बाड़मेर घरेलू नौकर, ड्राईवर, चौकीदार इत्यादि बिना पुलिस सत्यापन एवं बिना व्यक्तिगत जानकारी नहीं रखने के निर्देश
बाडमेर, 22 दिसम्बर। बाडमेर जिले में विभिन्न कस्बो, शहरों, गांवों में लोक शान्ति एवं लोक व्यवस्था की सुरक्षा, अवांछित, अपराधिक गतिविधियों पर नियन्त्रण तथा मानव जीवन एवं लोक व्यवस्था की सुरक्षा हेतु लोक प्रशान्ति, विक्षुब्ध होने की स्थिति को निवारित करने के लिए जिला कलक्टर एवं जिला मजिस्ट्रेट शिवप्रसाद मदन नकाते ने दण्ड प्रक्रिया सहिता की धारा 144 के तहत जिले में रहने वाले ऐसे व्यक्ति एवं संस्थाएं जो घरेलू नौकर, ड्राईवर, चौकीदार, निजी कर्मचारी, सैल्समैन इत्यादि रखते है, को पुलिस सत्यापन करवाये बिना एवं व्यक्तिगत जानकारी रखे बिना नहीं रखने के आदेश जारी किए है।
जिला मजिस्टेªट नकाते ने बताया कि जिले में विभिन्न कस्बों, शहरों, गांवों में घरेलू नौकर , ड्राईवर, चौकीदार,निजी कर्मचारी, सेल्समैन इत्यादि बिना पुलिस चरित्र सत्यापन व पर्याप्त जानकारी के रखे जा रहे है। राज्य के विभिन्न जिले में इन घरेलू नौकर, ड्राईवरों, चौकीदारों, निजी कर्मचारी, सेल्समैन इत्यादि द्वारा मालिकों की हत्या, हत्या का प्रयास, लूटपाट, चोरी इत्यादि गम्भीर प्रकृति की अपराधिक वारदातें कारित की गई है। इनके पुलिस सत्यापन व इनकी व्यक्तिगत जानकारी के अभाव में ऐसी वारदातों की आशंकाएं और अधिक प्रबल होती है। घरेलू नौकरों के रूप में समाज विरोधी, राष्ट्र विरोधी व आंतकवादी तत्वों की ओर से अपने अपराधिक मंसूबों की पूर्ति हेतु छुपे होने की प्रबल आशंका रहती है।
जिला मजिस्टेªट नकाते ने बाडमेर जिले के विभिन्न कस्बों, शहरों, गांवों में रहने वाले ऐसे व्यक्ति, संस्थाएं जो घरेलू नौकर, ड्राईवर, चौकीदार, निजी कर्मचारी, सैल्समैन इत्यादि रखते है, को आदेश दिए है कि वे उनके पूर्व प्रमाणित व्यक्तिगत विवरण, पुलिस सत्यापन करवाये बिना नहीं रखेंगे तथा उनके फोटो सहित पूर्ण विवरण यथा नाम, पिता का नाम, उम्र, जाति, पहचान चिन्ह एवं पूर्ण स्थाई व वर्तमान पता, भाषा, बेसिक टेलीफोन नम्बर, मोबाईल नम्बर, परिवार के सदस्यों का विवरण, स्थानीय पहचानकर्ता व मूल निवासी पहचानकर्ता के बेसिक टेलीफोन नम्बर, मोबाईल नम्बर सहित पूर्ण पता इत्यादि की पूर्ण सूचना सुरक्षित रखेंगे एवं इनका पुलिस सत्यापन करवाना सुनिश्चित करने हुए इनकी संदिग्ध गतिविधियों की सूचना भी तत्काल संबंधित पुलिस थाने में देंगे। उक्त आदेशों की अवहेलना करने वाले व्यक्ति या संस्था के संचालक, प्रबन्धक व्यक्तियों पर भारतीय दण्ड संहिता की धारा 188 के तहत अभियोग कार्यवाही चलाए जा सकेंगे। यह आदेश आगामी दो माह तक या इससे पूर्व निरस्त किये जाने पर उस दिनांक तक प्रभावशील रहेगा।
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