीर ,अमिन फ़क़ीर ,पिराने फ़क़ीर सहित मोजिज परिज उपस्थित थे 


गांव में बहुत बड़े डोम में हजारों लोगों ने शिरकत की तथा अल्लाह की इबादत करके रोजा खोला.पूर्व कैबिनेट मंत्री और सिंधी मुस्लिमों के धर्म गुरु शाले मोहम्मद ने कहा कि माहे रमजान आपसी मुहब्बत और भाईचारे का पैगाम देता है. हमें रमजान के पाक महीने में एक-दूसरे के साथ मुहब्बत का पैगाम देकर इंसानियत मजबूत करनी चाहिए. मोमीन रोजा रखें, नमाज पढ़ें, इससे ईमान मजबूत होता है. गरीबों को खाना खिलाकर हम दुआएं हासिल करें. उन्होंने कहा कि रमजान में सिर्फ खाने.पीने का ही परहेज नहीं है, बल्कि गलत बोलने और सुनने पर भी पाबंदी है.कैबिनेट मंत्री शाले मोहम्मद ने कहा कि माहे रमजान आपसी मुहब्बत और भाईचारे का पैगाम देता है. हमें रमजान के पाक महीने में एक-दूसरे के साथ मुहब्बत का पैगाम देकर इंसानियत मजबूत करनी चाहिए. मोमीन रोजा रखें, नमाज पढ़ें, इससे ईमान मजबूत होता है. गरीबों को खाना खिलाकर हम दुआएं हासिल करें. उन्होंने कहा कि रमजान में सिर्फ खाने.पीने का ही परहेज नहीं है, बल्कि गलत बोलने और सुनने पर भी पाबंदी है.


टिप्पणियाँ