जोधपुर सेंट्रल जेल से बंदियों का भार हुआ कम, जालोर-बालोतरा जेल में शिफ्ट होंगे 150 बंदी
जोधपुर
जालोर व बालोतरा उप कारागृह की मरम्मत का काम पूरा होने के बाद दोनों जेलों को फिर से शुरू कर दिया गया है। इसके साथ ही जोधपुर सेंट्रल जेल में बंद दोनों जेलों के करीब 150 से अधिक बंदियों को वापस यथास्थान भेज दिया गया है। इससे जोधपुर सेंट्रल जेल प्रशासन को राहत मिली है।
बस की चपेट से गिरी वृद्धा के पांव के ऊपर से निकला टायर, गुस्साए लोगों ने फोड़े कांच
संभाग की सबसे बड़ी जोधपुर सेंट्रल जेल की क्षमता 1500 बंदियों की है। गत दिनों जालोर व बाड़मेर जिले के बालोतरा उप कारागृह के भवन का मरम्मत का काम शुरू होने के बाद यहां के बंदियों को जोधपुर जेल में रखा गया था। रोज यहां से बड़ी संख्या में बंदी जालोर व बाड़मेर पेशी के लिए भेजे जाते थे।
इससे जेल प्रशासन को जाप्ता व पेशी पर ले जाने की समस्याओं से सामना करना पड़ता था। कुछ दिनों पहले जालोर व बालोतरा जेल का काम पूरा होने के कारण इन जेलों को फिर से शुरू कर दिया गया। यहां के 150 बंदियों को पुन: शिफ्ट किया गया। अब जोधपुर सेंट्रल जेल में करीब 1325 बंदी रहे हैं।
vवीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कक्ष व 20 सीसीटीवी चालू
जोधपुर सेंट्रल जेल में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कक्ष चालू कर दिया गया है। इस कक्ष को सीधे न्यायालय से जोड़ा गया है। यहां बंदियों की सुनवाई हो सकेगी। इसी कक्ष में सीसीटीवी के कैमरे का कंट्रोल रूम भी बनाया गया है। जेल में करीब 20 सीसीटीवी कैमरे संदिग्ध बैरकों में लगा दिए गए हैं। जेल की हर गतिविधि कैमरे में कैद की जा रही है।
दोनों जेल शुरू की जा चुकी है
जालोर व बालोतरा जेल को फिर से शुरू कर दिया गया है। यहां के बंदियों को भी शिफ्ट कर दिया गया है। बीस सीसीटीवी कैमरे जोधपुर जेल में चालू कर दिए गए। करीब 150 बंदी शिफ्ट होने से कुछ राहत मिली है।
- विक्रम सिंह, जेल अधीक्षक, जोधपुर सेंट्रल जेल, जोधपुर
जालोर व बालोतरा उप कारागृह की मरम्मत का काम पूरा होने के बाद दोनों जेलों को फिर से शुरू कर दिया गया है। इसके साथ ही जोधपुर सेंट्रल जेल में बंद दोनों जेलों के करीब 150 से अधिक बंदियों को वापस यथास्थान भेज दिया गया है। इससे जोधपुर सेंट्रल जेल प्रशासन को राहत मिली है।
बस की चपेट से गिरी वृद्धा के पांव के ऊपर से निकला टायर, गुस्साए लोगों ने फोड़े कांच
संभाग की सबसे बड़ी जोधपुर सेंट्रल जेल की क्षमता 1500 बंदियों की है। गत दिनों जालोर व बाड़मेर जिले के बालोतरा उप कारागृह के भवन का मरम्मत का काम शुरू होने के बाद यहां के बंदियों को जोधपुर जेल में रखा गया था। रोज यहां से बड़ी संख्या में बंदी जालोर व बाड़मेर पेशी के लिए भेजे जाते थे।
इससे जेल प्रशासन को जाप्ता व पेशी पर ले जाने की समस्याओं से सामना करना पड़ता था। कुछ दिनों पहले जालोर व बालोतरा जेल का काम पूरा होने के कारण इन जेलों को फिर से शुरू कर दिया गया। यहां के 150 बंदियों को पुन: शिफ्ट किया गया। अब जोधपुर सेंट्रल जेल में करीब 1325 बंदी रहे हैं।
vवीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कक्ष व 20 सीसीटीवी चालू
जोधपुर सेंट्रल जेल में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कक्ष चालू कर दिया गया है। इस कक्ष को सीधे न्यायालय से जोड़ा गया है। यहां बंदियों की सुनवाई हो सकेगी। इसी कक्ष में सीसीटीवी के कैमरे का कंट्रोल रूम भी बनाया गया है। जेल में करीब 20 सीसीटीवी कैमरे संदिग्ध बैरकों में लगा दिए गए हैं। जेल की हर गतिविधि कैमरे में कैद की जा रही है।
दोनों जेल शुरू की जा चुकी है
जालोर व बालोतरा जेल को फिर से शुरू कर दिया गया है। यहां के बंदियों को भी शिफ्ट कर दिया गया है। बीस सीसीटीवी कैमरे जोधपुर जेल में चालू कर दिए गए। करीब 150 बंदी शिफ्ट होने से कुछ राहत मिली है।
- विक्रम सिंह, जेल अधीक्षक, जोधपुर सेंट्रल जेल, जोधपुर
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें