दुबई से आते ही आनंदपाल की बेटी चीनू को गिरफ्तार कर सकती है पुलिस
नागौर. आनंदपाल को भगाने के मामले (3 सितम्बर 2015) में उसकी बड़ी बेटी चीनू को भी आरोपित बनाया गया है। शायद यही कारण है कि आनंदपाल की मौत के 7 दिन बाद भी दुबई में ही है। हालांकि परिजनों ने चीनू के नहीं पहुंचने के कारण शनिवार को शव का अंतिम संस्कार नहीं किया। संभवतया वह रविवार को सांवराद पहुंच सकती है। संभव है पुलिस उसके यहां आते ही गिरफ्तार कर ले।इंजीनियरिंग की पढाई कर रही चीनू एक दिन पहले ही सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक ऑडियो में कथित रूप से यह कह रही है कि अगर वह भारत आएगी तो उसे पुलिस गिरफ्तार कर लेगी। परिजनों की याचिका पर न्यायालय के आदेश पर चुरु के भरतिया अस्पताल में उच्चतम न्यायालय की गाइड लाइन के अनुसार शव का दुबारा पोस्टमोर्टम होने के बाद पुलिस ने शनिवार सुबह आनंदपाल का शव परिजनों को सौंप दिया। हालांकि शनिवार को अन्त्येष्टि नहीं हो पाई। आनंदपाल का परिवार चाहता है कि आनंदपाल की बड़ी बेटी चरणजीत सिंह उर्फ चीनू व उसके भाई भी अन्त्येष्टि में शामिल हो।
पुलिस छावनी बना सांवराद
हालांकि आनंदपाल फरारी प्रकरण में हाई अजमेर सिक्योरिटी जेल में बंद विक्की उर्फ वीरेन्द्रपाल व गट्टू उर्फ देवेन्द्र सिंह की याचिका परबतसर एसीजेएम कोर्ट ने खारिज कर दी है। शव की अन्त्येष्टि के लिए सांवराद के ग्रामीणों समेत आनंदपाल के रिश्तेदार व अन्य लोग पहले से ही सांवराद में मौजूद है। अंतिम संस्कार के समय कानून व्यवस्था बिगड़े नहीं, इसको लेकर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। हालांकि परिजनों द्वारा शव लेने के बाद पुलिस ने कुछ राहत की सांस जरुर ली है। लेकिन अंतिम संस्कार होने तक पुलिस बल तैनात रहेगा।
नागौर. आनंदपाल को भगाने के मामले (3 सितम्बर 2015) में उसकी बड़ी बेटी चीनू को भी आरोपित बनाया गया है। शायद यही कारण है कि आनंदपाल की मौत के 7 दिन बाद भी दुबई में ही है। हालांकि परिजनों ने चीनू के नहीं पहुंचने के कारण शनिवार को शव का अंतिम संस्कार नहीं किया। संभवतया वह रविवार को सांवराद पहुंच सकती है। संभव है पुलिस उसके यहां आते ही गिरफ्तार कर ले।इंजीनियरिंग की पढाई कर रही चीनू एक दिन पहले ही सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक ऑडियो में कथित रूप से यह कह रही है कि अगर वह भारत आएगी तो उसे पुलिस गिरफ्तार कर लेगी। परिजनों की याचिका पर न्यायालय के आदेश पर चुरु के भरतिया अस्पताल में उच्चतम न्यायालय की गाइड लाइन के अनुसार शव का दुबारा पोस्टमोर्टम होने के बाद पुलिस ने शनिवार सुबह आनंदपाल का शव परिजनों को सौंप दिया। हालांकि शनिवार को अन्त्येष्टि नहीं हो पाई। आनंदपाल का परिवार चाहता है कि आनंदपाल की बड़ी बेटी चरणजीत सिंह उर्फ चीनू व उसके भाई भी अन्त्येष्टि में शामिल हो।
पुलिस छावनी बना सांवराद
हालांकि आनंदपाल फरारी प्रकरण में हाई अजमेर सिक्योरिटी जेल में बंद विक्की उर्फ वीरेन्द्रपाल व गट्टू उर्फ देवेन्द्र सिंह की याचिका परबतसर एसीजेएम कोर्ट ने खारिज कर दी है। शव की अन्त्येष्टि के लिए सांवराद के ग्रामीणों समेत आनंदपाल के रिश्तेदार व अन्य लोग पहले से ही सांवराद में मौजूद है। अंतिम संस्कार के समय कानून व्यवस्था बिगड़े नहीं, इसको लेकर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। हालांकि परिजनों द्वारा शव लेने के बाद पुलिस ने कुछ राहत की सांस जरुर ली है। लेकिन अंतिम संस्कार होने तक पुलिस बल तैनात रहेगा।
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