जैसलमेर ‘गुणवत्तापूर्ण षिक्षा, सरकार एवं विभाग की मंषा’’
जैसलमेर , 27 मई/हिन्दी एवं पर्यावरण विषय के गांधी काॅलोनी में आयोजित हो रहे 6 दिवसीय प्रषिक्षणों का निरीक्षण करने पहुंचे प्रमुख वित्त सचिव होषियार सिंह पूनिया ने प्रार. षिक्षा के संभागियों से कहा कि गुणवत्तापूर्ण षिक्षा एवं प्राप्त करना प्राथमिक षिक्षा प्राप्त करने वाले छात्रों का अधिकार एवं उसे क्वालिटी एज्यूकेषन प्रदान करना सरकार एवं विभाग की प्रमुख मंषा है।
उन्होंने प्राथमिक षिक्षा प्रदान करने वाले षिक्षकों को कहा कि षिक्षा की गुणवत्ता ऐसी हो जिसमें हमारे प्रारंभिक षिक्षा प्राप्त करने वाले छात्र को अकादमिक षिक्ष के साथ-साथ व्यावहारिक एवं पर्यावरणीय ज्ञान के साथ-साथ राष्ट्रीय सरोकारों का भी ज्ञान हो। संभागियों के साथ की जा रही चर्चा के दौरान अपने विचार व्यवक्त करते हुए उन्होंने विद्यालयों के प्रधानाचार्यों एवं प्रधानाध्यापकों को तथा प्राथमिक षिक्षा पढाने वाले षिक्षकों को शैक्षिक प्रगति की प्रमुख धूरी बताया। उन्होनें कहा कि जहां-जहां प्रधानाध्यापकों एवं षिक्षक षिक्षिकाओं ने चाहा है वहां षिक्षा एवं संसाधन सभी बढे हैं। आज के वैज्ञानिक विकास एवं प्ण्ज्ण् प्रगति के दौर में जहां षिक्षा का निजीकरण एवं व्यवसायीकरण बढा है, इससे प्राइवेट एवं सरकारी विद्यालयों में कम्पीटीषन बढा है।
आज राज्य सरकार सभी करोडों छात्रों को जो प्राथमिक षिक्षा प्राप्त कर रहे हैं को क्वालिटी एज्यूकेषन देने के लिए संकल्परत है। इस हेतु प्रषिक्षणों के माध्यम से षिक्षा में गतिविधि आधारित षिक्षा देना, नवाचारों को शामिल करना, छात्रों में स्कील लेवल क्षमता बढाना हमारा प्रमुख उद्देष्य होना चाहिए ताकि प्रगति के इस दौर में हम मात्र षिक्षित बेरोजगारों की फौज तैयार ने करें बल्कि हमारे छात्र अपनी उच्च षिक्षा को प्राप्त करते हुए राज्य एवं राष्ट्र की प्रगति में अपना योगदान दे सकें।
इस 6 दिवसीय प्रषिक्षणें पर संभागियों से चर्चा करते हुए उनकी प्रषिक्षण व मानदेय संबंधी प्रष्नों का जबाब देते हुए पूनिया ने बताया कि षिक्षकों को प्रषिक्षण संबंधी उनका मानदेय समय पर मिले।
उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य एवं षिक्षा सेवाओं का कोई मूल्य नहीं होता है। हमें ऐसी षिक्षा की व्यवस्था करनी है जिससे हमारे देष एवं देष वासियों का मान बढे। प्रषिक्षण प्राप्त कर रहे संभागियों को उन्होंने पूर्ण मनोयोग से प्रषिक्षण लेने एवं खुले मंच में पर चर्चा करने के लिए तथा अधिकतम उपस्थिति के लिए सराहा। उन्होंने अभिभावकों के भरोसे को बनाए रखने के लिए हमारी प्राचीन गौरवपूर्ण षिक्षा पद्धति के उदाहरण देते हुए उसकी गरिमा बनाए रखने पर बल देने के लिए कहा। इनके साथ-साथ डाइट प्राचार्य श्री गजेन्द्र जी, डाॅ. रामगोपाल शर्मा रीडर प्।ैम्ए बीकानेर ने भी प्रषिक्षण के उद्देष्य एवं उनकी आवष्यकताओं पर चर्चा कर पर्यावरण षिक्षा में पर्यावरण के प्रति संवेदनषीलता, चेतना जागृति, छात्रों व षिक्षकों की सहभागिता तथा टीचर्स की केपेसिटी बिल्डिंग बढाने की बात की। आज के प्रषिक्षण के दौरान एमटी प्रोजेक्ट निर्माण एवं उसके उद्देष्यों पर खुले सत्र के दौरान चर्चा-रत मिले जिसमें राजेष कुमार भाटिया तथा सुरेष कुमार तथा कैम्प दो में श्री गोवर्धनदास तथा राकेष कुमार से भी बातचीत की गई। संभागियों के साथ-साथ प्रषिक्षण प्रभारी एवं एपीसी नरेन्द्रसिंह चारण द्वारा श्री पूनिया का सबके साथ मिल बैठकर खुले सत्र में चर्चा हेतु धन्यवाद दिया गया।
जैसलमेर , 27 मई/हिन्दी एवं पर्यावरण विषय के गांधी काॅलोनी में आयोजित हो रहे 6 दिवसीय प्रषिक्षणों का निरीक्षण करने पहुंचे प्रमुख वित्त सचिव होषियार सिंह पूनिया ने प्रार. षिक्षा के संभागियों से कहा कि गुणवत्तापूर्ण षिक्षा एवं प्राप्त करना प्राथमिक षिक्षा प्राप्त करने वाले छात्रों का अधिकार एवं उसे क्वालिटी एज्यूकेषन प्रदान करना सरकार एवं विभाग की प्रमुख मंषा है।
उन्होंने प्राथमिक षिक्षा प्रदान करने वाले षिक्षकों को कहा कि षिक्षा की गुणवत्ता ऐसी हो जिसमें हमारे प्रारंभिक षिक्षा प्राप्त करने वाले छात्र को अकादमिक षिक्ष के साथ-साथ व्यावहारिक एवं पर्यावरणीय ज्ञान के साथ-साथ राष्ट्रीय सरोकारों का भी ज्ञान हो। संभागियों के साथ की जा रही चर्चा के दौरान अपने विचार व्यवक्त करते हुए उन्होंने विद्यालयों के प्रधानाचार्यों एवं प्रधानाध्यापकों को तथा प्राथमिक षिक्षा पढाने वाले षिक्षकों को शैक्षिक प्रगति की प्रमुख धूरी बताया। उन्होनें कहा कि जहां-जहां प्रधानाध्यापकों एवं षिक्षक षिक्षिकाओं ने चाहा है वहां षिक्षा एवं संसाधन सभी बढे हैं। आज के वैज्ञानिक विकास एवं प्ण्ज्ण् प्रगति के दौर में जहां षिक्षा का निजीकरण एवं व्यवसायीकरण बढा है, इससे प्राइवेट एवं सरकारी विद्यालयों में कम्पीटीषन बढा है।
आज राज्य सरकार सभी करोडों छात्रों को जो प्राथमिक षिक्षा प्राप्त कर रहे हैं को क्वालिटी एज्यूकेषन देने के लिए संकल्परत है। इस हेतु प्रषिक्षणों के माध्यम से षिक्षा में गतिविधि आधारित षिक्षा देना, नवाचारों को शामिल करना, छात्रों में स्कील लेवल क्षमता बढाना हमारा प्रमुख उद्देष्य होना चाहिए ताकि प्रगति के इस दौर में हम मात्र षिक्षित बेरोजगारों की फौज तैयार ने करें बल्कि हमारे छात्र अपनी उच्च षिक्षा को प्राप्त करते हुए राज्य एवं राष्ट्र की प्रगति में अपना योगदान दे सकें।
इस 6 दिवसीय प्रषिक्षणें पर संभागियों से चर्चा करते हुए उनकी प्रषिक्षण व मानदेय संबंधी प्रष्नों का जबाब देते हुए पूनिया ने बताया कि षिक्षकों को प्रषिक्षण संबंधी उनका मानदेय समय पर मिले।
उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य एवं षिक्षा सेवाओं का कोई मूल्य नहीं होता है। हमें ऐसी षिक्षा की व्यवस्था करनी है जिससे हमारे देष एवं देष वासियों का मान बढे। प्रषिक्षण प्राप्त कर रहे संभागियों को उन्होंने पूर्ण मनोयोग से प्रषिक्षण लेने एवं खुले मंच में पर चर्चा करने के लिए तथा अधिकतम उपस्थिति के लिए सराहा। उन्होंने अभिभावकों के भरोसे को बनाए रखने के लिए हमारी प्राचीन गौरवपूर्ण षिक्षा पद्धति के उदाहरण देते हुए उसकी गरिमा बनाए रखने पर बल देने के लिए कहा। इनके साथ-साथ डाइट प्राचार्य श्री गजेन्द्र जी, डाॅ. रामगोपाल शर्मा रीडर प्।ैम्ए बीकानेर ने भी प्रषिक्षण के उद्देष्य एवं उनकी आवष्यकताओं पर चर्चा कर पर्यावरण षिक्षा में पर्यावरण के प्रति संवेदनषीलता, चेतना जागृति, छात्रों व षिक्षकों की सहभागिता तथा टीचर्स की केपेसिटी बिल्डिंग बढाने की बात की। आज के प्रषिक्षण के दौरान एमटी प्रोजेक्ट निर्माण एवं उसके उद्देष्यों पर खुले सत्र के दौरान चर्चा-रत मिले जिसमें राजेष कुमार भाटिया तथा सुरेष कुमार तथा कैम्प दो में श्री गोवर्धनदास तथा राकेष कुमार से भी बातचीत की गई। संभागियों के साथ-साथ प्रषिक्षण प्रभारी एवं एपीसी नरेन्द्रसिंह चारण द्वारा श्री पूनिया का सबके साथ मिल बैठकर खुले सत्र में चर्चा हेतु धन्यवाद दिया गया।
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